हरियाणा के गुरुग्राम में UPSC परीक्षा एग्जाम सेंटर के बाहर का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। ये वीडियो 16 जून संडे का है। इसमें एक महिला स्कूल के बाहर बेसुध हालत में पड़ी है। छात्रा का पिता भी रोआंसा है। पास बैठी बेटी दोनों को सांत्वना देने में लगी है। दरअसल बेटी यहां UPSC की परीक्षा देने आयी थी, लेकिन उसे अंदर नहीं जाने दिया गया। इसके बाद उसके माता पिता रोने लगे। संडे को पूरे देश में UPSC के एग्जाम था। गुरुग्राम के एसडी आदर्श विद्यालय में भी UPSC परीक्षा का एग्जाम सेंटर था। एक छात्रा सुबह 9 बजे स्कूल के गेट के बाहर पहुंच गई थी और साढ़े 9 बजे एग्जाम होना था। उसको परीक्षा केंद्र के अंदर नहीं जाने दिया गया। हालाकि UPSC का नियम है कि परीक्षा शुरू होने से आधे घंटे पहले गेट बंद करना पड़ता है। पुलिस ने समझा-बुझा कर भेजा वापस छात्रा को स्कूल के परीक्षा केंद्र के अंदर नही घुसने दिया तो छात्रा के माता पिता का सब्र का बांध टूट गया और वे स्कूल के बाहर बैठक कर रोने लगे। वे चीखते रहे, चिलाते रहे कि उनकी बेटी को एग्जाम में बैठने दिया जाए, लेकिन उनकी सुनने वाला कोई नही था। इस दौरान छात्रा की माता स्कूल के गेट के बाहर बेहोश हो जाती है। सेंटर के बाहर भीड़ इकट्ठी हो जाती है। सूचना के बाद स्थानीय पुलिस मौके पर पहुंचती है और छात्रा व उसके माता पिता को समझा कर वापस भेज देती है। एक साल गया बाबू हमारा सोशल मीडिया में वायरल वीडियो में छात्रा की मां बेहोश पड़ी है और पिता फूट फूट के रो रहे हैं। इस दौरान छात्रा अपने पिता से कहती है की पापा पानी पियो, मैं अगले साल परीक्षा दे दूंगी और ये एग्जाम ऐसा नही है कि मैं पास न हो पाऊं। फिर छात्रा के पिता कहते हैं कि एक साल गया बाबू हमारा। फिर छात्रा कहती है कि कोई बात नही, मेरी उम्र नही निकली जा रही। सुन लो, शाप लगेगा माता पिता का रो रो कर बुरा हाल, लेकिन सुनने वाला कोई नही। इसके बाद छात्रा के पिता स्कूल के गेट पर खड़े हो कर रोते हुए स्कूल वालों को कहते हैं की सुन लो, शाप लगेगा तुम्हे। उसके बाद छात्रा अपने पिता का हाथ पकड़ कर कहती है कि पापा क्यों कर रहे हो ऐसे। उसके बाद बाप और बेटी दोनों बेहोश मां को उठाते हैं और चलने के लिए कहते हैं। लेकिन मां रोते हुए कहती है कि मैं नही जाऊंगी। वीडियो में स्कूल के गेट के बाहर छात्रा के माप बाप का रो रो कर बुरा हाल हो जाता है, लेकिन उनकी सुनने वाला कोई नही होता। हरियाणा के गुरुग्राम में UPSC परीक्षा एग्जाम सेंटर के बाहर का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। ये वीडियो 16 जून संडे का है। इसमें एक महिला स्कूल के बाहर बेसुध हालत में पड़ी है। छात्रा का पिता भी रोआंसा है। पास बैठी बेटी दोनों को सांत्वना देने में लगी है। दरअसल बेटी यहां UPSC की परीक्षा देने आयी थी, लेकिन उसे अंदर नहीं जाने दिया गया। इसके बाद उसके