हरियाणा के फरीदाबाद जिले में एक विवाहिता एक का शव फांसी के फंदे पर लटका मिला। बताया जा रहा है कि घटना के वक्त महिला घर में अकेली थी। घर से सभी लोग रिश्तेदारी में गए हुए थे। सूचना के बाद मौके पर पहुंचे मृतका के परिजनों ने ससुरालियों पर दहेज को लेकर हत्या करने के आरोप लगाए है। पुलिस ने मृतका के शव को पोस्टमॉर्टम के लिए बादशाह खान सिविल अस्पताल में भेज दिया है। परिजनों की शिकायत पर सेक्टर 58 थाना पुलिस मामले की जांच कर रही है। भाई ने लगाए हत्या करने के आरोप मृतका के भाई गगन रक्षवाल ने बताया कि उन्होंने अपनी बहन की शादी 8 मार्च 2024 को फरीदाबाद के सेक्टर 56-A के रहने वाले सूरज से की थी। लेकिन तभी से उनकी बहन की दहेज कम लाने को लेकर प्रताड़ित किया जा रहा था। ससुराल वाले उससे 51 लाख रुपए एक फॉर्च्यूनर कार की दहेज में मांग कर रहे थे। जबकि उन्होंने अपनी हैसियत के हिसाब से बहन की शादी में सब कुछ दिया था। लेकिन आरोपियों की भूख शांत नहीं हुई और वह दहेज की खातिर उनकी बहन को बार-बार प्रताड़ित करते रहे। शरीर पर मिले चोट के निशान बीते कल शाम को उनकी बहन भारती के जेठ जितेंद्र का फोन आया। जिसने बताया कि आपकी बहन ने फांसी लगा ली है। जब वह मौके पर पहुंचे तो शव को सिविल अस्पताल के मुर्दाघर में रखवाया हुआ था। उसके शरीर पर चोट के निशान थे, और बाल बिखरे हुए थे। उन्हें शक है कि कहीं ना कहीं उनकी बहन की हत्या की गई है। वह चाहते हैं कि उनकी बहन की हत्यारों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाए। जेठ बोला- घर में अकेली थी भारती वहीं इस मामले में मृतका के जेठ जितेंद्र ने बताया कि उनका भाई सूरज उनकी पत्नी, उनकी माता सहित सभी घर से बाहर गए थे। उनके रिश्तेदारी में किसी की मौत हुई थी। सभी वहां पर गए हुए थे। घर पर केवल छोटे भाई की पत्नी थी। उन्होंने बताया कि भारती ने न जाने कब ऊपर वाले कमरे में फांसी लगा ली। जब सूरज शाम को घर पहुंचा तब दरवाजा अंदर से बंद था। फोन मिलाने पर भारती ने फोन नहीं उठाया, तब झांक कर देखा गया तो भारती पंखे से लटकी हुई थी। इसके बाद दरवाजे को तोड़कर शव को पंखे से उतरा गया अस्पताल लाया गया, लेकिन डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया। परिजन बोले- पति का दूसरी महिला से था चक्कर जितेंद्र ने बताया कि इसकी सूचना उन्होंने खुद पुलिस को दी है। वह चाहते हैं कि इस मामले में न्याय होना चाहिए। उनके ऊपर लगाए गए सभी आरोप झूठे हैं। वहीं मृतका के भाई ने गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि सूरज का किसी और महिला से चक्कर चल रहा है। इसके लिए भी उसकी बहन को सूरज परेशान कर रहा था। वहीं सूरज की यह दूसरी शादी थी, इसके बारे में उन्होंने उन्हें शादी के समय कुछ नहीं बताया