<p style=”text-align: justify;”>हिंदू सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष विष्णु गुप्ता ने भारतीय पुरातत्व विभाग के डायरेक्टर जरनल को पत्र लिखकर जमा मस्जिद दिल्ली का सर्वे करने की मांग की.</p> <p style=”text-align: justify;”>हिंदू सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष विष्णु गुप्ता ने भारतीय पुरातत्व विभाग के डायरेक्टर जरनल को पत्र लिखकर जमा मस्जिद दिल्ली का सर्वे करने की मांग की.</p> दिल्ली NCR आगरा में ताजमहल को बम से उड़ाने की धमकी मिली, मचा हड़कंप, जांच जारी
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मिर्च और अरंडी के बीच गांजे की खेती कर रहा था किसान, साढे सात लाख के गांजे के साथ गिरफ्तार
मिर्च और अरंडी के बीच गांजे की खेती कर रहा था किसान, साढे सात लाख के गांजे के साथ गिरफ्तार <p style=”text-align: justify;”><strong>Badwani News:</strong> मध्य प्रदेश के बड़वानी जिले के बुदरा गांव में गांजे की खेती हो रही थी. इस बात की सूचना मिलने के बाद पुलिस ने छापा मारा तो पुलिस अधिकारी भी दंग रह गए. मिर्च और अरंडी की आड में गांजे की खेती की जा रही थी. पुलिस ने किसान के खिलाफ मामला दर्ज किया है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>मध्य प्रदेश के बड़वानी जिले के एसपी जगदीश डाबर ने बताया कि राजपुर थाना क्षेत्र स्थित ग्राम बुदरा में गांजे की खेती होने की शिकायत लोगों के माध्यम से मिली थी. इसके बाद जब जानकारी हासिल की गई तो शिकायत सही पाई गई. बुदरा के रहने वाले चतर सिंह पिता तेज सिंह के खेत में अरंडी और मिर्ची की फसल के बीच में गांजे के 340 पौधे मिले, जिसका वजन कराया गया तो यह 73 किलो के आसपास निकला, जिसकी कीमत 7 लाख 30 हजार रुपये बताई जा रही है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>एसपी जगदीश डाबर ने बताया कि इस मामले में चतर सिंह को गिरफ्तार कर लिया गया है. उसने पूछताछ के दौरान अपराध स्वीकार कर लिया है. बताया जा रहा है कि वह लंबे समय से गांजे की खेती कर रहा था, मगर इस बार उसने व्यापक पैमाने पर मिर्च और अरंडी के बीच गांजे के पौधे लगा दिए थे.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>एनडीपीएस एक्ट के तहत मामला बनाया </strong><br />पुलिस अधीक्षक जगदीश डाबर ने बताया कि आरोपी किसान चतर सिंह के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट की धारा 8/20 के तहत प्रकरण दर्ज किया गया है. आरोपी चतर सिंह से पूछताछ कर यह भी पता लगाया जा रहा है कि उसके साथ और कौन लिप्त था ? पुलिस पूरे इलाके में और भी सर्चिंग कर रही है. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>इसे भी पढ़ें: <a href=”https://www.abplive.com/states/madhya-pradesh/ujjain-two-workers-of-mahakaleshwar-temple-service-terminated-in-illegal-collection-case-ann-2847615″>उज्जैन में महाकाल मंदिर के दो कर्मचारियों की सेवा समाप्त, भक्तों से वसूली मामले में एक्शन</a></strong></p>
