झांसी में डांडिया नाइट्स में मुस्लिम लेडी एंकर बुलाने पर हंगामा हो गया। पहले उनको गेट पर ही रोका गया। जैसे-तैसे वह स्टेज पर पहुंची और माइक थामकर प्रोग्राम को हॉस्ट करने लगी तो माइक बंद कर दिया गया। यहीं नहीं, साउंड सिस्टम भी ऑफ कर दिया गया और गार्डन की लाइट काट दी गई। इससे अंधेरा छा गया। काफी देर चले ड्रामे के बाद आखिरकार एंकर को बाहर जाना पड़ा। इसके बाद प्रोग्राम शुरू हो पाया। इस पूरे घटनाक्रम ने लेडी एंकर और आयोजकों ने नाराजगी जताई है। सबसे पहले 3 तस्वीर देखिए 200 से ज्यादा लोग पहुंचे थे नवरात्रि पर्व को लेकर जगह-जगह गरबा और डांडिया नाइट प्रोग्राम हो रहे हैं। बुधवार रात को नवाबाद थाना क्षेत्र में स्थित लक्ष्मी गार्डन में डांडिया नाइट का कार्यक्रम था। इसमें लगभग 200 से ज्यादा महिलाएं व पुरुष पहुंचे थे। कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए आयोजक मंयक अनुरागी ने मुस्लिम लेडी एंकर बेबी इमरान को बुलाया था। इसके लिए पहले से ही पोस्टर लगाए गए थे। रात को प्रोग्राम शुरू होने से पहले एंकर सज धजकर पहुंच गई। पहले उनको गेट पर गार्डों ने रोक लिया। इस पर हंगामा हो गया और पुलिस को बुला लिया गया। समझाइश से मामला शांत हो गया और जैसे-तैसे एंकर बेबी इमरान स्टेज पर पहुंच गई। वे माइक थामकर प्रोग्राम को होस्ट करने लगी। एक मिनट बाद बंद हुआ माइक एंकर ने माइक पर बोलना शुरू कर दिया। एक मिनट भी नहीं हुआ था कि उनके माइक को बंद कर दिया गया। देखते ही देखते साउंड सिस्टम भी बंद हो गया और पूरे गार्डन की लाइट ऑफ हो गया। गार्डन में अंधेरा छा गया। गार्डन मालिक ने कहा कि जब तक एंकर रहेंगी, जनरेटर चालू नहीं होगा। काफी ड्रामा चला। जब एंकर गार्डन से चली गई तो प्रोग्राम शुरू हो पाया। एंकर बेबी इमरान का कहना है कि मैं गार्डन के अंदर आई तो कहा गया कि गार्डन मालिक को परेशान है, आप बाहर निकल जाइये। आयोजक मयंक अनुरागी पर प्रेशर बनाया गया कि एंकर बेबी इमरान रही तो जनरेटर स्टार्ट नहीं करेंगे। मुझसे क्या दिक्कत है। कलाकार की जाति नहीं होती। मैं अपनी लोक संस्कृति को आगे बढ़ा रही है। ये सब गलत है। वे स्नाथन धर्म को मानती है मंयक अनुरागी का कहना है कि प्रोग्राम में बेबी इमरान को होस्ट नहीं करने दिया। उनको जाने के लिए कहा गया। बेबी इमरान स्नातन धर्म को मानती है। ऐसा विवाद नहीं होना चाहिए। झांसी में डांडिया नाइट्स में मुस्लिम लेडी एंकर बुलाने पर हंगामा हो गया। पहले उनको गेट पर ही रोका गया। जैसे-तैसे वह स्टेज पर पहुंची और माइक थामकर प्रोग्राम को हॉस्ट करने लगी तो माइक बंद कर दिया गया। यहीं नहीं, साउंड सिस्टम भी ऑफ कर दिया गया और गार्डन की लाइट काट दी गई। इससे अंधेरा छा गया। काफी देर चले ड्रामे के बाद आखिरकार एंकर को बाहर जाना पड़ा। इसके बाद प्रोग्राम शुरू हो पाया। इस पूरे घटनाक्रम ने लेडी एंकर और आयोजकों ने नाराजगी जताई है। सबसे पहले 3 तस्वीर देखिए 200 से ज्यादा लोग पहुंचे थे नवरात्रि पर्व को लेकर जगह-जगह गरबा और डांडिया नाइट प्रोग्राम हो रहे हैं। बुधवार रात को नवाबाद थाना क्षेत्र में स्थित लक्ष्मी गार्डन में डांडिया