​​​​​​​किसान आंदोलन में जान गंवाने वालों के परिजनों को नौकरी:कृषि मंत्री ने 30 लोगों को सौंपे नियुक्त पत्र, खेतीबाड़ी विभाग में देंगे सेवा

​​​​​​​किसान आंदोलन में जान गंवाने वालों के परिजनों को नौकरी:कृषि मंत्री ने 30 लोगों को सौंपे नियुक्त पत्र, खेतीबाड़ी विभाग में देंगे सेवा

तीन कृषि कानूनों के खिलाफ चले संघर्ष में जान गंवाने वाले किसानों के 30 परिजनों को पंजाब सरकार ने नौकरी दी है। कृषि मंत्री गुरमीत सिंह खुड्डियां ने सभी लोगों को नियुक्ति पत्र सौंपे है। सारे भर्ती किए गए लोग खेती बाड़ी एवं किसान कल्याण विभाग में निभाएंगे सेवाएं। यह जानकारी राज्य सरकार की तरफ से दी गई है। 378 दिन तक दिल्ली की सीमा पर चला था संघर्ष तीन कृषि कानून के विरोध में केंद्र सरकार के खिलाफ किसानों ने लगभग 378 दिनों तक संघर्ष किया था। ये आंदोलन नवंबर 2020 से दिसंबर 2021 तक चला था। इस दौरान, किसानों ने दिल्ली की सीमाओं पर बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किया था और सरकार से इन कानूनों को वापस लेने की मांग की थी । आंदोलन के दौरान, सरकार और किसान नेताओं के बीच कई दौर की बातचीत हुई, लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला। आखिर में सरकार ने तीनों कानूनों को वापस लेने की घोषणा की और संसद में एक विधेयक पारित किया गया जिससे ये कानून रद्द हो गए । इस दौरान 700 से अधिक किसानों की जान गई थी। यह किसान पंजाब समेत कई जगह के रहने वाले थे। अब तक 44 हजार को नौकरियां दी अब तक सरकार विभिन्न विभागों में 44,974 सरकारी नौकरियां लोगों को दे चुकी हैं। मंत्री ने कहा कि यह भर्ती पूरी तरह से मेरिट के आधार पर और पारदर्शी तरीके से की गई है। इनमें से 25 लोगों को कृषि और किसान कल्याण विभाग में क्लर्क और पांच को सेवादार के रूप में नियुक्ति दी है। जबकि पशुपालन विभाग में दो वेटरनरी इंस्पेक्टर और चार क्लर्क, जिनमें से तीन को अनुकंपा के आधार पर नौकरी दी है। डेयरी विकास विभाग में दो स्टेनोग्राफरों को नियुक्ति पत्र दिए गए हैं। इस मौके पर कृषि विभाग के निदेशक जसवंत सिंह, पशुपालन विभाग के निदेशक डॉ. गुरशरनजीत सिंह बेदी, डेयरी विकास विभाग के निदेशक कुलदीप सिंह और अन्य अधिकारी भी मौजूद थे। तीन कृषि कानूनों के खिलाफ चले संघर्ष में जान गंवाने वाले किसानों के 30 परिजनों को पंजाब सरकार ने नौकरी दी है। कृषि मंत्री गुरमीत सिंह खुड्डियां ने सभी लोगों को नियुक्ति पत्र सौंपे है। सारे भर्ती किए गए लोग खेती बाड़ी एवं किसान कल्याण विभाग में निभाएंगे सेवाएं। यह जानकारी राज्य सरकार की तरफ से दी गई है। 378 दिन तक दिल्ली की सीमा पर चला था संघर्ष तीन कृषि कानून के विरोध में केंद्र सरकार के खिलाफ किसानों ने लगभग 378 दिनों तक संघर्ष किया था। ये आंदोलन नवंबर 2020 से दिसंबर 2021 तक चला था। इस दौरान, किसानों ने दिल्ली की सीमाओं पर बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किया था और सरकार से इन कानूनों को वापस लेने की मांग की थी । आंदोलन के दौरान, सरकार और किसान नेताओं के बीच कई दौर की बातचीत हुई, लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला। आखिर में सरकार ने तीनों कानूनों को वापस लेने की घोषणा की और संसद में एक विधेयक पारित किया गया जिससे ये कानून रद्द हो गए । इस दौरान 700 से अधिक किसानों की जान गई थी। यह किसान पंजाब समेत कई जगह के रहने वाले थे। अब तक 44 हजार को नौकरियां दी अब तक सरकार विभिन्न विभागों में 44,974 सरकारी नौकरियां लोगों को दे चुकी हैं। मंत्री ने कहा कि यह भर्ती पूरी तरह से मेरिट के आधार पर और पारदर्शी तरीके से की गई है। इनमें से 25 लोगों को कृषि और किसान कल्याण विभाग में क्लर्क और पांच को सेवादार के रूप में नियुक्ति दी है। जबकि पशुपालन विभाग में दो वेटरनरी इंस्पेक्टर और चार क्लर्क, जिनमें से तीन को अनुकंपा के आधार पर नौकरी दी है। डेयरी विकास विभाग में दो स्टेनोग्राफरों को नियुक्ति पत्र दिए गए हैं। इस मौके पर कृषि विभाग के निदेशक जसवंत सिंह, पशुपालन विभाग के निदेशक डॉ. गुरशरनजीत सिंह बेदी, डेयरी विकास विभाग के निदेशक कुलदीप सिंह और अन्य अधिकारी भी मौजूद थे।   पंजाब | दैनिक भास्कर