हरियाणा के BJP नेता के खिलाफ राजस्थान में मुर्दाबाद के नारे लगाए जा रहे हैं। हरियाणा के पूर्व CM चौधरी भजनलाल के बेटे पूर्व सांसद कुलदीप बिश्नोई अपने समाज के निशाने पर आ गए हैं। राजस्थान के बीकानेर जिले में समाज के लोगों ने सड़कों पर उतरकर कुलदीप बिश्नोई मुर्दाबाद के नारे लगाए। दरअसल, बिश्नोई समाज के लोग अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष देवेंद्र बुड़िया के खिलाफ हरियाणा के आदमपुर में दर्ज मुकदमे को लेकर नाराज हैं। इसी कारण बीकानेर में विरोध-प्रदर्शन किया गया। प्रदर्शनकारियों ने बीकानेर कलेक्टर को ज्ञापन देकर मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की। ज्ञापन में बताया गया कि देवेंद्र बुड़िया पर राजनीतिक द्वेष के चलते कुलदीप बिश्नोई द्वारा झूठा मुकदमा दर्ज करवाया गया है। बता दें कि देवेंद्र बुड़िया के खिलाफ 25 जनवरी को आदमपुर थाने में बिश्नोई समाज की ही युवती ने रेप का मामला दर्ज करवाया था। हरियाणा की हिसार पुलिस इस मामले में देवेंद्र बुड़िया की तलाश में छापेमारी कर रही हैं। प्रदर्शनकारियों ने कुलदीप बिश्नोई पर लगाए आरोप
प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि कुलदीप बिश्नोई ने अपने निजी स्वार्थ के लिए और बिश्नोई समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष देवेंद्र बुड़िया की सामाजिक साख व प्रतिष्ठा को धूमिल करने के लिए यह मुकदमा दर्ज करवाया है। उन्होंने बताया कि कुलदीप बिश्नोई को अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा के संरक्षक और बिश्नोई रतन के पद से मुक्त कर दिया गया था, जिसकी रंजिश रखते हुए उसने यह मुकदमा दर्ज करवाया है। प्रदर्शन में रामदयाल बेनीवाल, रामसिंह फौजी, संजय गिला, हेतराम डूडी, सुरेंद्र गोदारा, दिनेश धारणियां, सुरेन्द्र, उमेश सियाग सहित बिश्नोई समाज के सैकड़ों युवा शामिल थे। उन्होंने मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की ताकि सच्चाई सामने आ सके। एक फरवरी से सोशल मीडिया से दूर हैं देवेंद्र बुड़िया
हिसार की युवती के रेप केस में फंसने के बाद अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष देवेंद्र बूड़िया अंडरग्राउंड हो गए हैं। उनके मोबाइल पर भी संपर्क नहीं हो रहा। 25 जनवरी को केस दर्ज होने के एक सप्ताह बाद 1 फरवरी से वह सोशल मीडिया पर भी एक्टिव नहीं हैं। वह सार्वजनिक कार्यक्रमों में भी नजर नहीं आ रहे हैं। वहीं हिसार पुलिस रेप केस में बुड़िया को आदमपुर थाने में पेश होने का नोटिस भेजा था, लेकिन वह न तो थाने आए और न ही उनकी तरफ से कोई जवाब मिला। इसके बाद पुलिस ने उनकी गिरफ्तारी की कोशिश शुरू कर दी है। इसके लिए आदमपुर पुलिस की एक टीम राजस्थान के जोधपुर रवाना हो गई है। इसी बीच बुड़िया ने हिसार सेशन कोर्ट में जमानत याचिका लगाई थी, मगर वह कोर्ट से खारिज हो गई। हालांकि हिसार पुलिस भी मामले में कुछ भी बोलने से बच रही है। कुलदीप बिश्नोई और देवेंद्र बुड़िया के बीच वर्चस्व की लड़ाई दरअसल, अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा के पूर्व में संरक्षक रहे कुलदीप बिश्नोई और मौजूदा प्रधान देवेंद्र बुड़िया के बीच वर्चस्व की लड़ाई चल रही है। कुलदीप बिश्नोई पर करीब 3 महीने पहले बुड़िया ने जबरन इस्तीफा लेने के आरोप लगाए थे। इसको लेकर मुकाम धाम में बैठक की गई थी। इसमें कुलदीप बिश्नोई को संरक्षक पद से हटा दिया गया था। इसके करीब एक महीने बाद कुलदीप बिश्नोई के समर्थन में बिश्नोई महासभा के 14 पदाधिकारियों ने रजिस्ट्रार सोसाइटी को एफिडेविट लिखकर कहा था कि मुकाम में बैठक में उनको शामिल नहीं किया। ऐसे