नाइट का कार्यक्रम था। इसमें लगभग 200 से ज्यादा महिलाएं व पुरुष पहुंचे थे। कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए आयोजक मंयक अनुरागी ने मुस्लिम लेडी एंकर बेबी इमरान को बुलाया था। इसके लिए पहले से ही पोस्टर लगाए गए थे। रात को प्रोग्राम शुरू होने से पहले एंकर सज धजकर पहुंच गई। पहले उनको गेट पर गार्डों ने रोक लिया। इस पर हंगामा हो गया और पुलिस को बुला लिया गया। समझाइश से मामला शांत हो गया और जैसे-तैसे एंकर बेबी इमरान स्टेज पर पहुंच गई। वे माइक थामकर प्रोग्राम को होस्ट करने लगी। एक मिनट बाद बंद हुआ माइक एंकर ने माइक पर बोलना शुरू कर दिया। एक मिनट भी नहीं हुआ था कि उनके माइक को बंद कर दिया गया। देखते ही देखते साउंड सिस्टम भी बंद हो गया और पूरे गार्डन की लाइट ऑफ हो गया। गार्डन में अंधेरा छा गया। गार्डन मालिक ने कहा कि जब तक एंकर रहेंगी, जनरेटर चालू नहीं होगा। काफी ड्रामा चला। जब एंकर गार्डन से चली गई तो प्रोग्राम शुरू हो पाया। एंकर बेबी इमरान का कहना है कि मैं गार्डन के अंदर आई तो कहा गया कि गार्डन मालिक को परेशान है, आप बाहर निकल जाइये। आयोजक मयंक अनुरागी पर प्रेशर बनाया गया कि एंकर बेबी इमरान रही तो जनरेटर स्टार्ट नहीं करेंगे। मुझसे क्या दिक्कत है। कलाकार की जाति नहीं होती। मैं अपनी लोक संस्कृति को आगे बढ़ा रही है। ये सब गलत है। वे स्नाथन धर्म को मानती है मंयक अनुरागी का कहना है कि प्रोग्राम में बेबी इमरान को होस्ट नहीं करने दिया। उनको जाने के लिए कहा गया। बेबी इमरान स्नातन धर्म को मानती है। ऐसा विवाद नहीं होना चाहिए। उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर
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यूपी में सीजन में पहली बार कोल्ड-डे, पारा 4.3°:30 शहरों में कोहरा, विजिबिलिटी सिर्फ 5 मीटर; गलन से पहाड़ों जैसी ठंड का एहसास
यूपी में सीजन में पहली बार कोल्ड-डे, पारा 4.3°:30 शहरों में कोहरा, विजिबिलिटी सिर्फ 5 मीटर; गलन से पहाड़ों जैसी ठंड का एहसास यूपी में सर्दी का सितम जारी है। शरीर कंपाने वाली ठंड से लोग बेहाल हैं। गलन से पहाड़ों जैसी ठंड का एहसास हो रहा है। सीजन में पहली बार कोल्ड-डे का अलर्ट है। 24 घंटे में न्यूनतम तापमान 10 डिग्री से गिरकर 5 डिग्री पर पहुंच गया। शुक्रवार सुबह से 30 शहरों में कोहरा छाया हुआ है। कोहरे से आगरा रेलवे स्टेशन आने वाली ट्रेनें 7 घंटे तक लेट रहीं। बुलंदशहर में विजिबिलिटी 5 मीटर तक रह गई। गुरुवार की बात करें तो कानपुर सबसे सर्द जिला रहा। यहां का पारा न्यूनतम तापमान 4.3 डिग्री रिकॉर्ड किया गया। मौसम विभाग का कहना है कि आने वाले 5 दिन कड़ाके की ठंड पड़ेगी। मौसम की 3 तस्वीरें पश्चिमी हवाओं ने बढ़ाई ठंड
