यूपी में हर व्यक्ति 36 हजार का कर्जदार:50% बजट सैलरी-पेंशन और कर्ज पर खर्च हो रहा; एक्सपर्ट ने दिए आपके सवालों के जवाब

यूपी में हर व्यक्ति 36 हजार का कर्जदार:50% बजट सैलरी-पेंशन और कर्ज पर खर्च हो रहा; एक्सपर्ट ने दिए आपके सवालों के जवाब

योगी सरकार के दूसरे कार्यकाल का चौथा बजट 8 करोड़ 8 हजार 736 करोड़ 6 लाख रुपए अनुमानित है। यह पिछले बजट से करीब 9% ज्यादा है। लेकिन, जैसे-जैसे बजट का आकार बढ़ रहा है, प्रदेश पर कर्ज भी बढ़ता जा रहा है। औसतन हर व्यक्ति पर 36 हजार रुपए का कर्ज हो गया है। वेतन, पेंशन और कर्ज चुकाने पर ही बजट का 50 प्रतिशत हिस्सा खर्च हो जा रहा है। उत्तर प्रदेश के बजट को लेकर आपके मन में भी कई सवाल होंगे कि सरकार कमाई कैसे करती है? वह किस तरह अपने पैसे को खर्च करती है। योजनाओं को पूरा करने के लिए उसने कितना कर्ज लिया है?
बजट से जुड़े कुछ ऐसे ही सवालों के जवाब हमने एक्सपर्ट से समझा। पढ़िए ये रिपोर्ट… सवाल : राज्य सरकार कमाई कहां से करती है?
जवाब : राज्य सरकार मुख्यतः टैक्स और सेवा शुल्क जैसे स्रोतों से कमाई करती है। इस कमाई का काफी बड़ा हिस्सा वेतन, पेंशन और कर्ज और ब्याज के भुगतान पर खर्च होता है। इस टेबल के जरिए समझते हैं आय का पूरा गणित… सवाल : राज्य सरकार के पास GST के अलावा कमाई के कौन से स्रोत हैं?
जवाब : जीएसटी कलेक्शन से केंद्र राज्यों को उसका हिस्सा जारी करता है। इसके बाद राज्य सरकार के पास प्रमुख रूप से वैल्यू एडेड टैक्स (वैट), एक्साइज ड्यूटी, स्टैंप ड्यूटी, वाहनों के रजिस्ट्रेशन और माइनिंग आदि से आय होती है। जैसे – उत्तर प्रदेश में पेट्रोल-डीजल जीएसटी के दायरे में नहीं आता। उत्तर प्रदेश सरकार इस पर वैट वसूलती है। प्रति लीटर पेट्रोल पर 14.85 और डीजल पर 10.41 रुपए वैट वसूले जाते हैं। इसी तरह शराब की बिक्री पर एक्साइज ड्यूटी के जरिए और ठेके नीलाम करके राजस्व जुटाती है। प्रदेश में खनन के पट्‌टे नीलाम करके भी राज्य सरकार अपनी आमदनी बढ़ाती है। सवाल : राज्य सरकार को होने वाली कमाई का पैसा कहां-कहां खर्च होता है?
जवाब : राज्य सरकार की जितनी भी कमाई होती है, उसका 33.4% हिस्सा तो सरकारी अफसरों-कर्मचारियों के वेतन-पेंशन पर खर्च होता है। खर्च का अनुमानित ब्योरा इस टेबल से समझें… सवाल : फ्री-बीज (मुफ्त) और योजनाओं में हर साल कितना पैसा खर्च होता है?
जवाब : बिजली पर सब्सिडी, फ्री पंप सिंचाई स्कीम, दवा, मेडिकल जांच, वृद्ध पेंशन आदि मुफ्त योजनाओं के लिए राज्य सरकार 1.76 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा खर्च करेगी। अकेले सब्सिडी पर 35 हजार करोड़ रुपए खर्च होंगे। सवाल : सरकार कितना कर्जा लेती है, हर साल कितना कर्ज बढ़ रहा है?
