हरियाणा के तीन जिलों- नूंह, झज्जर और हांसी में अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी नागरिकों के खिलाफ पुलिस ने बड़े पैमाने पर कार्रवाई की है। नूंह में पुलिस ने दो दौर की छापेमारी में 125 बांग्लादेशियों को पकड़ा, जो बिना वैध दस्तावेजों के ईंट भट्टों पर मजदूरी कर रहे थे। झज्जर जिले के भदानी गांव में एक निजी ईंट भट्ठे से 47 बांग्लादेशी नागरिकों को हिरासत में लिया गया, जिनमें महिलाएं और बच्चे शामिल हैं। वहीं हांसी में पुलिस ने हांसी-तोशाम रोड स्थित कोहिनूर ईंट भट्ठे से 26 बांग्लादेशी नागरिकों को पकड़ा है, जबकि 12 मई को भी इसी इलाके से 39 को हिरासत में लिया गया था। तीनों जिलों में पकड़े गए सभी लोग अवैध रूप से भारत में प्रवेश कर लंबे समय से काम कर रहे थे और विभिन्न ईंट भट्ठों पर मजदूरी कर रहे थे। पुलिस ने फिलहाल सभी को पुलिस लाइन में रखा है। सभी के खिलाफ अब विदेशी अधिनियम के तहत कार्रवाई की जा रही है। नूंह पुलिस लाइन में 125 बांग्लादेशी शनिवार सुबह पुलिस ने नूंह में 23 बांग्लादेशी नागरिकों को गिरफ्तार किया, जबकि देर शाम पुलिस ने 100 से अधिक बांग्लादेशी नागरिकों को गिरफ्तार किया। इनमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं। ये सभी अवैध तरीके से सीमा पार कर बिना दस्तावेजों के भारत में दाखिल हुए थे। फिलहाल पुलिस कार्रवाई में जुटी हुई है। गांव टाइन में ईंट भट्ठे पर कुछ बांग्लादेशी नागरिक काम कर रहे थे। इसी दौरान पुलिस मौके पर पहुंची और सभी को पकड़ लिया। खुफिया विभाग के अनुसार पुलिस द्वारा पकड़े गए बांग्लादेशी नागरिकों की संख्या 100 से 104 है। इनमें बच्चे और महिलाएं भी शामिल हैं। ये सभी करीब 4 दिन पहले रेवाड़ी और सोनीपत से यहां काम करने आए थे। फिलहाल पुलिस ने सभी को पुलिस लाइन में रखा है, और आगे की कार्रवाई में जुटी हुई है। पुलिस द्वारा यह कार्रवाई शुक्रवार देर रात गुप्त सूचना के आधार पर की गई, जिसमें गांव बजडाका के बिहारी ईंट भट्ठे से पकड़े गए सभी लोग बिना वैध दस्तावेजों के जिले में रह रहे थे। पुलिस के अनुसार इन बांग्लादेशी नागरिकों के खिलाफ नियमानुसार कार्रवाई शुरू कर दी गई है। इनके दस्तावेजों की जांच की जा रही है और पता लगाया जा रहा है कि ये लोग कब और कैसे अवैध रूप से भारत में घुसे। नूंह पुलिस प्रवक्ता ने यह भी बताया कि जिले में अवैध घुसपैठियों के खिलाफ इस तरह की कार्रवाई भविष्य में भी जारी रहेगी। पुलिस ने स्थानीय ईंट भट्ठा मालिकों और अन्य कारोबारियों से अपील की है कि वे अपने कर्मचारियों का पुलिस सत्यापन अनिवार्य रूप से करवाएं। भट्ठा संचालक ने इनके लिए झुग्गियां बनवाईं बिहार के ईंट भट्ठा अकाउंटेंट संजय ने बताया कि करीब एक सप्ताह पहले बांग्लादेशी मजदूर यहां काम करने आए थे। हमें बताया गया कि हम बंगाली मजदूर हैं। मजदूरी के बदले हमें 80 हजार रुपए एडवांस भी दिए गए। शुक्रवार को जब पुलिस भट्ठे पर आई तो पता चला कि ये बांग्लादेशी हैं। ये सभी कई साल पहले अवैध तरीके से सीमा पार कर भारत में घुसे थे। भट्ठा संचालक ने इनके लिए झुग्गियां भी बनवाईं। अकाउंटेंट संजय का दावा है कि ये बांग्लादेशी हरियाणा समेत मेवात के सभी भट्ठों पर काम करते हैं। झज्जर में 47 बांग्लादेशी पकड़े झज्जर जिले में भी पुलिस ने अवैध रूप से रह रहे 47 