मुरादाबाद रेल मंडल के शाहजहांपुर, लखनऊ, रोजा और सीतापुर में डबल रेल लाइन, रोजा स्टेशन पर यार्ड रिमाडलिंग और प्री नान इंटर लॉकिंग का काम होना है। जिसमें लिए रेलवे ने ये ब्लॉक लिया है। ये ब्लाक सात जुलाई से 5 अगस्त तक रहेगा। 21 जुलाई से सात अगस्त तक अलग-अलग तारीखों में ट्रेनों को रद्द किया गया है। इस कारण मुरादाबाद रेल मंडल से निकलने वाली 60 ट्रेनों को निरस्त रखने घोषणा रेलवे ने कर दी है। इनमें 28 ट्रेनें सहारनपुर से गुजरने वाली है। रेलवे अधिकारियों के अनुसार, दो, तीन और चार अगस्त को कोलकाता-जम्मूतवी एक्सप्रेस कोलकाता से दो से चार घंटे लेट चलाई जाएगी। जम्मूतवी-कोलकाता एक्सप्रेस एक, दो और तीन अगस्त को दो से तीन घंटे चलेंगी। ये ट्रेन रहेंगी निरस्त मुरादाबाद रेल मंडल के शाहजहांपुर, लखनऊ, रोजा और सीतापुर में डबल रेल लाइन, रोजा स्टेशन पर यार्ड रिमाडलिंग और प्री नान इंटर लॉकिंग का काम होना है। जिसमें लिए रेलवे ने ये ब्लॉक लिया है। ये ब्लाक सात जुलाई से 5 अगस्त तक रहेगा। 21 जुलाई से सात अगस्त तक अलग-अलग तारीखों में ट्रेनों को रद्द किया गया है। इस कारण मुरादाबाद रेल मंडल से निकलने वाली 60 ट्रेनों को निरस्त रखने घोषणा रेलवे ने कर दी है। इनमें 28 ट्रेनें सहारनपुर से गुजरने वाली है। रेलवे अधिकारियों के अनुसार, दो, तीन और चार अगस्त को कोलकाता-जम्मूतवी एक्सप्रेस कोलकाता से दो से चार घंटे लेट चलाई जाएगी। जम्मूतवी-कोलकाता एक्सप्रेस एक, दो और तीन अगस्त को दो से तीन घंटे चलेंगी। ये ट्रेन रहेंगी निरस्त उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर
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संजौली मस्जिद मामला-जिला-कोर्ट में सुनवाई आज:मुस्लिम वेलफेयर सोसाइटी ने दी चुनौती; आयुक्त के आदेशों को डिफैक्टेड बताया, तोड़ने के आदेशों पर मांगा स्टे
संजौली मस्जिद मामला-जिला-कोर्ट में सुनवाई आज:मुस्लिम वेलफेयर सोसाइटी ने दी चुनौती; आयुक्त के आदेशों को डिफैक्टेड बताया, तोड़ने के आदेशों पर मांगा स्टे हिमाचल की राजधानी शिमला की संजौली मस्जिद को गिराने के नगर निगम (MC) आयुक्त के आदेशों पर स्टे वाली याचिका पर आज जिला कोर्ट में सुनवाई होगी। कोर्ट ऑल हिमाचल मुस्लिम ऑर्गेशनाइजेशन की याचिका की मैटेनेबिलिटी को लेकर फैसला सुना सकता है। दरअसल, मुस्लिम वेलफेयर सोसाइटी ने MC आयुक्त के 5 अक्टूबर को मस्जिद के ऊपर वाली तीन मंजिल तोड़ने के आदेशों को डिफैक्टेड बताते हुए स्टे की मांग की है। 6 नवंबर की सुनवाई के दौरान कोर्ट ने स्टे देने से इनकार कर दिया था और MC से मस्जिद से जुड़ा रिकॉर्ड मांगा। याचिका में MC कोर्ट के फैसले को बताया डिफैक्टेड ऑल हिमाचल मुस्लिम ऑर्गेशनाइजेशन प्रमुख नजाकत अली ने याचिका में कहा कि MC आयुक्त ने यह फैसला संजौली मस्जिद कमेटी द्वारा दिए गए हलफनामे के आधार पर सुनाया है। उन्होंने दावा किया कि संजौली मस्जिद कमेटी रजिस्टर नहीं है। ऐसे में उसके अध्यक्ष मोहम्मद लतीफ की ओर से दिया गया हलफनामा सही नहीं है। नजाकत अली का दावा है कि उन्होंने मस्जिद बनाने के लिए पैसा दिया था। इसलिए वह भी पीड़ित पक्ष है। उन्हें सुना जाना चाहिए और मस्जिद की तीन मंजिल गिराने के फैसले पर स्टे दिया जाए। 