हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू आज और कल शिमला में सभी जिलाधीश (DC) और पुलिस अधीक्षक (SP) की मीटिंग लेंगे। शिमला सचिवालय में दो दिन चलने वाली मीटिंग में सरकार के फ्लैगशिप प्रोग्राम का रिव्यू किया जाएगा। जिला प्रमुखों को सरकार की योजनाएं घर-द्वार तक पहुंचाने के निर्देश दिए जाएंगे। इस दौरान जिलों में लॉ एंड ऑर्डर की स्थिति को लेकर भी चर्चा होगी, क्योंकि विपक्ष समय समय पर सरकार को बिगड़ती कानून व्यवस्था को लेकर घेरता रहा है। मुख्यमंत्री सुक्खू ने बीते साल भी 10 अक्टूबर को सभी डीसी-एसपी के साथ रिव्यू मीटिंग की थी। इस बार फिर से जिला प्रमुखों के साथ मीटिंग बुलाई गई है। इसमें सरकार की योजनाओं का रिव्यू किया जाएगा और अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए जाएंगे। CM के सामने योजनाओं की प्रोग्रेस रिपोर्ट रखेंगे DC मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में चलने वाली इस मीटिंग में सभी डीसी अपने अपने अपने जिलों में विभिन्न योजनाओं की प्रोग्रेस रिपोर्ट मीटिंग में रखेंगे और मुख्यमंत्री सुक्खू विभिन्न जिलों की फीडबैक भी अधिकारियों से लेंगे। सरकार गांव के द्वार कार्यक्रम को लेकर दिशा-निर्देश देंगे सीएम डीसी-एसपी की मीटिंग में ‘सरकार गांव के द्वार’ कार्यक्रम को लेकर अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए जाएंगे। राज्य सरकार ने बीते सप्ताह की शिमला जिला के दुर्गम क्षेत्र डोडराक्वार से इस कार्यक्रम की शुरुआत की है। इसके तहत मुख्यमंत्री और उनके मंत्री-विधायक भी गांव-गांव जाकर लोगों की समस्याएं सुनेंगे और उनका मौके पर निपटारा करेंगे। सरकार के 2 साल पूरा करने को लेकर होगी चर्चा राज्य सरकार को 11 दिसंबर को दो साल पूरे होने जा रहे हैं। इन दो सालों में सरकार की उपलब्धियों को लेकर भी मीटिंग में चर्चा की जा सकती है और उन उपलब्धियों को जन जन तक पहुंचाने के निर्देश अधिकारियों को दिए जा सकते हैं। मुख्य सचिव ने सभी अधिकारियों को मौजूद रहने के आदेश दिए मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में होने वाली इस महत्वपूर्ण मीटिंग के लिए ज्यादातर जिलों के डीसी-एसपी बीती शाम को ही शिमला पहुंच गए हैं। मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना ने डीसी एसपी के अलावा सभी विभागीय सचिवों व विभागाध्यक्षों को भी विभिन्न योजनाओं की अपडेटेड जानकारी के साथ मीटिंग में मौजूद रहने के आदेश दिए है। हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू आज और कल शिमला में सभी जिलाधीश (DC) और पुलिस अधीक्षक (SP) की मीटिंग लेंगे। शिमला सचिवालय में दो दिन चलने वाली मीटिंग में सरकार के फ्लैगशिप प्रोग्राम का रिव्यू किया जाएगा। जिला प्रमुखों को सरकार की योजनाएं घर-द्वार तक पहुंचाने के निर्देश दिए जाएंगे। इस दौरान जिलों में लॉ एंड ऑर्डर की स्थिति को लेकर भी चर्चा होगी, क्योंकि विपक्ष समय समय पर सरकार को बिगड़ती कानून व्यवस्था को लेकर घेरता रहा है। मुख्यमंत्री सुक्खू ने बीते साल भी 10 अक्टूबर को सभी डीसी-एसपी के साथ रिव्यू मीटिंग की थी। इस बार फिर से जिला प्रमुखों के साथ मीटिंग बुलाई गई है। इसमें सरकार की योजनाओं का रिव्यू किया जाएगा और अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए जाएंगे। CM के सामने योजनाओं की प्रोग्रेस रिपोर्ट रखेंगे DC मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में चलने वाली इस मीटिंग में सभी डीसी अपने अपने अपने जिलों में विभिन्न योजनाओं की प्रोग्रेस रिपोर्ट मीटिंग में रखेंगे और मुख्यमंत्री सुक्खू विभिन्न जिलों की फीडबैक भी अधिकारियों से लेंगे। सरकार गांव के द्वार कार्यक्रम को लेकर दिशा-निर्देश देंगे सीएम डीसी-एसपी की मीटिंग में ‘सरकार गांव के द्वार’ कार्यक्रम को लेकर अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए जाएंगे। राज्य सरकार ने बीते सप्ताह की शिमला जिला के दुर्गम क्षेत्र डोडराक्वार से इस कार्यक्रम की शुरुआत की है। इसके तहत मुख्यमंत्री और उनके मंत्री-विधायक भी गांव-गांव जाकर लोगों की समस्याएं सुनेंगे और उनका मौके पर निपटारा करेंगे। सरकार के 2 साल पूरा करने को लेकर होगी चर्चा राज्य सरकार को 11 दिसंबर को दो साल पूरे होने जा रहे हैं। इन दो सालों में सरकार की उपलब्धियों को लेकर भी मीटिंग में चर्चा की जा सकती है और उन उपलब्धियों को जन जन तक पहुंचाने के निर्देश अधिकारियों को दिए जा सकते हैं। मुख्य सचिव ने सभी अधिकारियों को मौजूद रहने के आदेश दिए मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में होने वाली इस महत्वपूर्ण मीटिंग के लिए ज्यादातर जिलों के डीसी-एसपी बीती शाम को ही शिमला पहुंच गए हैं। मुख्य सचिव प्रबोध सक्सेना ने डीसी एसपी के अलावा सभी विभागीय सचिवों व विभागाध्यक्षों को भी विभिन्न योजनाओं की अपडेटेड जानकारी के साथ मीटिंग में मौजूद रहने के आदेश दिए है। हिमाचल | दैनिक भास्कर
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हिमाचल: 100 घंटे बाद भी 46 लोगों का सुराग नहीं:कोल-डेम में मिला एक महिला का शव, श्रीखंड के रास्ते में भी 2 व्यक्ति लापता
हिमाचल: 100 घंटे बाद भी 46 लोगों का सुराग नहीं:कोल-डेम में मिला एक महिला का शव, श्रीखंड के रास्ते में भी 2 व्यक्ति लापता हिमाचल प्रदेश में 100 घंटे बाद भी लापता 46 लोगों का सुराग नहीं लग पाया है। शिमला जिला के रामपुर के समेज में सबसे ज्यादा 36 लोग बुधवार आधी रात से लापता है। कुल्लू के बागीपुल में 5, श्रीखंड के रास्ते सिंघगाड़ में 2 और मंडी की चौहारघाटी में भी 2 लोग लापता है। श्रीखंड में 2 लोगों के लापता होने की रविवार को ही पुष्टि हुई है, जोकि श्रीखंड यात्रा के पहले पड़ाव सिंघगाड में ठहरे हुए थे। बादल फटने के बाद यहां पर 2 लोग बाढ़ की चपेट में आ गए। सेना और एनडीआरएफ का रेस्क्यू दल गुमशुदा लोगों की तलाश लाइव डिटेक्टर डिवाइस और खोजी कुत्तों के साथ सर्च कर रहा है। खोजी कुत्ते जहां लोगों के दबे होने का संकेत दे रहे है, वहां पर जेसीबी और एलएनटी मशीनों से खुदाई की जा रही है। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, सीआईएफ, पुलिस और होमगार्ड के जवान लोगों की तलाश में जुटे हैं। मगर चार दिन से सर्च ऑपरेशन में खासकर समेज में कोई सफलता नहीं मिल पाई। स्थानीय लोग महिला मंडल, युवक मंडल के सदस्य भी रेस्क्यू में मदद कर रहे हैं। बागी पुल में 5 लोग अभी भी लापता कुल्लू के बागी पुल में भी एक ही परिवार के 5 सदस्य सहित 7 लोग लापता हो गए थे। इनमें एक महिला व एक पुरुष का शव मिल चुका हैं, जबकि 5 अभी भी लापता हैं। इनमें 2 नेपाली मूल के व्यक्ति भी शामिल है। अच्छी बात यह है कि पिछले तीन दिन से ज्यादातर इलाकों में बारिश नहीं हुई। जिस कारण खतरनाक हो चुके नदी-नालों का जलस्तर कम हो रहा है। समेज में 301 जवान रेस्क्यू में जुटे रामपुर के समेज में एनडीआरएफ, पुलिस, सेना, एसडीआरएफ, होमगार्ड, सीआईएफ के 301 जवान रेस्क्यू कार्य में जुटे हुए है। कुल्लू के बागीपुल में 38 जवान और मंडी के राजबन में भी 70 जवान रेस्क्यू में लगे हुए हैं।
मणिमहेश में उमड़ा आस्था का सैलाब:24 घंटे में 1 लाख श्रद्धालु पहुंचे, 12KM लंबा ट्रैफिक जाम, सुबह 3:40 बजे से चल रहा शाही स्नान
मणिमहेश में उमड़ा आस्था का सैलाब:24 घंटे में 1 लाख श्रद्धालु पहुंचे, 12KM लंबा ट्रैफिक जाम, सुबह 3:40 बजे से चल रहा शाही स्नान उत्तर भारत की पवित्र एवं पावन मणिमहेश यात्रा के लिए हिमाचल के भरमौर में भारी जन सैलाब उमड़ आया है। पिछले 24 घंटे में एक लाख से ज्यादा श्रद्धालु भरमौर से मणिमहेश के लिए रवाना हो गए हैं, जहां पर सुबह 3:40 बजे से शाही स्नान चल रहा है। छोटे शाही स्नान का शुभ मुहूर्त आज आधी रात 2:20 बजे तक रहेगा। माना जा रहा है तब तक एक लाख से ज्यादा शिव भक्त डल में डुबकी लगाएंगे। शाही बड़ा स्नान राधा अष्टमी के अवसर पर यानी 11 सितंबर को होगा। देशभर से पहुंच रहे श्रद्धालु हर हर महादेव का जयकारा लगाते हुए आगे बढ़ रहे हैं और भरमौर से मणिमहेश तक इसकी गूंज सुनाई दे रही है। ज्यादातर श्रद्धालु पैदल चल कर मणिमहेश पहुंच रहे हैं। इसी के साथ आज से आधिकारिक तौर पर मणिमहेश यात्रा शुरू हो गई है। हेलिकॉप्टर की उड़ान में खराब मौसम बाधा उत्पन्न कर रहा हालांकि सरकार ने भरमौर से मणिमहेश के लिए हेली टैक्सी सेवा भी शुरू कर रखी है। मगर इसकी उड़ान में खराब मौसम बाधा उत्पन्न कर रहा है। कुछ श्रद्धालु घोड़े व खच्चरों पर भी इस यात्रा को पूरा कर रहे हैं। इससे पहले इतने श्रद्धालु कभी नहीं आए: SDM SDM भरमौर कुलविंदर सिंह ने बताया कि छोटा शाही स्नान करने वाले श्रद्धालुओं का सही आंकड़ा कल तक पता चलेगा। मगर पिछले कल और आज सुबह 10 बजे तक एक लाख से ज्यादा श्रद्धालु मणिमहेश को रवाना हो चुके है। उन्होंने बताया कि स्थानीय लोगों बता रहे कि इससे पहले कभी भी इतनी संख्या में छोटे शाही स्नान को श्रद्धालु नहीं पहुंचे। श्रद्धालुओं की भीड़ के कारण पंजीकरण भी नहीं हो पा रहा है। 12KM लंबा ट्रैफिक जाम आलम यह है कि मणिमहेश यात्रियों के कारण पिछले कल भरमौर से पहले हाईवे पर 12 किलोमीटर लंबा ट्रैफिक जाम लगा रहा। सैकड़ों श्रद्धालु आधी रात तक ट्रैफिक जाम में फंसे रहे। आज भी काफी संख्या में वाहन ट्रैफिक जाम में फंसे है। स्थानीय प्रशासन ने मणिमहेश में रेस्क्यू के लिए एनडीआरएफ-एसडीआरएफ के जवानों के अलावा पर्वतारोहण संस्थान के स्वयंसेवकों को तैनात किया गया है। इसी तरह 5 स्थानों पर शिविरों में मेडिकल टीम की तैनात की गई है। यहां बनाए गए कैंप प्रशासन ने मणिमहेश यात्रा के लिए भरमौर, हड़सर, धनछो, सुंदरासी और गौरीकुंड में 5 जगह कैंप स्थापित किए है। यहां प्रत्येक श्रद्धालुओं को स्वास्थ्य जांच के बाद ही आगे भेजा जाएगा, क्योंकि 13385.83 फीट की ऊंचाई पर स्थित मणिमहेश में कई बार ऑक्सीजन की कमी हो जाती है। इन कैंप में मेडिकल टीमें तैनात की गई है। घोड़े पर यात्रा को देने होंगे 4700 रुपए भरमौर के हड़सर से मणिमहेश तक घोड़ा-खच्चर से आने-जाने का किराया 4700 रुपए प्रति सवारी तय किया गया है। इसी तरह 5 कैंप के बीच का भी अलग अलग किराया निर्धारित किया गया है। तय किराया से ज्यादा दर्रें वसूलने पर कार्रवाई की जाएगी। इसी तरह कुली के लिए भी किराया तय किया गया है। उत्तर भारत की कठिन धार्मिक यात्रा मणिमहेश यात्रा को उत्तर भारत की कठिन धार्मिक यात्रा माना जाता है। 13 हजार फीट से ज्यादा की ऊंचाई पर स्थिति मणिमहेश पहुंचने के लिए श्रद्धालुओं को ऊंचे-ऊंचे पहाड़ चढ़ने पढ़ते हैं। यह यात्रा अपनी प्राकृतिक सुंदरता और सुंदर दृश्यों के लिए भी जानी जाती है, क्योंकि इस यात्रा के दौरान श्रद्धालुओं को घने जंगलों, अल्पाइन घास के मैदानों और चट्टानों के बीच बीच से होकर गुजरना पड़ता है। इस दौरान हिमालय का मनमोहक दृश्य भीदेखने को मिलता हैं। यही वजह है कि यह अध्यात्मिक यात्रा रोमांच और प्राकृतिक सुंदरता का भी आभास कराती है। मणिमहेश यात्रा के लिए इन निर्देशों का करें पालन मणिमहेश के कैलाश शिखर में शिव का निवास ऐसी मान्यता है कि भगवान शिव मणिमहेश के कैलाश शिखर पर निवास करते हैं, जो झील से दिखाई देता है। यह यात्रा हर साल, आमतौर पर अगस्त या सितंबर के महीने में हिंदू त्यौहार जन्माष्टमी के अवसर पर होती है। माना जाता है कि यह यात्रा 9वीं शताब्दी में शुरू हुई थी जब एक स्थानीय राजा, राजा साहिल वर्मन को भगवान शिव के दर्शन हुए थे जिन्होंने मणिमहेश झील पर एक मंदिर स्थापित करने का निर्देश दिया।
हिमाचल के रिटायर IAS दोबारा PM के एडवाइजर बने:तरुण कपूर की 2 साल के लिए नियुक्ति; पेट्रोलियम मंत्रालय में बतौर सेक्रेटरी सेवा दे चुके
हिमाचल के रिटायर IAS दोबारा PM के एडवाइजर बने:तरुण कपूर की 2 साल के लिए नियुक्ति; पेट्रोलियम मंत्रालय में बतौर सेक्रेटरी सेवा दे चुके केंद्रीय कार्मिक विभाग ने हिमाचल प्रदेश से संबंध रखने वाले रिटायर IAS अधिकारी तरुण कपूर को फिर से प्रधानमंत्री नरेंद्र का एडवाइजर नियुक्त किया है। कार्मिक विभाग की सचिव दीप्ति उमाशंकर ने इसे लेकर आदेश जारी कर दिए हैं। तरुण कपूर हिमाचल प्रदेश के 1987 बैच के IAS अधिकारी हैं। तरुण कपूर के साथ-साथ झारखंड के 1985 बैच के IAS अमित खरे को भी प्रधानमंत्री कार्यालय में एडवाइजर बनाया गया है। इन दोनों की तैनाती आगामी दो सालों के लिए की गई है। नवंबर 2021 में रिटायर हुए कपूर
तरुण कपूर नवंबर 2021 में पेट्रोलियम मंत्रालय से बतौर सेक्रेटरी रिटायर हुए हैं। इससे पहले वह दिल्ली जल बोर्ड में सेवाएं दे चुके हैं। रिटायरमेंट के बाद 2 मई 2022 को भी उन्हें 2 साल के लिए प्रधानमंत्री कार्यालय में एडवाइजर नियुक्त किया गया था। कार्यकाल पूरा होने के बाद अब दोबारा उनकी तैनाती की गई है। शिमला से संबंध रखते हैं कपूर
रिटायर IAS तरुण कपूर हिमाचल की राजधानी शिमला से संबंध रखते हैं। साल 2019 में वह हिमाचल से केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर गए। जब वह प्रदेश छोड़कर दिल्ली गए, जब वह एडिशनल चीफ सेक्रेटरी पद पर थे। उन्होंने शिमला DC के तौर पर भी सेवाएं दी हैं। इसी तरह विभिन्न विभागों के सेक्रेटरी का भी दायित्व भी संभाला है।