सोशल मीडिया में संपत्ति कर में छूट की खबर को MCD ने बताया गलत, कहा- ‘चक्कर में न पड़ें, टैक्स का…’

सोशल मीडिया में संपत्ति कर में छूट की खबर को MCD ने बताया गलत, कहा- ‘चक्कर में न पड़ें, टैक्स का…’

<p style=”text-align: justify;”><strong>Delhi MCD Property Tax:</strong> दिल्ली नगर निगम प्रॉपर्टी टैक्स में छूट को लेकर सोशल मीडिया के जरिए फैली सूचनाओं को अफसरों ने गलत करार दिया है. एमसीडी ने लोगों से कहा है कि इस तरह की सूचनाओं पर ध्यान न दें.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>MCD ने कहा 25 फरवरी 2025 को आम लोगों यानी दिल्ली की जनता के बीच ये खबरें आईं कि 100 वर्ग गज से छोटी प्रॉपर्टी को 100 प्रतिशत और 100 से 500 वर्ग गज की संपत्तियों को 50 प्रतिशत की छूट मिलेगी. सोशल मीडिया पर फैली इस गलत सूचनाओं के असर यह हुआ कि लोगों ने संपत्ति कर जमा करना कम कर दिया.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>दरअसल, सोशल मीडिया पर फैली खबरों की वजह से लोग कंफ्यूज हो गए. कई दिल्लीवासियों ने एमसीडी से पूछा कि उनकी प्रॉपर्टी को छूट मिलेगी या नहीं. एमसीडी ने इस मसले पर अखबारों में स्पष्टीकरण छपवाया, लेकिन बात जनता तक ठीक से नहीं पहुंची. लोग कर प्रॉपर्टी टैक्स जमा करने से हिचकने लगे, जिसका सीधा असर एमसीडी की जेब पर पड़ा. कम करदाता आए और कुल कर संग्रह भी घट गया.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>क्या है पूरा मामला?&nbsp;</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>एमसीडी ने बताया कि वित्त वर्ष 2024-25 में संपत्ति कर से 2132.89 करोड़ रुपये जमा हुए जो पिछले साल के 2163.57 करोड़ से थोड़ा कम है. असली झटका छूट की खबरों के बाद लगा. 25 फरवरी के बाद सिर्फ 193.28 करोड़ रुपये का कर जमा हुआ, जबकि पिछले साल इसी वक्त 367.16 करोड़ रुपये आए थे. यानी करीब आधा कर कम जमा हुआ.</p>
<p style=”text-align: justify;”>इसके उलट, 24 फरवरी तक कर संग्रह शानदार चल रहा था. उस वक्त तक 1932.51 करोड़ रुपये जमा हो चुके थे जो पिछले साल की तुलना में 158.7 करोड़ रुपये ज्यादा था. ये 8.95 प्रतिशत की बढ़ोतरी थी, लेकिन छूट की अफवाहों ने सारा खेल बिगाड़ दिया.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>क्यों जरूरी है संपत्ति कर?</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>एमसीडी का कहना है कि संपत्ति कर उनकी कमाई का करीब एक-चौथाई हिस्सा है. अगर ये पैसा नहीं आया तो साफ-सफाई, सड़कों का रखरखाव, स्ट्रीट लाइट और बारिश के पानी की निकासी जैसी बुनियादी सुविधाएं देने में दिक्कत होगी. एमसीडी ने दिल्लीवासियों से अपील की है कि वो समय पर कर जमा करें. ताकि शहर की सेवाएं सुचारू रहें.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><iframe title=”YouTube video player” src=”https://www.youtube.com/embed/dm3Y41ZmCt0?si=9oRdB0nYBDLthrbK” width=”560″ height=”315″ frameborder=”0″ allowfullscreen=”allowfullscreen”></iframe></p> <p style=”text-align: justify;”><strong>Delhi MCD Property Tax:</strong> दिल्ली नगर निगम प्रॉपर्टी टैक्स में छूट को लेकर सोशल मीडिया के जरिए फैली सूचनाओं को अफसरों ने गलत करार दिया है. एमसीडी ने लोगों से कहा है कि इस तरह की सूचनाओं पर ध्यान न दें.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>MCD ने कहा 25 फरवरी 2025 को आम लोगों यानी दिल्ली की जनता के बीच ये खबरें आईं कि 100 वर्ग गज से छोटी प्रॉपर्टी को 100 प्रतिशत और 100 से 500 वर्ग गज की संपत्तियों को 50 प्रतिशत की छूट मिलेगी. सोशल मीडिया पर फैली इस गलत सूचनाओं के असर यह हुआ कि लोगों ने संपत्ति कर जमा करना कम कर दिया.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>दरअसल, सोशल मीडिया पर फैली खबरों की वजह से लोग कंफ्यूज हो गए. कई दिल्लीवासियों ने एमसीडी से पूछा कि उनकी प्रॉपर्टी को छूट मिलेगी या नहीं. एमसीडी ने इस मसले पर अखबारों में स्पष्टीकरण छपवाया, लेकिन बात जनता तक ठीक से नहीं पहुंची. लोग कर प्रॉपर्टी टैक्स जमा करने से हिचकने लगे, जिसका सीधा असर एमसीडी की जेब पर पड़ा. कम करदाता आए और कुल कर संग्रह भी घट गया.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>क्या है पूरा मामला?&nbsp;</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>एमसीडी ने बताया कि वित्त वर्ष 2024-25 में संपत्ति कर से 2132.89 करोड़ रुपये जमा हुए जो पिछले साल के 2163.57 करोड़ से थोड़ा कम है. असली झटका छूट की खबरों के बाद लगा. 25 फरवरी के बाद सिर्फ 193.28 करोड़ रुपये का कर जमा हुआ, जबकि पिछले साल इसी वक्त 367.16 करोड़ रुपये आए थे. यानी करीब आधा कर कम जमा हुआ.</p>
<p style=”text-align: justify;”>इसके उलट, 24 फरवरी तक कर संग्रह शानदार चल रहा था. उस वक्त तक 1932.51 करोड़ रुपये जमा हो चुके थे जो पिछले साल की तुलना में 158.7 करोड़ रुपये ज्यादा था. ये 8.95 प्रतिशत की बढ़ोतरी थी, लेकिन छूट की अफवाहों ने सारा खेल बिगाड़ दिया.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>क्यों जरूरी है संपत्ति कर?</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>एमसीडी का कहना है कि संपत्ति कर उनकी कमाई का करीब एक-चौथाई हिस्सा है. अगर ये पैसा नहीं आया तो साफ-सफाई, सड़कों का रखरखाव, स्ट्रीट लाइट और बारिश के पानी की निकासी जैसी बुनियादी सुविधाएं देने में दिक्कत होगी. एमसीडी ने दिल्लीवासियों से अपील की है कि वो समय पर कर जमा करें. ताकि शहर की सेवाएं सुचारू रहें.&nbsp;</p>
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