2 बेटियों के शरीर पर चाकू से किए 17 वार:डायरी में पिता ने लिखा- मौत की वजह मां-भाई; प्रयागराज मर्डर-सुसाइड की INSIDE स्टोरी
2 बेटियों के शरीर पर चाकू से किए 17 वार:डायरी में पिता ने लिखा- मौत की वजह मां-भाई; प्रयागराज मर्डर-सुसाइड की INSIDE स्टोरी प्रयागराज में अपनी दो मासूम बेटियों को बेरहमी से कत्ल करने वाले मनीष प्रजापति का अंतिम संस्कार हो गया है। पिता और दोनों बच्चियों का एक साथ पोस्टमॉर्टम और दाह संस्कार हुआ। 3 डॉक्टरों के पैनल के सामने जब बच्चियों की बॉडी पहुंची तो उनके हाथ कांप गए। 3 साल की खुशबू और 5 साल की नैंसी के शरीर पर कुल 17 घाव मिले। चाकू खुशबू के पेट को चीरकर पीठ के पार निकल गया था। जब उसका कत्ल हुआ तो वह पीठ के बल लेटी थी। मनीष ने उसके पेट पर 8 बार चाकू घोंपा। इससे आंतें लोथड़ा बनकर बाहर आ गईं। नैंसी के पीठ पर चाकू के गहरे जख्म थे, जो पेट को फाड़ गया। ऐसे में माना गया कि वह पीठ के बल लेटी थी। उसके शरीर पर 9 घाव मिले हैं। पुलिस ने मौके से चाकू बरामद किया था। वह चाकू आम नहीं, बल्कि तार काटने के काम में आता है। मनीष ने बेटियों के मर्डर और अपने सुसाइड के लिए मां और भाई को जिम्मेदार ठहराया। परिवार में मृतक आश्रित कोटे की नौकरी का विवाद था। आरोप यह भी है कि मां-भाई मनीष को धमका रहे थे। इस हत्याकांड में सबसे अहम सुसाइड नोट पुलिस को मिल गया। हत्या करने से पहले मनीष ने डायरी के एक पन्ने पर एक पेज का सुसाइड नोट लिखा है। पढ़िए उसने क्या लिखा… मैं मनीष कुमार प्रजापति हूं, अपनी मां गीता और भाई अमित प्रजापति की वजह से जान देने जा रहा हूं। आत्महत्या के लिए दोनों मिलकर मुझे मजबूर कर रहे हैं। राजकीय मुद्राणालय (सरकारी प्रेस), सिविल लाइन में मेरे पिता रोशनलाल नौकरी करते थे। उनकी मौत के बाद मृतक आश्रित कोटे में नौकरी लेने के लिए भाई अमित NOC लेने के लिए परेशान कर रहा है। मैंने NOC पर साइन नहीं किया। इसके बाद यह लोग मेरी वाइफ को बदनाम करने लगे। बदला लेने की धमकी देने लगे। मां और भाई ने कहा कि मुझे पिता की प्रॉपर्टी से बेदखल कर देंगे। फोन पर धमकाया, उसकी रिकॉर्डिंग मौजूद है। इसके बाद मेरी NOC के बिना ही नौकरी दे दी गई। यह कैसे हुआ, इसकी जांच होनी चाहिए। मेरा निवेदन है कि इसकी जांच करवाएं। अमित ने मेरी बेटी को जबरन गोद लेने के लिए कहा। इसकी भी रिकार्डिंग हमारे पास है। (पेज के आखिर में मनीष ने अपना नाम-पता लिखा। तारीख डाली है और अंगूठा लगाया है।) मां-भाई पर केस होगा, नौकरी की जांच होगी
सुसाइड नोट मिलने के बाद अब पुलिस हैंड राइटिंग और अंगूठे के निशान की जांच करा रही है। पुलिस सूत्रों का कहना है कि जल्द मां और भाई पर केस दर्ज होगा। साथ ही, अमित ने बिना NOC नौकरी कैसे पाई, इसकी भी जांच कराई जाएगी। एक साथ पोस्टमॉर्टम, एक साथ अंतिम संस्कार