5 अक्टूबर को आया था नगर निगम आयुक्त कोर्ट का फैसला संजौली मस्जिद मामले में MC आयुक्त कोर्ट ने बीते 5 अक्टूबर को फैसला सुनाया था। कोर्ट ने मस्जिद की 3 अवैध मंजिल हटाने के आदेश दिए थे। इसके बाद मस्जिद कमेटी ने अवैध हिस्से को हटाने का काम भी शुरू कर दिया है। मस्जिद की एटिक यानी छत को हटाने का काम पूरा हो गया है। अब टॉप की मंजिल की दीवारों को तोड़ा जाना है। इस बीच मुस्लिम वेलफेयर सोसायटी ने कोर्ट में मामले को चुनौती दी है। संजौली मस्जिद कमेटी अपने खर्चे पर ऊपर की 3 मंजिलें तुड़वाने का काम कर रही है। हाईकोर्ट ने 8 सप्ताह में मामले को निपटाने के आदेश दिए शिमला MC आयुक्त की कोर्ट में यह केस 2010 से चल रहा है। इसे देखते हुए लोकल रेजिडेंट ने 21 अक्टूबर को एक याचिका हाईकोर्ट में दायर की और जल्दी फैसला सुनाने के लिए MC आयुक्त को निर्देश देने का आग्रह किया। इस पर हिमाचल हाईकोर्ट ने MC आयुक्त को 8 सप्ताह के भीतर केस निपटाने के आदेश दिए। इन आदेशों के अनुसार, MC आयुक्त को 20 दिसंबर तक संजौली मस्जिद का केस निपटाना है। संजौली मस्जिद से पूरे प्रदेश में हुआ था विवाद संजौली मस्जिद के कारण पूरे प्रदेश में बवाल मचा था। शिमला के बाद सोलन, मंडी, कुल्लू और सिरमौर जिला में भी जगह-जगह मस्जिद मामले में हिंदू संगठनों ने प्रदर्शन किए और अवैध रूप से बनी मस्जिदों को गिराने की मांग उठाई। इससे पूरे प्रदेश में माहौल तनावपूर्ण हो गया। इस बीच बीते 12 सितंबर को संजौली मस्जिद कमेटी ने खुद नगर निगम आयुक्त से मिलकर अवैध रूप से बनी ऊपर की मंजिल को हटाने की पेशकश की। इसके बाद हिंदू संगठन शांत हुए। निगम आयुक्त के मस्जिद की तीन मंजिल तोड़ने के आदेशों के बाद यह मामला पूरी तरह शांत हो गया।
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करनाल में नेशनल हाईवे पर ट्राले में घुसी कार:एक की मौत, दूसरे की हालत गंभीर, कड़ी मशक्कत के बाद निकाला बाहर करनाल के झिलमिल ढाबा के नजदीक नेशनल हाईवे-44 पर एक हादसा हो गया। दिल्ली से चंडीगढ़ की ओर जा रही एक कार अनियंत्रित होकर ट्राले में घुस गई। हादसे में कार सवार एक व्यक्ति की मौत हो गई, जबकि चालक गंभीर रूप से घायल हो गया। हादसा इतना भीषण था कि कार बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई, और मृतक गाड़ी में ही फंस गया। घटनास्थल पर पहुंची पुलिस ने कड़ी मशक्कत के बाद शव को बाहर निकाला और पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। घायल चालक को भी इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। दिल्ली से जा रहे थे चंडीगढ़ मृतक की पहचान दिल्ली के छतरपुर निवासी अश्वनी (39) के रूप में हुई