कोर्ट में पेश किए जाने के बाद आतंकी तहव्वुर राणा से जज ने क्या पूछा? जानें

कोर्ट में पेश किए जाने के बाद आतंकी तहव्वुर राणा से जज ने क्या पूछा? जानें

<p style=”text-align: justify;”><strong>Tahawwur Rana News:</strong> राष्ट्रीय जांच एजंसी (एनआईए) ने मुंबई आतंकी हमलों के मुख्य आरोपी तहव्वुर हुसैन राणा को शुक्रवार (11 अप्रैल) को 18 दिन की हिरासत में ले लिया. राणा को गुरुवार को अमेरिका से प्रत्यर्पित कर भारत लाया गया. इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पहुंचने पर उसे NIA ने गिरफ्तार किया और इसके बाद उसे पटियाला हाउस कोर्ट स्थित NIA की विशेष अदालत में पेश किया गया. कोर्ट ने 18 दिनों की हिरासत में भेज दिया. एनआईए ने 20 दिनों की रिमांड मांगी थी.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>राणा को गुरुवार देर रात जेल की एक वैन, बख्तरबंद विशेष वाहन और एक एंबुलेंस सहित कई वाहनों के काफिले में पटियाला हाउस अदालत में लाया गया. वरिष्ठ अधिवक्ता दयान कृष्णन और विशेष सरकारी अभियोजक नरेन्द्र मान ने एनआईए की ओर से अदालत में पक्ष रखा. &nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><br /><img src=”https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2025/04/11/32b375414bf1662b05fdab983879325f1744360501413124_original.jpg” /></p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>जज ने तहव्वुर राणा से किया सवाल?</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>कार्यवाही से पहले न्यायाधीश ने राणा से पूछा कि क्या उसके पास कोई वकील है. राणा ने इसके जवाब में कहा कि उसके पास कोई वकील नहीं है, तो न्यायाधीश ने उसे बताया कि दिल्ली विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से उसे वकील मुहैया कराया जा रहा है.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>इसके बाद, वकील पीयूष सचदेवा को उसका वकील नियुक्त किया गया. पाकिस्तानी मूल के कनाडाई व्यवसायी और 26/11 मुंबई आतंकवादी हमलों के मुख्य साजिशकर्ता डेविड कोलमैन हेडली उर्फ ​​दाऊद गिलानी के करीबी सहयोगी राणा को भारत तब लाया जा सका जब अमेरिकी की शीर्ष अदालत ने चार अप्रैल को उसके प्रत्यर्पण के खिलाफ उसकी पुनर्विचार याचिका खारिज कर दी.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>NIA ने क्या कहा?</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>एनआईए ने अदालत से कहा कि 2008 के हमलों के पीछे की बड़ी साजिश का पता लगाने के लिए राणा से पूछताछ ज़रूरी है. उसने अदालत से यह भी कहा कि हमलों के साजिशकर्ता के रूप में उसकी भूमिका की भी जांच की जानी है. राणा को पटियाला हाउस अदालत में पेश किए जाने से पहले, दिल्ली पुलिस ने सुरक्षा कारणों का हवाला देते हुए मीडियाकर्मियों और आम लोगों को अदालत परिसर से बाहर कर दिया था.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><br /><img src=”https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2025/04/11/dbf067c454eeb6ba3be6f7b2d4046f881744360627563124_original.jpg” /></p>
<p style=”text-align: justify;”>अदालत के आदेश के बाद, राणा को भारी सुरक्षा काफिले में एनआईए मुख्यालय ले जाया गया. अधिकारियों ने बताया कि राणा को यहां सीजीओ कॉम्प्लेक्स स्थित आतंकवाद निरोधी एजेंसी के मुख्यालय के अंदर एक बेहद सुरक्षित कोठरी में रखा जाएगा.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>साजिश का पता लगाना है- NIA</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>अदालत के आदेश के तुरंत बाद एनआईए की ओर से जारी बयान में कहा गया, &lsquo;&lsquo;राणा 18 दिन तक एनआईए की हिरासत में रहेगा, इस दौरान एनआईए उससे विस्तृत पूछताछ करेगी ताकि 2008 के भीषण हमलों के पीछे की पूरी साजिश का पता लगाया जा सके. इन हमलों में कुल 166 लोग मारे गए थे और 238 से अधिक लोग घायल हुए थे.&rsquo;&rsquo;&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><br /><img src=”https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2025/04/11/f84559d63a1edb92da31814c53a4e73f1744360681900124_original.jpg” /></p>