कानपुर की CSA यूनिवर्सिटी के मौसम वैज्ञानी डॉ. SN सुनील पांडेय ने बताया- हवा की रफ्तार 20-25 किमी प्रति घंटा तक पहुंच गई। पहाड़ों से आ रही पश्चिमी हवाओं ने लोगों को बेहाल कर दिया है। तेज उत्तर-पश्चिमी हवाएं चलती रहेंगी। 4 से 6 जनवरी के बीच एक पश्चिमी विक्षोभ फिर आ रहा है, जो कड़ाके की ठंड से थोड़ी राहत देगा। अब शहरों का हाल जानिए- लखनऊ में तेज ठंडी हवाओं ने बढ़ाई सिहरन लखनऊ में कड़ाके की ठंड पड़ रही है। पहाड़ों पर हुई बर्फबारी का असर शहर में देखने को मिल रहा है। बर्फीली हवाओं ने गलन बढ़ा दी है। शुक्रवार तड़के 3 बजे लखनऊ का तापमान 8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। आज दिन का अधिकतम टेंपरेचर करीब 19 डिग्री रहेगा। पढ़ें पूरी खबर अयोध्या में कोहरा, पारा 5.5°C अयोध्या में कोहरा छाया हुआ है। सर्द हवाएं चल रही हैं। गुरुवार को पारा लुढ़कर 5.5°C पहुंच गया। 4.4 किलोमीटर प्रति घंटे की स्पीड से हवा चली। आचार्य नरेंद्र देव कृषि विश्वविद्यालय के मौसम वैज्ञानिक डॉ अमरनाथ मिश्रा ने बताया आसमान साफ न होने से शुष्क सर्दी परेशान कर रही है। बारिश के आसार नहीं है। आने वाले दिनों और ठंड बढ़ेगी। पढ़ें पूरी खबर कानपुर में बादल छाए, गलन बढ़ी कानपुर में सुबह से घने बादल छाए हुए हैं। हालांकि, बारिश के आसार नहीं है। रात का तापमान 4.3 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया। पहाड़ों जैसी गलन का एहसास हो रहा है। मेरठ में कोहरा छाया, पारा 8.8 डिग्री मेरठ में शीतलहर का असर कम नहीं हो रहा है। गुरुवार को दिन में रात जैसी ठंड का एहसास बना रहा। सूरज कुछ देर के लिए ही निकला। आज सुबह से हल्का कोहरा छाया हुआ है। पारा 8.8 डिग्री तक रिकॉर्ड किया गया। पढ़ें पूरी खबर जौनपुर में कोहरा छाया, विजिबिलिटी 50 मीटर जौनपुर में कोहरा छाया हुआ है। विजिबिलिटी करीब 50 मीटर तक रह गई है। सर्द हवाओं से गलन बढ़ गई। लोग अलावा का सहारा ले रहे हैं। सुबह न्यूनतम पार 7 डिग्री रिकॉर्ड किया गया। पढ़ें पूरी खबर कोहरे से आगरा आने वाली ये ट्रेनें लेट क्या है कोल्ड-डे
कोल्ड-डे का मतलब होता है- जब न्यूनतम तापमान 10.0 डिग्री सेल्सियस से कम हो। अधिकतम तापमान सामान्य से कम से कम 4.4 डिग्री सेल्सियस कम हो। इस स्थिति को कोल्ड डे कहा जाता है। इसके अलावा गंभीर ठंडा दिन या शीत दिवस तब माना जाता है, जब अधिकतम तापमान सामान्य से कम से कम 6.5 डिग्री नीचे होता है। ठंड से बचने के लिए ये सावधानी बरतें
ठंड से बचने के लिए हेल्थ एक्सपर्ट्स ने लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है। डॉक्टरों ने बुजुर्गों, बच्चों और पहले से बीमार लोगों को विशेष सावधानी बरतने को कहा है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार, ठंड से बचने के लिए इन बातों का ध्यान रखना जरूरी है। ——————————– यह खबर भी पढ़िए… नए साल के 6 हेल्थ रेजोल्यूशंस:फॉलो करने में नहीं लगेगी मेहनत, दिमाग तेज होगा, चेहरा चमकेगा, बीमारियां रहेंगी दूर हम नई उम्मीदों और संभावनाओं के साथ नए साल में प्रवेश कर रहे हैं। हर कोई नए साल में कुछ रेजोल्यूशन लेता है। मकसद एक ही होता है, जीवन को बेहतर बनाना। मसलन स्टूडेंट्स बेहतर शेड्यूल के साथ पढ़ाई करने का रेजोल्यूशन लेते हैं। जो कॉर्पोरेट में काम कर रहे हैं, वे टाइम पर प्रोजेक्ट पूरे कर प्रमोशन पाने का रेजोल्यूशन लेते हैं। पढ़ें पूरी खबर…
लता-रफी के दीवाने हैं पाकिस्तानी:लंदन की उस स्ट्रीट पर भारतीय और पाकिस्तानी युवा साथ-साथ!
