हरियाणा में 8 जिलों के लिए मौसम विभाग ने खराब मौसम का अलर्ट जारी किया है। इनमें यमुनानगर, करनाल, पानीपत, सोनीपत, गुरुग्राम, फरीदाबाद, पलवल और नूंह शामिल हैं। मौसम विभाग का मानना है कि यहां हल्की से मध्यम बारिश आ सकती है। बादल छाए रहने से दिन के तापमान में हल्की गिरावट देखने को मिल सकती है। पिछले 24 घंटे में सबसे ज्यादा बारिश कुरुक्षेत्र में दर्ज की गई, यहां 15.0 एमएम बारिश रिकॉर्ड हुई। अब तक प्रदेश के 6 जिलों में सामान्य से कम बारिश हुई है। 17-18 सितंबर को भी प्रदेश में मौसम खराब रह सकता है। 18 सितंबर को महेंद्रगढ़, रेवाड़ी, गुरुग्राम, फरीदाबाद, नूंह और पलवल में हैवी रेन का अलर्ट जारी किया गया है। मानसून सीजन में अब तक 390.4 MM बारिश प्रदेशभर में मानसून की सक्रियता के चलते पिछले 24 घंटे में 15.9 मिलीमीटर बारिश हुई है। मानसून सीजन में अब तक 390.4 मिलीमीटर बारिश हो चुकी है, जो सामान्य 401.1 मिलीमीटर से महज 3 फीसदी ही कम है। जुलाई में इस बार 5 सालों में सबसे कम बारिश हुई है। 2018 में 549 मिमी बारिश हुई थी। 2019 में 244.8, 2020 में 440.6, 2021 में 668.1, 2022 में 472, 2023 में 390 और 2024 में सिर्फ 97.9 एमएम बारिश रिकॉर्ड की गई है। कम बारिश होने के कारण सूबे के धान पैदावार करने वाले किसानों को काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है। उन्हें ट्यूबवेल से सिंचाई करनी पड़ रही है। 19 सितंबर तक परिवर्तनशील रहेगा मौसम हरियाणा एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी (HAU) के कृषि मौसम विज्ञान विभाग के अध्यक्ष डॉ. मदन लाल खीचड़ ने बताया कि हरियाणा में 19 सितंबर तक मौसम आमतौर पर परिवर्तनशील रहने की संभावना है। इस दौरान मानसूनी हवाओं की सक्रियता बढ़ने की संभावना है, जिसके चलते प्रदेश के अधिकांश जिलों में रुक-रुक कर तेज हवाएं चलने तथा गरज के साथ छींटे पड़ने के साथ कुछ स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना है। इससे दिन के तापमान में हल्की गिरावट तथा वातावरण में नमी की मात्रा में वृद्धि होने की भी संभावना है। 4 दिन में 5 की हो चुकी मौत हरियाणा में करनाल के नीलोखेड़ी में 13 सितंबर को पॉलिटेक्निक के नजदीक बारिश के कारण एक पेड़ कार पर गिर गया। हादसे में कार में बैठी देवरानी-जेठानी की मौत हो गई। वहीं फरीदाबाद के ओल्ड फरीदाबाद रेलवे अंडर ब्रिज के नीचे भरे बरसाती पानी में 14 सितंबर को महिंद्रा XUV700 गाड़ी डूब गई। उसमें बैठे एचडीएफसी के बैंक मैनेजर और कैशियर की दर्दनाक मौत हो गई। फरीदाबाद की संजय कॉलोनी में एक महिला की 14 सितंबर को करंट लगने से मौके पर ही मौत हो गई। सुमित्रा (58) संजय कॉलोनी में रहती थी। सुमित्रा के पति नरेश ने एटीएम संचालक कंपनी पर केस दर्ज कराया है। हरियाणा में 8 जिलों के लिए मौसम विभाग ने खराब मौसम का अलर्ट जारी किया है। इनमें यमुनानगर, करनाल, पानीपत, सोनीपत, गुरुग्राम, फरीदाबाद, पलवल और नूंह शामिल हैं। मौसम विभाग का मानना है कि यहां हल्की से मध्यम बारिश आ सकती है। बादल छाए रहने से दिन के तापमान में हल्की गिरावट देखने को मिल सकती है। पिछले 24 घंटे में सबसे ज्यादा बारिश कुरुक्षेत्र में दर्ज की गई, यहां 15.0 एमएम बारिश रिकॉर्ड हुई। अब तक प्रदेश के 6 जिलों में सामान्य से कम बारिश हुई है। 