माता पिता रोने लगे। संडे को पूरे देश में UPSC के एग्जाम था। गुरुग्राम के एसडी आदर्श विद्यालय में भी UPSC परीक्षा का एग्जाम सेंटर था। एक छात्रा सुबह 9 बजे स्कूल के गेट के बाहर पहुंच गई थी और साढ़े 9 बजे एग्जाम होना था। उसको परीक्षा केंद्र के अंदर नहीं जाने दिया गया। हालाकि UPSC का नियम है कि परीक्षा शुरू होने से आधे घंटे पहले गेट बंद करना पड़ता है। पुलिस ने समझा-बुझा कर भेजा वापस छात्रा को स्कूल के परीक्षा केंद्र के अंदर नही घुसने दिया तो छात्रा के माता पिता का सब्र का बांध टूट गया और वे स्कूल के बाहर बैठक कर रोने लगे। वे चीखते रहे, चिलाते रहे कि उनकी बेटी को एग्जाम में बैठने दिया जाए, लेकिन उनकी सुनने वाला कोई नही था। इस दौरान छात्रा की माता स्कूल के गेट के बाहर बेहोश हो जाती है। सेंटर के बाहर भीड़ इकट्ठी हो जाती है। सूचना के बाद स्थानीय पुलिस मौके पर पहुंचती है और छात्रा व उसके माता पिता को समझा कर वापस भेज देती है। एक साल गया बाबू हमारा सोशल मीडिया में वायरल वीडियो में छात्रा की मां बेहोश पड़ी है और पिता फूट फूट के रो रहे हैं। इस दौरान छात्रा अपने पिता से कहती है की पापा पानी पियो, मैं अगले साल परीक्षा दे दूंगी और ये एग्जाम ऐसा नही है कि मैं पास न हो पाऊं। फिर छात्रा के पिता कहते हैं कि एक साल गया बाबू हमारा। फिर छात्रा कहती है कि कोई बात नही, मेरी उम्र नही निकली जा रही। सुन लो, शाप लगेगा माता पिता का रो रो कर बुरा हाल, लेकिन सुनने वाला कोई नही। इसके बाद छात्रा के पिता स्कूल के गेट पर खड़े हो कर रोते हुए स्कूल वालों को कहते हैं की सुन लो, शाप लगेगा तुम्हे। उसके बाद छात्रा अपने पिता का हाथ पकड़ कर कहती है कि पापा क्यों कर रहे हो ऐसे। उसके बाद बाप और बेटी दोनों बेहोश मां को उठाते हैं और चलने के लिए कहते हैं। लेकिन मां रोते हुए कहती है कि मैं नही जाऊंगी। वीडियो में स्कूल के गेट के बाहर छात्रा के माप बाप का रो रो कर बुरा हाल हो जाता है, लेकिन उनकी सुनने वाला कोई नही होता। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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हरियाणा कांग्रेस की 2 लिस्टों पर बगावत:दनौदा ने INLD जॉइन की; सुरजेवाला की करीबी बोली- राजा का बेटा- राजा होता है हरियाणा कांग्रेस की देर रात जारी हुई 2 लिस्टों को लेकर बगावत और भगदड़ शुरू हो गई है। नरवाना विधानसभा से टिकट कटने पर विद्या देवी ने विरोध का खुला ऐलान कर दिया है। वह अब इंडियन नेशनल लोकदल की टिकट से चुनाव लड़ेंगी। इसके अलावा कैथल से टिकट कटने पर रणदीप सुरजेवाला की करीबी श्वेता ढुल ने भी सवाल उठाए हैं। उन्होंने अपने सोशल मीडिया X हैंडल पर लिखा है कि, मेरे पिता कोई बड़े नेता होते, तो ऐन वक्त पर ऐसे टिकट कटती क्या? उन्होंने लिखा कि, बरहाल, इस पर कोई टिप्पणी नहीं करूंगी, लेकिन इतना कहना चाहूंगी कि राजा का बेटी ही राजा बनता है, यही सत्य है। यहां सीट वाइज पढ़िए कांग्रेस में बगावत-भगदड़ की डिटेल… 1. नलवा विधानसभा में कांग्रेस में बगावत शुरू हो गई है। पार्टी के बड़े चेहरे पूर्व मंत्री संपत सिंह ने अपने समर्थकों की बैठक बुला ली है। बैठक में वह निर्दलीय चुनाव लड़ने को लेकर फैसला करेंगे। 