बांग्लादेशी नागरिकों को पकड़ा है, जो भदानी गांव के एक निजी ईंट भट्ठे पर काम कर रहे थे। इनमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं। पुलिस ने सभी को हिरासत में लेकर पुलिस लाइन में रखा है और उनकी वेरिफिकेशन की जा रही है। प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि ये लोग बिना वैध दस्तावेजों के भारत में रह रहे थे। पुलिस यह भी पता लगाने में जुटी है कि ये किस रास्ते से भारत में दाखिल हुए और झज्जर तक कैसे पहुंचे। पुलिस का कहना है कि वेरिफिकेशन के बाद इनके खिलाफ आगे की कानूनी कार्रवाई की जाएगी। हांसी में 26 और बांग्लादेशी गिरफ्तार हांसी पुलिस ने एक सप्ताह के अंदर एक बार फिर अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी लोगों को गिरफ्तार किया है। शनिवार को पुलिस ने हांसी-तोशाम रोड स्थित एक ईंट भट्ठे से 26 बांग्लादेशी नागरिकों को गिरफ्तार किया। इससे पहले 12 मई को हांसी पुलिस ने हांसी-तोशाम रोड स्थित एक ईंट भट्ठे से 39 बांग्लादेशी नागरिकों को गिरफ्तार किया था। पुलिस की टीमें लगातार अवैध रूप से रह रहे दूसरे देशों के नागरिकों की तलाश में तलाशी अभियान चला रही हैं। जिसके तहत पुलिस को एक और बड़ी सफलता मिली है। आज गिरफ्तार किए गए लोगों में 8 पुरुष, 5 महिलाएं और 13 बच्चे शामिल हैं। ये सभी पांच दिन पहले ढाणी शंकरी रोड के पास स्थित कोहिनूर ईंट भट्ठे पर आए थे। पुलिस जांच कर रही है कि ये लोग किस राज्य से यहां आए हैं। अब पुलिस ऐसे ईंट भट्ठा मालिकों के खिलाफ भी कार्रवाई करने की योजना बना रही है जो बिना दस्तावेजों की जांच किए ऐसे लोगों को मजदूर के तौर पर काम पर रख रहे हैं। हरियाणा के तीन जिलों- नूंह, झज्जर और हांसी में अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी नागरिकों के खिलाफ पुलिस ने बड़े पैमाने पर कार्रवाई की है। नूंह में पुलिस ने दो दौर की छापेमारी में 125 बांग्लादेशियों को पकड़ा, जो बिना वैध दस्तावेजों के ईंट भट्टों पर मजदूरी कर रहे थे। झज्जर जिले के भदानी गांव में एक निजी ईंट भट्ठे से 47 बांग्लादेशी नागरिकों को हिरासत में लिया गया, जिनमें महिलाएं और बच्चे शामिल हैं। वहीं हांसी में पुलिस ने हांसी-तोशाम रोड स्थित कोहिनूर ईंट भट्ठे से 26 बांग्लादेशी नागरिकों को पकड़ा है, जबकि 12 मई को भी इसी इलाके से 39 को हिरासत में लिया गया था। तीनों जिलों में पकड़े गए सभी लोग अवैध रूप से भारत में प्रवेश कर लंबे समय से काम कर रहे थे और विभिन्न ईंट भट्ठों पर मजदूरी कर रहे थे। पुलिस ने फिलहाल सभी को पुलिस लाइन में रखा है। सभी के खिलाफ अब विदेशी अधिनियम के तहत कार्रवाई की जा रही है। नूंह पुलिस लाइन में 125 बांग्लादेशी शनिवार सुबह पुलिस ने नूंह में 23 बांग्लादेशी नागरिकों को गिरफ्तार किया, जबकि देर शाम पुलिस ने 100 से अधिक बांग्लादेशी नागरिकों को गिरफ्तार किया। इनमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं। ये सभी अवैध तरीके से सीमा पार कर बिना दस्तावेजों के भारत में दाखिल हुए थे। फिलहाल पुलिस कार्रवाई में जुटी हुई है। गांव टाइन में ईंट भट्ठे पर कुछ बांग्लादेशी नागरिक काम कर रहे थे। इसी दौरान पुलिस मौके पर पहुंची और सभी को पकड़ लिया। खुफिया विभाग के अनुसार पुलिस द्वारा पकड़े गए बांग्लादेशी नागरिकों की संख्या 100 से 