महाकुंभ में यमुना तट पर 50 करोड़ रुपए की लागत से दो महीने के लिए डोम सिटी का निर्माण किया गया था। दावा था कि फायरप्रूफ डोम सिटी श्रद्धालुओं को अत्याधुनिक सुविधाओं के साथ 24 घंटे रहने का अनुभव प्रदान करेगी, जहां वे दिन में सन बाथ और रात में खुले आसमान के नीचे टिमटिमाते तारों का आनंद ले सकेंगे। इसे किसी हिल स्टेशन से महाकुंभ मेला देखने जैसा अनुभव बताया गया था। लेकिन, यह सारे दावे तब धरे रह गए जब गुरुवार की शाम 3 से 4 बजे के बीच अचानक एक डोम में आग लग गई। गनीमत यह रही कि डोम खाली था और किसी को कोई नुकसान नहीं पहुंचा। सुरक्षा दावों की खुली पोल डोम सिटी में 176 लग्जरी कॉटेज भी बनाए गए थे। यहां ठहरने के लिए एसी, गीजर और सात्विक भोजन जैसी अत्याधुनिक सुविधाएं उपलब्ध कराने का दावा किया गया था। स्नान पर्व के दौरान एक दिन का किराया 1 लाख 10 हजार और सामान्य दिनों के लिए 81 हजार रुपए निर्धारित किया गया था। इस परियोजना को उत्तर प्रदेश टूरिज्म डिपार्टमेंट के सहयोग से शुरू किया गया था, लेकिन इसमें सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं किए गए। 30 जनवरी की शाम हुई इस घटना के बाद दैनिक भास्कर की टीम डोम सिटी पहुंची, लेकिन उन्हें अंदर जाने से रोक दिया गया। वहां के सुरक्षा गार्ड ने बताया कि किसी भी मीडियाकर्मी को अंदर जाने की अनुमति नहीं है। तब हमने बाहर से ही शूट किया और देखा कि पिघले हुए डोम को ट्रैक्टर पर रखा गया है। और जगह को पूरी तरफ साफ कर दिया गया है। आग लगने के कारणों का खुलासा जब दैनिक भास्कर की टीम ने डोम सिटी की आर्किटेक्ट ऐश्वर्या से फोन पर आग लगने के कारणों के बारे में पूछा, तो उन्होंने पहले कुछ भी बताने से इनकार कर दिया। बाद में उन्होंने बताया कि एक बल्ब पूरे दिन जल रहा था, जिसके ओवर हीटिंग के कारण आग लग गई। सुपरवाइजर ने झूमर के बल्ब को बताया आग की वजह डोम सिटी के बाहर मौजूद लोगों से बात करते समय, दैनिक भास्कर की टीम को सुरक्षा गार्ड ने पीले शर्ट वाले सुपरवाइजर से बात करने के लिए कहा। सुपरवाइजर ने अपना नाम बताने से इनकार कर दिया, लेकिन बाद में बताया कि झूमर के बल्ब की वजह से आग लगी थी। फायर कंट्रोल टीम ने किया निरीक्षण घटना के बाद फायर कंट्रोल टीम डोम सिटी के अंदर पहुंची और आग लगने वाले स्थान का निरीक्षण किया। इसके साथ ही वहां ठहरे हुए लोगों के कमरों की भी जांच की गई। डोम सिटी के मालिक के दावों की सच्चाई डोम सिटी के मालिक अमित जौहरी ने दावा किया था कि 15 फीट की ऊंचाई पर बनाई जा रही इस डोम सिटी में 360 डिग्री पॉली कार्बोनेट शीट से बने 32×32 के कुल 44 डोम बनाए जा रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा था कि ये सभी डोम फायर प्रूफ होंगे। हालांकि, आग की घटना ने उनके दावों की सच्चाई सबके सामने ला दी है। इस घटना ने महाकुंभ में सुरक्षा व्यवस्था की पोल खोल दी है। यह गंभीर सवाल खड़ा होता है कि क्या इस तरह की घटनाओं के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कोई कार्रवाई की जाएगी? ————- ये खबर भी पढ़ें… 49, 61 या 100, भगदड़ में मौतों का आंकड़ा क्या:महाकुंभ में एक नहीं 3 जगह भगदड़ हुई, GT रोड पर भी 5 मरे महाकुंभ में 28 जनवरी की देर रात करीब 1:30 बजे संगम नोज इलाके में भगदड़ हुई। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक 30 लोगों की मौत हुई है और 60 लोग घायल हैं। भगदड़ सिर्फ एक जगह हुई और मरने वालों की संख्या सिर्फ 30 है, ये दोनों ही बातें सवालों के घेरे में है। पढ़ें पूरी खबर महाकुंभ में यमुना तट पर 50 करोड़ रुपए की लागत से दो महीने के लिए डोम सिटी का निर्माण किया गया था। दावा था कि फायरप्रूफ डोम सिटी श्रद्धालुओं को अत्याधुनिक सुविधाओं के साथ 24 घंटे रहने का अनुभव प्रदान करेगी, जहां वे दिन में सन बाथ और रात में खुले आसमान के नीचे टिमटिमाते तारों का आनंद ले सकेंगे। इसे किसी हिल स्टेशन से महाकुंभ मेला देखने जैसा अनुभव बताया गया था। लेकिन, यह सारे दावे तब धरे रह गए जब गुरुवार की शाम 3 से 4 बजे के बीच अचानक एक डोम में आग लग गई। गनीमत यह रही कि डोम खाली था और किसी को कोई नुकसान नहीं पहुंचा। सुरक्षा दावों की खुली पोल डोम सिटी में 176 लग्जरी कॉटेज भी बनाए गए थे। यहां ठहरने के लिए एसी, गीजर और सात्विक भोजन जैसी अत्याधुनिक सुविधाएं उपलब्ध कराने का दावा किया गया था। स्नान पर्व के दौरान एक दिन का किराया 1 लाख 10 हजार और सामान्य दिनों के लिए 81 हजार रुपए निर्धारित किया गया था। इस परियोजना को उत्तर प्रदेश टूरिज्म डिपार्टमेंट के सहयोग से शुरू किया गया था, लेकिन इसमें सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम नहीं किए गए। 30 जनवरी की शाम हुई इस घटना के बाद दैनिक भास्कर की टीम डोम सिटी पहुंची, लेकिन उन्हें अंदर जाने से रोक दिया गया। वहां के सुरक्षा गार्ड ने बताया कि किसी भी मीडियाकर्मी को अंदर जाने की अनुमति नहीं है। तब हमने बाहर से ही शूट किया और देखा कि पिघले हुए डोम को ट्रैक्टर पर रखा गया है। और जगह को पूरी तरफ साफ कर दिया गया है। आग लगने के कारणों का खुलासा जब दैनिक भास्कर की टीम ने डोम सिटी की आर्किटेक्ट ऐश्वर्या से फोन पर आग लगने के कारणों के बारे में पूछा, तो उन्होंने पहले कुछ भी बताने से इनकार कर दिया। बाद में उन्होंने बताया कि एक बल्ब पूरे दिन जल रहा था, जिसके ओवर हीटिंग के कारण आग लग गई। सुपरवाइजर ने झूमर के बल्ब को बताया आग की वजह डोम सिटी के बाहर मौजूद लोगों से बात करते समय, दैनिक भास्कर की टीम को सुरक्षा गार्ड ने पीले शर्ट वाले सुपरवाइजर से बात करने के लिए कहा। सुपरवाइजर ने अपना नाम बताने से इनकार कर दिया, लेकिन बाद में बताया कि झूमर के बल्ब की वजह से आग लगी थी। फायर कंट्रोल टीम ने किया निरीक्षण घटना के बाद फायर कंट्रोल टीम डोम सिटी के अंदर पहुंची और आग लगने वाले स्थान का निरीक्षण किया। इसके साथ ही वहां ठहरे हुए लोगों के कमरों की भी जांच की गई। डोम सिटी के मालिक के दावों की सच्चाई डोम सिटी के मालिक अमित जौहरी ने दावा किया था कि 15 फीट की ऊंचाई पर बनाई जा रही इस डोम सिटी में 360 डिग्री पॉली कार्बोनेट शीट से बने 32×32 के कुल 44 डोम बनाए जा रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा था कि ये सभी डोम फायर प्रूफ होंगे। हालांकि, आग की घटना ने उनके दावों की सच्चाई सबके सामने ला दी है। इस घटना ने महाकुंभ में सुरक्षा व्यवस्था की पोल खोल दी है। यह गंभीर सवाल खड़ा होता है कि क्या इस तरह की घटनाओं के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ कोई कार्रवाई की जाएगी? ————- ये खबर भी पढ़ें… 49, 61 या 100, भगदड़ में मौतों का आंकड़ा क्या:महाकुंभ में एक नहीं 3 जगह भगदड़ हुई, GT रोड पर भी 5 मरे महाकुंभ में 28 जनवरी की देर रात करीब 1:30 बजे संगम नोज इलाके में भगदड़ हुई। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक 30 लोगों की मौत हुई है और 60 लोग घायल हैं। भगदड़ सिर्फ एक जगह हुई और मरने वालों की संख्या सिर्फ 30 है, ये दोनों ही बातें सवालों के घेरे में है। पढ़ें पूरी खबर उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर
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उन्होंने कहा कि प्रायः देखने में यह भी आया हैं कि संपत्तिकर रिकार्ड दुरूस्त करवाने के लिए आवेदन करते समय लगाए गए दस्तावेज पढ़ने योग्य नहीं होते, जिस कारण आवेदन रिर्वट/वापस सिटीजन को भेजा जाता है। अतः आमजन से अपील है कि संपत्ति के विवरण को दुरूस्त करने के लिए आवेदन करने के दौरान संबंधित दस्तावेज अवश्य लगाएं, जैसे कि रैवन्यू रिकार्ड की प्रति जिसमें भूमि का विवरण स्पष्ट हो, यदि रिहायशी क्षेत्र में भवन प्लान स्वीकृत करवाया गया है तो साथ में उसकी प्रति भी लगाई जा सकती है तथा लगाए गए सभी दस्तावेज पढ़ने योग्य अवश्य हो।
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<p style=”text-align: justify;”>बिहार के सारण छपरा के रसूलपुर थाना क्षेत्र में तिहरे हत्या की घटना हुई थी, जिसमें पुलिस अधीक्षक की पहल से काफ़ी तेज़ी से कांड के अभियुक्तों को चंद घंटों में गिरफ्तार कर लिया गया साथ ही सारण के पुलिस अधीक्षक डॉ कुमार आशीष के परवेछन में तेज़ी से अनुसंधान की कार्रवाई की गई है. तिहरे हत्या कांड में पुलिस की पहल के कारण ही काफी तेज़ी से अनुसंधान की कार्रवाई की गई हैं इसके साथ ही नए क़ानून में पहला ऐसा मामला हैं, जिसमें पुलिस की पहल के कारण 14 दिनों में अनुसंधान की कार्यवाही को पूरा किया गया है. </p>
<p style=”text-align: justify;”>17 जुलाई को सारण छपरा के रसूलपुर थाना क्षेत्र के धानाडीह गाँव में एक तरफा प्यार में एक परिवार के तीन सदस्यों की चाकू मार कर हत्या की वारदात को अंजाम दिया गया था इस वारदात के बाद पुलिस अधीक्षक डॉ कुमार आशीष ने अपने अस्तर से टीम बना कर खुद परवेछन करते हुए लगातार मॉनिटरिंग किया जिसके कारण इस पूरे कांड में पुलिस ने अनुसंधान तेज़ी से करते हुए चार्जशीट दायर कर दिया हैं इतना ही नहीं इस घटना के बाद नए क़ानून के तहत पुलिस ने चंद घंटों में घटना में शामिल दो अपराधियों को गिरफ्तार कर लिया था इसके साथ ही वैज्ञानिक अनुसंधान करते हुए FSL के लोगों द्वारा साक्ष्य इक्कट्ठा करते हुए अनुसंधान तेज़ी से किया हैं </p>
<p style=”text-align: justify;”>सारण में नए क़ानून के बाद ये बड़ी घटना हुई है, इस घटना के बाद सारण पुलिस ने अनुसंधान पूर्ण करते किया हैं कल दिनांक 31 जुलाई को माननीय न्यायालय में चार्ज शीट भी दाखिल कर दि गई सारण के पुलिस अधीक्षक डॉ कुमार आशीष के द्वारा जिला एवं सत्र न्यायाधीश पुनीत कुमार गर्ग से त्वरित विचारण करने का अनुरोध भी किया गया है इस घटना में अनुसंधान सम्बन्धी अनिवार्यता पूर्ण करा ली गयी है त्वरित विचारण से इसमें आरोपियों को जल्द से जल्द सज़ा दिलवाने लगातार पुलिस ने पहल की हैं जिससे आरोपियों को जल्दी सज़ा हो सके. छपरा के रसूलपुर थाना क्षेत्र के कांड संख्या 133/24 के तहत 17.07.2024 को धारा 103(1)/109/(1)/329(4)/3(5) B.N.S में प्राथमिकी दर्ज की गई हैं</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>क्या कहते हैं सारण के पुलिस अधीक्षक?</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>इस पूरे मामले पर सारण के पुलिस अधीक्षक डॉ कुमार आशीष ने बताया कि नए क़ानून के तहत यह पहला मामला है जिसमें समय से पहले अनुसंधान की कार्यवाही पूरी की गई हैं हमारा प्रयास हैं कि जो भी दोषी हैं उनपर सख्त कार्यवाही हो जल्द से जल्द पीड़ित परिवार को न्याय मिले यही पुलिस की कोशिश होगी हमारा भी यही प्रयास हैं कि आम लोगो का पुलिस पर भरोसा समय के साथ और बढ़े और लोगो पुलिस को सहयोग करने के लिए आगे आए इसके साथ ही अपराध नियंत्रण में लोगो का सहयोग मिलता रहे और अपराधियों को सज़ा दिलाया जाए और अपराध पर रोक थाम के दिशा में बेहतर कार्य हो सके. </p>
<p style=”text-align: justify;”>साथ ही सजा का डर अपराधियों को अपराध करने से रोकता है अपराध किसी व्यक्ति मात्र के विरूद्ध नहीं बल्कि समाज एवं राष्ट्र के विरूद्ध किया जाता है. अपराधियों के संबंध में पुलिस को सूचना देना और इसके साथ ही अपराधियों को सजा दिलाना आम लोगो का कर्त्तव्य है अपराधी पुलिस एवं न्यायालय में गवाहों के द्वारा गवाही नहीं देने के कारण दोषमुक्त हो जाते हैं अपराधियों के विरूद्ध पुलिस को सूचना देकर उनके विरुद्ध गवाही देकर नागरिक, पुलिस और समाज की मदद कर सकते हैं अपराधियों से खतरा होने की स्थिति में सुरक्षा के लिए गवाह को पुलिस से सम्पर्क करना चाहिये उन्हें गवाही के लिए न्यायालय में उपस्थित कराने के लिए पुलिस से हर तरह की सहयोग मिलेगी पुलिस आम लोगो कर पहल के लिए ही हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”>आप भी जाने की बिहार सरकार द्वारा Witness Protection Scheme लागू की गई हैं राज्य स्तर पर गवाह सुरक्षा कोषांग (State Witness Protection Cell) की गठन हुई है इसके अलावा जिला में गवाह सुरक्षा कोषांग का गठन भी हुई हैं जिला स्तर पर सक्षम प्राधिकार का गठन जिला एवं सत्र न्यायाधीश की अध्यक्षता में की गई हैं गवाह सुरक्षा योजना में गवाह अपनी सुरक्षा के लिए आवेदन जिला अभियोजन पदाधिकारी को दे सकते हैं सुरक्षा आकलन प्रतिवेदन (Threat Analysis Report) आने पर 05 (पाँच) दिनों में सक्षम प्राधिकार द्वारा गवाह की सुरक्षा सुनिश्चित की जाएगी </p>
<p style=”text-align: justify;”>पुलिस के द्वारा आवश्यकतानुसार खतरा की स्थिति में सक्षम प्राधिकार द्वारा अन्तरिम सुरक्षा आदेश दिया जायेगा खतरे के आलोक में गवाह को व्यक्तिगत सुरक्षा आवासीय सुरक्षा पुननिर्वासन संपर्क और पता परिवर्तन की कार्रवाई आवश्यकतानुसार की जाएगी इसके साथ ही सारण छपरा के पुलिस अधीक्षक डॉ कुमार आशीष के द्वारा बताया गया है कि अपराध रोकथाम और बेहतर विधि-व्यवस्था संधारण में आम जन सहयोग करें जानकारी साझा करें कोर्ट में अपना बयान द</p>
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अरविंद केजरीवाल ने शुरू की दूसरे चरण की पद यात्रा, संजय सिंह का दावा-‘साजिश रचने में नाकाम रही BJP’
अरविंद केजरीवाल ने शुरू की दूसरे चरण की पद यात्रा, संजय सिंह का दावा-‘साजिश रचने में नाकाम रही BJP’ <p style=”text-align: justify;”><strong>Delhi Latest News:</strong> दिल्ली में त्यौहार सीजन की वजह से आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल की पद यात्रा रोक दी गई थी, लेकिन आज से फिर उनकी पद शुरू हो गई. आज उन्होंने दूसरे चरण के पद यात्रा की शुरुआत राजौरी गार्डन से की. </p>