17-18 सितंबर को भी प्रदेश में मौसम खराब रह सकता है। 18 सितंबर को महेंद्रगढ़, रेवाड़ी, गुरुग्राम, फरीदाबाद, नूंह और पलवल में हैवी रेन का अलर्ट जारी किया गया है। मानसून सीजन में अब तक 390.4 MM बारिश प्रदेशभर में मानसून की सक्रियता के चलते पिछले 24 घंटे में 15.9 मिलीमीटर बारिश हुई है। मानसून सीजन में अब तक 390.4 मिलीमीटर बारिश हो चुकी है, जो सामान्य 401.1 मिलीमीटर से महज 3 फीसदी ही कम है। जुलाई में इस बार 5 सालों में सबसे कम बारिश हुई है। 2018 में 549 मिमी बारिश हुई थी। 2019 में 244.8, 2020 में 440.6, 2021 में 668.1, 2022 में 472, 2023 में 390 और 2024 में सिर्फ 97.9 एमएम बारिश रिकॉर्ड की गई है। कम बारिश होने के कारण सूबे के धान पैदावार करने वाले किसानों को काफी नुकसान उठाना पड़ रहा है। उन्हें ट्यूबवेल से सिंचाई करनी पड़ रही है। 19 सितंबर तक परिवर्तनशील रहेगा मौसम हरियाणा एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी (HAU) के कृषि मौसम विज्ञान विभाग के अध्यक्ष डॉ. मदन लाल खीचड़ ने बताया कि हरियाणा में 19 सितंबर तक मौसम आमतौर पर परिवर्तनशील रहने की संभावना है। इस दौरान मानसूनी हवाओं की सक्रियता बढ़ने की संभावना है, जिसके चलते प्रदेश के अधिकांश जिलों में रुक-रुक कर तेज हवाएं चलने तथा गरज के साथ छींटे पड़ने के साथ कुछ स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना है। इससे दिन के तापमान में हल्की गिरावट तथा वातावरण में नमी की मात्रा में वृद्धि होने की भी संभावना है। 4 दिन में 5 की हो चुकी मौत हरियाणा में करनाल के नीलोखेड़ी में 13 सितंबर को पॉलिटेक्निक के नजदीक बारिश के कारण एक पेड़ कार पर गिर गया। हादसे में कार में बैठी देवरानी-जेठानी की मौत हो गई। वहीं फरीदाबाद के ओल्ड फरीदाबाद रेलवे अंडर ब्रिज के नीचे भरे बरसाती पानी में 14 सितंबर को महिंद्रा XUV700 गाड़ी डूब गई। उसमें बैठे एचडीएफसी के बैंक मैनेजर और कैशियर की दर्दनाक मौत हो गई। फरीदाबाद की संजय कॉलोनी में एक महिला की 14 सितंबर को करंट लगने से मौके पर ही मौत हो गई। सुमित्रा (58) संजय कॉलोनी में रहती थी। सुमित्रा के पति नरेश ने एटीएम संचालक कंपनी पर केस दर्ज कराया है। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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किसान दिल्ली कूच करेंगे या नहीं, फैसला 16 जुलाई को:HC ने कहा- हरियाणा सरकार एक हफ्ते में शंभू बॉर्डर खोले; किसी को रोक नहीं सकते