भले ही पिता ने दोनों बच्चियों को मौत के घाट उतारा हो, लेकिन दोनों बच्चियों और मनीष के शवों का पोस्टमॉर्टम एक साथ हुआ। एक ही एम्बुलेंस में शवों को घर लाया गया। तीनों का एक साथ नीवां कछार में अंतिम संस्कार किया गया। जानिए 2 बेटियों की हत्या कर फांसी कैसे लगाई
प्रयागराज में रविवार को पिता मनीष (30) ने 2 मासूम बेटियों की हत्या कर दी। इसके बाद खुद फांसी लगाकर सुसाइड कर लिया। रम्मन का पुरवा में किराए पर रहने वाला मनीष प्रजापति पेंटिंग का ठेका लेता था। वारदात के वक्त पत्नी संगीता बाजार सामान लेने गई थी। उसने पत्नी को दो बार कॉल किया। उसने नहीं उठाया। फिर तीसरी कॉल की। उसने उठाया, तो पूछा- कहां पर हो, कितनी देर में घर आओगी। पत्नी ने कहा कि अभी थोड़ी देर में आऊंगी। कोई काम है क्या? इस पर उसने फोन काट दिया। फिर अचानक घर पहुंचा। दोनों बेटियां सो रही थीं। मनीष चाकू लेकर आया। फिर दोनों का बेरहमी से कई बार चाकू के वार किए। इससे पूरे बिस्तर और कमरे में हर तरफ खून फैला था। फिर रोने लगा। पत्नी की साड़ी ली। पंखे के हुक में फंसाकर फंदा बनाया। इसके बाद फांसी लगा ली। दरवाजा अंदर से बंद था। जब पत्नी आई, तो कई बार दरवाजा खटखटाया। उधर से कोई जवाब न मिलने पर खिड़की से झांक कर देखा, तो दोनों बच्चियां जमीन पर खून से लथपथ व पति फंदे से लटका मिला। ये सब देख पत्नी रोने लगी, थोड़ी देर बेहोश हो गई। यह भी पढ़िए… कानपुर में ट्रेन पलटाने की साजिश में जमाती कनेक्शन:पुलिस बोली- मजार पर देशभर से लोग आते हैं, माचिस-मिठाई के झोले से सुराग की तलाश कानपुर में कालिंदी एक्सप्रेस को पलटाने की साजिश के मामले में शिवराजपुर थाने की पुलिस ने FIR दर्ज कर ली है। इसके साथ ही 6 संदिग्धों को पूछताछ के लिए उठाया गया है। पुलिस ने अपने रडार पर इलाके के जमातियों को भी लिया है। जांच के लिए पुलिस कमिश्नर ने 6 टीम गठित की हैं। पढ़िए पूरी खबर…
हरियाणा में महिला HCS अधिकारी गिरफ्तार:1 लाख रिश्वत केस में ACB ने पकड़ा, पंचकूला कोर्ट ने जेल भेजा; 5 महीने से थीं फरार
हरियाणा में महिला HCS अधिकारी गिरफ्तार:1 लाख रिश्वत केस में ACB ने पकड़ा, पंचकूला कोर्ट ने जेल भेजा; 5 महीने से थीं फरार हरियाणा में 1 लाख रुपए के रिश्वत केस में एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) ने हरियाणा सिविल सर्विसिज (HCS) अधिकारी मीनाक्षी दहिया को गिरफ्तार कर लिया है। शुक्रवार देर रात उनकी गिरफ्तारी के बाद दहिया को पंचकूला में ड्यूटी मजिस्ट्रेट के आगे पेश किया गया। जिसके बाद उन्हें 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया है। इससे पहले पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट न्यायालय ने रिश्वत के केस में HCS ऑफिसर मीनाक्षी दहिया की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी थी। HC ने की थी तल्ख टिप्पणी