2. इसके अलावा टिकट मांग रहे श्रवण वर्मा बसपा गठबंधन में शामिल हो गए हैं। सुभाष सरपंच हरिता निर्दलीय नामांकन करने की तैयारी कर रहे हैं। 3. वहीं बरवाला कांग्रेस में भी बगावत शुरू हो गई है। कांग्रेस की टिकट मांग रही संजना सातरोड़ ने बरवाला से निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर नामांकन भर दिया है। 4. सिरसा की राजनीति में भी हालत खराब हो गए हैं। यहां से कांग्रेस की टिकट गोकुल सेतिया को मिलने से पुराने कांग्रेसी नेता नाराज हो गए हैं। मेहता परिवार ने टिकट कटने पर अपने समर्थकों की मीटिंग बुला ली है। 5. हांसी में कांग्रेस पार्टी की टिकट नहीं मिलने से नरेश यादव निर्दलीय नामांकन करने जा रहे हैं। दिल्ली से पहुंचकर निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर नामांकन दाखिल करेंगे। 6. पानीपत ग्रामीण विधानसभा सीट पर भी कांग्रेस में बगावत शुरू हो गई है। यहां से सचिन कुंडू को टिकट दिए जाने पर दावेदारी कर रहे विजय जैन ने बगावत कर दी है। उन्होंने ऐलान कर दिया है कि वह निर्दलीय नामांकन करेंगे। पहली लिस्ट पर भी हो चुका घमासान कांग्रेस में टिकट वितरण के बाद बगावत और भगदड़ शुरू हो गई है। पहली दो लिस्टों के बाद 5 सीटों पर टिकटों के 9 दावेदार विरोध में उतरे हुए हैं। विरोध के कारण कांग्रेस के 3 नेता पार्टी से इस्तीफा भी दे चुके हैं। इनमें बरोदा से कपूर नरवाल, बहादुरगढ़ से राजेश जून और साढौरा से बृजपाल छप्पर शामिल हैं। इसके अलावा, बरोदा से जीता हुड्डा, गोहाना से हर्ष छिकारा, बरवाला से रामनिवास घोड़ेला के टिकट का विरोध जारी है। वहीं, गुरुग्राम में पूर्व विधायक उमेश अग्रवाल की पत्नी अनीता अग्रवाल कांग्रेस छोड़कर फिर से BJP में शामिल हो गई हैं। बाबरिया की बिगड़ चुकी तबीयत हरियाणा में टिकट बंटवारे को लेकर प्रदेश प्रभारी दीपक बाबरिया की तबीयत खराब हो चुकी है। उनका ब्लड प्रेशर (BP) बढ़ने के बाद उन्हें दिल्ली एम्स में भर्ती कराया गया है। अभी वह डॉक्टरों की देखरेख में हैं। उनका हालचाल लेने सांसद दीपेंद्र हुड्डा पहुंचे थे। उन्होंने ही जानकारी सोशल मीडिया पर दी थी। बाबरिया के कुछ वीडियो वायरल हुए थे, जिसमें वह कांग्रेस के टिकट दावेदारों के आगे निराशा जाहिर कर रहे थे। टिकट बंटवारे में बाबरिया की सबसे बड़ी भूमिका थी। इसके अलावा राहुल गांधी ने प्रदेश में आम आदमी पार्टी और कांग्रेस के बीच गठबंधन की जिम्मेदारी भी बाबरिया को सौंपी थी।
हरियाणा मानवाधिकार आयोग को मिलेगा नया अध्यक्ष:CM सैनी ने बुलाई इमरजेंसी मीटिंग; HC लगा चुका फटकार, 14 महीने से खाली पड़ा पद