किसान दिल्ली कूच करेंगे या नहीं, फैसला 16 जुलाई को:HC ने कहा- हरियाणा सरकार एक हफ्ते में शंभू बॉर्डर खोले; किसी को रोक नहीं सकते पंजाब और हरियाणा के अंबाला व पटियाला के बीच बने शंभू बॉर्डर पर 5 महीने से बैठे किसान दिल्ली कूच करेंगे या नहीं, इसको लेकर फैसला 16 जुलाई को होगा। आंदोलन की अगुआई कर रहे किसान मजदूर मोर्चा के सरवण सिंह पंधेर ने कहा- हरियाणा सरकार बैरिकेड हटाती है तो हमारी तरफ से भी रास्ता बंद नहीं होगा। दिल्ली जाने को लेकर फैसले के लिए 16 को मीटिंग बुलाई गई है। बता दें कि बुधवार को पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट ने हरियाणा सरकार को एक हफ्ते में शंभू बॉर्डर पर की गई बैरिकेडिंग हटाने को कहा। हाईकोर्ट ने कहा कि किसानों की मांगें केंद्र सरकार से हैं। शंभू बॉर्डर पर स्थिति शांतिपूर्ण है। उन्हें दिल्ली जाने की छूट देनी चाहिए। हालांकि हाईकोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया कि शंभू बॉर्डर खोलने से अगर कोई स्थिति बिगड़ती है तो लॉ एंड ऑर्डर मेंटेन करने के लिए हरियाणा सरकार कार्रवाई को लेकर स्वतंत्र है। हाईकोर्ट ने यह भी कहा कि हम लोकतंत्र में रह रहे हैं। किसानों को हरियाणा में घुसने से नहीं रोक सकते। उन्हें घेराव करने दें। यह प्रतिक्रिया तब आई, जब हरियाणा सरकार के वकील ने कहा कि बॉर्डर पर 400-450 प्रदर्शनकारी हैं। अगर बॉर्डर खोला तो वे अंबाला एसपी का कार्यालय घेर सकते हैं। इस पर हाईकोर्ट ने कहा कि वर्दीधारी लोगों को इससे डरना नहीं चाहिए। शुभकरण की मौत की जांच के लिए SIT बनाई
वहीं खनौरी बॉर्डर पर किसान शुभकरण की मौत के मामले में हाईकोर्ट में बड़ा खुलासा हुआ। हाईकोर्ट ने किसान यूनियनों को कहा कि FSL रिपोर्ट के मुताबिक शुभकरण की मौत शॉट गन से हुई है। पुलिस शॉट गन का इस्तेमाल नहीं करती। ऐसा लगता है कि गोली किसानों की तरफ से चलाई गई हो। हाईकोर्ट ने कहा कि उस दिन की फुटेज चैक की जानी चाहिए ताकि पता चल सके कि शॉटगन किसके पास थी। हरियाणा सरकार के वकील दीपक सब्बरवाल ने इसकी पुष्टि की। उन्होंने कहा कि पुलिस कमिश्नर झज्जर सतीश बालन की अगुआई में किसान शुभकरन की मौत की जांच को लेकर एसआईटी बनाई गई है। हरियाणा सरकार ने हाईकोर्ट में यह भी तर्क दिया कि किसानों ने स्पेशल फोर्स बना रखी थी। हाईकोर्ट में दायर याचिका में यह दिए थे तर्क 1. भुखमरी की कगार पर आए दुकानदार
पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट के एडवोकेट वासु रंजन शांडिल्य ने आज पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट में शंभू बॉर्डर खुलवाने को लेकर हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की गई थी। वासु रंजन शांडिल्य ने दायर जनहित याचिका में बताया कि 5 महीने से नेशनल हाईवे 44 बंद पड़ा है। अंबाला के दुकानदार, व्यापारी, छोटे बड़े रेहड़ी फड़ी वाले भुखमरी के कगार पर आ गए हैं। 2. सरकारी बसों का रूट डायवर्ट, तेल खर्च बढ़ा, मरीजों को दिक्कत
