हरियाणा कांग्रेस में सीएम पद को लेकर कांग्रेस की वरिष्ठ नेता सांसद कुमारी सैलजा लगातार बयानबाजी कर रही है। वह चुनाव से पहले, चुनाव के बीच, वोटिंग वाले दिन भी सीएम पद को लेकर मीडिया में बयान देती नजर आईं। अब एग्जिट पोल के रुझान में कांग्रेस की पूर्ण बहुमत से सरकार बनने के आसार को देखते हुए सैलजा ने दिल्ली में डेरा डाल लिया है। सैलजा ने सीएम पद को लेकर ताजा बयान दिया है। सैलजा ने कहा है कि हरियाणा में मुख्यमंत्री पद का फैसला कांग्रेस हाईकमान द्वारा ही किया जाएगा। उन्होंने कहा, “ना मैं, ना कोई और इस बारे में कुछ कह सकता है। केवल कांग्रेस हाईकमान ही यह निर्णय करेगा कि अगला मुख्यमंत्री कौन होगा।” सैलजा ने इस बात पर जोर दिया कि मुख्यमंत्री का चयन पार्टी के शीर्ष नेतृत्व द्वारा विधायकों से विचार-विमर्श करने के बाद ही किया जाएगा। कुमारी सैलजा ने कहा है, लोगों को कई उम्मीद होती है, चाहे दलित की बात हो या महिला की हो, हाईकमान को सब पता है। खुद को मुख्यमंत्री पद की दौड़ में दिखा रहीं सैलजा कुमारी सैलजा का यह बयान तब आया है जब हरियाणा में कांग्रेस के कई नेताओं के नाम मुख्यमंत्री पद के लिए चर्चा में हैं। जिसमें पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा, सांसद रणदीप सुरजेवाला और खुद कुमारी सैलजा शामिल हैं। हालांकि, सैलजा ने इस मुद्दे पर अपनी स्थिति स्पष्ट करते हुए कहा कि व्यक्तिगत रूप से कोई भी नेता इस बारे में कुछ नहीं कह सकता और पार्टी नेतृत्व का निर्णय ही अंतिम होगा। सैलजा ने कहा- कांग्रेस सरकार बन रही है कांग्रेस की वरिष्ठ नेता कुमारी सैलजा ने हरियाणा चुनाव के नतीजों से पहले बड़ा बयान दिया है। जिससे राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। सैलजा ने आत्मविश्वास के साथ दावा किया है कि कांग्रेस हरियाणा में सरकार बनाने जा रही है और इस बार पार्टी 60 से अधिक सीटों का आंकड़ा पार करेगी। उनका यह बयान एग्जिट पोल के नतीजों के बाद आया है। जिनमें कांग्रेस को बहुमत मिलने के संकेत दिए गए हैं। सैलजा ने मुख्यमंत्री पद को लेकर कब क्या कहा… 1. मतदान वाले दिन हिसार में कहा था उन्हें नजरअंदाज नहीं किया जा सकता हरियाणा विधानसभा चुनाव में वोटिंग के बीच हिसार में मतदान करने के बाद कुमारी सैलजा ने फिर से CM पद पर दावेदारी ठोकी थी। उन्होंने कहा था कि अगर कांग्रेस जीतती है, तो CM का चयन पार्टी हाईकमान करेगी, लेकिन उन्हें नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। उन्होंने कहा कि वह एक वरिष्ठ नेता हैं और उनका वजन इतना है कि उन्हें शीर्ष पद के लिए सबसे आगे माना जा सकता है। 2. वोटिंग से एक दिन पहले कहा, मुझे लगता है मेरा नाम सीएम रेस में कुमारी सैलजा ने वोटिंग से एक दिन पहले एक न्यूज एजेंसी को इंटरव्यू दिया था, जिसमें कुमारी सैलजा ने खुद को गांधी परिवार के करीब और विश्वासपात्र बताया था और कहा था कि मैं गांधी परिवार के खड़ी हूं और उनके साथ खड़ी रहूंगी। वे इस बारे में जानते हैं। कुमारी सैलजा ने कहा था कि एक लीडर चाहे किसी भी समुदाय का हो। कोई सभी का एक नेता नहीं हो सकता, लेकिन ये जरूर होता है कि ये समुदाय देखता है कि हमारे नेता या नेताओं के साथ क्या होता है। सैलजा ने कहा कि अगर कांग्रेस जीतती है तो सीएम का चयन पार्टी हाईकमान करेगी, लेकिन मुझे नजर अंदाज नहीं किया जा सकता। मैं एक वरिष्ठ नेता हूं। मेरा वजन इतना है कि उन्हें शीर्ष पद के लिए सबसे आगे माना जा सकता है। 3. एक महीना पहले कहा, मेरी सीएम बनने की इच्छा कुमारी सैलजा ने एक महीना पहले एक समाचार एजेंसी को दिए इंटरव्यू में कहा था कि ”लोगों की व्यक्तिगत और जातीय आधार पर महत्वकांक्षा होती है, मेरी भी है। मैं राज्य में काम करना चाहती हूं। विधानसभा चुनाव लड़ना चाहती हूं। हालांकि अंतिम फैसला हाईकमान करेगा। सैलजा ने कहा कि देश में अनुसूचित जातियों ने कांग्रेस को बड़ा समर्थन दिया है। जब दूसरी जातियों के नेता मुख्यमंत्री बन सकते हैं तो फिर अनुसूचित जातियों से क्यों नहीं। हरियाणा कांग्रेस में सीएम पद को लेकर कांग्रेस की वरिष्ठ नेता सांसद कुमारी सैलजा लगातार बयानबाजी कर रही है। वह चुनाव से पहले, चुनाव के बीच, वोटिंग वाले दिन भी सीएम पद को लेकर मीडिया में बयान देती नजर आईं। अब एग्जिट पोल के रुझान में कांग्रेस की पूर्ण बहुमत से सरकार बनने के आसार को देखते हुए सैलजा ने दिल्ली में डेरा डाल लिया है। सैलजा ने सीएम पद को लेकर ताजा बयान दिया है। सैलजा ने कहा है कि हरियाणा में मुख्यमंत्री पद का फैसला कांग्रेस हाईकमान द्वारा ही किया जाएगा। उन्होंने कहा, “ना मैं, ना कोई और इस बारे में कुछ कह सकता है। केवल कांग्रेस हाईकमान ही यह निर्णय करेगा कि अगला मुख्यमंत्री कौन होगा।” सैलजा ने इस बात पर जोर दिया कि मुख्यमंत्री का चयन पार्टी के शीर्ष नेतृत्व द्वारा विधायकों से विचार-विमर्श करने के बाद ही किया जाएगा। कुमारी सैलजा ने कहा है, लोगों को कई उम्मीद होती है, चाहे दलित की बात हो या महिला की हो, हाईकमान को सब पता है। खुद को मुख्यमंत्री पद की दौड़ में दिखा रहीं सैलजा कुमारी सैलजा का यह बयान तब आया है जब हरियाणा में कांग्रेस के कई नेताओं के नाम मुख्यमंत्री पद के लिए चर्चा में हैं। जिसमें पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा, सांसद रणदीप सुरजेवाला और खुद कुमारी सैलजा शामिल हैं। हालांकि, सैलजा ने इस मुद्दे पर अपनी स्थिति स्पष्ट करते हुए कहा कि व्यक्तिगत रूप से कोई भी नेता इस बारे में कुछ नहीं कह सकता और पार्टी नेतृत्व का निर्णय ही अंतिम होगा। सैलजा ने कहा- कांग्रेस सरकार बन रही है कांग्रेस की वरिष्ठ नेता कुमारी सैलजा ने हरियाणा चुनाव के नतीजों से पहले बड़ा बयान दिया है। जिससे राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। सैलजा ने आत्मविश्वास के साथ दावा किया है कि कांग्रेस हरियाणा में सरकार बनाने जा रही है और इस बार पार्टी 60 से अधिक सीटों का आंकड़ा पार करेगी। उनका यह बयान एग्जिट पोल के नतीजों के बाद आया है। जिनमें कांग्रेस को बहुमत मिलने के संकेत दिए गए हैं। सैलजा ने मुख्यमंत्री पद को लेकर कब क्या कहा… 1. मतदान वाले दिन हिसार में कहा था उन्हें नजरअंदाज नहीं किया जा सकता हरियाणा विधानसभा चुनाव में वोटिंग के बीच हिसार में मतदान करने के बाद कुमारी सैलजा ने फिर से CM पद पर दावेदारी ठोकी थी। उन्होंने कहा था कि अगर कांग्रेस जीतती है, तो CM का चयन पार्टी हाईकमान करेगी, लेकिन उन्हें नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। उन्होंने कहा कि वह एक वरिष्ठ नेता हैं और उनका वजन इतना है कि उन्हें शीर्ष पद के लिए सबसे आगे माना जा सकता है। 2. वोटिंग से एक दिन पहले कहा, मुझे लगता है मेरा नाम सीएम रेस में कुमारी सैलजा ने वोटिंग से एक दिन पहले एक न्यूज एजेंसी को इंटरव्यू दिया था, जिसमें कुमारी सैलजा ने खुद को गांधी परिवार के करीब और विश्वासपात्र बताया था और कहा था कि मैं गांधी परिवार के खड़ी हूं और उनके साथ खड़ी रहूंगी। वे इस बारे में जानते हैं। कुमारी सैलजा ने कहा था कि एक लीडर चाहे किसी भी समुदाय का हो। कोई सभी का एक नेता नहीं हो सकता, लेकिन ये जरूर होता है कि ये समुदाय देखता है कि हमारे नेता या नेताओं के साथ क्या होता है। सैलजा ने कहा कि अगर कांग्रेस जीतती है तो सीएम का चयन पार्टी हाईकमान करेगी, लेकिन मुझे नजर अंदाज नहीं किया जा सकता। मैं एक वरिष्ठ नेता हूं। मेरा वजन इतना है कि उन्हें शीर्ष पद के लिए सबसे आगे माना जा सकता है। 3. एक महीना पहले कहा, मेरी सीएम बनने की इच्छा कुमारी सैलजा ने एक महीना पहले एक समाचार एजेंसी को दिए इंटरव्यू में कहा था कि ”लोगों की व्यक्तिगत और जातीय आधार पर महत्वकांक्षा होती है, मेरी भी है। मैं राज्य में काम करना चाहती हूं। विधानसभा चुनाव लड़ना चाहती हूं। हालांकि अंतिम फैसला हाईकमान करेगा। सैलजा ने कहा कि देश में अनुसूचित जातियों ने कांग्रेस को बड़ा समर्थन दिया है। जब दूसरी जातियों के नेता मुख्यमंत्री बन सकते हैं तो फिर अनुसूचित जातियों से क्यों नहीं। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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डॉ. गोपाल : 14 वर्षीय बच्चा 9 नवंबर को हमारे पास आया था। बच्चा जब आया था, तब वह बेहोशी की हालत में था। बच्चे के सिर में एक रॉड घुसी हुई थी। मरीज की हालत बहुत गंभीर थी। देखने के बाद ऐसा लगा कि मरीज बच नहीं पाएगा। फिर भी उसका इलाज करना बहुत जरूरी था। हमारी PGIMS की इमरजेंसी टीम तुरंत सक्रिय हो गई। हमारी टीम ने जल्द से जल्द मरीज को ऑपरेशन के लिए शिफ्ट किया। सवाल :बच्चे की जान कैसे बचाई और क्या-क्या कदम उठाए?
डॉ. गोपाल : सबसे बड़ा चैलेंज यह था कि जो रॉड सिर में लगी हुई है, वह रॉड कोई मूवमेंट न करे। अगर रॉड हिलेगी तो दिमाग के अंदर और भी डैमेज करेगी। रॉड में जंग भी लगा हुआ था। इसलिए यह भी अंदेशा था कि मरीज के दिमाग में जंग भी चली गई होगी, इंफेक्शन भी हो सकता है। पैरालिसिस का भी खतरा था। सवाल : कितना समय ऑपरेशन में लगा?
डॉ. गोपाल : इस ऑपरेशन में करीब 4 घंटे का समय लगा। जब मरीज ट्रामा सेंटर में आया तो सबसे पहले इमरजेंसी टीम ने संभाला। प्राथमिक उपचार किया और स्टेबलाइज किया। इसके बाद न्यूरो सर्जरी टीम को सूचना दी। न्यूरो सर्जरी टीम ने फटाफट मरीज को देखा और उसका सीटी स्कैन कराया। इसके बाद मुझे बताया। हमने बिना देरी किए ऑपरेशन का फैसला लिया। रॉड करीब 8-10 सेंटीमीटर तक ब्रेन के अंदर घुसी हुई थी। यह लेफ्ट पार्ट ऑफ फ्रंटल एरिया में थी। यह ऑब्लिक डारेक्शन में थी और काफी हिस्सों को डैमेज करते हुए अंदर चली गई थी। सवाल : जब ऑपरेशन कर रहे थे तो दिमाग में क्या चल रहा था?