जवाब : वित्तीय वर्ष (2024-25) में कुल कर्ज करीब 9.00 लाख करोड़ रुपए जाएगा। ताजा बजट में करीब 91 हजार करोड़ रुपए और कर्ज लेने की बात कही गई है। एक्सपर्ट्स का मानना है- वित्तीय वर्ष 2025-26 के खत्म होने के बाद यूपी के हर व्यक्ति पर औसतन 36 हजार रुपए से अधिक का कर्ज होगा। सवाल : उत्तर प्रदेश के कुल बजट का कितना पैसा अकेले ब्याज में ही जा रहा है।
जवाब : उत्तर प्रदेश में कुल बजट का 14 फीसदी मतलब 1.15 लाख करोड़ रुपए कर्ज और ब्याज चुकाने में जा रहा है। सवाल : डेवलपमेंट पर खर्च के लिए बजट में कितनी प्रतिशत राशि मिल रही है?
जवाब : लखनऊ यूनिवर्सिटी के प्रो. एवं अर्थशास्त्री अरविंद मोहन के मुताबिक, सरकार को सबसे अधिक रुपए जीएसटी, आबकारी और वाहनों की बिक्री और जमीनों की रजिस्ट्री से मिल रही है। मुझे याद है 1998 में जो आय थी, उससे सरकारी कर्मचारियों को वेतन तक नहीं दे सकते थे। आज 20 प्रतिशत के लगभग बजट का इन्फ्रास्ट्रक्चर पर खर्च किया जा रहा है। ————————— यह खबर भी पढ़िए… यूपी बजट- 9 लाख आउटसोर्स कर्मियों की सैलरी बढ़ाई:छात्राओं को फ्री स्कूटी मिलेगी, 92 हजार नई नौकरी; छुट्‌टा पशुओं की समस्या खत्म करने का ऐलान यूपी की योगी सरकार ने गुरुवार को 2025-26 का बजट पेश किया। इसमें 2027 विधानसभा चुनाव की तैयारियां दिखीं। योगी ने बजट ‘सनातन को समर्पित’ बताया। सरकार ने आउटसोर्सिंग कर्मचारियों का मानदेय बढ़ाने का ऐलान किया है। अब उन्हें 16 हजार की जगह न्यूनतम मानदेय 20 हजार रुपए दिया जाएगा। प्रदेश में इस समय करीब 9 लाख आउटसोर्सिंग कर्मचारी हैं। लखनऊ में AI यानी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस सिटी बनाई जाएगी। पढ़ें पूरी खबर… योगी सरकार के दूसरे कार्यकाल का चौथा बजट 8 करोड़ 8 हजार 736 करोड़ 6 लाख रुपए अनुमानित है। यह पिछले बजट से करीब 9% ज्यादा है। लेकिन, जैसे-जैसे बजट का आकार बढ़ रहा है, प्रदेश पर कर्ज भी बढ़ता जा रहा है। औसतन हर व्यक्ति पर 36 हजार रुपए का कर्ज हो गया है। वेतन, पेंशन और कर्ज चुकाने पर ही बजट का 50 प्रतिशत हिस्सा खर्च हो जा रहा है। उत्तर प्रदेश के बजट को लेकर आपके मन में भी कई सवाल होंगे कि सरकार कमाई कैसे करती है? वह किस तरह अपने पैसे को खर्च करती है। योजनाओं को पूरा करने के लिए उसने कितना कर्ज लिया है?
बजट से जुड़े कुछ ऐसे ही सवालों के जवाब हमने एक्सपर्ट से समझा। पढ़िए ये रिपोर्ट… सवाल : राज्य सरकार कमाई कहां से करती है?
जवाब : राज्य सरकार मुख्यतः टैक्स और सेवा शुल्क जैसे स्रोतों से कमाई करती है। इस कमाई का काफी बड़ा हिस्सा वेतन, पेंशन और कर्ज और ब्याज के भुगतान पर खर्च होता है। इस टेबल के जरिए समझते हैं आय का पूरा गणित… सवाल : राज्य सरकार के पास GST के अलावा कमाई के कौन से स्रोत हैं?
