नेता प्रतिपक्ष व रायबरेली सांसद राहुल गांधी के मानहानि मामले में आज सुल्तानपुर के MP/MLA कोर्ट में सुनवाई है। परिवादी की ओर से गवाह नहीं आने पर बीते 3 अप्रैल को सुनवाई नहीं हो सकी थी। 3 अप्रैल को परिवादी भाजपा नेता की ओर से गवाह कोर्ट में उपस्थित नहीं हुए थे। इसलिए कोर्ट ने अब अगली सुनवाई 15 अप्रैल को तय की थी। अब जानिए पूरा मामला… कोतवाली देहात के हनुमानगंज निवासी व भाजपा नेता विजय मिश्रा ने वर्ष 2018 में राहुल गांधी के विरुद्ध मानहानि का परिवाद MP/MLA कोर्ट में दर्ज कराया था। उन्होंने आरोप लगाया था कि कर्नाटक चुनाव के दौरान राहुल गांधी ने अभद्र टिप्पणी की थी, इससे मैं आहत हुआ हूं। कोर्ट में पांच साल लंबी प्रक्रिया चली, राहुल गांधी हाजिर नहीं हुए तो दिसंबर 2023 में तत्कालीन जज ने वारंट जारी कर उन्हें तलब किया था। तब फरवरी 2024 को राहुल गांधी ने कोर्ट में सरेंडर किया। 26 जुलाई को दर्ज हुआ था राहुल गांधी का बयान
विशेष मजिस्ट्रेट ने उन्हें 25-25 के दो मुचलके पर जमानत दे दी थी। इसके बाद राहुल गांधी को कोर्ट ने बयान दर्ज करने के लिए बुलाया। दर्जन भर तारीख पड़ने के बाद बीते 26 जुलाई को राहुल कोर्ट में पहुंचे और उन्होंने अपना बयान दर्ज कराया था। उन्होंने स्वयं को निर्दोष बताया, कहा था मेरे खिलाफ राजनीतिक साजिश हो रही है। इसके बाद कोर्ट में वादी को साक्षय प्रस्तुत करने के निर्देश हुए। वादी के अस्वस्थ होने के कारण भी टली सुनवाई
12 अगस्त को सुनवाई की तिथि थी, जहां विशेष कोर्ट के जज अवकाश पर रहे और सुनवाई टल गई। इसके बाद 23 अगस्त को मामले में सुनवाई इस कारण टली कि वादी मुकदमा भाजपा नेता विजय मिश्रा के अधिवक्ता संतोष पांडेय ने प्रार्थना पत्र दिया की उनका वादी अस्वथ्य है। कोर्ट ने इस पर 5 सितंबर को सुनवाई की डेट लगाया। 19 सितंबर को सुनवाई के दौरान वादी के अधिवक्ता ने मुकदमें में व्यस्तता के चलते समय मांगते हुए प्रार्थना पत्र दिया था। इस पर 21 सितंबर को सुनवाई हुई, कहा गया कि बार एसोसिएशन के मेडिकल कैम्प के चलते आज सुनवाई नहीं हो सकती जिस पर कोर्ट ने 1 अक्टूबर की डेट लगाया। एक अक्टूबर को भी वादी भाजपा नेता के अस्वस्थ होने की अर्जी दी गई। तब कोर्ट ने नौ अक्टूबर की तिथि सुनवाई के लिए नियत की थी। नौ अक्टूबर को वादी से राहुल के अधिवक्ता ने तीखे सवाल किए थे। वादी ने यहां साक्षय भी पेश किया था। अक्टूबर और नवम्बर में भी जज के अवकाश पर होने से टली थी सुनवाई
इसके बाद 17 अक्टूबर को विशेष कोर्ट के जज अवकाश पर चले गए तो सुनवाई टली थी। कोर्ट ने 31 अक्टूबर को सुनवाई की तिथि नियत की गई थी, लेकिन दीपावली के अवकाश के चलते सुनवाई नहीं हुई और 5 नवम्बर की तारीख नीयत हुई थी। 5 नवम्बर को सुनवाई इसलिए नहीं हो सकी थी कि विशेष कोर्ट के जज अवकाश पर थे। 23 नवंबर को भी इसलिए सुनवाई टल गई थी कि दीवानी कोर्ट में विधिक कार्यशाला का आयोजन था। फिर 4 दिसम्बर और उसके बाद 16 दिसम्बर की तिथि सुनवाई के लिए लगाई गई। यह खबर भी पढ़ें… हाथरस के प्रोफेसर ने 3 शादियां कीं, फिर भी बेऔलाद:पड़ोसी बोले- पता नहीं था उसके अंदर इतनी हैवानियत; गांव वालों ने कहा- गंदा आदमी यूपी के हाथरस का बागला डिग्री कॉलेज पिछले 2 दिन से काफी चर्चा में है। इस कॉलेज में तैनात भूगोल के प्रोफेसर रजनीश कुमार अभी भी फरार है। उस पर 65 छात्राओं का यौन शोषण करने का आरोप है। पुलिस उसकी गिरफ्तारी के लिए लगातार दबिश दे रही है। पढ़ें पूरी खबर नेता प्रतिपक्ष व रायबरेली सांसद राहुल गांधी के मानहानि मामले में आज सुल्तानपुर के MP/MLA कोर्ट में सुनवाई है। परिवादी की ओर से गवाह नहीं आने पर बीते 3 अप्रैल को सुनवाई नहीं हो सकी थी। 3 अप्रैल को परिवादी भाजपा नेता की ओर से गवाह कोर्ट में उपस्थित नहीं हुए थे। इसलिए कोर्ट ने अब अगली सुनवाई 15 अप्रैल को तय की थी। अब जानिए पूरा मामला… कोतवाली देहात के हनुमानगंज निवासी व भाजपा नेता विजय मिश्रा ने वर्ष 2018 में राहुल गांधी के विरुद्ध मानहानि का परिवाद MP/MLA कोर्ट में दर्ज कराया था। उन्होंने आरोप लगाया था कि कर्नाटक चुनाव के दौरान राहुल गांधी ने अभद्र टिप्पणी की थी, इससे मैं आहत हुआ हूं। कोर्ट में पांच साल लंबी प्रक्रिया चली, राहुल गांधी हाजिर नहीं हुए तो दिसंबर 2023 में तत्कालीन जज ने वारंट जारी कर उन्हें तलब किया था। तब फरवरी 2024 को राहुल गांधी ने कोर्ट में सरेंडर किया। 26 जुलाई को दर्ज हुआ था राहुल गांधी का बयान
विशेष मजिस्ट्रेट ने उन्हें 25-25 के दो मुचलके पर जमानत दे दी थी। इसके बाद राहुल गांधी को कोर्ट ने बयान दर्ज करने के लिए बुलाया। दर्जन भर तारीख पड़ने के बाद बीते 26 जुलाई को राहुल कोर्ट में पहुंचे और उन्होंने अपना बयान दर्ज कराया था। उन्होंने स्वयं को निर्दोष बताया, कहा था मेरे खिलाफ राजनीतिक साजिश हो रही है। इसके बाद कोर्ट में वादी को साक्षय प्रस्तुत करने के निर्देश हुए। वादी के अस्वस्थ होने के कारण भी टली सुनवाई
12 अगस्त को सुनवाई की तिथि थी, जहां विशेष कोर्ट के जज अवकाश पर रहे और सुनवाई टल गई। इसके बाद 23 अगस्त को मामले में सुनवाई इस कारण टली कि वादी मुकदमा भाजपा नेता विजय मिश्रा के अधिवक्ता संतोष पांडेय ने प्रार्थना पत्र दिया की उनका वादी अस्वथ्य है। कोर्ट ने इस पर 5 सितंबर को सुनवाई की डेट लगाया। 19 सितंबर को सुनवाई के दौरान वादी के अधिवक्ता ने मुकदमें में व्यस्तता के चलते समय मांगते हुए प्रार्थना पत्र दिया था। इस पर 21 सितंबर को सुनवाई हुई, कहा गया कि बार एसोसिएशन के मेडिकल कैम्प के चलते आज सुनवाई नहीं हो सकती जिस पर कोर्ट ने 1 अक्टूबर की डेट लगाया। एक अक्टूबर को भी वादी भाजपा नेता के अस्वस्थ होने की अर्जी दी गई। तब कोर्ट ने नौ अक्टूबर की तिथि सुनवाई के लिए नियत की थी। नौ अक्टूबर को वादी से राहुल के अधिवक्ता ने तीखे सवाल किए थे। वादी ने यहां साक्षय भी पेश किया था। अक्टूबर और नवम्बर में भी जज के अवकाश पर होने से टली थी सुनवाई
इसके बाद 17 अक्टूबर को विशेष कोर्ट के जज अवकाश पर चले गए तो सुनवाई टली थी। कोर्ट ने 31 अक्टूबर को सुनवाई की तिथि नियत की गई थी, लेकिन दीपावली के अवकाश के चलते सुनवाई नहीं हुई और 5 नवम्बर की तारीख नीयत हुई थी। 5 नवम्बर को सुनवाई इसलिए नहीं हो सकी थी कि विशेष कोर्ट के जज अवकाश पर थे। 23 नवंबर को भी इसलिए सुनवाई टल गई थी कि दीवानी कोर्ट में विधिक कार्यशाला का आयोजन था। फिर 4 दिसम्बर और उसके बाद 16 दिसम्बर की तिथि सुनवाई के लिए लगाई गई। यह खबर भी पढ़ें… हाथरस के प्रोफेसर ने 3 शादियां कीं, फिर भी बेऔलाद:पड़ोसी बोले- पता नहीं था उसके अंदर इतनी हैवानियत; गांव वालों ने कहा- गंदा आदमी यूपी के हाथरस का बागला डिग्री कॉलेज पिछले 2 दिन से काफी चर्चा में है। इस कॉलेज में तैनात भूगोल के प्रोफेसर रजनीश कुमार अभी भी फरार है। उस पर 65 छात्राओं का यौन शोषण करने का आरोप है। पुलिस उसकी गिरफ्तारी के लिए लगातार दबिश दे रही है। पढ़ें पूरी खबर उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर
राहुल गांधी के मानहानि केस में सुनवाई आज:सुल्तानपुर कोर्ट में चल रही जिरह, पिछली 3 तारीखों में नहीं हुई कार्रवाई
