<p style=”text-align: justify;”><strong>Uddhav Thackeray News:</strong> <a title=”लोकसभा चुनाव” href=”https://www.abplive.com/topic/lok-sabha-election-2024″ data-type=”interlinkingkeywords”>लोकसभा चुनाव</a> रिजल्ट के बाद महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे को लेकर कई तरह की अटकलें लगाई जा रही है. इस बीच गठबंधन में शामिल शरद पवार की पार्टी एनसीपी (एसपी) के नेता जितेंद्र आव्हाड ने कहा है कि जहां तक मैं उद्धव ठाकरे को जानता हूं, वो सर कटवा लेंगे लेकिन NDA में नहीं जाएंगे.</p>
<p style=”text-align: justify;”>वहीं एनसीपी (एसपी) के वरिष्ठ नेता जयंत पाटिल ने भी अटकलों को खारिज किया. उन्होंने कहा, ”उद्धव ठाकरे से मिलकर आया हूं, कोई नाराजगी नहीं है और उद्धव ठाकरे इधर से उधर जाने वाले नेता नहीं हैं.”</p> <p style=”text-align: justify;”><strong>Uddhav Thackeray News:</strong> <a title=”लोकसभा चुनाव” href=”https://www.abplive.com/topic/lok-sabha-election-2024″ data-type=”interlinkingkeywords”>लोकसभा चुनाव</a> रिजल्ट के बाद महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे को लेकर कई तरह की अटकलें लगाई जा रही है. इस बीच गठबंधन में शामिल शरद पवार की पार्टी एनसीपी (एसपी) के नेता जितेंद्र आव्हाड ने कहा है कि जहां तक मैं उद्धव ठाकरे को जानता हूं, वो सर कटवा लेंगे लेकिन NDA में नहीं जाएंगे.</p>
<p style=”text-align: justify;”>वहीं एनसीपी (एसपी) के वरिष्ठ नेता जयंत पाटिल ने भी अटकलों को खारिज किया. उन्होंने कहा, ”उद्धव ठाकरे से मिलकर आया हूं, कोई नाराजगी नहीं है और उद्धव ठाकरे इधर से उधर जाने वाले नेता नहीं हैं.”</p> महाराष्ट्र Maharashtra: नतीजों के बाद राज ठाकरे के घर हलचल, मिलने पहुंचे BJP के ये दिग्गज नेता
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यूपी की जिन 9 सीटों पर होना है उपचुनाव, वहां कौन किससे आगे? इन क्षेत्रों में बीजेपी हुई कमजोर
यूपी की जिन 9 सीटों पर होना है उपचुनाव, वहां कौन किससे आगे? इन क्षेत्रों में बीजेपी हुई कमजोर <p style=”text-align: justify;”><strong>UP Bypoll 2024:</strong> उत्तर प्रदेश में यूपी की नौ विधानसभा सीटों पर उपचुनाव की तैयारियां तेज हो गई है. हाल ही में लोकसभा चुनाव में जिस तरह के नतीजे सामने आए हैं उसके बाद प्रदेश की कई सीटों पर समीकरण बदले हुए नजर आ रहे हैं. समाजवादी पार्टी और कांग्रेस का गठबंधन पहले के मुकाबले कई सीटों पर मजबूत हुआ है वहीं 2022 से से कई सीटों पर बीजेपी कमजोर हुई है. </p>
<p style=”text-align: justify;”>यूपी की जिन सीटों पर उपचुनाव होना है, वो सीटें हैं फूलपुर, मझवा, मीरापुर, मिल्कीपुर, करहल, कुंदरकी, गाजियाबाद, कटेहरी और खैर विधानसभा सीट. इसके अलावा रायबरेली की ऊंचाहार सीट भी सुर्खियों में हैं. इस सीट से विधायक मनोज पांडे अब बीजेपी में शामिल हो चुके हैं. उन्होंने भी इस्तीफा दे दिया है लेकिन इस सीट को अभी तक ख़ाली घोषित नहीं किया गया है. <br /> <br /><strong>फूलपुर विधानसभा सीट–</strong> इस सीट से बीजेपी के प्रवीण पटेल विधायक थे. जो 2024 के लोकसभा में सांसद चुने गए हैं. लेकिन, प्रवीण पटेल जीत तो गए लेकिन अपनी ही विधानसभा में वो कमजोर हो गए. यहां पर वो 18 हजार वोटों से पीछे रहे जबकि 2022 के चुनाव वो करीब 3 हजार वोटों से जीते थे.