<p style=”text-align: justify;”>एजेंसी ने साथ ही बताया कि हेडली ने राणा को इस साजिश में पाकिस्तानी नागरिकों इलियास कश्मीरी और अब्दुर रहमान की संलिप्तता के बारे में भी बताया था. दोनों इस मामले में आरोपी हैं.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>राणा पर डेविड कोलमैन हेडली उर्फ ​​दाउद गिलानी और आतंकवादी संगठनों लश्कर-ए-तैयबा तथा हरकत-उल-जिहादी इस्लामी (हुजी) के गुर्गों एवं पाकिस्तान में रह रहे अन्य सह-षड्यंत्रकारियों के साथ मिलकर मुंबई पर तीन दिन तक आतंकी हमलों की साजिश रचने का आरोप है.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>तहव्वुर राणा पाकिस्तानी सेना में किया है काम</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>26 नवंबर 2008 को 10 पाकिस्तानी आतंकवादियों के एक समूह ने समुद्री मार्ग से भारत की आर्थिक राजधानी में घुसने के बाद वहां सीएसटी, दो आलीशान होटलों और एक यहूदी केंद्र पर हमला किया. इन आतंकी हमलों में 166 लोग मारे गए थे. &nbsp;&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><br /><img src=”https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2025/04/11/0b53d976a9cb4c7e38e428073bd85de61744360712770124_original.jpg” /></p>
<p style=”text-align: justify;”>आतंकवादी हमले की जांच से जुड़े मुंबई पुलिस के एक अधिकारी ने बृहस्पतिवार को बताया कि राणा ने 1990 के दशक के अंत में कनाडा में प्रवास करने से पहले पाकिस्तानी सेना की मेडिकल कोर में काम किया था और अपनी आव्रजन कंसल्टेंसी फर्म शुरू की थी. बाद में, वह अमेरिका चला गया और उसने शिकागो में एक कार्यालय खोला. अपनी फर्म के माध्यम से राणा ने हेडली को मुंबई में टोही मिशन के लिए संरक्षण प्रदान किया, ताकि आतंकवादी हमले किए जा सकें और उसे दस साल का वीजा विस्तार दिलाने में मदद की थी.&nbsp;</p> <p style=”text-align: justify;”><strong>Tahawwur Rana News:</strong> राष्ट्रीय जांच एजंसी (एनआईए) ने मुंबई आतंकी हमलों के मुख्य आरोपी तहव्वुर हुसैन राणा को शुक्रवार (11 अप्रैल) को 18 दिन की हिरासत में ले लिया. राणा को गुरुवार को अमेरिका से प्रत्यर्पित कर भारत लाया गया. इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पहुंचने पर उसे NIA ने गिरफ्तार किया और इसके बाद उसे पटियाला हाउस कोर्ट स्थित NIA की विशेष अदालत में पेश किया गया. कोर्ट ने 18 दिनों की हिरासत में भेज दिया. एनआईए ने 20 दिनों की रिमांड मांगी थी.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>राणा को गुरुवार देर रात जेल की एक वैन, बख्तरबंद विशेष वाहन और एक एंबुलेंस सहित कई वाहनों के काफिले में पटियाला हाउस अदालत में लाया गया. वरिष्ठ अधिवक्ता दयान कृष्णन और विशेष सरकारी अभियोजक नरेन्द्र मान ने एनआईए की ओर से अदालत में पक्ष रखा. &nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><br /><img src=”https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2025/04/11/32b375414bf1662b05fdab983879325f1744360501413124_original.jpg” /></p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>जज ने तहव्वुर राणा से किया सवाल?</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>कार्यवाही से पहले न्यायाधीश ने राणा से पूछा कि क्या उसके पास कोई वकील है. राणा ने इसके जवाब में कहा कि उसके पास कोई वकील नहीं है, तो न्यायाधीश ने उसे बताया कि दिल्ली विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से उसे वकील मुहैया कराया जा रहा है.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>इसके बाद, वकील पीयूष सचदेवा को उसका वकील नियुक्त किया गया. पाकिस्तानी मूल के कनाडाई व्यवसायी और 26/11 मुंबई आतंकवादी हमलों के मुख्य साजिशकर्ता डेविड कोलमैन हेडली उर्फ ​​दाऊद गिलानी के करीबी सहयोगी राणा को भारत तब लाया जा सका जब अमेरिकी की शीर्ष अदालत ने चार अप्रैल को उसके प्रत्यर्पण के खिलाफ उसकी पुनर्विचार याचिका खारिज कर दी.