सहारनपुर में दो सगे भाइयों को उम्रकैद की सजा:6 साल पहले एक युवक के पेट में छुरा मारकर कर दी थी हत्या, भाई की मजदूरी के पैसे मांगने गया था मृतक

सहारनपुर में दो सगे भाइयों को उम्रकैद की सजा:6 साल पहले एक युवक के पेट में छुरा मारकर कर दी थी हत्या, भाई की मजदूरी के पैसे मांगने गया था मृतक

सहारनपुर कोर्ट ने हत्या के मामले में दो सगे भाइयों को दोषी करार दिया है। कोर्ट ने दोनों अभियुक्तों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। कोर्ट ने दोनों अभियुक्त भाइयों पर 2.60 लाख रुपए का अर्थदंड लगाया है। अभियुक्तों से वसूले गए अर्थदंड का आधा हिस्सा पीड़ित पक्ष को बतौर प्रतिकार दिया जाएगा। अपर सत्र न्यायाधीश प्रकाश तिवारी की कोर्ट ने 6 साल पुराने में पत्रावली पर आए साक्ष्यों और गवाहों की गवाही के बाद फैसला सुनाया है। सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता दीपक सैनी ने बताया कि थाना कुतुबशेर के मोहल्ला धोबीवाला के रहने वाले अकरम ने 22 जून 2018 को मुकदमा दर्ज कराया था। कहा था कि वादी लकड़ी पर नक्काशी का काम करता हैं। आरोपी नईम उससे काम कराता था। नईम पर मजदूरी के 20 हजार रुपए थे। अकरम ने कई बार रुपए मांगे। नईम ने ईद के बाद रुपए देने को कहा। 22 जून 2018 को अकरम मजदूरी के नईम से रुपए लेने गया था। नईम ने उससे गाली-गलौच कर दी। अकरम ने अपने भाई बिलाल को बुलाया। कुछ ही देर में नईम का भाई अनीस भी वहां आ गया। अनीस ने बिलाल को पकड़ा और नईम ने बिलाल के पेट में छुरा घोंप दिया। बिलाल की मौत हो गई। पुलिस ने हत्या व गंभीर चोट पहुंचाने जैसी धाराओं में मामला दर्ज किया। साथ ही आयुद्ध अधिनियम में भी रिपोर्ट लिखी। दोनों पक्षों की बहस सुनने तथा पत्रावली पर आए साक्ष्यों के आधार पर न्यायाधीश प्रकाश तिवारी ने नईम व अनीस को हत्या का दोषी करार दिया है। अनीस को आयुध अधिनियम में भी दोषी ठहराया गया। सहारनपुर कोर्ट ने हत्या के मामले में दो सगे भाइयों को दोषी करार दिया है। कोर्ट ने दोनों अभियुक्तों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। कोर्ट ने दोनों अभियुक्त भाइयों पर 2.60 लाख रुपए का अर्थदंड लगाया है। अभियुक्तों से वसूले गए अर्थदंड का आधा हिस्सा पीड़ित पक्ष को बतौर प्रतिकार दिया जाएगा। अपर सत्र न्यायाधीश प्रकाश तिवारी की कोर्ट ने 6 साल पुराने में पत्रावली पर आए साक्ष्यों और गवाहों की गवाही के बाद फैसला सुनाया है। सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता दीपक सैनी ने बताया कि थाना कुतुबशेर के मोहल्ला धोबीवाला के रहने वाले अकरम ने 22 जून 2018 को मुकदमा दर्ज कराया था। कहा था कि वादी लकड़ी पर नक्काशी का काम करता हैं। आरोपी नईम उससे काम कराता था। नईम पर मजदूरी के 20 हजार रुपए थे। अकरम ने कई बार रुपए मांगे। नईम ने ईद के बाद रुपए देने को कहा। 22 जून 2018 को अकरम मजदूरी के नईम से रुपए लेने गया था। नईम ने उससे गाली-गलौच कर दी। अकरम ने अपने भाई बिलाल को बुलाया। कुछ ही देर में नईम का भाई अनीस भी वहां आ गया। अनीस ने बिलाल को पकड़ा और नईम ने बिलाल के पेट में छुरा घोंप दिया। बिलाल की मौत हो गई। पुलिस ने हत्या व गंभीर चोट पहुंचाने जैसी धाराओं में मामला दर्ज किया। साथ ही आयुद्ध अधिनियम में भी रिपोर्ट लिखी। दोनों पक्षों की बहस सुनने तथा पत्रावली पर आए साक्ष्यों के आधार पर न्यायाधीश प्रकाश तिवारी ने नईम व अनीस को हत्या का दोषी करार दिया है। अनीस को आयुध अधिनियम में भी दोषी ठहराया गया।   उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर