हिमाचल में मौसम की गलत भविष्यवाणी ने डराए टूरिस्ट:90% से 40% तक पहुंची ऑक्यूपेंसी; 3 दिन से ऑरेंज-अलर्ट; भारी बारिश एक बार भी नहीं

हिमाचल में मौसम की गलत भविष्यवाणी ने डराए टूरिस्ट:90% से 40% तक पहुंची ऑक्यूपेंसी; 3 दिन से ऑरेंज-अलर्ट; भारी बारिश एक बार भी नहीं

हिमाचल प्रदेश में मौसम विभाग (IMD) की भारी बारिश की भविष्यवाणी से पर्यटक डर गए हैं। IMD 29 जून से निरंतर कुछ जिलों में भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट दे रहा है। मगर बीते तीन दिनों में कहीं भी भारी बारिश नहीं हुई। इससे पर्यटन कारोबारी भी नाराज है, क्योंकि एक सप्ताह पहले की तुलना में प्रदेश के होटलों में ऑक्युपेंसी 90 प्रतिशत से गिरकर 40 फीसदी से भी नीचे आ गई है। मनाली होटल एसोसिएशन के अध्यक्ष मुकेश ठाकुर ने बताया कि ऑरेंज अलर्ट की चेतावनी से पर्यटक डरे हुए हैं। हकीकत में पहाड़ों पर हल्की-हल्की बारिश हो रही है। उन्होंने बताया कि बीते तीन दिन में कुल्लू जिला में उतनी ही बारिश हुई, जितनी गर्मी से राहत के लिए जरूरी थी। उन्होंने मौसम विभाग से ऑरेंज अलर्ट की चेतावनी की समीक्षा करने का आग्रह किया है। अभी डरने की जरूरत नहीं : डॉ. पॉल मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक डॉ. सुरेंद्र पॉल ने बताया कि ऑरेंज अलर्ट जरूर दिया जा रहा है। मगर यह चेतावनी कुछेक इलाकों में दी जा रही है। उन्होंने जिन जिलों में अलर्ट हैं, उनमें 25 प्रतिशत क्षेत्रों में ही भारी बारिश का पूर्वानुमान है। पूरे जिले में नहीं। पर्यटकों को अभी डरने की जरूरत नहीं: पॉल IMD के पूर्वानुमान से पर्यटकों में डर के सवाल पर उन्होंने कहा, पर्यटकों को फिलहाल अभी डरने की जरूरत नहीं है। उन्होंने बताया कि आज भी भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट है। मगर पैनिक वाली बात नहीं है। डॉ. पॉल ने कहा, जब भी खतरनाक स्थिति होगी तो मौसम विभाग चार-पांच घंटे पहले ताजा अलर्ट जारी करेगा। मानसून कमजोर पड़ने की गिनाई तीन वजह मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक ने कहा, मानसून थोड़ा कमजोर है। इसकी तीन वजह है। बीते मई महीने में रेमल तूफान, हवाओं का कम दबाव बनने और पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय नहीं होने से ज्यादा बारिश नहीं हो रही है। उन्होंने बताया, अभी मानसून बहुत एक्टिव नहीं है। जो चेतावनी दी जा रही है, वह जिले के 25 फीसदी क्षेत्रों को दी जा रही है। उन्होंने बताया, तीन चार जुलाई के बाद थोड़ी ज्यादा बारिश होगी। जुलाई के दूसरे सप्ताह में ज्यादा अच्छी बारिश का पूर्वानुमान है। आज पांच जिलों में ऑरेंज अलर्ट IMD की माने तो सात जुलाई तक निरंतर बारिश का पूर्वानुमान है। ऊना, बिलासपुर, हमीरपुर, सोलन और सिरमौर जिले में आज भी भारी बारिश का अलर्ट है। अन्य जिलों में येलो अलर्ट दिया गया है। अब जानिए कब जारी होता है यलो, ऑरेंज और रेड अलर्ट आईएमडी के अनुसार, 24 घंटे में 0-64 मिमी (एमएम) बारिश का पूर्वानुमान होने पर यलो अलर्ट जारी किया जाता है, जबकि 65 से 114 मिमी बारिश होने पर ऑरेंज अलर्ट और 24 घंटे में 115 मिमी से अधिक बारिश का पूर्वानुमान होने पर रेड अलर्ट जारी किया जाता है। चंबा के चुवाड़ी में 64 MM बारिश बीते 24 घंटे के दौरान चंबा के चुवाड़ी में सबसे ज्यादा 64 मिलीमीटर (MM) बारिश हुई है, जबकि चंबा जिला में भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट नहीं था। सिरमौर के पांवटा में 38.2 MM, राजगढ़ में 32 MM, सलूणी में 22 MM, कागंड़ा में 11 MM, मनाली में 10 MM, धर्मपुर में 8 MM और देहरा में 8 MM बारिश हुई है। हिमाचल प्रदेश में मौसम विभाग (IMD) की भारी बारिश की भविष्यवाणी से पर्यटक डर गए हैं। IMD 29 जून से निरंतर कुछ जिलों में भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट दे रहा है। मगर बीते तीन दिनों में कहीं भी भारी बारिश नहीं हुई। इससे पर्यटन कारोबारी भी नाराज है, क्योंकि एक सप्ताह पहले की तुलना में प्रदेश के होटलों में ऑक्युपेंसी 90 प्रतिशत से गिरकर 40 फीसदी से भी नीचे आ गई है। मनाली होटल एसोसिएशन के अध्यक्ष मुकेश ठाकुर ने बताया कि ऑरेंज अलर्ट की चेतावनी से पर्यटक डरे हुए हैं। हकीकत में पहाड़ों पर हल्की-हल्की बारिश हो रही है। उन्होंने बताया कि बीते तीन दिन में कुल्लू जिला में उतनी ही बारिश हुई, जितनी गर्मी से राहत के लिए जरूरी थी। उन्होंने मौसम विभाग से ऑरेंज अलर्ट की चेतावनी की समीक्षा करने का आग्रह किया है। अभी डरने की जरूरत नहीं : डॉ. पॉल मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक डॉ. सुरेंद्र पॉल ने बताया कि ऑरेंज अलर्ट जरूर दिया जा रहा है। मगर यह चेतावनी कुछेक इलाकों में दी जा रही है। उन्होंने जिन जिलों में अलर्ट हैं, उनमें 25 प्रतिशत क्षेत्रों में ही भारी बारिश का पूर्वानुमान है। पूरे जिले में नहीं। पर्यटकों को अभी डरने की जरूरत नहीं: पॉल IMD के पूर्वानुमान से पर्यटकों में डर के सवाल पर उन्होंने कहा, पर्यटकों को फिलहाल अभी डरने की जरूरत नहीं है। उन्होंने बताया कि आज भी भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट है। मगर पैनिक वाली बात नहीं है। डॉ. पॉल ने कहा, जब भी खतरनाक स्थिति होगी तो मौसम विभाग चार-पांच घंटे पहले ताजा अलर्ट जारी करेगा। मानसून कमजोर पड़ने की गिनाई तीन वजह मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के निदेशक ने कहा, मानसून थोड़ा कमजोर है। इसकी तीन वजह है। बीते मई महीने में रेमल तूफान, हवाओं का कम दबाव बनने और पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय नहीं होने से ज्यादा बारिश नहीं हो रही है। उन्होंने बताया, अभी मानसून बहुत एक्टिव नहीं है। जो चेतावनी दी जा रही है, वह जिले के 25 फीसदी क्षेत्रों को दी जा रही है। उन्होंने बताया, तीन चार जुलाई के बाद थोड़ी ज्यादा बारिश होगी। जुलाई के दूसरे सप्ताह में ज्यादा अच्छी बारिश का पूर्वानुमान है। आज पांच जिलों में ऑरेंज अलर्ट IMD की माने तो सात जुलाई तक निरंतर बारिश का पूर्वानुमान है। ऊना, बिलासपुर, हमीरपुर, सोलन और सिरमौर जिले में आज भी भारी बारिश का अलर्ट है। अन्य जिलों में येलो अलर्ट दिया गया है। अब जानिए कब जारी होता है यलो, ऑरेंज और रेड अलर्ट आईएमडी के अनुसार, 24 घंटे में 0-64 मिमी (एमएम) बारिश का पूर्वानुमान होने पर यलो अलर्ट जारी किया जाता है, जबकि 65 से 114 मिमी बारिश होने पर ऑरेंज अलर्ट और 24 घंटे में 115 मिमी से अधिक बारिश का पूर्वानुमान होने पर रेड अलर्ट जारी किया जाता है। चंबा के चुवाड़ी में 64 MM बारिश बीते 24 घंटे के दौरान चंबा के चुवाड़ी में सबसे ज्यादा 64 मिलीमीटर (MM) बारिश हुई है, जबकि चंबा जिला में भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट नहीं था। सिरमौर के पांवटा में 38.2 MM, राजगढ़ में 32 MM, सलूणी में 22 MM, कागंड़ा में 11 MM, मनाली में 10 MM, धर्मपुर में 8 MM और देहरा में 8 MM बारिश हुई है।   हिमाचल | दैनिक भास्कर