लता-रफी के दीवाने हैं पाकिस्तानी:लंदन की उस स्ट्रीट पर भारतीय और पाकिस्तानी युवा साथ-साथ! यह मेरी जिंदगी की सबसे यादगार शामों में से एक थी। मैंने लंदन की ऑक्सफोर्ड स्ट्रीट पर एक युवा और प्रतिभाशाली गायक अनुराग कुमार के साथ भारतीयों और पाकिस्तानियों को एकसाथ गाते हुए देखा। कल्पना कीजिए कि आप दिसंबर की ठंडी शाम में लंदन की सड़क पर चल रहे हैं और अचानक कोई आपके पसंदीदा गीत को गिटार के साथ गाता हुआ मिलता है। मैं इस गायक से पहली बार मिला, लेकिन उसने मेरी शाम को अविस्मरणीय बना दिया। मैं आमतौर पर सड़कों पर तस्वीरें नहीं खींचता हूं, लेकिन उस ठंडी शाम मैं अनुराग कुमार का वीडियो बना रहा था, क्योंकि उनके गीतों के बोल मेरे दिल को छू रहे थे। मैं दरअसल, एक कॉन्फ्रेंस के लिए लंदन गया था। कॉन्फ्रेंस में भाग लेने के बाद मैं अपने होटल की ओर लौट रहा था, जो मार्बल आर्च के पास ही था। मैंने अपनी पत्नी के साथ एडगवेयर रोड पर स्थित एक ईरानी रेस्टॉरेंट में डिनर का प्लान बनाया था, जो होटल में मेरा इंतजार कर रही थीं। तभी मैंने सुना, ‘तुझसे नाराज नहीं जिंदगी, हैरान हूं मैं।’ ये शब्द परदेस में एक पुराने सखा की पुकार जैसे थे। कुछ सौ मीटर चलने के बाद मैंने देखा कि एक युवा लड़का इस खूबसूरत गीत को ऑक्सफोर्ड स्ट्रीट पर गा रहा था और उसके चारों ओर बहुत से लोग नाच रहे थे। इनमें ज्यादातर युवतियां थीं। मुझे एहसास हुआ कि यह भीड़ भारतीयों और पाकिस्तानियों का मिश्रण थी। वे एक-दूसरे को नहीं जानते थे, लेकिन संगीत की सार्वभौमिक भाषा ने उन्हें पुराने दोस्तों की तरह जोड़ दिया था। एक पाकिस्तानी महिला, जो काले बुर्के में थी, अपने रिश्तेदारों को वीडियो कॉल पर सड़क पर हो रहे इस संगीत के कार्यक्रम को दिखा रही थी और बड़े दिलचस्प तरीके से कह रही थी, ‘बड़ा मजा आ रहा है। इंडियन और पाकिस्तानी डांस कर रहे हैं। मैं भी थोड़ा डांस कर लूं?’ अनुमति मिलने पर वह भी बाकी लोगों के साथ नाचने लगी। एक भारतीय महिला बड़े पर्स के साथ डांस कर रही थी। अचानक भीड़ में से एक अफ्रीकी आदमी आया और उसका पर्स छीनकर भागने लगा। उसी भीड़ के दो लड़कों ने उसका पीछा किया। हर कोई परेशान हो गया। कुछ मिनटों के बाद वे दोनों लड़के लौटे और भारतीय महिला का पर्स वापस कर दिया। उसने अपनी चीजें चेक कीं। सबकुछ सुरक्षित था। वहां मौजूद हर किसी ने उन साहसी लड़कों के लिए तालियां बजाईं।ये दोनों पाकिस्तानी लड़के किंग्स कॉलेज लंदन के छात्र थे। उन्होंने वहां मौजूद सभी भारतीयों का दिल जीत लिया था। अब वे फिर से नाचने लगे थे। मैं उस रोमांचक भीड़ के साथ एक घंटे से भी अधिक समय रहा। फिर मेरी पत्नी का फोन आ गया। उन्होंने याद दिलाया कि हमें लंदन के चिंगफोर्ड इलाके में मेरे दोस्त जावेद मीर के परिवार के साथ डिनर के लिए जाना है। जब हम चिंगफोर्ड पहुंचे तो जावेद हमें ‘कहानी’ नाम के एक रेस्टॉरेंट में ले गए। रेस्टॉरेंट के भारतीय मैनेजर अरमान सिंह ने फूलों का गुलदस्ता देकर मेरा स्वागत किया। स्टाफ में ज्यादातर भारतीय थे। मुझे बताया गया कि इसके मालिक असद चौधरी लाहौर से हैं और उन्होंने