डॉ. गोपाल : जब हमने ऑपरेशन के लिए मरीज को लिया था, तब हमें इस बात का बिल्कुल भी अंदाजा नहीं था कि मरीज इतना स्वस्थ होगा। ऑपरेशन करने के समय हमें बिल्कुल केयरफुल रहना पड़ा। रॉड अंदर घुसी हुई थी और मरीज को बेहोश भी करना था। उस दौरान जरा भी रॉड में मूवमेंट आती है तो वह ब्रेन को डैमेज करते हुए जाती। इस केस में बोन फ्रैक्चर थी। रॉड के आसपास का बोन हटाकर आसपास का सारा एरिया फ्री करने के बाद रॉड निकाली। सवाल : इस तरह के केस में देखने में आया है कि मरीज बहुत देरी से रिकवर करता है। इस बच्चे में क्या स्थिति है?
डॉ. गोपाल : इस तरह के केस में मरीज काफी देर से रिकवर करते हैं या फिर मरीज बच नहीं पाते। दूसरी प्रॉब्लम यह रहती है कि मरीज को इंफेक्शन हो जाता है, क्योंकि आयरन पार्टिकल जो ब्रेन में जमा हो जाते हैं, वह रस्टिड फॉम में होते हैं और यह ब्रेन के लिए बहुत ही घातक हैं। सवाल : मरीज के परिजनों का कितना साथ मिला?
डॉ. गोपाल : हमें मरीज के परिजनों का पूरा सपोर्ट मिला। पेरेंट्स काफी घबराए हुए थे। जब अस्पताल आए तो उन्हें भी यह लग रहा था कि हमारा बच्चा सर्वाइव नहीं कर पाएगा। हमें भी यह लग रहा है कि यह चमत्कार है। नतीजा हमने देखा तो लगा कि हमारा निर्णय बिल्कुल अच्छा था। पेरेंट्स ने किसी प्रकार का हस्तक्षेप नहीं किया। सवाल : इस तरह का पहले भी कोई ऑपरेशन किया है?
डॉ. गोपाल : मैं PGIMS रोहतक में पिछले 8 साल से कार्यरत हूं। ऐसा ऑपरेशन हमने यहां पर पहले नहीं किया। ऐसा ऑपरेशन मैंने पहली बार किया है। रोहतक PGI में इस तरह का केस ही पहली बार आया है। सवाल : मरीज की कब तक पूरी तरह स्वस्थ होने की उम्मीद है?
डॉ. गोपाल : मरीज अभी काफी रिकवर कर चुका है। वह इतना हेल्दी हो चुका है कि उसने चलना फिरना स्टार्ट कर दिया है। हमें लगता है कि मरीज एक-दो हफ्ते में पहले की तरह हो स्वस्थ हो जाएगा। सवाल : इस तरह की घटनाओं को लेकर दूसरों को क्या संदेश देना चाहेंगे?
डॉ. गोपाल : ऐसी घटनाएं अगर होती हैं तो मेरी सलाह यह होगी कि जहां भी मस्तिष्क के अंदर रॉड चली गई हो, उस रॉड को निकालने की कोशिश न करें। दूसरी चीज, रॉड को सहारे से, हाथ से, मरीज को ट्रांसपोर्ट सिस्टम की मदद ली जाए। पैरा-क्लीनिकल स्टाफ व अस्पताल स्टाफ से भी मदद की रिक्वेस्ट कर सकते हैं। आम आदमी आसपास की चीजें, जिससे मरीज को और इंजरी हो सकती है, रॉड और भी अंदर जा सकती है, ऐसी चीजों से हमें मरीज को बचाना है। पैनिक न करें और जितना जल्द से जल्द अपने पास के स्वास्थ्य केंद्र में रिपोर्ट करें और वहां के डॉक्टर से इलाज स्टार्ट करवाएं।