हरियाणा मानवाधिकार आयोग को मिलेगा नया अध्यक्ष:CM सैनी ने बुलाई इमरजेंसी मीटिंग; HC लगा चुका फटकार, 14 महीने से खाली पड़ा पद हरियाणा मानवाधिकार आयोग को जल्द नया अध्यक्ष मिल जाएगा। इसको लेकर मुख्यमंत्री नायब सैनी ने एक इमरजेंसी मीटिंग बुलाई है। इस मीटिंग में सीएम सैनी के साथ विधानसभा स्पीकर हरिवंद्र कल्याण और एक कांग्रेस विधायक के शामिल होने की उम्मीद है। इस मीटिंग में आयोग के अध्यक्ष और अन्य दो सदस्यों के नामों पर मंथन किया जाएगा। संभावना है कि मीटिंग के बाद आयोग में नियुक्ति के ऑर्डर सरकार की ओर से जारी कर दिए जाएं। आयोग में चेयरमैन और सदस्यों के पद करीब 14 माह से खाली हैं। मीटिंग में गृह सचिव अनुराग रस्तोगी के भी भाग लेने की संभावना है। 14 महीने से शिकायतें पेंडिंग पड़ी हरियाणा मानवाधिकार आयोग में हर महीने सैकड़ों की संख्या में शिकायतें आती हैं। इन शिकायतों का समाधान आयोग द्वारा किया भी जाता रहा है। लेकिन जब से पद खाली हैं, तब से शिकायतों का हल रुक गया है। इससे आमजन को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। आयोग में एक पद चेयरमैन का होता है, जबकि दो पद सदस्यों के होते हैं। सूत्रों का कहना है कि बड़ी संख्या में शिकायतें पेंडिंग पड़ी हैं। लोगों को न्याय नहीं मिल पा रहा है। हाईकोर्ट लगा चुका फटकार हरियाणा में मानवाधिकार आयोग में चेयरमैन व सदस्य न होने के चलते कामकाज ठप पड़ने पर पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट सरकार को दिन पहले फटकार लगा चुका है। हाईकोर्ट ने यह स्पष्ट किया है कि यदि अगली सुनवाई तक पद नहीं भरे गए तो संबंधित अधिकारी को व्यक्तिगत रूप से कोर्ट के समक्ष उपस्थित होगा और याचिकाकर्ता को मुकदमे की लागत के रूप में 50,000 रुपए अपनी जेब से देने होंगे। कैथल निवासी शिवचरण ने याचिका दाखिल करते हुए मानवाधिकार आयोग के चेयरमैन व सदस्यों के पद भरने की मांग की थी। सरकार ने लिया था 30 मार्च तक का टाइम याचिका पर सरकार ने पहले 30 मार्च तक और बाद में लोकसभा चुनाव के तुरंत बाद चेयरमैन और सदस्य के पद भरने का कोर्ट को विश्वास दिलाया था। याची के वकील ने कोर्ट को बताया कि एक समय में देश का सबसे बेहतर मानवाधिकार आयोग का माने जाने वाला हरियाणा मानवाधिकार आयोग अब अपने अधिकारों के लिए मोहताज हैं। अब आयोग में न तो चेयरमैन है न ही कोई सदस्य। इसका खामियाजा आम लोगों को भुगतना पड़ रहा है, अब वो अपने अधिकारों के लिए किसके आगे गुहार लगाएंगे। अब तक इनके सहारा चलता रहा आयोग राजस्थान हाईकोर्ट के पूर्व चीफ जस्टिस एस के मित्तल हरियाणा मानवाधिकार आयोग के चेयरमैन पद से और सदस्य जस्टिस केसी पुरी अप्रैल 2023 में सेवानिवृत्त हुए थे। इसके बाद एकमात्र सदस्य दीप भाटिया के सहारे आयोग सितम्बर 2023 तक चलता रहा। भाटिया के सेवानिवृत्त होने के बाद आयोग पूरी तरह से चेयरमैन और सदस्य विहीन है। किसी भी मामले में सुनवाई नहीं हो पा रही है। इसलिए अब मजबूरी में इस विषय को लेकर हाईकोर्ट में याचिका दायर कर निर्देश देने की मांग की गई है।