में प्रधान ने संरक्षक को हटाया है, वह नियमानुसार नहीं है। इसके बाद रजिस्ट्रर सोसाइटी की ओर से देवेंद्र बुड़िया को नोटिस जारी कर जवाब मांगा गया था। इसके बाद कुलदीप बिश्नोई ने खुद संरक्षक पद छोड़ने की घोषणा कर दी और चुनाव करवाने का ऐलान करते हुए कमेटी का गठन किया था। देशभर के 14 राज्यों में चुनाव प्रभारियों की नियुक्ति भारतीय बिश्नोई महासभा में चल रहे विवाद के बीच चुनाव अधिकारी महंत भगवान दास जाम्भा ने देशभर के 14 राज्यों में चुनाव प्रभारियों की नियुक्ति की है। इसमें हिसार से पूर्व पुलिस कर्मचारी अनिल कुमार भाम्भू को जगह मिली है। इसके अलावा राजस्थान, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु, दिल्ली, मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल, पंजाब, कर्नाटक, तेलंगाना, पुडुचेरी, महाराष्ट्र और गोवा में भी चुनाव प्रभारी नियुक्त किए गए हैं। राष्ट्रीय चुनाव अधिकारी ने बताया कि 13 दिसंबर 2024 को मुकाम में आयोजित बिश्नोई समाज की आम बैठक में निर्णय लिया गया था कि एक वर्ष के भीतर अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा लोकतांत्रिक प्रक्रिया से नए राष्ट्रीय अध्यक्ष और कार्यकारिणी का गठन करेगी। इसी को लेकर यह निर्णय लिया गया है। चुनाव अधिकारी ने आदेश में कहा है कि जिला प्रभारी, ग्राम सभा प्रभारी, महासभा सदस्य और वार्ड प्रभारी सहित अन्य प्रभारियों की नियुक्ति प्रदेश प्रभारी के अनुसार ही की जाएगी। बता दें कि बिश्नोई महासभा का प्रधान पहली बार लोकतांत्रिक तरीके से चुना जा रहा है। इससे पहले कार्यकारिणी सदस्य मिलकर संरक्षक की सहमति से प्रधान का चुनाव करते थे। हरियाणा के BJP नेता के खिलाफ राजस्थान में मुर्दाबाद के नारे लगाए जा रहे हैं। हरियाणा के पूर्व CM चौधरी भजनलाल के बेटे पूर्व सांसद कुलदीप बिश्नोई अपने समाज के निशाने पर आ गए हैं। राजस्थान के बीकानेर जिले में समाज के लोगों ने सड़कों पर उतरकर कुलदीप बिश्नोई मुर्दाबाद के नारे लगाए। दरअसल, बिश्नोई समाज के लोग अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष देवेंद्र बुड़िया के खिलाफ हरियाणा के आदमपुर में दर्ज मुकदमे को लेकर नाराज हैं। इसी कारण बीकानेर में विरोध-प्रदर्शन किया गया। प्रदर्शनकारियों ने बीकानेर कलेक्टर को ज्ञापन देकर मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की। ज्ञापन में बताया गया कि देवेंद्र बुड़िया पर राजनीतिक द्वेष के चलते कुलदीप बिश्नोई द्वारा झूठा मुकदमा दर्ज करवाया गया है। बता दें कि देवेंद्र बुड़िया के खिलाफ 25 जनवरी को आदमपुर थाने में बिश्नोई समाज की ही युवती ने रेप का मामला दर्ज करवाया था। हरियाणा की हिसार पुलिस इस मामले में देवेंद्र बुड़िया की तलाश में छापेमारी कर रही हैं। प्रदर्शनकारियों ने कुलदीप बिश्नोई पर लगाए आरोप
प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि कुलदीप बिश्नोई ने अपने निजी स्वार्थ के लिए और बिश्नोई समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष देवेंद्र बुड़िया की सामाजिक साख व प्रतिष्ठा को धूमिल करने के लिए यह मुकदमा दर्ज करवाया है। उन्होंने बताया कि कुलदीप बिश्नोई को अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा के संरक्षक और बिश्नोई रतन के पद से मुक्त कर दिया गया था, जिसकी रंजिश रखते हुए उसने यह मुकदमा दर्ज करवाया है। प्रदर्शन में रामदयाल बेनीवाल, रामसिंह फौजी, संजय गिला, हेतराम डूडी, सुरेंद्र गोदारा, दिनेश धारणियां, सुरेन्द्र, उमेश सियाग सहित बिश्नोई समाज के सैकड़ों युवा शामिल थे। उन्होंने मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की ताकि सच्चाई सामने आ सके। एक फरवरी से सोशल मीडिया से दूर हैं देवेंद्र बुड़िया
