हरियाणा सरकार ने बनाई भ्रष्ट तहसीलदारों की लिस्ट:इसमें 47 नाम, नियम 7A के उल्लंघन का शक; पहले पटवारियों-दलालों की सूची आ चुकी

हरियाणा सरकार ने बनाई भ्रष्ट तहसीलदारों की लिस्ट:इसमें 47 नाम, नियम 7A के उल्लंघन का शक; पहले पटवारियों-दलालों की सूची आ चुकी

हरियाणा सरकार ने पटवारी और दलालों के बाद अब करप्ट तहसीलदारों की लिस्ट भी तैयार कर ली है। इसमें 47 तहसीलदारों के नाम शामिल हैं। सरकार को मिले खुफिया विभाग के इनपुट में कहा गया है कि इन तहसीलदारों ने गलत तरीके से रजिस्ट्रियां की हैं। खास तौर पर धारा 7-A को अनदेखा किया। फिर रुपए लेकर वहां रजिस्ट्री कर दी। सरकार को इनके पास आय से अधिक प्रॉपर्टी होने का भी शक है। पटवारियों और दलालों की लिस्ट लीक होने के बाद सरकार ने इसको पूरी तरह से सीक्रेट रखा है। हालांकि उनकी तैनाती के जिलों के डिप्टी कमिश्नरों को नाम भेजकर रिपोर्ट तलब कर ली गई है। रेवेन्यू मंत्रालय से जुड़े टॉप सोर्स ने इसकी पुष्टि की है। पहले भी नोटिस दिए, कार्रवाई नहीं हुई
नियम 7A का उल्लंघन कर बिना NOC के रजिस्ट्रियों का मामला पहले भी सरकार के पास आया था। तब तहसीलदारों, नायब तहसीलदारों और पटवारियों को नोटिस जारी किए गए। तब उनसे स्पष्टीकरण मांगा गया था। मगर, इसके बाद इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं हुई। तब ये माना गया कि दबाव और ऊंची पहुंच की वजह से सरकार को बैकफुट पर आना पड़ा। रजिस्ट्री घोटाले से भी सरकार जोड़ रही तार
राजस्व विभाग के टॉप सोर्सेज के मुताबिक खुफिया इनपुट से इसके तार रजिस्ट्री घोटाले से भी जुड़ रहे हैं। यह घोटाला जुलाई 2020 में कोरोना काल के दौरान हुआ था। तब सरकार ने विशेष जांच समिति (SEC) गठित की थी। उनकी रिपोर्ट में 34 तहसीलदारों और नायब तहसीलदारों के अलावा कानूनगो, लेखा परीक्षकों, रजिस्ट्री क्लर्कों और पटवारियों सहित 232 राजस्व अधिकारियों को भू-माफिया या रियल एस्टेट एजेंटों की सुविधा के लिए राजस्व रिकॉर्ड में हेरफेर करने के लिए दोषी ठहराया था। सबसे पहले 370 भ्रष्ट पटवारियों की लिस्ट आई
हाल ही में सरकार की एक लिस्ट सामने आई थी। जिसमें प्रदेश में तैनात 370 पटवारियों को भ्रष्ट बताया गया था। इसमें यह भी बताया गया था कि किस जिले का कौन सा पटवारी किस काम के लिए कितनी रिश्वत लेता है। इसके अलावा 170 पटवारी ऐसे थे, जिन्होंने निजी सहायक रखे हुए थे। कुछ पटवारी अपने घर या प्राइवेट जगह पर ऑफिस चला रहे थे। हालांकि पटवारी इसका विरोध कर रहे हैं। दूसरी लिस्ट 404 दलालों की आई
पटवारियों के बाद 404 दलालों की लिस्ट सामने आई थी। सरकार का कहना था कि ये सारे दलाल तहसील और पटवारी दफ्तरों में सक्रिय हैं। कुछ दफ्तरों में राजस्व कर्मचारियों के भी दलाली करने का इनपुट मिला था। ये दलाल तहसीलदार और नायब तहसीलदार के नाम पर काम कराने के बदले पैसे ले रहे हैं। सरकार ने कहा था कि दलालों की एंट्री रोकने के लिए CCTV कैमरे लगाए जाएं। *************** भ्रष्ट पटवारी और दलालों की लिस्ट से जुड़ी खबर पढ़ें… हरियाणा सरकार ने 370 पटवारियों को भ्रष्ट बताया, जाति भी लिखी इस रिपोर्ट में प्रदेश के 370 पटवारियों को भ्रष्ट करार दिया गया है। सरकार का दावा है कि ये पटवारी पैमाइश, इंतकाल, रिकॉर्ड ठीक करने और नक्शा पास कराने के बदले भ्रष्टाचार कर रहे हैं (पढ़ें पूरी खबर..) हरियाणा के तहसील-पटवारखानों में 404 दलाल तहसील और पटवारी कार्यालयों में सक्रिय 404 दलालों का एक लेटर सामने आया है। राजस्व विभाग की तरफ से 20 जनवरी को जारी लेटर के मुताबिक ये दलाल प्रदेश के तहसील और पटवारी कार्यालयों में सक्रिय हैं (पढ़ें पूरी खबर…) हरियाणा सरकार ने पटवारी और दलालों के बाद अब करप्ट तहसीलदारों की लिस्ट भी तैयार कर ली है। इसमें 47 तहसीलदारों के नाम शामिल हैं। सरकार को मिले खुफिया विभाग के इनपुट में कहा गया है कि इन तहसीलदारों ने गलत तरीके से रजिस्ट्रियां की हैं। खास तौर पर धारा 7-A को अनदेखा किया। फिर रुपए लेकर वहां रजिस्ट्री कर दी। सरकार को इनके पास आय से अधिक प्रॉपर्टी होने का भी शक है। पटवारियों और दलालों की लिस्ट लीक होने के बाद सरकार ने इसको पूरी तरह से सीक्रेट रखा है। हालांकि उनकी तैनाती के जिलों के डिप्टी कमिश्नरों को नाम भेजकर रिपोर्ट तलब कर ली गई है। रेवेन्यू मंत्रालय से जुड़े टॉप सोर्स ने इसकी पुष्टि की है। पहले भी नोटिस दिए, कार्रवाई नहीं हुई
नियम 7A का उल्लंघन कर बिना NOC के रजिस्ट्रियों का मामला पहले भी सरकार के पास आया था। तब तहसीलदारों, नायब तहसीलदारों और पटवारियों को नोटिस जारी किए गए। तब उनसे स्पष्टीकरण मांगा गया था। मगर, इसके बाद इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं हुई। तब ये माना गया कि दबाव और ऊंची पहुंच की वजह से सरकार को बैकफुट पर आना पड़ा। रजिस्ट्री घोटाले से भी सरकार जोड़ रही तार
राजस्व विभाग के टॉप सोर्सेज के मुताबिक खुफिया इनपुट से इसके तार रजिस्ट्री घोटाले से भी जुड़ रहे हैं। यह घोटाला जुलाई 2020 में कोरोना काल के दौरान हुआ था। तब सरकार ने विशेष जांच समिति (SEC) गठित की थी। उनकी रिपोर्ट में 34 तहसीलदारों और नायब तहसीलदारों के अलावा कानूनगो, लेखा परीक्षकों, रजिस्ट्री क्लर्कों और पटवारियों सहित 232 राजस्व अधिकारियों को भू-माफिया या रियल एस्टेट एजेंटों की सुविधा के लिए राजस्व रिकॉर्ड में हेरफेर करने के लिए दोषी ठहराया था। सबसे पहले 370 भ्रष्ट पटवारियों की लिस्ट आई
हाल ही में सरकार की एक लिस्ट सामने आई थी। जिसमें प्रदेश में तैनात 370 पटवारियों को भ्रष्ट बताया गया था। इसमें यह भी बताया गया था कि किस जिले का कौन सा पटवारी किस काम के लिए कितनी रिश्वत लेता है। इसके अलावा 170 पटवारी ऐसे थे, जिन्होंने निजी सहायक रखे हुए थे। कुछ पटवारी अपने घर या प्राइवेट जगह पर ऑफिस चला रहे थे। हालांकि पटवारी इसका विरोध कर रहे हैं। दूसरी लिस्ट 404 दलालों की आई
पटवारियों के बाद 404 दलालों की लिस्ट सामने आई थी। सरकार का कहना था कि ये सारे दलाल तहसील और पटवारी दफ्तरों में सक्रिय हैं। कुछ दफ्तरों में राजस्व कर्मचारियों के भी दलाली करने का इनपुट मिला था। ये दलाल तहसीलदार और नायब तहसीलदार के नाम पर काम कराने के बदले पैसे ले रहे हैं। सरकार ने कहा था कि दलालों की एंट्री रोकने के लिए CCTV कैमरे लगाए जाएं। *************** भ्रष्ट पटवारी और दलालों की लिस्ट से जुड़ी खबर पढ़ें… हरियाणा सरकार ने 370 पटवारियों को भ्रष्ट बताया, जाति भी लिखी इस रिपोर्ट में प्रदेश के 370 पटवारियों को भ्रष्ट करार दिया गया है। सरकार का दावा है कि ये पटवारी पैमाइश, इंतकाल, रिकॉर्ड ठीक करने और नक्शा पास कराने के बदले भ्रष्टाचार कर रहे हैं (पढ़ें पूरी खबर..) हरियाणा के तहसील-पटवारखानों में 404 दलाल तहसील और पटवारी कार्यालयों में सक्रिय 404 दलालों का एक लेटर सामने आया है। राजस्व विभाग की तरफ से 20 जनवरी को जारी लेटर के मुताबिक ये दलाल प्रदेश के तहसील और पटवारी कार्यालयों में सक्रिय हैं (पढ़ें पूरी खबर…)   हरियाणा | दैनिक भास्कर