था। हरियाणा के फरीदाबाद जिले में एक विवाहिता एक का शव फांसी के फंदे पर लटका मिला। बताया जा रहा है कि घटना के वक्त महिला घर में अकेली थी। घर से सभी लोग रिश्तेदारी में गए हुए थे। सूचना के बाद मौके पर पहुंचे मृतका के परिजनों ने ससुरालियों पर दहेज को लेकर हत्या करने के आरोप लगाए है। पुलिस ने मृतका के शव को पोस्टमॉर्टम के लिए बादशाह खान सिविल अस्पताल में भेज दिया है। परिजनों की शिकायत पर सेक्टर 58 थाना पुलिस मामले की जांच कर रही है। भाई ने लगाए हत्या करने के आरोप मृतका के भाई गगन रक्षवाल ने बताया कि उन्होंने अपनी बहन की शादी 8 मार्च 2024 को फरीदाबाद के सेक्टर 56-A के रहने वाले सूरज से की थी। लेकिन तभी से उनकी बहन की दहेज कम लाने को लेकर प्रताड़ित किया जा रहा था। ससुराल वाले उससे 51 लाख रुपए एक फॉर्च्यूनर कार की दहेज में मांग कर रहे थे। जबकि उन्होंने अपनी हैसियत के हिसाब से बहन की शादी में सब कुछ दिया था। लेकिन आरोपियों की भूख शांत नहीं हुई और वह दहेज की खातिर उनकी बहन को बार-बार प्रताड़ित करते रहे। शरीर पर मिले चोट के निशान बीते कल शाम को उनकी बहन भारती के जेठ जितेंद्र का फोन आया। जिसने बताया कि आपकी बहन ने फांसी लगा ली है। जब वह मौके पर पहुंचे तो शव को सिविल अस्पताल के मुर्दाघर में रखवाया हुआ था। उसके शरीर पर चोट के निशान थे, और बाल बिखरे हुए थे। उन्हें शक है कि कहीं ना कहीं उनकी बहन की हत्या की गई है। वह चाहते हैं कि उनकी बहन की हत्यारों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाए। जेठ बोला- घर में अकेली थी भारती वहीं इस मामले में मृतका के जेठ जितेंद्र ने बताया कि उनका भाई सूरज उनकी पत्नी, उनकी माता सहित सभी घर से बाहर गए थे। उनके रिश्तेदारी में किसी की मौत हुई थी। सभी वहां पर गए हुए थे। घर पर केवल छोटे भाई की पत्नी थी। उन्होंने बताया कि भारती ने न जाने कब ऊपर वाले कमरे में फांसी लगा ली। जब सूरज शाम को घर पहुंचा तब दरवाजा अंदर से बंद था। फोन मिलाने पर भारती ने फोन नहीं उठाया, तब झांक कर देखा गया तो भारती पंखे से लटकी हुई थी। इसके बाद दरवाजे को तोड़कर शव को पंखे से उतरा गया अस्पताल लाया गया, लेकिन डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया। परिजन बोले- पति का दूसरी महिला से था चक्कर जितेंद्र ने बताया कि इसकी सूचना उन्होंने खुद पुलिस को दी है। वह चाहते हैं कि इस मामले में न्याय होना चाहिए। उनके ऊपर लगाए गए सभी आरोप झूठे हैं। वहीं मृतका के भाई ने गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि सूरज का किसी और महिला से चक्कर चल रहा है। इसके लिए भी उसकी बहन को सूरज परेशान कर रहा था। वहीं सूरज की यह दूसरी शादी थी, इसके बारे में उन्होंने उन्हें शादी के समय कुछ नहीं बताया था। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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हरियाणा चुनाव में अब चलेगा मनाने का दौर:कांग्रेस के 31, BJP के 34 सीटों पर बागी खड़े हुए; कुछ दूसरी पार्टी, बाकी निर्दलीय उतरे