वासु रंजन शांडिल्य ने याचिका में पंजाब व हरियाणा सरकार सहित किसान नेता स्वर्ण सिंह पंढेर व जगजीत सिंह डल्लेवाल को भी पार्टी बनाया है। याचिका में हाईकोर्ट को बताया कि शंभू बॉर्डर बंद होने के कारण सरकारी बसों को रूट डायवर्ट किया हुआ है, जिससे तेल का खर्च बढ़ रहा है। अंबाला व शंभू के आसपास के मरीज बॉर्डर बंद होने के कारण दिक्कत में है। एंबुलेंस के लिए भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। 3. वकीलों को भी आने-जाने में दिक्कत हो रही
वहीं वासु रंजन ने कहा कि हरियाणा पंजाब के वकीलों को भी अंबाला से पटियाला व पटियाला वालों को अंबाला की अदालतों में आने में भारी दिक्कतें हो रही है। उन्होंने बताया कि फरवरी 2024 से गैर कानूनी तरीके से संविधान का उल्लंघन कर राष्ट्रीय हाईवे को बंद किया हुआ है। 4. किसानों ने अस्थायी घर बना लिए
शंभू बॉर्डर के आसपास किसानों ने अस्थाई घर बना लिए हैं, ऐसा लगता है कि जैसे अब शंभू बॉर्डर कभी खुलेगा ही नहीं अनिश्चित काल के लिए बंद हो गया है। वासु रंजन ने दायर जनहित याचिका में कहा कि तुरंत हाईकोर्ट केंद्र व दोनों राज्य सरकारों को रास्ता खोलने के आदेश दें। 5. रोड बंद करना मौलिक अधिकारों का हनन
वासु रंजन ने कहा था कि रास्ता किसके कारण ओर क्यों बंद है इस पर निर्णय हाईकोर्ट करेगा, लेकिन चाहे हरियाणा सरकार हो या पंजाब सरकार हो या केंद्र रोड को बंद करना जनता के मौलिक अधिकारों का हनन है। जबकि फरवरी 2024 से शंभू बॉर्डर बंद पड़ा है जिस कारण अंबाला जिला व पटियाला जिला का छोटा बड़ा काम बंद हो चुका है। हाईवे पंजाब हिमाचल, जम्मू कश्मीर को जोड़ता है इसके बंद होने से न केवल सरकारों को नुकसान हो रहा है बल्कि आम आदमी तो बिना मतलब से भुखमरी के कगार पर आ गया है। 13 फरवरी से चल रहा है आंदोलन
संयुक्त किसान मोर्चा (गैर राजनीतिक) एवं किसान-मजदूर मोर्चा के आह्वान पर 13 फरवरी से किसान आंदोलन चल रहा है। किसान मांगों को लेकर ट्रैक्टर-ट्रॉलियों पर दिल्ली कूच के लिए निकले थे, लेकिन उन्हें शंभू बॉर्डर पर पुलिस ने रोक लिया। यहां पुलिस और किसानों के बीच टकराव भी हुआ था। किसानों के आगे बढ़ने पर उन पर पुलिस की तरफ से आंसू गैस के गोले दागे गए। यही स्थित खनौरी बॉर्डर पर भी देखने को मिली थी। किसानों के साथ पुलिस कर्मचारी भी घायल हुए थे। खनौरी बॉर्डर पर युवा किसान शुभकरण की मौत हो गई थी। NHAI को 108 करोड़ से अधिक का नुकसान
शंभू बॉर्डर पर किसानों के आंदोलन के कारण नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) को 108 करोड़ रुपए से ज्यादा का नुकसान हो चुका है। 13 फरवरी को शंभू टोल प्लाजा को बंद किया गया था। तब से अभी तक हाईवे शुरू नहीं हो सका है।
अंबाला में व्यक्ति से 23.50 लाख की ठगी:ऑनलाइन ट्रेडिंग में अच्छा मुनाफा कमाने का दिया लालच, फेसबुक से मिला था लिंक
