Cyber Cell का बदेलगा नाम और काम, कॉर्पोरेट कंपनियों को कराना होगा साइबर ऑडिट, क्या है पूरा प्लान?

Cyber Cell का बदेलगा नाम और काम, कॉर्पोरेट कंपनियों को कराना होगा साइबर ऑडिट, क्या है पूरा प्लान?

<p style=”text-align: justify;”><strong>Maharashtra News:</strong> महाराष्ट्र साइबर सेल अब साइबर सिक्योरिटी कॉर्पोरेशन बन जायेगा. सूत्रों ने बताया कि इसके बन जाने के बाद महाराष्ट्र की सभी कॉर्पोरेट कंपनियों को कहा जायेगा कि साल में एक बार साइबर ऑडिट कराएं. ऑडिट का जिम्मा साइबर सिक्योरिटी कॉर्पोरेशन को सौंपा जाएगा. कॉर्पोरेट कंपनियों के लिए साइबर ऑडिट करवाना अनिवार्य होगा. नियम का उल्लंघन करने पर सख्त जुर्माने का प्रावधान रखा गया है. साइबर ऑडिट नहीं करवाने वाली कॉर्पोरेट कंपनियों पर 25 हजार रुपये एक दिन का फाइन लगाया जाएगा.</p>
<p style=”text-align: justify;”>सूत्रों ने बताया कि साइबर सिक्योरिटी कॉर्पोरेशन कई कंपनियों को इम्पेनल करेगा. किसी भी कॉरपोरेट कंपनी को साइबर ऑडिट करवाना होगा तो उसे महाराष्ट्र सिक्योरिटी कॉर्पोरेशन या फिर उसके द्वारा इम्पेनल की गई कंपनी से संपर्क करना होगा. अहम फैसले के पीछे वजह है कि कई कंपनियों पर साइबर अटैक से डेटा में सेंधमारी की घटना हो चुकी है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong> साइबर सेल बनेगा साइबर सिक्योरिटी कॉर्पोरेशन</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>साइबर सिक्योरिटी कॉरपोरेशन डेटा चोरी की रोकथाम के लिए सॉफ्टवेयर इंस्टाल करेगी. सॉफ्टवेयर इंस्टाल करते समय ध्यान रखा जाएगा कॉर्पोरेट कंपनी को दोबारा साइबर अटैक का सामना नहीं करना पड़े. महाराष्ट्र साइबर विभाग के चीफ यशस्वी यादव ने बताया कि नया प्रोजेक्ट प्रदेश में लॉन्च करने के बाद हम दूसरे राज्य में भी जाएंगे.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>नए प्रोजेक्ट के जरिए क्या है सरकार का उद्देश्य?&nbsp;</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>दूसरे राज्यों की पुलिस को प्रोजेक्ट की पूरी जानकारी देंगे. उन्होंने बताया कि प्रोजेक्ट का मकसद राज्य और देश में कॉरपोरेशन के डेटा को सुरक्षित करना और साइबर अटैक से बचाने का है. साइबर सिक्योरिटी कॉरपोरेशन सेवा के बदले कॉरपोरेट कंपनियों से फीस वसूलेगा. यानी अब महाराष्ट्र साइबर सेल कुछ दिनों में साइबर सिक्योरिटी कॉरपोरेशन बनकर पैसे कमाने का काम करेगा.&nbsp;</p>
<p><iframe title=”YouTube video player” src=”https://www.youtube.com/embed/Dq-1PL420RM?si=6qu7ISi7gVYrPWK6″ width=”560″ height=”315″ frameborder=”0″ allowfullscreen=”allowfullscreen”></iframe></p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>ये भी पढ़ें-<a title=”Maharashtra: छत्रपति संभाजी महाराज पर विवादित कंटेट मामला, विकिपीडिया के एडिटर्स पर दर्ज होगी FIR” href=”https://www.abplive.com/states/maharashtra/chhatrapati-sambhaji-maharaj-cyber-cell-to-lodge-fir-against-editors-of-wikipedia-in-maharashtra-2889174″ target=”_self”>Maharashtra: छत्रपति संभाजी महाराज पर विवादित कंटेट मामला, विकिपीडिया के एडिटर्स पर दर्ज होगी FIR</a></strong></p> <p style=”text-align: justify;”><strong>Maharashtra News:</strong> महाराष्ट्र साइबर सेल अब साइबर सिक्योरिटी कॉर्पोरेशन बन जायेगा. सूत्रों ने बताया कि इसके बन जाने के बाद महाराष्ट्र की सभी कॉर्पोरेट कंपनियों को कहा जायेगा कि साल में एक बार साइबर ऑडिट कराएं. ऑडिट का जिम्मा साइबर सिक्योरिटी कॉर्पोरेशन को सौंपा जाएगा. कॉर्पोरेट कंपनियों के लिए साइबर ऑडिट करवाना अनिवार्य होगा. नियम का उल्लंघन करने पर सख्त जुर्माने का प्रावधान रखा गया है. साइबर ऑडिट नहीं करवाने वाली कॉर्पोरेट कंपनियों पर 25 हजार रुपये एक दिन का फाइन लगाया जाएगा.</p>
<p style=”text-align: justify;”>सूत्रों ने बताया कि साइबर सिक्योरिटी कॉर्पोरेशन कई कंपनियों को इम्पेनल करेगा. किसी भी कॉरपोरेट कंपनी को साइबर ऑडिट करवाना होगा तो उसे महाराष्ट्र सिक्योरिटी कॉर्पोरेशन या फिर उसके द्वारा इम्पेनल की गई कंपनी से संपर्क करना होगा. अहम फैसले के पीछे वजह है कि कई कंपनियों पर साइबर अटैक से डेटा में सेंधमारी की घटना हो चुकी है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong> साइबर सेल बनेगा साइबर सिक्योरिटी कॉर्पोरेशन</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>साइबर सिक्योरिटी कॉरपोरेशन डेटा चोरी की रोकथाम के लिए सॉफ्टवेयर इंस्टाल करेगी. सॉफ्टवेयर इंस्टाल करते समय ध्यान रखा जाएगा कॉर्पोरेट कंपनी को दोबारा साइबर अटैक का सामना नहीं करना पड़े. महाराष्ट्र साइबर विभाग के चीफ यशस्वी यादव ने बताया कि नया प्रोजेक्ट प्रदेश में लॉन्च करने के बाद हम दूसरे राज्य में भी जाएंगे.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>नए प्रोजेक्ट के जरिए क्या है सरकार का उद्देश्य?&nbsp;</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>दूसरे राज्यों की पुलिस को प्रोजेक्ट की पूरी जानकारी देंगे. उन्होंने बताया कि प्रोजेक्ट का मकसद राज्य और देश में कॉरपोरेशन के डेटा को सुरक्षित करना और साइबर अटैक से बचाने का है. साइबर सिक्योरिटी कॉरपोरेशन सेवा के बदले कॉरपोरेट कंपनियों से फीस वसूलेगा. यानी अब महाराष्ट्र साइबर सेल कुछ दिनों में साइबर सिक्योरिटी कॉरपोरेशन बनकर पैसे कमाने का काम करेगा.&nbsp;</p>
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