हरियाणा चुनाव में अब चलेगा मनाने का दौर:कांग्रेस के 31, BJP के 34 सीटों पर बागी खड़े हुए; कुछ दूसरी पार्टी, बाकी निर्दलीय उतरे हरियाणा में विधानसभा चुनाव के लिए नामांकन का दौर खत्म हो गया है। 1700 से ज्यादा उम्मीदवारों ने नामांकन भरा है। भाजपा-कांग्रेस के 136 में से 91 बागियों ने भी निर्दलीय या दूसरे दलों से पर्चे भर दिए। नामांकन के आखिरी दिन गुरुवार को कांग्रेस में 33, भाजपा में 16 सीटों पर बगावत हुई। वहीं, दोनों दलों के वरिष्ठ नेताओं ने इन्हें मनाने व नाम वापसी के लिए रणनीति बनानी शुरू कर दी है। कांग्रेस में टिकट कटने के चलते अब तक कुल 37 सीटों पर 59 नेता बागी हुए हैं। 31 सीटों पर 44 नेताओं ने निर्दलीय या दूसरी पार्टियों से नामांकन किया है। पानीपत शहरी सीट से पूर्व विधायक रोहिता रेवड़ी, पानीपत ग्रामीण से पूर्व पार्षद विजय जैन ने भी इस्तीफा दे आजाद के तौर पर नामांकन किया है। वहीं, भाजपा में कुल 49 सीटों पर 78 बागी हैं। 34 सीटों पर 47 नेता निर्दलीय या दूसरे दलों से उतरे हैं। पूर्व मंत्री व देश की सबसे अमीर महिला सावित्री जिंदल ने हिसार, सीएम के मीडिया सलाहकार रहे राजीव जैन ने सोनीपत से निर्दलीय पर्चा भरा है। हालांकि, पूर्व प्रदेशाध्यक्ष रामबिलास शर्मा महेंद्रगढ़ से नाम वापस लेंगे। कांग्रेस ने भिवानी सीट गठबंधन में सीपीआईएम को दी है। उकलाना से सांसद कुमारी सैलजा की जगह पूर्व विधायक नरेश सेलवाल को उतारा। भाजपा व आप ही 90 सीटों पर लड़ रही है। इनेलो-बसपा-हलोपा का गठबंधन है। इनेलो 51, बसपा 37, हलोपा 1 सीट पर लड़ेगी। जजपा-एएसपी ने 85 प्रत्याशी उतारे हैं। भाजपा से मंत्री और विधायक समेत कई बगावत पर उतरे
हिसार से सावित्री जिंदल, गौतम सरदाना, रानियां से रणजीत सिंह, सोनीपत से राजीव जैन, तोशाम से शशिरंजन परमार, गन्नौर से देवेंद्र कादियान, पृथला से नयनपाल रावत व दीपक डागर, लाडवा से संदीप गर्ग, भिवानी से विनोद चावला व प्रिया असीजा, अटेली से संतोष यादव, रेवाड़ी से प्रशांत सन्नी, सफीदों से बचन सिंह व जसबीर देसवाल, बेरी से अमित अहलावत, महम से शमशेर खरकड़ा की पत्नी, झज्जर से सतवीर सिंह, पुंडरी से दिनेश कौशिक, कलायत से विनोद निर्मल व आनंद राणा, इसराना से सत्यवान शेरा आजाद उतरे। डबवाली से आदित्य देवीलाल, फरीदाबाद NIT से नगेंद्र भड़ाना, खरखौदा से प्रीतम खोखर, जुलाना से सुरेंद्र लाठर, नूंह से ताहिर हुसैन इनेलो-बसपा गठबंधन, अटेली से सुनील राव, रेवाड़ी से सतीश यादव, बरवाला से