104 है। इनमें बच्चे और महिलाएं भी शामिल हैं। ये सभी करीब 4 दिन पहले रेवाड़ी और सोनीपत से यहां काम करने आए थे। फिलहाल पुलिस ने सभी को पुलिस लाइन में रखा है, और आगे की कार्रवाई में जुटी हुई है। पुलिस द्वारा यह कार्रवाई शुक्रवार देर रात गुप्त सूचना के आधार पर की गई, जिसमें गांव बजडाका के बिहारी ईंट भट्ठे से पकड़े गए सभी लोग बिना वैध दस्तावेजों के जिले में रह रहे थे। पुलिस के अनुसार इन बांग्लादेशी नागरिकों के खिलाफ नियमानुसार कार्रवाई शुरू कर दी गई है। इनके दस्तावेजों की जांच की जा रही है और पता लगाया जा रहा है कि ये लोग कब और कैसे अवैध रूप से भारत में घुसे। नूंह पुलिस प्रवक्ता ने यह भी बताया कि जिले में अवैध घुसपैठियों के खिलाफ इस तरह की कार्रवाई भविष्य में भी जारी रहेगी। पुलिस ने स्थानीय ईंट भट्ठा मालिकों और अन्य कारोबारियों से अपील की है कि वे अपने कर्मचारियों का पुलिस सत्यापन अनिवार्य रूप से करवाएं। भट्ठा संचालक ने इनके लिए झुग्गियां बनवाईं बिहार के ईंट भट्ठा अकाउंटेंट संजय ने बताया कि करीब एक सप्ताह पहले बांग्लादेशी मजदूर यहां काम करने आए थे। हमें बताया गया कि हम बंगाली मजदूर हैं। मजदूरी के बदले हमें 80 हजार रुपए एडवांस भी दिए गए। शुक्रवार को जब पुलिस भट्ठे पर आई तो पता चला कि ये बांग्लादेशी हैं। ये सभी कई साल पहले अवैध तरीके से सीमा पार कर भारत में घुसे थे। भट्ठा संचालक ने इनके लिए झुग्गियां भी बनवाईं। अकाउंटेंट संजय का दावा है कि ये बांग्लादेशी हरियाणा समेत मेवात के सभी भट्ठों पर काम करते हैं। झज्जर में 47 बांग्लादेशी पकड़े झज्जर जिले में भी पुलिस ने अवैध रूप से रह रहे 47 बांग्लादेशी नागरिकों को पकड़ा है, जो भदानी गांव के एक निजी ईंट भट्ठे पर काम कर रहे थे। इनमें महिलाएं और बच्चे भी शामिल हैं। पुलिस ने सभी को हिरासत में लेकर पुलिस लाइन में रखा है और उनकी वेरिफिकेशन की जा रही है। प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि ये लोग बिना वैध दस्तावेजों के भारत में रह रहे थे। पुलिस यह भी पता लगाने में जुटी है कि ये किस रास्ते से भारत में दाखिल हुए और झज्जर तक कैसे पहुंचे। पुलिस का कहना है कि वेरिफिकेशन के बाद इनके खिलाफ आगे की कानूनी कार्रवाई की जाएगी। हांसी में 26 और बांग्लादेशी गिरफ्तार हांसी पुलिस ने एक सप्ताह के अंदर एक बार फिर अवैध रूप से रह रहे बांग्लादेशी लोगों को गिरफ्तार किया है। शनिवार को पुलिस ने हांसी-तोशाम रोड स्थित एक ईंट भट्ठे से 26 बांग्लादेशी नागरिकों को गिरफ्तार किया। इससे पहले 12 मई को हांसी पुलिस ने हांसी-तोशाम रोड स्थित एक ईंट भट्ठे से 39 बांग्लादेशी नागरिकों को गिरफ्तार किया था। पुलिस की टीमें लगातार अवैध रूप से रह रहे दूसरे देशों के नागरिकों की तलाश में तलाशी अभियान चला रही हैं। जिसके तहत पुलिस को एक और बड़ी सफलता मिली है। आज गिरफ्तार किए गए लोगों में 8 पुरुष, 5 महिलाएं और 13 बच्चे शामिल हैं। ये सभी पांच दिन पहले ढाणी शंकरी रोड के पास स्थित कोहिनूर ईंट भट्ठे पर आए थे। पुलिस जांच कर रही है कि ये लोग किस राज्य से यहां आए हैं। अब पुलिस ऐसे ईंट भट्ठा मालिकों के खिलाफ भी कार्रवाई करने की योजना बना रही है जो बिना दस्तावेजों की जांच किए ऐसे लोगों को मजदूर के तौर पर काम पर रख रहे हैं। हरियाणा | दैनिक भास्कर
