महेंद्रगढ़ के नारनौल में सीएम फ्लाइंग ने सुबह 9 बजे डीटीपी ऑफिस पर रेड की। इस दौरान सभी 15 कर्मचारी व अधिकारी गैरहाजिर मिले। केवल एक चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी ही कार्यालय में मौजूद था। वहीं छापेमारी के बाद केवल चार कर्मचारी ही ऑफिस पहुंचे सके। ड्यूटी मजिस्ट्रेट नितिन भार्गव ने बताया कि सीएम फ्लाइंग की टीम के साथ उन्होंने छापेमारी की है। जिसमें सभी कर्मचारी गैरहाजिर पाए गए हैं। इनकी रिपोर्ट बनाकर वे उच्च अधिकारियों को भेजेंगे। इसके बाद उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। छापेमारी के बाद केवल चार कर्मचारी पहुंचे छापेमारी के बाद 9:45 बजे तक केवल चार कर्मचारी ही पहुंचे थे। वहीं पहुंचे हुए कर्मचारी अपनी-अपनी दलील देते नजर आए। एक कर्मचारी ने कहा कि वह रेवाड़ी से अप डाउन करता है। इसलिए देरी हो गई, जबकि एक महिला कर्मचारी ने कहा कि ठंड ज्यादा होने की वजह से देर हो गई। शिकायतें मिल रही है कि कर्मचारी कभी भी 10 बजे से पहले नहीं आते तथा जूनियर इंजीनियर लोगों के फोन भी नहीं उठाते हैं। महेंद्रगढ़ के नारनौल में सीएम फ्लाइंग ने सुबह 9 बजे डीटीपी ऑफिस पर रेड की। इस दौरान सभी 15 कर्मचारी व अधिकारी गैरहाजिर मिले। केवल एक चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी ही कार्यालय में मौजूद था। वहीं छापेमारी के बाद केवल चार कर्मचारी ही ऑफिस पहुंचे सके। ड्यूटी मजिस्ट्रेट नितिन भार्गव ने बताया कि सीएम फ्लाइंग की टीम के साथ उन्होंने छापेमारी की है। जिसमें सभी कर्मचारी गैरहाजिर पाए गए हैं। इनकी रिपोर्ट बनाकर वे उच्च अधिकारियों को भेजेंगे। इसके बाद उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। छापेमारी के बाद केवल चार कर्मचारी पहुंचे छापेमारी के बाद 9:45 बजे तक केवल चार कर्मचारी ही पहुंचे थे। वहीं पहुंचे हुए कर्मचारी अपनी-अपनी दलील देते नजर आए। एक कर्मचारी ने कहा कि वह रेवाड़ी से अप डाउन करता है। इसलिए देरी हो गई, जबकि एक महिला कर्मचारी ने कहा कि ठंड ज्यादा होने की वजह से देर हो गई। शिकायतें मिल रही है कि कर्मचारी कभी भी 10 बजे से पहले नहीं आते तथा जूनियर इंजीनियर लोगों के फोन भी नहीं उठाते हैं। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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हरियाणा में स्टिल्ट प्लस 4 मंजिला बिल्डिंग से रोक हटी:सरकार ने नए सेक्टरों पर शर्त लगा छूट दी; पहले बन चुकी ऐसी इमारतों का ऑडिट होगा
हरियाणा में स्टिल्ट प्लस 4 मंजिला बिल्डिंग से रोक हटी:सरकार ने नए सेक्टरों पर शर्त लगा छूट दी; पहले बन चुकी ऐसी इमारतों का ऑडिट होगा हरियाणा सरकार ने स्टिल्ट प्लस चार मंजिल निर्माण को मंजूरी दे दी है। नगर एवं ग्राम नियोजन विकास मंत्री जेपी दलाल ने यह ऐलान करते हुए कहा कि राव कमेटी की रिपोर्ट पर सरकार ने यह फैसला किया है। हालांकि इसके लिए सरकार की ओर से कुछ नियम एवं शर्तों को भी शामिल किया है। जो भी इनको पूरा करेगा, उसको ही स्टिल्ट प्लस चार मंजिला भवन निर्माण बनाने की इजाजत दी जाएगी। जेपी दलाल ने कहा कि सेक्टरों में जो पहले अवैध तरीके से 4 मंजिला भवन बनाए जा