हिसार की युवती के रेप केस में फंसने के बाद अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष देवेंद्र बूड़िया अंडरग्राउंड हो गए हैं। उनके मोबाइल पर भी संपर्क नहीं हो रहा। 25 जनवरी को केस दर्ज होने के एक सप्ताह बाद 1 फरवरी से वह सोशल मीडिया पर भी एक्टिव नहीं हैं। वह सार्वजनिक कार्यक्रमों में भी नजर नहीं आ रहे हैं। वहीं हिसार पुलिस रेप केस में बुड़िया को आदमपुर थाने में पेश होने का नोटिस भेजा था, लेकिन वह न तो थाने आए और न ही उनकी तरफ से कोई जवाब मिला। इसके बाद पुलिस ने उनकी गिरफ्तारी की कोशिश शुरू कर दी है। इसके लिए आदमपुर पुलिस की एक टीम राजस्थान के जोधपुर रवाना हो गई है। इसी बीच बुड़िया ने हिसार सेशन कोर्ट में जमानत याचिका लगाई थी, मगर वह कोर्ट से खारिज हो गई। हालांकि हिसार पुलिस भी मामले में कुछ भी बोलने से बच रही है। कुलदीप बिश्नोई और देवेंद्र बुड़िया के बीच वर्चस्व की लड़ाई दरअसल, अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा के पूर्व में संरक्षक रहे कुलदीप बिश्नोई और मौजूदा प्रधान देवेंद्र बुड़िया के बीच वर्चस्व की लड़ाई चल रही है। कुलदीप बिश्नोई पर करीब 3 महीने पहले बुड़िया ने जबरन इस्तीफा लेने के आरोप लगाए थे। इसको लेकर मुकाम धाम में बैठक की गई थी। इसमें कुलदीप बिश्नोई को संरक्षक पद से हटा दिया गया था। इसके करीब एक महीने बाद कुलदीप बिश्नोई के समर्थन में बिश्नोई महासभा के 14 पदाधिकारियों ने रजिस्ट्रार सोसाइटी को एफिडेविट लिखकर कहा था कि मुकाम में बैठक में उनको शामिल नहीं किया। ऐसे में प्रधान ने संरक्षक को हटाया है, वह नियमानुसार नहीं है। इसके बाद रजिस्ट्रर सोसाइटी की ओर से देवेंद्र बुड़िया को नोटिस जारी कर जवाब मांगा गया था। इसके बाद कुलदीप बिश्नोई ने खुद संरक्षक पद छोड़ने की घोषणा कर दी और चुनाव करवाने का ऐलान करते हुए कमेटी का गठन किया था। देशभर के 14 राज्यों में चुनाव प्रभारियों की नियुक्ति भारतीय बिश्नोई महासभा में चल रहे विवाद के बीच चुनाव अधिकारी महंत भगवान दास जाम्भा ने देशभर के 14 राज्यों में चुनाव प्रभारियों की नियुक्ति की है। इसमें हिसार से पूर्व पुलिस कर्मचारी अनिल कुमार भाम्भू को जगह मिली है। इसके अलावा राजस्थान, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, तमिलनाडु, दिल्ली, मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल, पंजाब, कर्नाटक, तेलंगाना, पुडुचेरी, महाराष्ट्र और गोवा में भी चुनाव प्रभारी नियुक्त किए गए हैं। राष्ट्रीय चुनाव अधिकारी ने बताया कि 13 दिसंबर 2024 को मुकाम में आयोजित बिश्नोई समाज की आम बैठक में निर्णय लिया गया था कि एक वर्ष के भीतर अखिल भारतीय बिश्नोई महासभा लोकतांत्रिक प्रक्रिया से नए राष्ट्रीय अध्यक्ष और कार्यकारिणी का गठन करेगी। इसी को लेकर यह निर्णय लिया गया है। चुनाव अधिकारी ने आदेश में कहा है कि जिला प्रभारी, ग्राम सभा प्रभारी, महासभा सदस्य और वार्ड प्रभारी सहित अन्य प्रभारियों की नियुक्ति प्रदेश प्रभारी के अनुसार ही की जाएगी। बता दें कि बिश्नोई महासभा का प्रधान पहली बार लोकतांत्रिक तरीके से चुना जा रहा है। इससे पहले कार्यकारिणी सदस्य मिलकर संरक्षक की सहमति से प्रधान का चुनाव करते थे। हरियाणा | दैनिक भास्कर
![राजस्थान में कुलदीप बिश्नोई का विरोध:देवेंद्र बुड़िया के समर्थन में उतरे, कहा- सामाजिक प्रतिष्ठा को धूमिल करने के लिए कराया केस](https://images.bhaskarassets.com/thumb/1000x1000/web2images/521/2025/02/12/ezgif-3e0940f3e999e2_1739342656.gif)