प्रो. छत्रपाल, थानेसर से कृष्ण बजाज आप और पानीपत ग्रामीण से रघुनाथ तंवर कश्यप, नरवाना से संतोष दनौदा जजपा से उतर गई हैं। पुंडरी में तेजबीर, साढ़ौरा में दाताराम, रतिया से लक्ष्मण नापा, गुरुग्राम में जीएल शर्मा कांग्रेस में गए। नारनौल में शिवकुमार मेहता, सत्यव्रत शास्त्री, यमुनानगर में देवेंद्र चावला ने भी भाजपा छोड़ी। तीन अन्य सीटों पर भी नेताओं में नाराजगी
कोसली में बिक्रम ठेकेदार व सतीश खोला, बवानीखेड़ा में बिशंबर व गोहाना में तीर्थ राणा नाराज हैं। रादौर में कर्णदेव कंबोज कांग्रेस में जाने की तैयारी कर रहे हैं। कांग्रेस के ये प्रमुख चेहरे दूसरे दलों से या निर्दलीय लड़ रहे
पुंडरी से विधायक रणधीर गोलन, सज्जन ढुल, सतबीर भाणा, सुनीता बात्तान, नलवा में संपत्त सिंह, बल्लभगढ़ में शारदा राठौर, तिगांव में ललित नागर, बवानीखेड़ा में रामकिशन फौजी, सतबीर रतेरा, बरोदा में कपूर नरवाल, भिवानी में अभीजित लाल सिंह व नीलम अग्रवाल, अंबाला सिटी में जसबीर मलौर आजाद उतरे। अटेली से हेमंत शर्मा, पानीपत शहरी से रोहिता रेवाड़ी, पानीपत ग्रामीण से विजय जैन, बरवाला में संजना सातरोड, हांसी से नरेश यादव, बहादुरगढ़ से राजेश जून, उचाना कलां से वीरेंद्र घोघड़िया, दिलबाग संडील, जींद से प्रदीप गिल, झज्जर से संजीत कबलाना, गोहाना से हर्ष छिक्कारा, गुहला से दिल्लूराम बाजीगर व नरेश ढांडे, कलायत से सतविंद्र राणा, अनीता ढुल, दीपक निर्मल, सुमित कुमार, कोसली से मनोज कोसलिया, पटौदी से सुधीर चौधरी ने भी निर्दलीय नामांकन कर दिया। वहीं अंबाला कैंट में पूर्व मंत्री निर्मल सिंह की बेटी चित्रा सरवारा ने डेमोक्रेटिक फ्रंट, साढौरा से बृजपाल छप्पर, नरवाना से विद्या रानी दनौदा इनेलो-बसपा गठबंधन, जगाधरी से आदर्श पाल आप के टिकट पर उतर गए हैं। वहीं, गुरुग्राम में पूर्व विधायक उमेश अग्रवाल की पत्नी अनीता अग्रवाल भाजपा में चली गईं।
हरियाणा कांग्रेस मांगेगी CM सैनी से इस्तीफा:सरकार के अल्पमत पर CLP मीटिंग में प्लानिंग; सांसदों को है विधायकों की खरीद-फरोख्त का डर
हरियाणा कांग्रेस मांगेगी CM सैनी से इस्तीफा:सरकार के अल्पमत पर CLP मीटिंग में प्लानिंग; सांसदों को है विधायकों की खरीद-फरोख्त का डर हरियाणा में BJP सरकार के अल्पमत होने को लेकर कांग्रेस अब मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी से इस्तीफे की मांग करेगी। चंडीगढ़ में बुलाई गई कांग्रेस विधायक दल की मीटिंग में इस मुद्दे पर चर्चा की गई। सांसदों ने मीटिंग में सरकार को बचाने के लिए विधायकों की खरीद-फरोख्त का अंदेशा जताया। रोहतक सांसद दीपेंद्र हुड्डा ने खुलकर कहा कि सरकार के पास विधानसभा में संख्या बल नहीं है। संख्या बल नहीं होने के चलते नैतिकता के आधार पर मुख्यमंत्री को इस्तीफा देना