चुके हैं, उसको ढहाया नहीं जाएगा। हरियाणा के नगर एवं ग्राम नियोजन मंत्री जेपी दलाल ने कहा कि स्टिल्ट +4 मंजिलों के निर्माण की अनुमति उन कालोनियों, सेक्टरों में आवासीय भूखंडों के लिए दी जाएगी, जिनका ले आउट प्लान प्रति प्लाट चार आवासीय इकाइयों के साथ अप्रूव है। एस +4 मंजिलों के निर्माण की अनुमति पहले से ही लाइसेंस प्राप्त DDJAY कॉलोनी में भी दी जाएगी, यदि प्रति प्लाट चार आवासीय इकाइयों के लिए संशोधित हो। इसके अलावा निर्माण की अनुमति उन कॉलोनियां, सेक्टरों में भी दी जा सकती है, जिनका ले आउट प्लान प्रति प्लॉट 3 आवासीय इकाइयों के साथ मंजूर हैं, लेकिन केवल ऐसे आवासीय भूखंडों के लिए जो 10 मीटर या उससे अधिक चौड़ी सड़क से सुगम्य हैं। ये भवन होंगे अवैध जिन भवनों में 1.8 मीटर का साइड सेट बैक नहीं छोड़ा होगा, उन्हें अवैध माना जाएगा। इसके अलावा भवन के आसपास रहने वाले लोगों की मंजूरी भी लेना जरूरी होगा, यदि वह परमिशन नहीं देंगे तो ऐसे भवनों को भी अवैध माना जाएगा। दलाल ने बताया कि 250 वर्ग मीटर से अधिक माप वाले भूखंडों के लिए PDR की दरें नियम से बढ़ाई जाएंगी। एस +4 विकल्प नहीं चुनने पर ये होगा नियम जहां मालिक एस +4 मंजिल का निर्माण नहीं करने का विकल्प चुनता है और PDR का फायदा पूरा नहीं उठाता है, ऐसे अप्रयुक्त पीडीआर की गणित राशि का रिफंड 8% ब्याज सहित के अनुरोध के लिए आवेदन की तिथि तक पात्रता होगी, जो इस संबंध में आदेश जारी करने की तिथि से 60 दिनों के भीतर किया जाना चाहिए। यदि मामला अनुच्छेद 1 या 3 में नहीं आता है, तो आवंटी 8 % ब्याज के साथ भुगतान की गई पूरी नीलामी राशि की वापसी के लिए पात्र होगा, जो इस संबंध में आदेश जारी करने की तिथि से 60 दिनों के भीतर किया जाना चाहिए। इस नियम को ऐसे समझिए… रिफंड राशि की गणना के लिए एक उदाहरण के रूप में समझिए। गुरुग्राम में स्थित 600 वर्ग मीटर के एक भूखंड के लिए, जिस पर आधार एफएआर 1.2 है और पीडीआर के साथ अधिकतम स्वीकार्य एफएआर 2.4 तक है, लेकिन आवंटी 1.9 का एफएआर प्राप्त करने में सक्षम है, तो शेष अप्रयुक्त एफएआर 0.5, यानी 300 वर्ग मीटर के लिए आवंटी गणना की गई राशि के प्रतिदाय के लिए पात्र होगा। शेष अप्रयुक्त एफएआर ( वर्ग मीटर में ) को प्लाट आकार के लिए पीडीआर ( रुपये प्रति वर्ग मीटर में ) उस क्षेत्र में जिसमें प्लाट स्थित है की लागू निर्धारित दर से गुणा किया जाता है। तदनुसार, यदि प्लाट गुरुग्राम ( हाइपर पोटेंशियल जोन ) में स्थित है, तो वापसी योग्य राशि 24,21,000 रुपए होगी और यदि प्लाट पानीपत (हाई- पोटेशियल(जोन) में स्थित है, तो वापसी योग्य राशि 24,53,500 रुपए होगी। 250 वर्ग मीटर से कम भूखंडों की अनुमति नहीं होगी मामलों में जहां दोनों में से किसी एक या दोनों को स्वामियों के साथ निष्पादित महत समझौते में सहमति दी जाती है, ऐसे में बेसमेंट का निर्माण और सार्वजनिक दीवार पर भार का स्थानांतरण करने की अनुमति है। इसके अलावा, आम दीवार के निर्माण की अनुमति दी जाएगी यदि आवासीय भूखंडों की पूरी पंक्ति को भवन योजनाओं को स्वीकृति और निर्माण के लिए एक बार में लिया जाता है। बेसमेंट मंजिल का निर्माण की अनुमति किसी भी मामले में 