अंबाला में व्यक्ति से 23.50 लाख की ठगी:ऑनलाइन ट्रेडिंग में अच्छा मुनाफा कमाने का दिया लालच, फेसबुक से मिला था लिंक हरियाणा में ऑनलाइन ट्रेडिंग कराने के नाम पर व्यक्ति से 23.50 लाख रुपए हड़प लिए। पीड़ित ने फेसबुक के जरिए लिंक पर क्लिक किया था। उसके बाद वॉट्सऐप ग्रुप में जुड़ा था। यहां, अच्छे पैसे कमाने का लालच देकर धोखाधड़ी की गई। साइबर थाने की पुलिस ने अज्ञात ठगों के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। अंबाला कैंट के गणेश विहार निवासी हरप्रीत सिंह ने साइबर थाने पुलिस को शिकायत सौंपी है। हरप्रीत ने बताया कि 10 मई को उसके पास फेसबुक पर एक लिंक मिला। उसने लिंक ओपन किया तो एक वॉट्सऐप ग्रुप से जुड़ गया। इस ग्रुपएमडी एक सी सिक्योटिज-23 के नाम से था। ग्रुप में एक धीरज रेली नाम का व्यक्ति जो खुद को HDFC सिक्योरिटिज का इंटर्नल विभाग का मुखिया बता रहा था। IPO के माध्यम से दिया पैसे कमाने का लालच शातिर ठग ने मैसेज के जरिए लोगों को अपयर सर्किट ट्रेडिंग, ब्लॉक ट्रेडिंग व IPO के माध्यम से ज्यादा से ज्यादा पैसे कमाने का लालच दिया। उस ग्रुप में 180 लोग जुड़े हुए थे। इसमें शिवानी राजपूत नाम की एक लड़की ट्रेडिंग के बारे में पूरी जानकारी देती थी। आरोपी HDFC सिक्योरटिज की ऐप डाउनलोड करा उसके माध्यम उसे ट्रेडिंग कराते थे। उसने 12 जून के बाद से अंकित नाम के युवक के अलग-अलग खातों में 25 हजार, 1 लाख, 1.75 लाख, 7 लाख, 25 हजार, 2.50 लाख, 3.50 लाख, 4.45 लाख व 3.95 लाख और 1.15 लाख रुपए ट्रांसफर किए। उसने कुल 23.50 लाख रुपए ट्रांसफर किए। उसकी ऐप में 1.40 करोड़ रुपए दिखाई दिए। जब उसने 8 लाख रुपए निकालने की कोशिश की तो उसे फ्रॉड का पता चला। पुलिस ने अब शिकायत के आधार पर अज्ञात के खिलाफ धारा 406,419 व 420 के तहत केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
हरियाणा के पूर्व CM हुड्डा को बागियों से आस:2019 में टिकट नहीं मिलने पर कांग्रेस का साथ छोड़ गए थे, अब फिर सक्रिय
हरियाणा के पूर्व CM हुड्डा को बागियों से आस:2019 में टिकट नहीं मिलने पर कांग्रेस का साथ छोड़ गए थे, अब फिर सक्रिय हरियाणा कांग्रेस के पूर्व CM भूपेंद्र सिंह हुड्डा को हरियाणा में विधानसभा चुनाव जीतने के लिए बागियों से आस हैं। कांग्रेस का टिकट नहीं मिलने के कारण पार्टी उम्मीदवार के सामने ही चुनाव लड़ने वाले और दूसरी पार्टियों में शामिल नेता एक बार फिर कांग्रेस में एंट्री कर सक्रिय हो गए हैं। यह नेता इन दिनों कांग्रेस के पूर्व CM हुड्डा के साथ नजर आ रहे हैं। हुड्डा भी इनको पूरा भाव दे रहे हैं और मंच से लेकर प्रेस कान्फ्रेंस तक यह नेता भूपेंद्र हुड्डा के साथ नजर आ रहे हैं।
हिसार में रविवार को नलवा हलके में हुए प्रदेश स्तरीय गुरु दक्ष प्रजापति सम्मेलन में हुड्डा को ऐसे ही नेता घेरे रहे। इसमें नलवा से पूर्व विधायक प्रो. संपत सिंह, बरवाला के पूर्व विधायक राम निवास घोड़ेला, नारनौंद से पूर्व विधायक प्रो. रामभगत शर्मा, सांसद जयप्रकाश जेपी और पूर्व विधायक कुलबीर बैनीवाल शामिल हैं। यह नेता एक बार फिर अपने-अपने विधानसभा से टिकट पाने की जुगत में हैं। ऐसे में पार्टी के लिए ग्राउंड स्तर पर मेहनत कर रहे वर्करों को निराशा हाथ लग रही है। 2019 में कांग्रेस में मची थी भगदड़