बहादुरगढ़ में भाजपा पर भड़के आप प्रदेश अध्यक्ष:सुशील गुप्ता बोले-विपक्ष की दबाई जा रही आवाज, किसानों को क्यों रोक रही सरकार
बहादुरगढ़ में भाजपा पर भड़के आप प्रदेश अध्यक्ष:सुशील गुप्ता बोले-विपक्ष की दबाई जा रही आवाज, किसानों को क्यों रोक रही सरकार हरियाणा के झज्जर जिले के बहादुरगढ़ के अग्रसेन मेडिकल यूनिवर्सिटी में बुधवार को आम आदमी पार्टी प्रदेश अध्यक्ष सुशील गुप्ता पहुंचे। इस अवसर पर सुशील गुप्ता ने कहा कि विपक्ष स्वयं को दबा हुआ महसूस कर रहा है, उसकी आवाज रोकी जा रही है, इसीलिए देश के उप राष्ट्रपति जगदीप धनखड़ को हटाने के लिए सांकेतिक अविश्वास प्रस्ताव विपक्ष द्वारा संसद में लाया गया है। संसद लोकतंत्र का मंदिर सुशील गुप्ता ने कहा कि संसद लोकतंत्र का मंदिर है, वहां पर सभी लोगों को अपनी बात रखने का अधिकार है। हालांकि देश के राष्ट्रपति उप राष्ट्रपति और राज्यसभा के सभापति के लिए सबके मन में पूरा आदर है, परंतु विपक्ष दबा हुआ महसूस कर रहा है, उसकी आवाज को रोका जा रहा है, इसलिए यह सांकेतिक अविश्वास प्रस्ताव विपक्षी की ओर से लाया गया है। आम आदमी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष सुशील गुप्ता ने इंडिया गठबंधन का नेतृत्व बदले जाने पर भी अपना बयान दिया। कांग्रेस और आप मिलकर करें फैसला सुशील गुप्ता का कहना है कि लोकतंत्र में हर किसी को अपनी बात कहने का हक है, लेकिन कोई भी फैसला सामूहिक रूप से होना चाहिए। उनका कहना है कि जब गठबंधन धर्म निभाएगा, तो ज्यादातर लोग जो चाहेंगे वही होगा। दिल्ली में विधानसभा चुनाव अकेले लड़ने पर भी सुशील गुप्ता ने अपना पक्ष रखा है। उनका कहना है कि कांग्रेस और आम आदमी पार्टी दोनों के शीर्ष नेतृत्व को मिलकर यह फैसला लेना होगा कि आखिर में चुनाव एक साथ लड़ेंगे या फिर अलग-अलग। हरियाणा में जल्द होने वाले नगर निकाय चुनाव में भी आम आदमी पार्टी ने अपने उम्मीदवार उतारने की बात कही है। सुशील गुप्ता का कहना है कि निकाय चुनाव में आम आदमी पार्टी अपने सिंबल पर सभी जगह उम्मीदवार उतारेगी l हरियाणा सरकार से किसानों को कुछ नहीं लेना हरियाणा और पंजाब के बॉर्डर पर चल रहे किसान आंदोलन को लेकर भी आम आदमी पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष सुशील गुप्ता ने केंद्र और प्रदेश की सरकारों पर निशाना साधा है। उनका कहना है कि किसानों से जो वायदा भाजपा ने किया था, उसे पूरा करना चाहिए। उन्होंने नायब सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि किसानों को हरियाणा से कुछ भी नहीं चाहिए, वह केंद्र सरकार से अपनी मांगे मनवाना चाहते हैं, तो हरियाणा सरकार किसानों को क्यों रोक रही है। लोगों को सड़क पर चलने देने से हरियाणा सरकार रोकना चाहती है।