10 मीटर चौड़ाई और 250 वर्ग मीटर क्षेत्र से कम के भूखंडों पर अनुमति नहीं दी जाएगी। सुविधाओं का ऑडिट कराएगी सरकार पिछले साल मार्च में रिटायर्ड आईएएस पी राघवेंद्र राव की अध्यक्षता में कमेटी का गठन किया। कमेटी ने रिपोर्ट सौंपी, जिसके बाद सरकार ने इस पर कोई फैसला नहीं लिया था। लोकसभा चुनाव के बाद अब सरकार ने ये फैसला किया है। जिसके अनुसार जिन इलाकों में यह पार्किंग प्लस चार मंजिला भवनों का निर्माण हो चुका है, वहां सुविधाओं का ऑडिट भी कराएगी। ताकि किसी को कोई परेशानी न आए और वहां सुविधा बढ़ाई जा सके। इसके अलावा जिन सेक्टर्स में विरोध नहीं है, वहां भी निर्माण किया जा सकेगा। सरकार ने ये भी किया ऐलान शहर के सभी सेक्टरों के आधारभूत संरचना में वृद्धि, जहां भी आवश्यक हो, संबंधित एजेंसियों द्वारा एस +4 योजनाओं के अनुमोदन के विरुद्ध एकत्रित 1178.95 करोड़ रुपए ( टीसीपी 689.8 करोड़ रुपए, एचएसवीपी 466.3 करोड़ रुपए, एचएसआईआईडीसी 2.62 करोड़ रुपए यूएलबी 20.23 करोड़ रुपए की आईएसी निधि से तुरंत की जाएगी। ये निधियों तत्काल आधार पर एचएसवीपी को जारी की जाएगी, जो प्राथमिकता और निष्पादन के लिए नोडल कार्यालय होगा, और उसके बाद मासिक आधार पर उपार्जन के आधार पर जारी की जाएगी। शिकायतों के लिए समितियां बनेंगी दलाल ने बताया कि प्रत्येक विभाग एस- 4 मामलों से संबंधित मुद्दों के निपटान और समय-समय पर एस-4 मंजिलों से संबंधित अनुमतियों सहित विभिन्न सूचनाओं को अपलोड करने के लिए एस -4 पोर्टल ‘ स्थापित करेगा। स्टिल्ट प्लस चार मंजिलों के लिए भवन योजनाओं के अनुमोदन की जानकारी को एस -4 पोर्टल’ और संबंधित एजेंसियों की वेबसाइटों पर नियमित रूप से प्रदर्शित करने के लिए एक तंत्र विकसित किया जाएगा। जेपी दलाल ने बताया कि शिकायतों के समाधान के लिए शिकायत निवारण समितियों का गठन किया जाएगा। एस +4 मंजिलों के निर्माण के संबंध में संरचनात्मक क्षति, पार्किंग की समस्या, बुनियादी ढांचे के मुद्दों आदि से संबंधित सभी मामलों के लिए भूखंड मालिकों को सहायता दी जाएगी। सभी शिकायतों का निपटारा एस -4 पोर्टल पर किया जाएगा। इसलिए बढ़ी स्टिल्ट प्लस 4 की डिमांड कई मामलों में स्टिल्ट प्लस 4 मंजिलों का निर्माण सीमित जगह वाले क्षेत्रों में या जहां जमीन की कीमत अधिक है, वहां किया जाता है। स्टिल्ट फ्लोर का उपयोग कर, डेवलपर्स आवासीय या व्यवसायिक उपयोग के लिए मूल्यवान फ्लोर स्पेस का त्याग किए बिना पार्किंग या भंडारण के लिए अतिरिक्त स्थान बना सकते हैं। इसलिए हरियाणा के शहरी क्षेत्रों में इसकी डिमांड बढ़ी है। ये होता है नुकसान यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि स्टिल्ट प्लस 4 मंजिलों के निर्माण से आसपास के बुनियादी ढांचे पर असर पड़ सकता है। इससे यातायात में वृद्धि, पार्किंग और जल निकासी संबंधी समस्याएं आ सकती हैं।
रोहतक की ओमेक्स सिटी में फटे सिलेंडर:6 फ्लैटों में लगी आग, ब्लास्ट से दहले लोग; लोगों को सुरक्षित निकाला