बता दें कि विधानसभा चुनाव में टिकट नहीं मिलने से कई नेता पार्टी का साथ छोड़ गए थे। हरियाणा में कांग्रेस 90 विधानसभा सीटों में से महज 30 सीटें ही जीत पाई थी। कांग्रेस से टिकट नहीं मिलने के कारण नेता बागी हो गए थे और निर्दलीय की कांग्रेस उम्मीदवार के सामने खड़े हो गए थे। इसके अलावा कुछ नेता भाजपा में शामिल हो गए मगर वहां भी टिकट नहीं मिल पाया। मगर 2024 का चुनाव आते-आते यह नेता एक बार फिर कांग्रेस में शामिल हो गए हैं। इसमें अंबाला के निर्मल सिंह और उनकी बेटी चित्रा सरवारा शामिल हैं। गुटबाजी कांग्रेस को ले डूबी थी
कांग्रेस को इसी गुटबाजी की वजह से 2019 के चुनावों में हार मिली थी। ये बात खुद भूपेंद्र वहुड्डा ने स्वीकार की थी। हुड्डा ने कहा था 2019 में ही कांग्रेस की सरकार बनना तय था लेकिन हमारे स्तर पर ही गलती हुई, जिसका नुकसान उठाना पड़ा। 2019 में 90 विधानसभा में से 40 टिकट हुड्डा विरोधी खेमों को मिली थी। वहीं 50 टिकट हुड्डा खेमे को दी गई थी। नतीजा यह हुआ है कि कांग्रेस 30 सीटों पर ही सिमट गई। इसके बाद हुड्डा ने कहा था कि अगर टिकट वितरण सही होता तो कांग्रेस की सरकार राज्य में बनी होती। इन नेताओं को फिर से टिकट की आस
1. पूर्व वित्त मंत्री प्रो. संपत सिंह : 6 बार विधायक रहे संपत सिंह नलवा से टिकट नहीं मिलने के कारण बागी होकर भाजपा में शामिल हो गए थे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अपना पुराना दोस्त बताया था। नतीजा यह हुआ कांग्रेस को नलवा सीट से हाथ धोना पड़ा।
2. पूर्व विधायक राम निवास घोड़ेला : बरवाला से कांग्रेस की टिकट पर विधायक बने थे। 2019 में टिकट नहीं मिली तो निर्दलीय की बरवाला से चुनाव लड़ा और कांग्रेस उम्मीदवार से ज्यादा वोट हासिल किए।
3. पूर्व विधायक रामभगत शर्मा : नारनौल से पूर्व विधायक रहे रामभगत शर्मा नारनौंद से चुनाव लड़ना चाहते थे। भाजपा में शामिल हो गए थे मगर टिकट कैप्टन अभिमन्यु को मिला। नारनौंद से कैप्टन के हारने के बाद कांग्रेस में शामिल हो गए।
4.पूर्व विधायक कुलबीर बेनीवाल : कांग्रेस की टिकट पर पहली बार निर्वाचन क्षेत्र भट्टू से विधायक बने थे मगर बाद में बाद कांग्रेस से बगावत कर इनेलो में शामिल हो गए। अब 2022 में कांग्रेस में फिर से शामिल हो गए।
5. सांसद जयप्रकाश जेपी : हिसार से मौजूदा सांसद जयप्रकाश जेपी कांग्रेस से बगावत कर चुके हैं। 2019 में कलायत से टिकट कटा तो निर्दलीय ही मैदान में आ गए। कांग्रेस कलायत सीट हार गई और भाजपा जीत गई। इसके बाद दोबारा कांग्रेस में शामिल हो गए और सांसद बन गए।
6. पूर्व विधायक निर्मल सिंह : अंबाला से कांग्रेस के नेता निर्मल सिंह और उनकी बेटी चित्रा कांग्रेस से बगावत कर चुनाव लड़ चुके हैं। इनकी बेटी अंबाला कैंट से कांग्रेस प्रत्याशी के सामने निर्दलीय चुनाव लड़ चुकी हैं। कांग्रेस से ज्यादा वोट लिए और कांग्रेस अंबाला कैंट सीट हार गई।