पंजाब के जालंधर में लुम्मा पिंड चौक के पास शनिवार को कार सवार हमलावरों ने बाइक सवार पर ताबड़तोड़ फायरिंग कर दी। गोलियां चलाने से पहले आरोपियों ने युवक को पकड़ने की कोशिश की, लेकिन वह किसी तरह उनसे बचकर भाग निकला। पीड़ित ने आरोप लगाया है कि आरोपी लुम्मा पिंड चौक के पास से उसका पीछा कर रहे थे। जब बाइक सवार भीड़ के कारण लुम्मा पिंड चौक के पास रुका तो कार से उतरे युवकों ने फायरिंग कर दी। घटना के बाद इलाके में दहशत का माहौल है। चश्मदीद ने कहा- घटना के बाद आरोपी कार लेकर फरार हो गए चश्मदीद प्रताप सिंह ने कहा- यह घटना उनके सामने हुई। घटना के समय वह चौक पर ही मौजूद थे। घटना के तुरंत बाद मामले की जानकारी पुलिस कंट्रोल रूम को दी गई। जिसके बाद सबसे पहले पीसीआर टीम जांच के लिए पहुंची। जिस जगह पर घटना हुई, उसके आसपास सीसीटीवी कैमरे लगे हुए हैं। जिसके आधार पर पुलिस कार और आरोपियों की पहचान में जुट गई है। सभी हमलावर भोगपुर की तरफ भाग गए प्राप्त जानकारी के अनुसार बाइक सवार पर गोलियां चलाने के बाद आरोपी पठानकोट चौक की तरफ गए और वहां से भोगपुर की तरफ भाग गए। राहगीरों और पीड़ित ने आरोपियों का पीछा भी किया, लेकिन वे पकड़ में नहीं आ सके। घटना की सूचना मिलते ही थाना रामा मंडी, थाना डिवीजन नंबर-8 और एसीपी सेंट्रल जांच के लिए मौके पर पहुंचे। काफी देर तक पुलिस थानों की सीमा को लेकर असमंजस में रही। पंजाब के जालंधर में लुम्मा पिंड चौक के पास शनिवार को कार सवार हमलावरों ने बाइक सवार पर ताबड़तोड़ फायरिंग कर दी। गोलियां चलाने से पहले आरोपियों ने युवक को पकड़ने की कोशिश की, लेकिन वह किसी तरह उनसे बचकर भाग निकला। पीड़ित ने आरोप लगाया है कि आरोपी लुम्मा पिंड चौक के पास से उसका पीछा कर रहे थे। जब बाइक सवार भीड़ के कारण लुम्मा पिंड चौक के पास रुका तो कार से उतरे युवकों ने फायरिंग कर दी। घटना के बाद इलाके में दहशत का माहौल है। चश्मदीद ने कहा- घटना के बाद आरोपी कार लेकर फरार हो गए चश्मदीद प्रताप सिंह ने कहा- यह घटना उनके सामने हुई। घटना के समय वह चौक पर ही मौजूद थे। घटना के तुरंत बाद मामले की जानकारी पुलिस कंट्रोल रूम को दी गई। जिसके बाद सबसे पहले पीसीआर टीम जांच के लिए पहुंची। जिस जगह पर घटना हुई, उसके आसपास सीसीटीवी कैमरे लगे हुए हैं। जिसके आधार पर पुलिस कार और आरोपियों की पहचान में जुट गई है। सभी हमलावर भोगपुर की तरफ भाग गए प्राप्त जानकारी के अनुसार बाइक सवार पर गोलियां चलाने के बाद आरोपी पठानकोट चौक की तरफ गए और वहां से भोगपुर की तरफ भाग गए। राहगीरों और पीड़ित ने आरोपियों का पीछा भी किया, लेकिन वे पकड़ में नहीं आ सके। घटना की सूचना मिलते ही थाना रामा मंडी, थाना डिवीजन नंबर-8 और एसीपी सेंट्रल जांच के लिए मौके पर पहुंचे। काफी देर तक पुलिस थानों की सीमा को लेकर असमंजस में रही। पंजाब | दैनिक भास्कर
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गैंगस्टर लॉरेंस के 2 इंटरव्यू पर खुलासा:पंजाब पुलिस की कस्टडी में पहला, दूसरा राजस्थान जेल में हुआ; हाईकोर्ट ने SIT रिपोर्ट खोली