<p style=”text-align: justify;”>इस पद यात्रा को लेकर आम आदमी पार्टी के राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने कहा कि आप प्रमुख अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली के कई इलाकों में पद यात्रा की और पहले चरण की पदयात्रा में जनता का भरपूर प्यार मिला.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’जनता सब कुछ जानती है’ </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>उन्होंने कहा, ‘आप राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली के कई इलाकों में पद यात्रा की. पहले चरण की पदयात्रा में जनता का भरपूर समर्थन पार्टी व उनके नेताओं को मिला. पदयात्रा के दौरान इस बात के भी संकेत मिले हैं कि दिल्ली की जनता के हित में कौन सी पार्टी अच्छी है, जो हर क्षेत्र में उनका ख्याल रखने का काम करती है.’ </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’बीजेपी हमले और जुमले की पार्टी'</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>आप नेताओं के मुताबिक बीजेपी ने उनके पद यात्रा को रोकने की भरपूर साजिश की, लेकिन वे नाकाम रहे. आप की ओर से जारी बयान के मुताबिक जब बीजेपी दिल्ली में चुनाव नहीं जीत पाती है तो हमला करवाती है और वीडियो बनाकर बीजेपी के नेता उसका समर्थन करते है. </p>
<p style=”text-align: justify;”>संजय सिंह ने कहा कि बीजेपी की जिन-जिन राज्यो में सरकारें है। उनमें से एक भी राज्य में दिल्ली जैसी शिक्षा व्यवस्था नहीं है. इसलिए काम तो कर नहीं पाते तो साजिश करते हैं. दिल्ली के लोगों को बीजेपी के इन हरकतों के बारे में पद यात्रा के जरिए अरविंद केजरीवाल और आप कार्यकर्ता बतातै रहेंगे. </p>
<p style=”text-align: justify;”>उन्होंने कहा कि हमले से हमें कोई फर्क पड़ने वाला नहीं है. हम काम की राजनीति करते हैं. बीजेपी हमले और जुमले का नारा देती है. दिल्ली की सारी योजनाएं जारी रहेगी. हम योजनाओं को रुकने नहीं देंगे लेकिन ये जरूर है कि अगर बीजेपी आ गई तो आप की सभी योजनाएं जरूर बंद हो जाएगी ..</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’टैंकर माफिया का राज खत्म'</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>पानी पर संजय सिंह ने कहा 2012 में एक शब्द चलता था टैंकर माफिया लेकिन 10 सालों में केजरीवाल ने टैंकर माफिया का राज खत्म किया. केजरीवाल की सरकार ने दिल्ली वालों को स्वच्छ पानी देने का काम किया. जिनके पानी के बिल बढ़े हुए आए है उनको बिल देने की जरूरत नहीं है क्योंकि केजरीवाल के सीएम बनते ही सारा बढ़ा बिल माफ हो जाएगा. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’छठ माई का भक्त देंगें जवाब'</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>आप सांसद संजय सिंह ने छठ घाट को लेकर कहा कि खुद देख लीजिए, जमीन की है. DDA कौन चला रहा, ये भी सभी को पता है. छठ मइया की पूजा रोकने वाली बीजेपी नेताओ को कहना चाहता हूं कि ऐसा न करो, नहीं तो छठ माई का एक-एक भक्त इसका जवाब आपको देगा. पंजाब में पराली के केस कम हुए है. पराली के मसले पर खुली बहस होनी चाहिए.</p>
<p style=”text-align: justify;”><a title=”दिल्ली में प्रदूषण को रोकना संभव है? पर्यावरणविद का जवाब- ‘सरकार को इन योजनाओं पर…'” href=”https://www.abplive.com/states/delhi-ncr/environmentalist-explain-way-to-stop-delhi-air-pollution-completely-know-how-2815713″ target=”_blank” rel=”noopener”>दिल्ली में प्रदूषण को रोकना संभव है? पर्यावरणविद का जवाब- ‘सरकार को इन योजनाओं पर…'</a></p>