बलिया में पीले गमछे पर महासंग्राम मचा हुआ है। केबिनेट मंत्री ओमप्रकाश राजभर के बेटे तथा सुभासपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता अरूण राजभर के पीले गमछा से जिन्हें तकलीफ है। जिनकी आंखें नहीं काम कर रही है, तो भारतीय सुहेल देव पार्टी के कार्यकर्ता उनके आंख निकाल लेंगे। इस बयान पर परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह ने कहा -योगी जी की पुलिस है, कोई आंख नहीं निकाल सकता। अगर कोई कॉलर पकड़ेगा तो उसका कलेजा निकाल देंगे। वहीं सपा के राष्ट्रीय सचिव अवलेश सिंह ने कहा- पीला गमछा प्रदूषण फैला रहा है। अब जानिए क्या था मामला
बांसडीह विधानसभा क्षेत्र के सुभासपा प्रभारी उमापति राजभर मंगलवार को बांसडीह तहसील गए थे। एसडीएम के स्टेनो ने अपनी चार पहिया गाड़ी उनके पैर पर चढ़ा दी। इस बात को लेकर दोनों के बीच विवाद हुआ। कुछ लोगों की मध्यस्थता से मामला शांत हो गया। लेकिन स्टेनो की शिकायत पर बांसडीह कोतवाली के एक एसआई और एक सिपाही उन्हें थाने ले गए। उमापति राजभर का आरोप है कि वहां उन्हें वॉशरूम में बंद कर पट्टे से पिटाई की गई। उनका पीला गमछा भी उतरवाकर फेंक दिया गया। सुभासपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष और योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री ओम प्रकाश राजभर ने कार्यकर्ताओं से पीला गमछा पहनकर थाने जाने की अपील की थी। जिससे नेताओं और कार्यकर्ताओं को सम्मान मिल सके। सुभासपा नेता ने इस घटना की जानकारी कैबिनेट मंत्री ओम प्रकाश राजभर को दे दी है। पुलिस को एसडीएम के स्टेनो और सुभासपा नेता दोनों की तरफ से शिकायत मिली है। पिटाई से नाराज ओमप्रकाश राजभर के बेटे अरुण राजभर ने सरकार और प्रशासन को दी खुली धमकी देते हुए कहा था कि पीले गमछा से जिन्हें तकलीफ है। जिनकी आंखें नही काम कर रही है तो भारतीय सुहेलदेव पार्टी के कार्यकर्ता उनके आंख निकाल लेंगे। दरोगा, सिपाही निलंबित
इसके साथ ही उन्होंने दोषी, दरोगा, सिपाही और एसडीएम के स्टेनो के खिलाफ कार्रवाई नहीं किए जाने पर 7 मार्च को थाने का घेराव करने की धमकी भी दी थी। हालांकि इस मामले में 5 मार्च को ही बांसडीह कोतवाली में तैनात एक उपनिरीक्षक रंजीत विश्वकर्मा और एक सिपाही शैलेष कुमार को निलंबित कर दिया था. लेकिन स्टेनो के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हुई। उल्टा एसडीएम के स्टेनो की तहरीर पर सुभासपा नेता उमापति राजभर पर ही मुकदमा दर्ज हो गया। जिसके बाद स्टेनो के खिलाफ भी कार्रवाई करने की बात पर मामला थम गया और 7 मार्च का धरना स्थगित कर दिया गया था। ओमप्रकाश राजभर के बेटे के बयान पर परिवहन मंत्री का पलटवार