जवाब : जीएसटी कलेक्शन से केंद्र राज्यों को उसका हिस्सा जारी करता है। इसके बाद राज्य सरकार के पास प्रमुख रूप से वैल्यू एडेड टैक्स (वैट), एक्साइज ड्यूटी, स्टैंप ड्यूटी, वाहनों के रजिस्ट्रेशन और माइनिंग आदि से आय होती है। जैसे – उत्तर प्रदेश में पेट्रोल-डीजल जीएसटी के दायरे में नहीं आता। उत्तर प्रदेश सरकार इस पर वैट वसूलती है। प्रति लीटर पेट्रोल पर 14.85 और डीजल पर 10.41 रुपए वैट वसूले जाते हैं। इसी तरह शराब की बिक्री पर एक्साइज ड्यूटी के जरिए और ठेके नीलाम करके राजस्व जुटाती है। प्रदेश में खनन के पट्‌टे नीलाम करके भी राज्य सरकार अपनी आमदनी बढ़ाती है। सवाल : राज्य सरकार को होने वाली कमाई का पैसा कहां-कहां खर्च होता है?
जवाब : राज्य सरकार की जितनी भी कमाई होती है, उसका 33.4% हिस्सा तो सरकारी अफसरों-कर्मचारियों के वेतन-पेंशन पर खर्च होता है। खर्च का अनुमानित ब्योरा इस टेबल से समझें… सवाल : फ्री-बीज (मुफ्त) और योजनाओं में हर साल कितना पैसा खर्च होता है?
जवाब : बिजली पर सब्सिडी, फ्री पंप सिंचाई स्कीम, दवा, मेडिकल जांच, वृद्ध पेंशन आदि मुफ्त योजनाओं के लिए राज्य सरकार 1.76 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा खर्च करेगी। अकेले सब्सिडी पर 35 हजार करोड़ रुपए खर्च होंगे। सवाल : सरकार कितना कर्जा लेती है, हर साल कितना कर्ज बढ़ रहा है?
जवाब : वित्तीय वर्ष (2024-25) में कुल कर्ज करीब 9.00 लाख करोड़ रुपए जाएगा। ताजा बजट में करीब 91 हजार करोड़ रुपए और कर्ज लेने की बात कही गई है। एक्सपर्ट्स का मानना है- वित्तीय वर्ष 2025-26 के खत्म होने के बाद यूपी के हर व्यक्ति पर औसतन 36 हजार रुपए से अधिक का कर्ज होगा। सवाल : उत्तर प्रदेश के कुल बजट का कितना पैसा अकेले ब्याज में ही जा रहा है।
जवाब : उत्तर प्रदेश में कुल बजट का 14 फीसदी मतलब 1.15 लाख करोड़ रुपए कर्ज और ब्याज चुकाने में जा रहा है। सवाल : डेवलपमेंट पर खर्च के लिए बजट में कितनी प्रतिशत राशि मिल रही है?
जवाब : लखनऊ यूनिवर्सिटी के प्रो. एवं अर्थशास्त्री अरविंद मोहन के मुताबिक, सरकार को सबसे अधिक रुपए जीएसटी, आबकारी और वाहनों की बिक्री और जमीनों की रजिस्ट्री से मिल रही है। मुझे याद है 1998 में जो आय थी, उससे सरकारी कर्मचारियों को वेतन तक नहीं दे सकते थे। आज 20 प्रतिशत के लगभग बजट का इन्फ्रास्ट्रक्चर पर खर्च किया जा रहा है। ————————— यह खबर भी पढ़िए… यूपी बजट- 9 लाख आउटसोर्स कर्मियों की सैलरी बढ़ाई:छात्राओं को फ्री स्कूटी मिलेगी, 92 हजार नई नौकरी; छुट्‌टा पशुओं की समस्या खत्म करने का ऐलान यूपी की योगी सरकार ने गुरुवार को 2025-26 का बजट पेश किया। इसमें 2027 विधानसभा चुनाव की तैयारियां दिखीं। योगी ने बजट ‘सनातन को समर्पित’ बताया। सरकार ने आउटसोर्सिंग कर्मचारियों का मानदेय बढ़ाने का ऐलान किया है। अब उन्हें 16 हजार की जगह न्यूनतम मानदेय 20 हजार रुपए दिया जाएगा। प्रदेश में इस समय करीब 9 लाख आउटसोर्सिंग कर्मचारी हैं। लखनऊ में AI यानी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस सिटी बनाई जाएगी। पढ़ें पूरी खबर…   उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर