<p style=”text-align: justify;”>नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने भारत-पाकिस्तान के बीच युद्धविराम (Ceasefire) के ऐलान का स्वागत किया. शनिवार (10 मई) को शाम पांच बजे से दोनों देशों के बीच फायरिंग और सैन्य कार्रवाई न करने पर सहमति बनी है. उन्होंने कहा कि भरोसे की खाई पाटने की असली जिम्मेदारी इस्लामाबाद (पाकिस्तान) पर है. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान को भारत के बॉर्डर पर आतंकवाद से जुड़ी चिंताओं का समाधान निकालना होगा. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>दुश्मनी खत्म करना बहुत जरूरी- फारूक अब्दुल्ला</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>न्यूज़ एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, एक बयान में फारूक अब्दुल्ला ने जोर किया कि दुश्मनी को खत्म करना बहुत जरूरी है. उन्होंने कहा कि इसका सबसे अधिक असर जम्मू-कश्मीर के एलओसी और इंटरनेशनल बॉर्डर के पास रहने वालों लोगों पर हुआ है. उन्होंने सीजफायर का समर्थन करते हुए कि मौजूदा हालात का लोगों और उनकी संपत्ति पर गहरा असर पड़ा है. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’यह कदम लोगों की पीड़ा को कम करेगा'</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>फारूक अब्दु्लला ने कहा, “एलओसी और अंतर्राष्ट्रीय के पास रहने वाले हमारे लोग दोनों देशों के बीच बिगड़ते हालात का सबसे अधिक खामियाजा भुगतते आए हैं. यह कदम हमारे लोगों की पीड़ा को काफी हद तक कम करेगा, जो अब तक इस संघर्ष की चपेट में थे.”</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’हमारी पार्टी दोस्ती की पक्षधर रही है'</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>इसके साथ ही उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी हमेशा भारत और पाकिस्तान के बीच स्थायी दोस्ती की पक्षधर रही है. हालांकि, उन्होंने दोहराया कि भरोसे को बहाल करने की प्राथमिक जिम्मेदारी पाकिस्तान की है.</p> <p style=”text-align: justify;”>नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने भारत-पाकिस्तान के बीच युद्धविराम (Ceasefire) के ऐलान का स्वागत किया. शनिवार (10 मई) को शाम पांच बजे से दोनों देशों के बीच फायरिंग और सैन्य कार्रवाई न करने पर सहमति बनी है. उन्होंने कहा कि भरोसे की खाई पाटने की असली जिम्मेदारी इस्लामाबाद (पाकिस्तान) पर है. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान को भारत के बॉर्डर पर आतंकवाद से जुड़ी चिंताओं का समाधान निकालना होगा. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>दुश्मनी खत्म करना बहुत जरूरी- फारूक अब्दुल्ला</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>न्यूज़ एजेंसी पीटीआई के मुताबिक, एक बयान में फारूक अब्दुल्ला ने जोर किया कि दुश्मनी को खत्म करना बहुत जरूरी है. उन्होंने कहा कि इसका सबसे अधिक असर जम्मू-कश्मीर के एलओसी और इंटरनेशनल बॉर्डर के पास रहने वालों लोगों पर हुआ है. उन्होंने सीजफायर का समर्थन करते हुए कि मौजूदा हालात का लोगों और उनकी संपत्ति पर गहरा असर पड़ा है. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’यह कदम लोगों की पीड़ा को कम करेगा'</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>फारूक अब्दु्लला ने कहा, “एलओसी और अंतर्राष्ट्रीय के पास रहने वाले हमारे लोग दोनों देशों के बीच बिगड़ते हालात का सबसे अधिक खामियाजा भुगतते आए हैं. यह कदम हमारे लोगों की पीड़ा को काफी हद तक कम करेगा, जो अब तक इस संघर्ष की चपेट में थे.”</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’हमारी पार्टी दोस्ती की पक्षधर रही है'</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>इसके साथ ही उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी हमेशा भारत और पाकिस्तान के बीच स्थायी दोस्ती की पक्षधर रही है. हालांकि, उन्होंने दोहराया कि भरोसे को बहाल करने की प्राथमिक जिम्मेदारी पाकिस्तान की है.</p> जम्मू और कश्मीर ‘देश में आवश्यक वस्तुओं की कमी न पड़ जाए’, अखिलेश यादव ने सरकार से की ये अपील
सीजफायर पर पाकिस्तान का जिक्र कर फारूक अब्दुल्ला का बड़ा बयान, ‘हमारी पार्टी हमेशा…’