ओमप्रकाश राजभर के बेटे द्वारा पुलिसवालों की आंखें निकाल देने वाले बयान पर योगी सरकार के परिवहन मंत्री ने कहा कि अब कोई उत्तर प्रदेश की पुलिस का आंख नहीं निकाल सकता। अब वह पुलिस नही है यह योगी जी की पुलिस है। आप जानते हैं कि पहले समाजवादी पार्टी की सरकार थी। वहां डीजीपी कार्यालय पर अपराधी जेल से आ-जा कर मिलते थे। पुलिस अधीक्षक को घसीटा जाता था लखनऊ राजधानी में। आज योगी जी के पुलिस का कोई कॉलर पकड़ेगा तो उसका कालेज निकाल देंगे। आज पूरे देश में उत्तर प्रदेश पुलिस की मिसाल दी जाती है कि जो अपराधी पहले एक-एक जिला चलाते थे। आज वह अपराधी या तो जिला छोड़कर भाग चुके हैं या इस दुनिया में नहीं है। पीला गमछा प्रदूषण फैला रहा
वहीं ओमप्रकाश राजभर के बेटे अरुण राजभर के बेटे पर और सुभासपा के पीला गमछा पर समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय सचिव अवलेश ने कहा – पीला गमछा प्रदूषण फैला रहा है। प्रदेश में माहौल खराब कर रहा है। अरुण राजभर को अपने बयान के लिए माफी मांगना चाहिए। प्रदेश के DGP को उनके बयान को संज्ञान में लेकर अरुण राजभर पर FIR दर्ज करानी चाहिए। ——————————— ये खबर भी पढ़ें… बसपा को पुराने फॉर्म में लाने की तैयारी में मायावती:भतीजे को निकाला, भाई को साथ रखा; बताया- पार्टी में उनसे ऊपर कोई नहीं मायावती राजनीति में मंझी हुई खिलाड़ी हैं। उनके अब तक के फैसलों और कार्यशैली पर नजर डालें तो मायावती सड़क पर संघर्ष करने की जगह जातीय और सियासी समीकरण पर ज्यादा विश्वास रखती हैं। उन्होंने राज्यसभा सांसद रामजी गौतम और रणधीर बेनीवाल को नेशनल कोऑर्डिनेटर बनाकर इस बार दलित, मुस्लिम और ब्राह्मण की सोशल इंजीनियरिंग का दांव चला है। पढ़ें पूरी खबर… बलिया में पीले गमछे पर महासंग्राम मचा हुआ है। केबिनेट मंत्री ओमप्रकाश राजभर के बेटे तथा सुभासपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता अरूण राजभर के पीले गमछा से जिन्हें तकलीफ है। जिनकी आंखें नहीं काम कर रही है, तो भारतीय सुहेल देव पार्टी के कार्यकर्ता उनके आंख निकाल लेंगे। इस बयान पर परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह ने कहा -योगी जी की पुलिस है, कोई आंख नहीं निकाल सकता। अगर कोई कॉलर पकड़ेगा तो उसका कलेजा निकाल देंगे। वहीं सपा के राष्ट्रीय सचिव अवलेश सिंह ने कहा- पीला गमछा प्रदूषण फैला रहा है। अब जानिए क्या था मामला
बांसडीह विधानसभा क्षेत्र के सुभासपा प्रभारी उमापति राजभर मंगलवार को बांसडीह तहसील गए थे। एसडीएम के स्टेनो ने अपनी चार पहिया गाड़ी उनके पैर पर चढ़ा दी। इस बात को लेकर दोनों के बीच विवाद हुआ। कुछ लोगों की मध्यस्थता से मामला शांत हो गया। लेकिन स्टेनो की शिकायत पर बांसडीह कोतवाली के एक एसआई और एक सिपाही उन्हें थाने ले गए। उमापति राजभर का आरोप है कि वहां उन्हें वॉशरूम में बंद कर पट्टे से पिटाई की गई। उनका पीला गमछा भी उतरवाकर फेंक दिया गया। सुभासपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष और योगी सरकार में कैबिनेट मंत्री ओम प्रकाश राजभर ने कार्यकर्ताओं से पीला गमछा पहनकर थाने जाने की अपील की थी। जिससे नेताओं और कार्यकर्ताओं को सम्मान मिल सके। सुभासपा नेता ने इस घटना की जानकारी कैबिनेट मंत्री ओम प्रकाश राजभर को दे दी है। पुलिस को एसडीएम के स्टेनो और सुभासपा नेता दोनों की तरफ से शिकायत मिली है। पिटाई से नाराज ओमप्रकाश राजभर के बेटे अरुण राजभर ने सरकार और प्रशासन को दी खुली धमकी देते हुए कहा था कि पीले गमछा से जिन्हें तकलीफ है। जिनकी आंखें नही काम कर रही है तो भारतीय सुहेलदेव पार्टी के कार्यकर्ता उनके आंख निकाल लेंगे। दरोगा, सिपाही निलंबित
इसके साथ ही उन्होंने दोषी, दरोगा, सिपाही और एसडीएम के स्टेनो के खिलाफ कार्रवाई नहीं किए जाने पर 7 मार्च को थाने का घेराव करने की धमकी भी दी थी। हालांकि इस मामले में 5 मार्च को ही बांसडीह कोतवाली में तैनात एक उपनिरीक्षक रंजीत विश्वकर्मा और एक सिपाही शैलेष कुमार को निलंबित कर दिया था. लेकिन स्टेनो के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हुई। उल्टा एसडीएम के स्टेनो की तहरीर पर सुभासपा नेता उमापति राजभर पर ही मुकदमा दर्ज हो गया। जिसके बाद स्टेनो के खिलाफ भी कार्रवाई करने की बात पर मामला थम गया और 7 मार्च का धरना स्थगित कर दिया गया था। ओमप्रकाश राजभर के बेटे के बयान पर परिवहन मंत्री का पलटवार
ओमप्रकाश राजभर के बेटे द्वारा पुलिसवालों की आंखें निकाल देने वाले बयान पर योगी सरकार के परिवहन मंत्री ने कहा कि अब कोई उत्तर प्रदेश की पुलिस का आंख नहीं निकाल सकता। अब वह पुलिस नही है यह योगी जी की पुलिस है। आप जानते हैं कि पहले समाजवादी पार्टी की सरकार थी। वहां डीजीपी कार्यालय पर अपराधी जेल से आ-जा कर मिलते थे। पुलिस अधीक्षक को घसीटा जाता था लखनऊ राजधानी में। आज योगी जी के पुलिस का कोई कॉलर पकड़ेगा तो उसका कालेज निकाल देंगे। आज पूरे देश में उत्तर प्रदेश पुलिस की मिसाल दी जाती है कि जो अपराधी पहले एक-एक जिला चलाते थे। आज वह अपराधी या तो जिला छोड़कर भाग चुके हैं या इस दुनिया में नहीं है। पीला गमछा प्रदूषण फैला रहा
वहीं ओमप्रकाश राजभर के बेटे अरुण राजभर के बेटे पर और सुभासपा के पीला गमछा पर समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय सचिव अवलेश ने कहा – पीला गमछा प्रदूषण फैला रहा है। प्रदेश में माहौल खराब कर रहा है। अरुण राजभर को अपने बयान के लिए माफी मांगना चाहिए। प्रदेश के DGP को उनके बयान को संज्ञान में लेकर अरुण राजभर पर FIR दर्ज करानी चाहिए। ——————————— ये खबर भी पढ़ें… बसपा को पुराने फॉर्म में लाने की तैयारी में मायावती:भतीजे को निकाला, भाई को साथ रखा; बताया- पार्टी में उनसे ऊपर कोई नहीं मायावती राजनीति में मंझी हुई खिलाड़ी हैं। उनके अब तक के फैसलों और कार्यशैली पर नजर डालें तो मायावती सड़क पर संघर्ष करने की जगह जातीय और सियासी समीकरण पर ज्यादा विश्वास रखती हैं। उन्होंने राज्यसभा सांसद रामजी गौतम और रणधीर बेनीवाल को नेशनल कोऑर्डिनेटर बनाकर इस बार दलित, मुस्लिम और ब्राह्मण की सोशल इंजीनियरिंग का दांव चला है। पढ़ें पूरी खबर… उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर
कोई कॉलर पकड़ेगा तो उसका कलेजा निकाल देंगे:OP राजभर के बेटे की धमकी पर परिवहन मंत्री का पलटवार, सपा ने कहा- पीला गमछा प्रदूषण फैला रहा