चाहिए। इस मामले में राज्यपाल को संज्ञान लेना चाहिए, प्रदेश में विधायकों की खरीद फरोख्त हो सकती है। उन्होंने यह भी कहा कि इस तरह की भी चर्चाएं हैं कि बीजेपी अल्पमत से बचने के लिए 1-2 विधायकों के इस्तीफे भी करवा सकती है। राज्यपाल सरकार को बर्खास्त कर चुनाव करवाने चाहिए। आखिर कांग्रेस क्यों कर रही है अल्पमत का दावा हरियाणा के CM नायब सैनी के करनाल विधानसभा का उप चुनाव जीतने के बाद भी BJP के पास सदन में बहुमत कम होने का कांग्रेस दावा कर रही है। हलोपा के गोपाल कांडा और एक निर्दलीय विधायक नयन पाल रावत का साथ होने के बाद भी संयुक्त विपक्ष के सामने भाजपा बहुमत के आंकड़े से 1 नंबर दूर है। पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा दावा कर रहे हैं कि सरकार अल्पमत में है, इसलिए विधानसभा भंग होनी चाहिए। इधर, सदन में कांग्रेस-जजपा और INLD यदि साथ आ गए तो सैनी सरकार की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। जजपा नेता दुष्यंत चौटाला भी राज्यपाल को चिट्ठी लिखकर सरकार से फ्लोर टेस्ट कराने की मांग कर चुके हैं। हरियाणा में ऐसे हालात बनने की ये हैं बड़ी वजहें.. भाजपा-जजपा गठबंधन टूटा, सीएम चेहरा बदला हरियाणा में मनोहर लाल खट्टर की अगुआई में भाजपा-जजपा गठबंधन की सरकार चल रही थी। लोकसभा चुनाव से पहले सीट शेयरिंग को लेकर जजपा और भाजपा ने गठबंधन तोड़ दिया। इसके बाद जजपा 10 विधायकों के साथ सरकार से अलग हो गई। भाजपा के पास 41 विधायक थे, उन्होंने 5 निर्दलीय और एक हलोपा विधायक को साथ लेकर सरकार बना ली। खट्टर को सीएम कुर्सी छोड़नी पड़ी। नायब सैनी सीएम बन गए। 3 निर्दलीय विधायकों ने साथ छोड़ा लोकसभा चुनाव के बीच भाजपा सरकार को झटका लगा। सरकार को समर्थन देने वाले निर्दलीय विधायक रणधीर गोलन, सोमवीर सांगवान और धर्मवीर गोंदर ने कांग्रेस के साथ चले गए। उन्होंने सीएम नायब सैनी की सरकार से समर्थन वापस ले लिया। इसके बाद भाजपा सरकार के पास भाजपा के 40, हलोपा का एक और 2 निर्दलीय विधायकों का समर्थन बचा। एक निर्दलीय विधायक राकेश दौलताबाद का मतदान के दिन निधन हो गया। हरियाणा विधानसभा में बदली स्थिति लोकसभा चुनाव के बाद हरियाणा विधानसभा के नंबरों में और बदलाव हो चुका है। 90 विधायकों वाली विधानसभा में अब 87 विधायक ही बचे हैं। सिरसा की रानियां विधानसभा से रणजीत सिंह चौटाला के इस्तीफे, बादशाहपुर विधानसभा सीट से विधायक राकेश दौलताबाद के निधन से और अंबाला लोकसभा सीट से मुलाना विधानसभा सीट से कांग्रेस विधायक वरुण चौधरी के अंबाला लोकसभा चुनाव जीतने के बाद यह स्थिति बनी है। 87 सदस्यीय इस विधानसभा में अब बहुमत का आंकड़ा 46 से गिरकर 44 हो गया है। भाजपा के पास 43, विपक्ष संयुक्त हुआ तो उनके 44 विधायक मौजूदा स्थिति की बात करें तो भाजपा के पास 41 विधायक हैं। इसके अलावा उन्हें हलोपा विधायक गोपाल कांडा और एक निर्दलीय नयनपाल रावत का समर्थन प्राप्त है। भाजपा के पास 43 विधायक हैं। वहीं विपक्ष में भाजपा से एक ज्यादा यानी 44 विधायक हैं। इनमें कांग्रेस के 29, जजपा के 10, निर्दलीय 4 और एक इनेलो विधायक शामिल हैं। अगर ये सब एक साथ आ जाते हैं तो फिर सरकार अल्पमत में आ सकती है। हरियाणा में BJP सरकार और एकजुट विपक्ष का गणित समझें… क्या हरियाणा में सरकार गिरने का खतरा है? 1. फिलहाल ऐसा नहीं है। सीएम नायब सैनी की सरकार ने ढ़ाई महीने पहले ही 13 मार्च को बहुमत साबित किया। जिसके बाद 6 महीने तक फिर अविश्वास प्रस्ताव नहीं लाया जाता। इतना समय बीतने के बाद अक्टूबर-नवंबर में हरियाणा में विधानसभा चुनाव होने हैं। फिर ऐसी मांग की जरूरत नहीं रहेगी। 2. इसके साथ ही जजपा ने अपने 2 विधायकों की सदस्यता रद्द करने के लिए विधानसभा स्पीकर ज्ञानचंद गुप्ता के यहां याचिका दायर की हुई है। अगर JJP के 2 विधायकों की सदस्यता रद्द हो जाती है तो फिर सरकार के पक्ष में 43 और विपक्षी विधायकों की संख्या गिरकर 42 हो जाएगी, जिससे सरकार फिर बहुमत में ही रहेगी। स्पीकर ज्ञानचंद गुप्ता भाजपा से विधायक हैं। फ्लोर टेस्ट की नौबत आई तो BJP सरकार कैसे बचाएगी? BJP के सूत्रों के मुताबिक सरकार को किसी कीमत पर गिरने की स्थिति तक नहीं पहुंचने दिया जाएगा। अगर फ्लोर टेस्ट की नौबत आई तो जजपा के 2 विधायक रामनिवास सुरजाखेड़ा और जोगीराम सिहाग इस्तीफा दे सकते हैं। इन दोनों ने बागी होकर लोकसभा चुनाव में भाजपा का साथ दिया था। ऐसी सूरत में विपक्ष के एकजुट होने पर भी उनके पास भाजपा के 43 के मुकाबले 42 ही विधायक रह जाएंगे।
हिसार में किडनी में बाईपास-सर्जरी करने वाले ने खोला अस्पताल:डॉ. सिंगला को नेग्लिजेंस बोर्ड ने दोषी ठहराया, ऑपरेशन के दौरान यूरिन ब्लैडर डैमेज किया
हिसार में किडनी में बाईपास-सर्जरी करने वाले ने खोला अस्पताल:डॉ. सिंगला को नेग्लिजेंस बोर्ड ने दोषी ठहराया, ऑपरेशन के दौरान यूरिन ब्लैडर डैमेज किया हरियाणा में हिसार के डॉक्टर यशपाल सिंगला पर शिकंजा कस गया है। हरियाणा के मेडिकल नेग्लिजेंस बोर्ड ने अपनी रिपोर्ट में माना है कि डॉक्टर यशपाल ने इलाज के दौरान चिकित्सकीय लापरवाही की है। यह रिपोर्ट रोहतक पीजीआई के यूरोलॉजी विभाग के यूरोलॉजिस्ट डॉ. वीएस राठी की देखरेख में तैयार की गई है। हैरान करने वाली बात यह है कि गलत इलाज करने वाले डॉक्टर यशपाल सिंगला ने अपना निजी अस्पताल खोल रखा है। डॉ. यशपाल ने सेक्टर 9-11 में माययाश नाम से अस्पताल खोला है। आपको बता दें कि साल 2018 में चरखी दादरी के अटेला गांव निवासी भूपेंद्र की शिकायत पर गीतांजलि अस्पताल हिसार के संचालक और सर्जन डॉ. यशपाल सिंगला के खिलाफ केस दर्ज हुआ था। डॉक्टर यशपाल पर मरीज की जान खतरे में डालने और गलत ऑपरेशन करने का आरोप है। फिलहाल पुलिस पूरे मामले की जांच कर रही है। इन डॉक्टरों ने की थी जांच नेग्लिजेंसी बोर्ड में हिसार सिविल अस्पताल के डॉ. राजीव डाबला, फिजिशियन डॉ. अजीत सिंह, आईएमए अध्यक्ष डॉ. जेपी नलवा, सिविल अस्पताल के जनरल सर्जन डॉ. विनोद, एनआईएमए अध्यक्ष डॉ. अशोक यादव समेत कुल 5 सदस्य शामिल थे। किडनी दिखाने आया था, बाईपास सर्जरी कर दी दरअसल, चरखी दादरी निवासी भूपेंद्र ने 2019 में हिसार सीएमओ को शिकायत की थी। शिकायत में कहा गया था कि मेरी बाईं किडनी में दर्द था। मैं डॉ. कमल किशोर की ओपीडी में भी गया था। यहां मेरे टेस्ट हुए। रिपोर्ट मिलने पर डॉ. कमल किशोर ने मुझे सर्जन डॉ. यशपाल के पास भेजा। इसके बाद डॉ. यशपाल ने सलाह दी कि आपकी हालत गंभीर है और आपको बाईपास सर्जरी करानी पड़ेगी। भूपेंद्र ने बताया कि जब उसका ऑपरेशन हुआ तो ऑपरेशन थियेटर में डॉ. यशपाल सिंगला ने मेरे साथ बदसलूकी की। ओटी रूम में ही उनका फोन बार-बार बज रहा था। ऑपरेशन करते समय मेरा यूरिन ब्लैडर डैमेज हो गया था। उन्होंने स्टेंट को वहीं छोड़ दिया। इसके बाद ब्लीडिंग शुरू हो गई। डॉक्टर लगातार खून चढ़ाते रहे और मुझे ब्लीडिंग होती रही। फिर ब्लीडिंग बंद हो गई क्योंकि खून का थक्का बन गया था। उसके बाद डॉ. कमल किशोर ने कहा कि आपका केस ज्यादा क्रिटिकल हो गया है और आपको गुरुग्राम या दिल्ली ले जाना पड़ेगा। गुरुग्राम में डॉक्टर ने बताया- केस बिगाड़ा
इसके बाद वह गुरुग्राम के मेदांता अस्पताल में इलाज कराने गया। मेरा केस देखते ही मेदांता के डॉक्टर राकेश ने कहा कि आपका केस तो बिगाड़ दिया गया है। डॉक्टर राकेश ने डॉ. यशपाल से बात कर कहा कि आपने मरीज की जान जोखिम में डाल दी। डॉ. राकेश ने ऑपरेशन कर करीब एक बाल्टी मेरे पेट से खून की गांठ की निकालीं। जब मेरा ऑपरेशन हुआ तो मैं बेरोजगार था। इलाज में करीब 20 लाख रुपए खर्च हो गए। इलाज में उसकी जमीन जायदाद सब बिक गए। इस पर प्रकार लड़ी लड़ाई
भूपेंद्र ने बताया कि मेरे इलाज में लापरवाही बरती गई। 2019 में उसने हिसार में सिविल सर्जन ऑफिस में शिकायत दी। सिविल सर्जन की जांच में सामने आया कि मेडिकल नेग्लिजेंसी हुई है। इसके बाद सिविल सर्जन ने रोहतक PGI को जांच के लिए लिखा। वहां के डॉक्टरों ने जांच की तो उन्होंने भी रिपोर्ट में माना की मेडिकल नेग्लिजेंसी हुई है। भूपेंद्र ने आगे बताया कि गीतांजली अस्पताल से अपनी मेडिकल हिस्ट्री लेने के लिए सीएम विंडो और बाद में RTI लगाई। इसके बाद उसे जाकर अपनी रिपोर्ट मिली। इसके बाद हिसार CMO ने हिसार SP को डॉक्टरों पर कार्रवाई करने के बारे में पत्र लिख गया। जिसके बाद 6 बाद डॉक्टरों पर कार्रवाई हुई है।