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>NIA ने क्या कहा?</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>एनआईए ने अदालत से कहा कि 2008 के हमलों के पीछे की बड़ी साजिश का पता लगाने के लिए राणा से पूछताछ ज़रूरी है. उसने अदालत से यह भी कहा कि हमलों के साजिशकर्ता के रूप में उसकी भूमिका की भी जांच की जानी है. राणा को पटियाला हाउस अदालत में पेश किए जाने से पहले, दिल्ली पुलिस ने सुरक्षा कारणों का हवाला देते हुए मीडियाकर्मियों और आम लोगों को अदालत परिसर से बाहर कर दिया था.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><br /><img src=”https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2025/04/11/dbf067c454eeb6ba3be6f7b2d4046f881744360627563124_original.jpg” /></p>
<p style=”text-align: justify;”>अदालत के आदेश के बाद, राणा को भारी सुरक्षा काफिले में एनआईए मुख्यालय ले जाया गया. अधिकारियों ने बताया कि राणा को यहां सीजीओ कॉम्प्लेक्स स्थित आतंकवाद निरोधी एजेंसी के मुख्यालय के अंदर एक बेहद सुरक्षित कोठरी में रखा जाएगा.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>साजिश का पता लगाना है- NIA</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>अदालत के आदेश के तुरंत बाद एनआईए की ओर से जारी बयान में कहा गया, &lsquo;&lsquo;राणा 18 दिन तक एनआईए की हिरासत में रहेगा, इस दौरान एनआईए उससे विस्तृत पूछताछ करेगी ताकि 2008 के भीषण हमलों के पीछे की पूरी साजिश का पता लगाया जा सके. इन हमलों में कुल 166 लोग मारे गए थे और 238 से अधिक लोग घायल हुए थे.&rsquo;&rsquo;&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><br /><img src=”https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2025/04/11/f84559d63a1edb92da31814c53a4e73f1744360681900124_original.jpg” /></p>
<p style=”text-align: justify;”>एजेंसी ने साथ ही बताया कि हेडली ने राणा को इस साजिश में पाकिस्तानी नागरिकों इलियास कश्मीरी और अब्दुर रहमान की संलिप्तता के बारे में भी बताया था. दोनों इस मामले में आरोपी हैं.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>राणा पर डेविड कोलमैन हेडली उर्फ ​​दाउद गिलानी और आतंकवादी संगठनों लश्कर-ए-तैयबा तथा हरकत-उल-जिहादी इस्लामी (हुजी) के गुर्गों एवं पाकिस्तान में रह रहे अन्य सह-षड्यंत्रकारियों के साथ मिलकर मुंबई पर तीन दिन तक आतंकी हमलों की साजिश रचने का आरोप है.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>तहव्वुर राणा पाकिस्तानी सेना में किया है काम</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>26 नवंबर 2008 को 10 पाकिस्तानी आतंकवादियों के एक समूह ने समुद्री मार्ग से भारत की आर्थिक राजधानी में घुसने के बाद वहां सीएसटी, दो आलीशान होटलों और एक यहूदी केंद्र पर हमला किया. इन आतंकी हमलों में 166 लोग मारे गए थे. &nbsp;&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><br /><img src=”https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2025/04/11/0b53d976a9cb4c7e38e428073bd85de61744360712770124_original.jpg” /></p>
<p style=”text-align: justify;”>आतंकवादी हमले की जांच से जुड़े मुंबई पुलिस के एक अधिकारी ने बृहस्पतिवार को बताया कि राणा ने 1990 के दशक के अंत में कनाडा में प्रवास करने से पहले पाकिस्तानी सेना की मेडिकल कोर में काम किया था और अपनी आव्रजन कंसल्टेंसी फर्म शुरू की थी. बाद में, वह अमेरिका चला गया और उसने शिकागो में एक कार्यालय खोला. अपनी फर्म के माध्यम से राणा ने हेडली को मुंबई में टोही मिशन के लिए संरक्षण प्रदान किया, ताकि आतंकवादी हमले किए जा सकें और उसे दस साल का वीजा विस्तार दिलाने में मदद की थी.&nbsp;</p>  दिल्ली NCR मुंबई में कंपनी के मैनेजर ने ही मालिक को 3 साल तक लूटा, 77 लाख का लगाया चूना, था 20 साल पुराना साथी