गैंगस्टर लॉरेंस के 2 इंटरव्यू पर खुलासा:पंजाब पुलिस की कस्टडी में पहला, दूसरा राजस्थान जेल में हुआ; हाईकोर्ट ने SIT रिपोर्ट खोली पंजाबी सिंगर सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड के मास्टरमाइंड कुख्यात गैंगस्टर लॉरेंस के जेल से इंटरव्यू मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। गैंगस्टर का पहला इंटरव्यू पंजाब के खरड़ में पुलिस कस्टडी में हुआ था। जबकि, दूसरा इंटरव्यू राजस्थान की जेल में हुआ था। यह खुलासा इस मामले की जांच कर रही स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (SIT) की रिपोर्ट से हुआ है। एसआईटी ने यह सीलबंद रिपोर्ट पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट को सौंपी थी। जिसे बुधवार को सार्वजनिक किया गया। रिपोर्ट के दूसरे तथ्यों के बारे में इंतजार किया जा रहा है। पंजाब के DGP ने खारिज किया था दावा
गैंगस्टर लॉरेंस के इंटरव्यू वर्ष 2023 में 14 और 17 मार्च को जारी किए गए थे। जिसके बाद पंजाब पुलिस पर सवाल उठे थे। इसके बाद पंजाब के डीजीपी गौरव यादव प्रेस कॉन्फ्रेंस बुलाई। जिसमें उन्होंने दावा किया था कि इंटरव्यू बठिंडा या पंजाब की किसी भी जेल से नहीं हुआ है। DGP ने लॉरेंस की 2 तस्वीरें दिखाते हुए कहा था- जब लॉरेंस को बठिंडा जेल लाया गया तो इसके बाल कटे थे और दाढ़ी-मूछ नहीं थी। पहले इंटरव्यू में मूसेवाला के कत्ल की जिम्मेदारी ली
लॉरेंस का पहला इंटरव्यू 14 मार्च को ब्रॉडकास्ट हुआ था। जिसमें लॉरेंस ने सिद्धू मूसेवाला का कत्ल करवाने की बात कबूली थी। लॉरेंस का कहना था कि मूसेवाला सिंगिंग के बजाय गैंगवार में घुस रहा था। उसके कॉलेज फ्रेंड अकाली नेता विक्की मिड्डूखेड़ा के कत्ल में भी मूसेवाला का हाथ था। इसलिए उसे मरवाया। एसआईटी रिपोर्ट के मुताबिक ये वही इंटरव्यू है, जो उसने सीआईए की कस्टडी से दिया। दूसरे इंटरव्यू में बैरक से कॉल करने का दिया सबूत
लॉरेंस ने अपने दूसरे इंटरव्यू में जेल के अंदर से इंटरव्यू करने का सबूत भी दिया था। उसने अपनी बैरक भी दिखाई और बताया कि उसे बाहर नहीं जाने दिया जाता, लेकिन मोबाइल भी उसके पास आ जाता है और सिग्नल भी। लॉरेंस ने अपने इंटरव्यू में कहा कि रात के समय जेल के गार्ड बहुत कम आते-जाते हैं, इसीलिए वह रात को कॉल कर रहा है। लॉरेंस ने मोबाइल के अंदर आने के बारे में भी जानकारी दी थी। लॉरेंस के अनुसार मोबाइल बाहर से जेल के अंदर फेंके जाते हैं। कई बार जेल स्टाफ उन्हें पकड़ भी लेता है, लेकिन अधिकतर बार मोबाइल उस तक पहुंच जाता है। वकील बोले- पंजाब पुलिस में काली भेड़ें
इस बारे में इंटरव्यू के खिलाफ पिटीशन दायर करने वाले वकील गौरव ने कहा- आज सुनवाई में साफ हो गया गया कि पंजाब पुलिस में काली भेड़े हैं। जिन्होंने यह इंटरव्यू करवाया था। यह किसी आम आदमी का यह काम नहीं है। हालांकि इसे शुरू से ही दबाने की कोशिश की जा रही है। उन्होंने बताया कि अदालत ने तय किया है कि जो भी इस मामले शामिल होंगे, उन पर सीधे कार्रवाई होगी। वहीं, इस मामले में जो भी सुपरवाइजर होंगे, उन पर भी कार्रवाई होगी। इस मामले में डीजीपी एफिडेविट फाइल करेंगे। इस मामले की अगली सुनवाई पांच नौ को तय की गई। अब गुजरात जेल में बंद है लॉरेंस
गैंगस्टर लॉरेंस इस समय गुजरात की जेल में नशा तस्करी से जुडे़ केस में बंद है। उसे अहमदाबाद के साबरमती में हाई सिक्योरिटी जेल में रखा गया है। हाल ही में उसके पाकिस्तानी डॉन से ईद की बधाई को लेकर वीडियो कॉल की रिकॉर्डिंग भी वायरल हुई थी। आतंकी गैंग की तरह लॉरेंस का स्लीपर सेल
आतंकियों की तर्ज पर लॉरेंस गैंग ने अपना ‘स्लीपर सेल’ तैयार कर लिया है। स्लीपर सेल से जुड़े गुर्गे आम लोगों की तरह हमारे बीच में रहते हैं। ये पेशेवर अपराधी नहीं हैं, लेकिन आका (लॉरेंस) का इशारा मिलते ही टारगेट किलिंग करने से भी नहीं चूकते। लॉरेंस गैंग ने ब्रेन वॉश कर स्लीपर सेल में कई नाबालिगों को भी शामिल कर रखा है। ये नाबालिग हथियार सप्लाई, टारगेट किलिंग से लेकर हवाला के जरिए पैसा ठिकाने लगाने का काम कर रहे हैं। इस तथ्य का खुलासा लॉरेंस गैंग के गुर्गों द्वारा राजस्थान में अंजाम दी गई विभिन्न वारदात से जुड़ी जांच और अदालत में दाखिल चार्जशीट में हुआ है। पहली बार बाकायदा ‘स्लीपर सेल’ शब्द का इस्तेमाल किया गया। स्लीपर सेल से जुड़े गुर्गे पुलिस और जांच एजेंसियों से बचने के लिए बॉक्स कॉल के जरिए संपर्क में रहते हैं। बॉक्स कॉल करने के लिए मोबाइल से सिग्नल ऐप कॉल करने के बाद स्पीकर ऑन- हैंड्स फ्री कर बात की जाती है। बॉक्स कॉल करने से कॉल इंटरसेप्ट नहीं की जा सकती है, और ना ही कॉल लोकेट हो पाती है। सलमान खान के पीछे पड़ा गैंगस्टर लॉरेंस
लॉरेंस इस वक्त सलमान खान के पीछे पड़ा है। सलमान पर आरोप है कि 1998 में फिल्म ‘हम साथ साथ हैं’ की शूटिंग के दौरान राजस्थान के जंगलों में काले हिरण का शिकार किया था। सलमान के अलावा सैफ अली खान, सोनाली बेंद्रे, तब्बू और नीलम कोठारी पर भी आरोप लगे थे। बिश्नोई समाज ने तब सलमान के खिलाफ शिकायत भी दर्ज कराई थी। सलमान को इसके लिए जोधपुर कोर्ट ने पांच साल की सजा भी सुनाई थी, हालांकि बाद में उन्हें इस मामले में बेल मिल गई। इसी के चलते गैंगस्टर लॉरेंस सलमान खान को मारना चाहता है। वह कोर्ट में पेशी के दौरान इसकी धमकी तक दे चुका है। सलमान खान पर हमले की प्लानिंग में लॉरेंस के कई गुर्गों को दिल्ली और मुंबई पुलिस गिरफ्तार कर चुकी है। मगर फिर भी लॉरेंस अपने गैंगस्टर के गुर्गों को सलमान खाने के पीछे लगाए हुए हैं। कुछ दिन पहले ही मुंबई में सलमान खान के घर पर फायरिंग की जा चुकी है। हम इस खबर को अपडेट कर रहे हैं…
मंडी सांसद पर भड़के कांग्रेस विधायक:परगट सिंह बोले- ऐसे लोगों का समाज बायकॉट करे, कंगना जैसे लोग नफरत फैलाते हैं
मंडी सांसद पर भड़के कांग्रेस विधायक:परगट सिंह बोले- ऐसे लोगों का समाज बायकॉट करे, कंगना जैसे लोग नफरत फैलाते हैं हिमाचल प्रदेश के मंडी से सांसद कंगना रनोट की फिल्म इमरजेंसी इस वक्त पूरे देश में चर्चा का विषय बनी हुई है। जालंधर कैंट से विधायक परगट सिंह ने कहा- समाज को कंगना रनोट का बायकॉट कर देना चाहिए, क्योंकि ऐसे लोगों को तो मुंह भी नहीं लगाना चाहिए। कंगना रनोट जैसे लोग जो अपनी आस्था की परवाह किए बिना नफरत फैलाते हैं। उन्हें देश के नागरिकों को नजर अंदाज करना चाहिए। ये सारी बातें उन्होंने अपने एक्स अकाउंट पर की गई एक पोस्ट में कही है। बता दें कि कंगना रनोट की फिल्म इमरजेंसी पर अभी तक कोर्ट का फैसला नहीं आया है। जिसके चलते फिल्म की रिलीज अभी बाधित हो गई है। 6 सितंबर को रिलीज होने वाली थी ‘इमरजेंसी’ इससे पहले कंगना के निर्देशन में बनी फिल्म ‘इमरजेंसी’ 6 सितंबर को रिलीज होने वाली थी। लेकिन इसे सेंट्रल बोर्ड ऑफ फिल्म सर्टिफिकेशन (CBFC) से क्लीयरेंस ही नहीं मिला। फिल्म में कंगना देश की पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के रोल में नजर आएंगी। कई सिख धार्मिक संगठनों ने इस फिल्म की आलोचना की और इसके खिलाफ प्रदर्शन किए। इन संगठनों का दावा है कि यह फिल्म सांप्रदायिक तनाव भड़का सकती है और गलत जानकारी फैला सकती है। इन सब वजहों से फिल्म की रिलीज टाल दी गई है। सेंसर बोर्ड ने इससे विवादित सीन हटाने का आदेश दिया है। इसे लेकर कंगना ने कहा है कि वो अपनी फिल्म ‘इमरजेंसी’ के लिए कोर्ट में लड़ेंगी और इसे बिना किसी काट-छांट के रिलीज करेंगी, क्योंकि वे तथ्यों को बदलना नहीं चाहती हैं।
107 विद्यार्थियों ने किया गुरबाणी कीर्तन व कविताएं पढ़ीं
107 विद्यार्थियों ने किया गुरबाणी कीर्तन व कविताएं पढ़ीं भास्कर न्यूज | जालंधर गुरुद्वारा छठी पातशाही बस्ती शेख में श्री गुरु हरगोबिंद साहिब जी के प्रकाश पर्व पर गुरमत शिक्षा सभा की ओर से गुरमत समागम करवाया गया। समागम की शुरुआत श्री रहिरास साहिब के पाठ से की गई। अकाली रछपाल सिंह, ज्ञानी तरसेम सिंह और सीए जसमीत सिंह ने बताया कि इस समागम में 107 विद्यार्थियों ने गुरबाणी कीर्तन, कविताओं और गुरमत विचारों की अमृत वर्षा कर आनंदित माहौल बनाया। संगत ने एक मन एक चित्त होकर गुरबाणी कीर्तन और कविताओं का आनंद लिया। भोग के बाद इंद्रपाल सिंह ने संगत को कहा कि सभा की ओर से हर रविवार को गुरुद्वारा साहिब में गुरमत कक्षाएं लगाई जा रही हैं। यह कक्षाएं करीब 6 साल पहले शुरू की गईं थीं। इन कक्षाओं में विद्यार्थियों को गुरबाणी का ज्ञान और कीर्तन का प्रशिक्षण दिया जाता है। गुरुद्वारा साहिब की ओर से कार्यकारी प्रधान गुरु कृपाल सिंह ने सभी प्रतिभागियों को सम्मानित किया गया। मौके पर गुरुद्वारा कमेटी के प्रधान बेअंत सिंह सरहद्दी, कार्यकारी प्रधान गुर कृपाल सिंह, कोर कमेटी चेयरमेन एडवोकेट हरजीत सिंह, दविंदर सिंह रहेजा, कुलवंत वीर सिंह कालड़ा, जगजीत सिंह, सतिंदर पाल सिंह छाबड़ा, चरणजीत सिंह, ज्ञानी गुरमीत सिंह, अमरीक सिंह व अन्य मौजूद थे।