रोहतक की ओमेक्स सिटी में फटे सिलेंडर:6 फ्लैटों में लगी आग, ब्लास्ट से दहले लोग; लोगों को सुरक्षित निकाला हरियाणा के रोहतक में स्थित ओमेक्स सिटी में शनिवार शाम को करीब 3 सिलेंडर फटने का मामला सामने आया है। सिलेंडर फटने के कारण करीब 6 फ्लैट में आग लग गई। जिसके कारण करोड़ों रुपए का नुकसान हो गया। घटना की सूचना मिलते ही दमकल विभाग की गाड़ियां भी मौके पर पहुंची और आग पर काबू पाने का प्रयास किया। वहीं सूचना मिलती ही एसपी नरेंद्र बिजारणिया और एसडीएम आशीष कुमार सहित अन्य प्रशासनिक अधिकारी भी मौके पर पहुंच गए हैं।
महेंद्रगढ़ नहर में आधी रात मिले 2 युवकों के शव:CCTV में पंप हाऊस की तरफ जाते दिखे; 2 साथियों को युवक ने निकाला
महेंद्रगढ़ नहर में आधी रात मिले 2 युवकों के शव:CCTV में पंप हाऊस की तरफ जाते दिखे; 2 साथियों को युवक ने निकाला हरियाणा के महेंद्रगढ़ में नहर में नहाने गए 4 किशोरों में से 2 की रात को डूबने से मौत हो गई थी। दोनों के शवों का रविवार को नागरिक अस्पताल में पोस्टमॉर्टम हुआ। इसी बीच एक सीसीटीवी फुटेज भी सामने आयी है, जिसमें चारों बच्चे डरोली जाट की नहर की तरफ जाते हुए दिखाई दे रहे हैं। मृतकों में हितेश (17) कक्षा 11वीं और प्रिंस (16) कक्षा 9वीं में पढ़ रहे थे। इनके दो साथियों को बचा लिया गया था। जानकारी के अनुसार डेरोली जाट निवासी हितेश (17), प्रिंस (16), नकुल व जतिन शनिवार शाम को नहर के एनबी पंप हाउस नंबर 4 के पास नहाने के लिए गए थे। उस दौरान नहर में पानी का बहाव तेज था। चारों किशोर कपड़े निकाल कर नहर में उतरे ही थे कि पानी में बह गए और डूबने लगे। वहां से गुजर रहे एक व्यक्ति ने 2 लड़कों को पानी से निकाल लिया, लेकिन दो पानी में बह गए। आधी रात काे निकाले गए शव दो युवकों के नहर में डूबने की खबर ग्रामीणों को मिली तो मौके पर भीड़ लग गई। पुलिस की टीम भी पहुंची और गोताखोरों को भी बुलाया गया। कड़ी मशक्कत के बाद रात लगभग 11-साढ़े बजे दोनों लड़कों की डेड बॉडी को नहर से निकाला गया। रविवार को नागरिक अस्पताल में दोनों के शवों को पोस्टमॉर्टम किया गया। इस दौरान बड़ी संख्या में इनके परिजन व ग्रामीण पहुंचे थे। पुलिस ने भी परिजनों के बयान दर्ज किए और पोस्टमॉर्टम के बाद शव सौंपा। सीसीटीवी में कैद हुई आखिरी तस्वीर हितेश, प्रिंस, नकुल व जतिन शाम को पांच बजे के करीब नहर की तरफ जा रहे थे। रास्ते में लगे एक सीसीटीवी कैमरे में उनकी वीडियो रिकॉर्ड हुई। चारों हंसते खेलते हुए नहर की तरफ जाते हुए दिखाई दिए। वहां से नहर पर पहुंचने का कम से कम 15 से 20 मिनट का समय लगता है। माना जा रहा है कि हादसा 5:30 बजे के करीब हुआ है। डेरोली नहर के किनारों पर लाइट नहीं होने के कारण ग्रामीणों ने अपने मोबाइल फोन की लाइट व टॉर्च जलाकर नहर में सर्च अभियान चलाया। सरपंच बोले- अटाली का अजीत बना फरिश्ता डेरोली गांव के सरपंच रणधीर ने बताया कि गांव के 4 लड़के शनिवार को गांव के नजदीक से गुजर रही नहर में नहाने के लिए गए थे। दो लड़कों को गांव अटाली के अजीत ने नहर से बाहर निकाल लिया। लेकिन दो लड़कों को पानी के तेज बहाव के कारण नहीं निकाल सका। प्रशासन की मदद से नहर के पानी को कम करवाया गया। देर रात दोनों लड़कों की डेड बॉडी को नहर से बाहर निकाला गया। प्रशासन, फायर ब्रिगेड, एम्बुलेंस, डीएसपी मोहम्मद जमाल व सदर थाना इंचार्ज धर्मवीर सिंह मौके पर पहुंचे थे।