रूपनगर में 200 गांव में जल संकट पर प्रदर्शन:लोग बोले- साढ़े तीन सालों से यही हाल, पंजाब दूसरों को पानी दे रहा अपने यहां नहीं

रूपनगर में 200 गांव में जल संकट पर प्रदर्शन:लोग बोले- साढ़े तीन सालों से यही हाल, पंजाब दूसरों को पानी दे रहा अपने यहां नहीं

रूपनगर जिले के लगभग 200 गांव पिछले साढ़े तीन सालों से नहरी पानी के लिए संघर्ष कर रहे हैं। नंगल डैम मोजोंवाल से नूरपुर बेदी ब्लॉक के टिब्बा टपरिया गांव तक के क्षेत्र में स्थित इन गांवों की पंचायतों ने नहर निर्माण के लिए प्रस्ताव पारित कर सरकार को भेजे हैं, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है। आज, पंजाब मोर्चा के कन्वीनर गौरव राणा के नेतृत्व में किरतपुर साहिब लोखंड पर प्रदर्शन किया गया। पंजाब मोर्चा के वरिष्ठ नेता कुलदीप सिंह राणा ने कहा कि जहां एक ओर पंजाब का पानी अन्य राज्यों को दिया जा रहा है, वहीं अपने ही राज्य के गांव प्यासे हैं। नूरपुर बेदी ब्लॉक की 67 पंचायतों ने ऊपरी घाट से नहर निर्माण की मांग को लेकर प्रस्ताव पारित किए हैं। नेताओं का कहना है कि पंजाब और हरियाणा के बीच जल विवाद के समय पंजाब के अपने गांवों की प्यास की ओर ध्यान दिया जाना चाहिए। राणा ने कहा कि यदि पहले पंजाब के सभी गांवों को नहरी पानी से जोड़ दिया जाए, तो बचे हुए पानी को अन्य राज्यों में भेजने पर कोई आपत्ति नहीं होगी। उन्होंने मांग की है कि सरकार इस मुद्दे को गंभीरता से ले और जल्द से जल्द नहर निर्माण कार्य शुरू करे। रूपनगर जिले के लगभग 200 गांव पिछले साढ़े तीन सालों से नहरी पानी के लिए संघर्ष कर रहे हैं। नंगल डैम मोजोंवाल से नूरपुर बेदी ब्लॉक के टिब्बा टपरिया गांव तक के क्षेत्र में स्थित इन गांवों की पंचायतों ने नहर निर्माण के लिए प्रस्ताव पारित कर सरकार को भेजे हैं, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है। आज, पंजाब मोर्चा के कन्वीनर गौरव राणा के नेतृत्व में किरतपुर साहिब लोखंड पर प्रदर्शन किया गया। पंजाब मोर्चा के वरिष्ठ नेता कुलदीप सिंह राणा ने कहा कि जहां एक ओर पंजाब का पानी अन्य राज्यों को दिया जा रहा है, वहीं अपने ही राज्य के गांव प्यासे हैं। नूरपुर बेदी ब्लॉक की 67 पंचायतों ने ऊपरी घाट से नहर निर्माण की मांग को लेकर प्रस्ताव पारित किए हैं। नेताओं का कहना है कि पंजाब और हरियाणा के बीच जल विवाद के समय पंजाब के अपने गांवों की प्यास की ओर ध्यान दिया जाना चाहिए। राणा ने कहा कि यदि पहले पंजाब के सभी गांवों को नहरी पानी से जोड़ दिया जाए, तो बचे हुए पानी को अन्य राज्यों में भेजने पर कोई आपत्ति नहीं होगी। उन्होंने मांग की है कि सरकार इस मुद्दे को गंभीरता से ले और जल्द से जल्द नहर निर्माण कार्य शुरू करे।   पंजाब | दैनिक भास्कर