इस मामले में हाईकोर्ट के जस्टिस अनूप चितकारा ने सख्त टिप्पणी करते हुए कहा था कि, प्रथम दृष्टया याचिकाकर्ता मीनाक्षी दहिया के साथ उनके रसोइए से 1 लाख रुपए की रिश्वत की वसूली के संबंध में सबूत मौजूद हैं, जिसे 29 मई को रंगे हाथों पकड़ा गया था। न्यायमूर्ति चितकारा ने कहा था कि “पुलिस ने उससे रिश्वत की रकम बरामद की है। कॉल और ट्रांसक्रिप्ट से याचिकाकर्ता की संलिप्तता का संकेत मिलता है, जिसकी पुष्टि शिकायतकर्ता के आरोप से होती है।” पंचकूला के एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) थाने में भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के प्रावधानों के तहत मामला दर्ज होने के बाद दहिया ने अग्रिम जमानत के लिए अदालत का रुख किया था। इस मामले में सेवामुक्त जिला मत्स्य अधिकारी ने शिकायत दर्ज कराई थी, जिसमें सरकारी काम के बदले कथित तौर पर रिश्वत मांगने वाले अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई थी। हिरासत में लेकर पूछताछ जरूरी
जस्टिस चितकारा ने कहा कि याचिकाकर्ता के वकील “कोई भी सख्त शर्त” लगाकर जमानत की मांग कर रहे थे। याचिकाकर्ता के वकील ने तर्क दिया था कि आगे की सुनवाई से पहले की कैद याचिकाकर्ता और उनके परिवार के साथ अपरिवर्तनीय अन्याय का कारण बनेगी। हालांकि, न्यायमूर्ति चितकारा ने कहा कि अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश ने याचिकाकर्ता की अग्रिम जमानत खारिज करते हुए मामले के सभी पहलुओं पर विचार किया था और तर्क दिया था कि अपराध में इस्तेमाल किए गए मोबाइल फोन को बरामद करने के लिए याचिकाकर्ता को हिरासत में लेकर पूछताछ करना आवश्यक है। दहिया पर क्या हैं आरोप
रिटायर जिला मत्स्य अधिकारी ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया है, कि एक जांच अधिकारी ने उनके खिलाफ आरोप पत्र वापस लेने के लिए फाइल मत्स्य विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव को भेजने से पहले उन्हें मामले में निर्दोष घोषित कर दिया था। उन्होंने संबंधित मंत्री को फाइल भेजने से पहले जांच रिपोर्ट स्वीकार कर ली, जिन्होंने अपनी मंजूरी दे दी और इस संबंध में आदेश जारी करने के लिए फाइल अतिरिक्त मुख्य सचिव को भेज दी गई। उन्होंने कहा, “सीनियर एचसीएस अधिकारी और संयुक्त सचिव दहिया ने मुझे 17 अप्रैल को अपने स्टेनोग्राफर जोगिंदर सिंह के माध्यम से पंचकूला स्थित अपने कार्यालय में आदेश जारी करने के लिए बुलाया था और मुझसे एक लाख रुपये की रिश्वत मांगी थी। मैं अपने सरकारी काम के बदले मैडम को रिश्वत नहीं देना चाहता था और भ्रष्ट अधिकारी को रंगे हाथों पकड़वाना चाहता था।” मीनाक्षी 5 महीने से चल रही थी फरार
रिश्वत के इस खेल में आरोपी एचसीएस ऑफिसर मीनाक्षी दहिया 5 महीने से फरार चल रही हैं। ACB की टीम लगातार दहिया की गिरफ्तारी के लिए दबिश दे रही हैं। हालांकि अभी तक एसीबी को इसमें सफलता नहीं मिल पाई है। इस मामले में, वॉट्सऐप कॉल पर बातचीत के दौरान शिकायतकर्ता के मोबाइल में खास डिवाइस भी लगाई गई थी, जिससे पूरी कॉल रिकॉर्ड हो गई। फिलहाल मीनाक्षी दहिया फरार चल रही थीं, ACB की टीम की उनकी गिरफ्तारी की बड़ी सफलता के रूप में देख रही है।