है, जो अपने दोस्त अमन के साथ छतरपुर से चंडीगढ़ जा रहा था। जब वह करनाल के झिलमिल ढाबा के पास पहुंचे तो ट्राले के आगे चल रही गाड़ी ने अचानक ब्रेक लगाए, जिसके चलते ट्राला चालक को भी ब्रेक लगाने पड़े। इसी दौरान कार ट्राले से टकरा गई और ड्राइवर के साथ वाली सीट पर बैठे अश्वनी की मौके पर ही मौत हो गई। क्रेन की मदद से निकाला शव बाहर हादसे की सूचना के बाद सदर थाना पुलिस मौके पर पहुंची और गाड़ी से पहले अमन को बाहर निकाला और उसे इलाज के लिए अस्पताल भेजा। लेकिन इस दौरान अश्वनी को बाहर नहीं निकाला जा सका। बाद में क्रेन की मदद से गाड़ी को ट्राले के नीचे निकाला। करीब 30 मिनट बाद कड़ी मशक्कत से गड़ी की खिड़की तोड़कर अश्वनी के शव को बाहर निकाला। परिजनों की दी गई सूचना सदर थाना से जांच अधिकारी विकास ने बताया कि आरोपी पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम हाउस में रखवा दिया है। वहीं घायल का इलाज करनाल के कल्पना चावला मेडिकल कॉलेज में चल रहा है। परिजनों को मामले की सूचना दे दी गई है। उनके आने के बाद पोस्टमॉर्टम करा शव परिजनों के हवाले कर दिया जाएगा। फिलहाल दोनों वाहनों को कब्जे में लेकर आगामी कार्रवाई शुरू कर दी है।
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80 लाख की चांदी लेकर कारीगर फरार:आगरा में 5 ज्वैलर्स ने पायल बनाने को दी थी 136 किलो चांदी, पुलिस ने शुरू की तलाश आगरा में 5 ज्वैलर्स की 80 लाख की चांदी लेकर पायल बनाने का कारीगर परिवार सहित फरार हो गया है। ज्वैलर्स ने डीसीपी सिटी से मुलाकात कर शिकायत की। मुकदमा दर्ज करने के बाद कारीगर की तलाश पुलिस ने शुरू कर दी है। आगरा चांदी की पायल के लिए एशिया का सबसे बड़ा बाजार है, ज्वैलर्स कच्ची चांदी से पायल तैयार कराते हैं। शहर के पुराने इलाके में दर्जनों पायल के कारखाने हैं। बेगम ढियोड़ी में सुहेलुद्दीन उर्फ ईसी का पायल बनाने का कारखाना है। सुहेलुद्दीन इन पांचों ज्वैलर्स के यहां काम भी करता है और अपने घर के कारखाने में पायल भी बनाता है। सुहेलुद्दीन को पायल तैयार करने के लिए वैष्णवी इंटरप्राइजेज के मयंक अग्रवाल, जया पायल के तरुन मित्तल, एसटीसी इंडस्ट्रीज के रोहित सिंघल, बालाजी आर्नामेंटस के नितिन किशोर, एमएच सिल्वर के मुकेश अग्रवाल ने पायल बनाने के लिए 136 किलो कच्ची चांदी दी थी। इसकी कीमत करीब 80 लाख है। बंद था फोन और घर 28 मई को ज्वैलर्स को सुहेलुद्दीन ने पायल तैयार कर देने का वायदा किया था। लेकिन पायल ज्वैलर्स को नहीं मिली। उन्होंने फोन किया तो फोन बंद था। कारखाने पर जाकर देखा तो ताला लटका हुआ था और कारखाना मालिक सुहेलुद्दीन अपने भाई जोएब उर्फ बिन्नी, अजीम, उमेर, पिता हसीनउद्दीन सहित अन्य परिजनों के साथ फरार हो गया था। जब पायल कारखाना मालिक का कोई पता नहीं चला तो ज्वैलर्स डीसीपी सिटी सूरज कुमार राय से मिले। इस मामले में थाना कोतवाली में मुकदमा दर्ज कर पुलिस ने तलाश शुरू कर दी है।