सबसे अच्छे भारतीय शेफ्स और कुक्स को काम पर रखा है, क्योंकि अधिकतर ग्राहक समोसा चाट, दही बड़ा और पकौड़ों के शौकीन हैं। भारतीय कुक्स शाकाहारी व्यंजनों में माहिर हैं और पाकिस्तानी कुक्स मांसाहारी व्यंजनों में। मेरे दोस्त जावेद, जो लंदन के एक बहुत सफल वकील हैं, ने बताया कि लंदन में हर जगह भारतीय और पाकिस्तानी संयुक्त व्यवसाय कर रहे हैं। अगले दिन मैंने ईलिंग्स इलाके में भारतीय व्यापारी विनॉय बेदी से मुलाकात की। वे ‘वीकेएस’ नामक एक बड़ी स्पोर्ट्स कंपनी के मालिक हैं। उनके पाकिस्तानी पार्टनर मियां नवेद ने मेरा उनसे परिचय कराया, जो उनके उत्पाद इस्लामाबाद भेजते हैं। मैं मार्बल आर्च के पास स्थित थिसल होटल में ठहरा हुआ हूं। यहां के ज्यादातर स्टाफ सदस्य भारतीय हैं। वे मेरी बहुत अच्छी देखभाल कर रहे हैं, क्योंकि मैं उनकी भाषा में संवाद कर सकता हूं। भारतीय और पाकिस्तानी सिर्फ लंदन में ही नहीं, बल्कि पूरे यूरोप, अमेरिका और कनाडा में एक साथ गाते हैं। वे पूरे मध्य पूर्व में एक साथ खाना खाते हैं। वे दुनिया के हर कोने में संयुक्त व्यवसाय करते हैं, लेकिन अपने देशों में एक-दूसरे से समस्या रखते हैं।
पाकिस्तानी लता मंगेशकर और मोहम्मद रफी के दीवाने हैं। भारतीय लोग नुसरत फतेह अली खान और नूरजहां के शौकीन हैं। वे एक-दूसरे को पसंद करते हैं, लेकिन भारत और पाकिस्तान में क्रिकेट नहीं खेल सकते। यह एक बड़ा विरोधाभास है। लेकिन दिसंबर की ठंडी शाम में मुझे एहसास हुआ कि विदेशों में रहने वाली हमारी अगली पीढ़ी इस विरोधाभास को स्वीकार करने के लिए तैयार नहीं है। ————— ये कॉलम भी पढ़ें… पाकिस्तानी फ़ौज के गले की हड्डी बन गए हैं इमरान!:ख़ान के बारे में सभी अंदाजे ग़लत साबित हुए; ऐसी स्थिति तीसरी बार बनी
बटाला में दो दिन पहले पंच बनी महिला की मौत:बेटी बोली- हार्ट अटैक आया, घर में कराया था श्री सुखमनी साहिब का पाठ
बटाला में दो दिन पहले पंच बनी महिला की मौत:बेटी बोली- हार्ट अटैक आया, घर में कराया था श्री सुखमनी साहिब का पाठ बटाला के कस्बा फतेहगड चुडिया के गांव समराये में दो दिन पहले ही बिना मुकाबला सरपंच बनी महिला की दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई। लोगो के अनुसार, महिला सुरजीत कौर ने गांव के विकास के लिए हमेशा काम किया। जानकारी के मुताबिक, फतेहगढ़ चुडिया के गांव समराये की वेद्ध महिला सुरजीत कौर दो दिन पहले ही बिना मुकाबला गांव की पंच चुनी गई थी, जिसको लेकर गांव निवासी भी बहुत खुश थे, सुरजीत कौर की बेटी ने बताया कि मां के चुनाव को लेकर वह घर आई हुई थी और उनके पंच बनने के बाद कल ही वापिस अपने ससुराल चली गई। आज सुबह ही सुचना मिली कि दिल का दौरा पड़ गया है और उन्हें फतेहगढ चुडिया के अस्पताल में ले जाया गया, जहां पर उनको मृत घोषित कर दिया गया। गांव निवासी निरंजन सिंह ने बताया कि पंच बनने के बाद महिला बहुत खुश थी और घर में श्री सुखमनी साहिब का पाठ भी करवाया, लेकिन वाहेगुरू को कुछ और ही मंजूर था, अगर सुरजीत कौर हमारे बीच होती तो निश्चित ही वो आने वाले दिनों में गांव के लिए बहुत कुछ करती।