मुसलमानों के साथ सौतेला व्यवहार कर रही सरकार:रमजान के बीच मायावती ने कहा- आपसी सौहार्द बिगड़ना स्वाभाविक

मुसलमानों के साथ सौतेला व्यवहार कर रही सरकार:रमजान के बीच मायावती ने कहा- आपसी सौहार्द बिगड़ना स्वाभाविक

बसपा प्रमुख मायावती ने मुसलमानों को लेकर केंद्र और राज्य सरकार पर निशाना साधा। मंगलवार को उन्होंने X पर लिखा- मुसलमानों के साथ धार्मिक मामलों में सौतेला रवैया अपनाया जा रहा है। यह न्यायसंगत नहीं है। उन्होंने कहा- भारत धर्मनिरपेक्ष देश है। केंद्र और राज्य सरकारों को सभी धर्मों के लोगों के साथ एक जैसा बर्ताव करना चाहिए। सभी धर्मों के पर्व-त्योहारों को लेकर पाबंदियां और छूट के जो नियम-कानून हैं, उन्हें एक जैसा लागू करना चाहिए, जो कि अभी नजर नहीं आ रहा है। इससे आपसी शांति, सौहार्द बिगड़ना स्वाभाविक है। सरकारें इस ओर जरूर ध्यान दें। मस्जिदों से हटवाएं जा रहे हैं लाउडस्पीकर रमजान के शुरू होते ही मायावती ने मुसलमानों के साथ सौतेले रवैये की बात क्यों कही? यह उन्होंने पोस्ट पर स्पष्ट नहीं किया। हालांकि, यह माना जा रहा है कि मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाए जाने को लेकर उन्होंने यह बात कही है। दरअसल, यूपी सरकार लाउडस्पीकर को लेकर सख्त है। रमजान से पहले भी पुलिस ने अभियान चलाकर मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटवाए। कहा जा रहा है कि मायावती ने इसी को देखते हुए यह बयान दिया है। फिर एक्शन में मायावती
चुनाव में हार के बाद मायावती एक बार फिर एक्शन में नजर आ रही हैं। 15 दिन पहले उन्होंने अपने समधी और बसपा नेता अशोक सिद्धार्थ को पार्टी से बाहर निकाल दिया था। 2 दिन पहले उन्होंने भतीजे उत्तराधिकारी से सभी पद छीन लिए थे। कल यानी सोमवार को उन्हें भी पार्टी से बाहर कर दिया। मुसलमानों का जिक्र क्यों? रमजान के बीच मायावती ने अचानक मुसलमानों का जिक्र क्यों किया। इसे लेकर सियासी जानकारों का कहना है कि मायावती फिर से न सिर्फ सोशल इंजीनियरिंग की कोशिश कर रहीं हैं, बल्कि वह अखिलेश के वोट बैंक पर चोट कर रहीं हैं। अखिलेश यादव लगातार दलित वोट बैंक को सपा की तरह डायवर्ट करना चाहते हैं। वहीं, मायावती ने रमजान के दौरान मुसलमानों क साथ भेदभाव का जिक्र करके सपा के वोट बैंक में सेंधमारी की कोशिश की है। —————————– मायावती से जुड़ी ये खबर भी पढ़ें- मायावती ने भतीजे आकाश को पार्टी से निकाला:कहा- वे ससुर के इशारों पर काम कर रहे थे बसपा प्रमुख मायावती ने सोमवार को अपने भतीजे आकाश आनंद को पार्टी से निकाल दिया। उन्होंने कहा कि आकाश को पश्चाताप करके अपनी परिपक्वता दिखानी थी। लेकिन आकाश ने जो प्रतिक्रिया दी, वह राजनीतिक मैच्योरिटी नहीं है। वो अपने ससुर के प्रभाव में स्वार्थी, अहंकारी हो गया है। पढ़ें पूरी खबर बसपा प्रमुख मायावती ने मुसलमानों को लेकर केंद्र और राज्य सरकार पर निशाना साधा। मंगलवार को उन्होंने X पर लिखा- मुसलमानों के साथ धार्मिक मामलों में सौतेला रवैया अपनाया जा रहा है। यह न्यायसंगत नहीं है। उन्होंने कहा- भारत धर्मनिरपेक्ष देश है। केंद्र और राज्य सरकारों को सभी धर्मों के लोगों के साथ एक जैसा बर्ताव करना चाहिए। सभी धर्मों के पर्व-त्योहारों को लेकर पाबंदियां और छूट के जो नियम-कानून हैं, उन्हें एक जैसा लागू करना चाहिए, जो कि अभी नजर नहीं आ रहा है। इससे आपसी शांति, सौहार्द बिगड़ना स्वाभाविक है। सरकारें इस ओर जरूर ध्यान दें। मस्जिदों से हटवाएं जा रहे हैं लाउडस्पीकर रमजान के शुरू होते ही मायावती ने मुसलमानों के साथ सौतेले रवैये की बात क्यों कही? यह उन्होंने पोस्ट पर स्पष्ट नहीं किया। हालांकि, यह माना जा रहा है कि मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटाए जाने को लेकर उन्होंने यह बात कही है। दरअसल, यूपी सरकार लाउडस्पीकर को लेकर सख्त है। रमजान से पहले भी पुलिस ने अभियान चलाकर मस्जिदों से लाउडस्पीकर हटवाए। कहा जा रहा है कि मायावती ने इसी को देखते हुए यह बयान दिया है। फिर एक्शन में मायावती
चुनाव में हार के बाद मायावती एक बार फिर एक्शन में नजर आ रही हैं। 15 दिन पहले उन्होंने अपने समधी और बसपा नेता अशोक सिद्धार्थ को पार्टी से बाहर निकाल दिया था। 2 दिन पहले उन्होंने भतीजे उत्तराधिकारी से सभी पद छीन लिए थे। कल यानी सोमवार को उन्हें भी पार्टी से बाहर कर दिया। मुसलमानों का जिक्र क्यों? रमजान के बीच मायावती ने अचानक मुसलमानों का जिक्र क्यों किया। इसे लेकर सियासी जानकारों का कहना है कि मायावती फिर से न सिर्फ सोशल इंजीनियरिंग की कोशिश कर रहीं हैं, बल्कि वह अखिलेश के वोट बैंक पर चोट कर रहीं हैं। अखिलेश यादव लगातार दलित वोट बैंक को सपा की तरह डायवर्ट करना चाहते हैं। वहीं, मायावती ने रमजान के दौरान मुसलमानों क साथ भेदभाव का जिक्र करके सपा के वोट बैंक में सेंधमारी की कोशिश की है। —————————– मायावती से जुड़ी ये खबर भी पढ़ें- मायावती ने भतीजे आकाश को पार्टी से निकाला:कहा- वे ससुर के इशारों पर काम कर रहे थे बसपा प्रमुख मायावती ने सोमवार को अपने भतीजे आकाश आनंद को पार्टी से निकाल दिया। उन्होंने कहा कि आकाश को पश्चाताप करके अपनी परिपक्वता दिखानी थी। लेकिन आकाश ने जो प्रतिक्रिया दी, वह राजनीतिक मैच्योरिटी नहीं है। वो अपने ससुर के प्रभाव में स्वार्थी, अहंकारी हो गया है। पढ़ें पूरी खबर   उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर