हरियाणा में चेकिंग को लेकर SDM और सिविल सर्जन भिड़े:एसडीएम बोले- मुझे तरजीह नहीं दी; CMO बोले- मैं सीनियर, वह मुझसे जूनियर

हरियाणा में चेकिंग को लेकर SDM और सिविल सर्जन भिड़े:एसडीएम बोले- मुझे तरजीह नहीं दी; CMO बोले- मैं सीनियर, वह मुझसे जूनियर

हरियाणा के नूंह जिले में अल आफिया सिविल अस्पताल का निरीक्षण करने पहुंचे सब-डिवीजनल मजिस्ट्रेट (SDM) का चीफ मेडिकल ऑफिसर (CMO) के साथ विवाद हो गया। SDM का आरोप है कि निरीक्षण के दौरान CMO ने उन्हें तरजीह नहीं दी। उन्हें इंतजार कराया। SDM ने कहा कि CMO साथ भी नहीं गए, जिसके चलते उन्हें अकेले ही निरीक्षण करना पड़ा। SDM ने यहां तक कह दिया कि CMO का अस्पताल में व्यवस्था सुधार पर कोई फोकस नहीं है। कमियां छिपाने के लिए CMO ने निरीक्षण में सहयोग नहीं किया। फिलहाल, उन्होंने इस पूरे मामले की रिपोर्ट बनाकर उच्च अधिकारियों को भेज दी है। वहीं, इस पर CMO ने साफ कहा – वह (SDM) ब्लॉक लेवल के अधिकारी हैं और मैं जिला स्तर का। SDM को मेरे खिलाफ इस तरह के शब्दों का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। SDM ने क्या-क्या आरोप लगाए… CMO ने बात को अनसुना किया फिरोजपुर झिरका के SDM लक्ष्मी नारायण ने बताया कि बुधवार को वह अल आफिया सिविल अस्पताल का निरीक्षण करने मांडीखेड़ा गए थे। वह सीधे सिविल सर्जन कार्यालय पहुंचे, जहां CMO सिविल सर्जन डॉ. सर्वजीत थापर कुछ डॉक्टर्स और अपने स्टाफ के साथ बातचीत कर रहे थे। SDM का आरोप है कि जब उन्होंने कहा कि वह अस्पताल का निरीक्षण करने आए हैं तो CMO ने इस बात को अनसुना कर दिया। सिविल सर्जन ने एक बार भी उनकी तरफ मुड़कर नहीं देखा। वे लोग बातें करने में मस्त थे। दफ्तर में बैठ कर बातों में रहते हैं मशगूल
SDM का कहना है कि सिविल सर्जन अपने दफ्तर में बैठकर कर्मचारियों के साथ बातों में मशगूल रहते हैं। उन्हें अस्पताल और मरीजों की परवाह नहीं। अस्पताल का नियमित निरीक्षण कर व्यवस्था बनवाना सिविल सर्जन का काम है, लेकिन वह अपने काम के प्रति लापरवाह हैं। उन्होंने कहा- अस्पताल मेरे उपमंडल एरिया में है। मैं कभी भी इसका निरीक्षण कर सकता हूं। काफी समय से शिकायतें मिल रही थीं। उसी के आधार पर अस्पताल का निरीक्षण करने पहुंचा था। इंतजार कराया, निरीक्षण में साथ नहीं गए
SDM का आरोप है कि करीब 5 मिनट तक सिविल सर्जन ने इंतजार कराया। जब वह नहीं आए तो अकेले ही अस्पताल का निरीक्षण करने लगे। इस निरीक्षण में न तो CMO ने निरीक्षण में सहयोग किया और न ही किसी को साथ भेजा। CMO ने कमियां छिपाने के लिए निरीक्षण में सहयोग नहीं किया। अधिकारियों ने मूवमेंट रजिस्टर नहीं दिखाया
SDM लक्ष्मी नारायण ने कहा कि निरीक्षण के दौरान उन्हें सफाई व्यवस्था बदहाल मिली। कमरा नंबर 6 पर OPD के बाहर काफी संख्या में मरीज मिले। गर्मी के कारण मरीज परेशान थे, एक दूसरे को धक्का मुक्की कर रहे थे। लाइन लगवाने के लिए ड्यूटी पर कोई गार्ड नहीं था। SDM ने कहा कि रजिस्टर में डॉक्टरों के खाने खाली मिले। कर्मचारियों का रजिस्टर जांचा तो सामने आया कि दिन और रात में ड्यूटी करने वाले कर्मचारियों का एक ही रजिस्टर बनाया हुआ था। मूवमेंट रजिस्टर मांगने पर अस्पताल के अधिकारियों ने मूवमेंट रजिस्टर नहीं दिखाया। डॉक्टर के कमरे के सामने भीड़ देखकर जताई नाराजगी
अस्पताल में डॉ. कृष्ण के कमरा नंबर 6 के बाहर भीड़ देखकर SDM ने नाराजगी जताई। उन्होंने कर्मचारियों को लाइन या नंबर की व्यवस्था करने के लिए कहा। SDM का कहना है कि जब उन्होंने हाजिरी रजिस्टर चेक किया तो इसमें डॉ. मोहम्मद फारुक के हाजिरी रजिस्टर में 28 मई की हाजिरी का कॉलम खाली पाया गया। इसके अलावा डॉ. नेकी यादव का 27 और 28 मई और त्रिलोक यादव का 26, 27 और 28 मई 2025 की हाजिरी का कॉलम खाली था। उन्होंने अस्पताल के हालात पर चिंता जताई और अवस्थाओं के लिए सिविल सर्जन को दोषी बताया। CMO बोले- प्रोटोकॉल में मैं SDM से सीनियर
उधर, इस पूरे विवाद पर CMO डॉ. सर्वजीत थापर ने कहा- जब SDM मेरे पास आए तो मैं कोरोना को लेकर अपने डॉक्टर्स के साथ महत्वपूर्ण बात कर रहा था। कुछ देर बैठने के बाद वह (SDM) यह कहते हुए उठकर चले गए कि अकेले की निरीक्षण कर लूंगा। प्रोटोकॉल में मैं SDM से सीनियर हूं। वह ब्लॉक लेवल के अधिकारी हैं, और मैं जिला स्तर का। उन्हें मेरे खिलाफ इस तरह के शब्दों का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। यह अनुचित है। हरियाणा के नूंह जिले में अल आफिया सिविल अस्पताल का निरीक्षण करने पहुंचे सब-डिवीजनल मजिस्ट्रेट (SDM) का चीफ मेडिकल ऑफिसर (CMO) के साथ विवाद हो गया। SDM का आरोप है कि निरीक्षण के दौरान CMO ने उन्हें तरजीह नहीं दी। उन्हें इंतजार कराया। SDM ने कहा कि CMO साथ भी नहीं गए, जिसके चलते उन्हें अकेले ही निरीक्षण करना पड़ा। SDM ने यहां तक कह दिया कि CMO का अस्पताल में व्यवस्था सुधार पर कोई फोकस नहीं है। कमियां छिपाने के लिए CMO ने निरीक्षण में सहयोग नहीं किया। फिलहाल, उन्होंने इस पूरे मामले की रिपोर्ट बनाकर उच्च अधिकारियों को भेज दी है। वहीं, इस पर CMO ने साफ कहा – वह (SDM) ब्लॉक लेवल के अधिकारी हैं और मैं जिला स्तर का। SDM को मेरे खिलाफ इस तरह के शब्दों का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। SDM ने क्या-क्या आरोप लगाए… CMO ने बात को अनसुना किया फिरोजपुर झिरका के SDM लक्ष्मी नारायण ने बताया कि बुधवार को वह अल आफिया सिविल अस्पताल का निरीक्षण करने मांडीखेड़ा गए थे। वह सीधे सिविल सर्जन कार्यालय पहुंचे, जहां CMO सिविल सर्जन डॉ. सर्वजीत थापर कुछ डॉक्टर्स और अपने स्टाफ के साथ बातचीत कर रहे थे। SDM का आरोप है कि जब उन्होंने कहा कि वह अस्पताल का निरीक्षण करने आए हैं तो CMO ने इस बात को अनसुना कर दिया। सिविल सर्जन ने एक बार भी उनकी तरफ मुड़कर नहीं देखा। वे लोग बातें करने में मस्त थे। दफ्तर में बैठ कर बातों में रहते हैं मशगूल
SDM का कहना है कि सिविल सर्जन अपने दफ्तर में बैठकर कर्मचारियों के साथ बातों में मशगूल रहते हैं। उन्हें अस्पताल और मरीजों की परवाह नहीं। अस्पताल का नियमित निरीक्षण कर व्यवस्था बनवाना सिविल सर्जन का काम है, लेकिन वह अपने काम के प्रति लापरवाह हैं। उन्होंने कहा- अस्पताल मेरे उपमंडल एरिया में है। मैं कभी भी इसका निरीक्षण कर सकता हूं। काफी समय से शिकायतें मिल रही थीं। उसी के आधार पर अस्पताल का निरीक्षण करने पहुंचा था। इंतजार कराया, निरीक्षण में साथ नहीं गए
SDM का आरोप है कि करीब 5 मिनट तक सिविल सर्जन ने इंतजार कराया। जब वह नहीं आए तो अकेले ही अस्पताल का निरीक्षण करने लगे। इस निरीक्षण में न तो CMO ने निरीक्षण में सहयोग किया और न ही किसी को साथ भेजा। CMO ने कमियां छिपाने के लिए निरीक्षण में सहयोग नहीं किया। अधिकारियों ने मूवमेंट रजिस्टर नहीं दिखाया
SDM लक्ष्मी नारायण ने कहा कि निरीक्षण के दौरान उन्हें सफाई व्यवस्था बदहाल मिली। कमरा नंबर 6 पर OPD के बाहर काफी संख्या में मरीज मिले। गर्मी के कारण मरीज परेशान थे, एक दूसरे को धक्का मुक्की कर रहे थे। लाइन लगवाने के लिए ड्यूटी पर कोई गार्ड नहीं था। SDM ने कहा कि रजिस्टर में डॉक्टरों के खाने खाली मिले। कर्मचारियों का रजिस्टर जांचा तो सामने आया कि दिन और रात में ड्यूटी करने वाले कर्मचारियों का एक ही रजिस्टर बनाया हुआ था। मूवमेंट रजिस्टर मांगने पर अस्पताल के अधिकारियों ने मूवमेंट रजिस्टर नहीं दिखाया। डॉक्टर के कमरे के सामने भीड़ देखकर जताई नाराजगी
अस्पताल में डॉ. कृष्ण के कमरा नंबर 6 के बाहर भीड़ देखकर SDM ने नाराजगी जताई। उन्होंने कर्मचारियों को लाइन या नंबर की व्यवस्था करने के लिए कहा। SDM का कहना है कि जब उन्होंने हाजिरी रजिस्टर चेक किया तो इसमें डॉ. मोहम्मद फारुक के हाजिरी रजिस्टर में 28 मई की हाजिरी का कॉलम खाली पाया गया। इसके अलावा डॉ. नेकी यादव का 27 और 28 मई और त्रिलोक यादव का 26, 27 और 28 मई 2025 की हाजिरी का कॉलम खाली था। उन्होंने अस्पताल के हालात पर चिंता जताई और अवस्थाओं के लिए सिविल सर्जन को दोषी बताया। CMO बोले- प्रोटोकॉल में मैं SDM से सीनियर
उधर, इस पूरे विवाद पर CMO डॉ. सर्वजीत थापर ने कहा- जब SDM मेरे पास आए तो मैं कोरोना को लेकर अपने डॉक्टर्स के साथ महत्वपूर्ण बात कर रहा था। कुछ देर बैठने के बाद वह (SDM) यह कहते हुए उठकर चले गए कि अकेले की निरीक्षण कर लूंगा। प्रोटोकॉल में मैं SDM से सीनियर हूं। वह ब्लॉक लेवल के अधिकारी हैं, और मैं जिला स्तर का। उन्हें मेरे खिलाफ इस तरह के शब्दों का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। यह अनुचित है।   हरियाणा | दैनिक भास्कर