<br /> <br /><strong>मझवा विधानसभा सीट–</strong> ये सीट मिर्जापुर लोकसभा में आती है, जहां एनडीए की सहयोगी और अपना दल की नेता अनुप्रिया पटेल ने लोकसभा में जीत दर्ज की है, मझवा विधानसभा से अनुप्रिया को करीब 2000 की लीड मिली थी. इस सीट से डॉ विनोद बिंद बीजेपी से गठबंधन के सहयोगी निषाद पार्टी विधायक चुने गए थे. 2022 में जीत का अंतर करीब 33 हजार वोटों का था, इस बार विनोद बिंद बीजेपी के टिकट पर भदोही लोकसभा सीट से जीत दर्ज की हैं. हालांकि मझवा में बीजेपी कमजोर दिख रही है.<br /> <br /><strong>मीरापुर विधानसभा सीट–</strong> उस सीट से रालोद के चंदन चौहान विधायक थे. जो इस बार बिजनौर लोकसभा सीट से 37508 वोटों के अंतर से सांसद चुने गए हैं. 2022 में रालोद ने सपा के साथ चुनाव लड़ा था, तब वो इस सीट पर 27 हजार वोटो से आगे थे. इस बार रालोद का बीजेपी के साथ गठबंधन हैं. <br /> <br /><strong>मिल्कीपुर विधानसभा सीट–</strong> सपा अवधेश प्रसाद को इस विधानसभा से <a title=”लोकसभा चुनाव” href=”https://www.abplive.com/topic/lok-sabha-election-2024″ data-type=”interlinkingkeywords”>लोकसभा चुनाव</a> में 8000 वोटों से बढ़त मिली थी, जबकि अवधेश प्रसाद ने 2022 का चुनाव 13 हजार वोटों से जीता था. अवधेश प्रसाद इस बार फैजाबाद सीट से सांसद चुने गए हैं. उनकी जीत इसलिए बड़ी हैं क्योंकि यहां अयोध्या सीट और भव्य <a title=”राम मंदिर” href=”https://www.abplive.com/topic/ram-mandir” data-type=”interlinkingkeywords”>राम मंदिर</a> बनाया गया हैं.<br /> <br /><strong>करहल विधानसभा सीट–</strong> लोकसभा 2024 के चुनाव में सपा की डिंपल यादव को करहल 55000 की बढ़त मिली थी. जबकि, 2022 में अखिलेश यादव नें विधानसभा में 67 हजार से जीत दर्ज की थी. इस सीट से सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव विधायक थे लेकिन कन्नौज से चुनाव जीतने के बाद ये सीट खाली हो गई है. इस सीट पर सपा मजबूत स्थिति में है.<br /> <br /><strong>कुंदरकी विधानसभा सीट-</strong> इन सीट से समाजवादी पार्टी के जियाउर्रहमान बर्क विधायक थे लेकिन अब वो संभल सीट से सांसद बन गए हैं. उन्हें अपनी विधानसभा में तकरीबन 60 हजार की लीड़ मिली थी, जबकि 2022 का चुनाव बर्क ने 43 हजार वोटों से जीता था. इस सीट पर सपा बीजेपी के मुकाबले और मजबूत होती दिख रही है.<br /> <br /><strong>गाजियाबाद विधानसभा सीट-</strong> इस सीट से बीजेपी के अतुल गर्ग विधायक थे उनके सांसद चुने जाने के बाद यहां उपचुनाव होना है. अतुल गर्ग को अपनी विधानसभा में कांग्रेस की डॉली शर्मा के खिलाफ तकरीबन 70 हजार वोटों की बढ़त मिली थी. 2022 के विधानसभा में उन्होंने एक लाख से ज़्यादा वोटों से जीत दर्ज की थी. <br /> <br /><strong>कटेहरी विधानसभा सीट–</strong> यहां से सपा के लालजी वर्मा विधायक थे लेकिन अब वो सांसद बन गए हैं जिसके बाद उन्होंने विधायकी से इस्तीफा दे दिया है. लालजी वर्मा को कटेहरी में 17 हजार वोटों की बढ़त मिली, जबकि 2022 का विधानसभा चुनाव 7 हजार वोटों से जीता था, जाहिर है वो अपने क्षेत्र में और मजबूत हुए हैं. उन्होंने बीजेपी के मजबूत प्रत्याशी रितेश पांडे को 1.37 लाख वोटों से हराया. रितेश पांडे 2019 में सपा–बसपा गठबंधन से सांसद चुने गए थे लेकिन, चुनाव से ठीक पहले उन्होंने बीजेपी का दामन थाम लिया था.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>खैर विधानसभा सीट-</strong> अलीगढ़ की खैर विधानसभा सीट भी बीजेपी विधायक अनूप प्रधान के इस्तीफे के बाद खाली हो गई है. अनूप प्रधान हाथरस से सांसद चुने गए हैं. उन्होंने 2,47,318 वोटों से जीत दर्ज की है. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>ऊंचाहार विधानसभा सीट-</strong> इन नौ सीटों के अलावा रायबरेली की ऊंचाहार विधानसभा सीट पर भी जल्द ही उपचुनाव हो सकते हैं. 2022 में यहां से सपा के मनोज पांडे ने 82,514 वोटों से जीत दर्ज की थी. लेकिन चुनाव के दौरान उन्होंने सपा से इस्तीफा दे दिया. इस सीट पर कांग्रेस के राहुल गांधी के पक्ष में जमकर वोटिंग हुई. राहुल गांधी करीब 82000 वोटों से आगे रहे. मनोज पांडे के इस्तीफे के बाद ये सीट खाली घोषित नहीं हुई है.</p>
होशियारपुर के क्लासिकल गायक की अमेरिका में मौत:दिल का दौरा पड़ने से हुआ निधन, 2018 में गए थे विदेश, वहीं होगा अंतिम संस्कार
होशियारपुर के क्लासिकल गायक की अमेरिका में मौत:दिल का दौरा पड़ने से हुआ निधन, 2018 में गए थे विदेश, वहीं होगा अंतिम संस्कार होशियारपुर जिले के दसूहा क्षेत्र के 45 वर्षीय नौजवान और भारतीय क्लासिकल संगीत के प्रसिद्ध गायक तथा रागी भाई अमरदीप सिंह की अमेरिका में दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई। इस खबर से पूरे इलाके में शोक की लहर है। बता दें कि भाई अमरदीप सिंह ने इंडियन क्लासिकल संगीत में पंजाब व देश का नाम पूरी दुनिया में चमकाया है। 2018 में गया था अमेरिका जानकारी देते हुए अमरदीप के बड़े भाई आकाशदीप सिंह ने बताया कि मेरे भाई अमरदीप सिंह 2018 को अमेरिका गया था और अपनी पत्नी और एक बेटे के साथ एरिजोना शहर में रह रहा था। अमरदीप ने इंडियन क्लासिकल म्यूजिक में एमए की थी, और भारत के साथ साथ दुनिया के कई बड़े देशों में वह संगीत के कार्यक्रम कर चुका है। देश की कई बड़ी हस्तियों ने अमरदीप को सम्मानित किया है। हमारा परिवार बाबा मरदाना जी के कुल से संबंधित है और गायकी में हमारा बोदल घराने से संबंध है। रिश्तेदारों ने फोन पर दी जानकारी अमरदीप के भाई ने बताया कि जब हमें हमारे रिश्तेदार ने अमेरिका से फोन पर यह जानकारी दी। जिसे सुनकर पूरे इलाके में शोक की लहर दौड़ गई। क्योंकि भाई अमरदीप सिंह को लोगों का खूब प्यार और स्नेह मिलता था। अमेरिका में ही होगा अंतिम संस्कार भाई अमरदीप सिंह की माता जी राजिंदर कौर का कहना है कि अमरदीप अपने सभी भाइयों से फोन पर लगातार बात करता रहता था, पर मुझसे कई महीनों से बात नहीं हुई । अब मुझे अफसोस हो रहा है कि काश मै एक बार अपने बेटे से आखिरी बार ही बात कर सकती। उन्होंने बताया कि अमरदीप सिंह का अंतिम संस्कार अमेरिका में ही किया जाएगा। वहीं समूह गांव वासियों ने पंजाब सरकार से मांग की है के भाई अमरदीप सिंह की याद में गांव बोदल में कोई यादगार स्मारक बनवाया जाए। ताकि देश का नाम ऊंचा करने वाले इस महान शख्सियत को लोग युगों युगों तक याद रख सके।
कपूरथला के MLA राणा की RSL पर सेबी का नोटिस:63 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया; 45 दिन का टाइम दिया
कपूरथला के MLA राणा की RSL पर सेबी का नोटिस:63 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया; 45 दिन का टाइम दिया कपूरथला के MLA और कांग्रेसी नेता राणा गुरजीत सिंह सहित के परिवार को सिक्योरिटीज एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया (SEBI) ने बड़ा झटका दिया है। जिससे राणा परिवार की आधिपत्य वाली राणा शुगर लिमिटेड (RSL) की मुश्किलें काफी बढ़ गई हैं। सेबी ने RSL के निदेशक मंडल सहित पांच फर्मों को दो साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया गया है। वहीं RSL सहित 6 फर्मों, चेयरमैन, एमडी, डायरेक्टर और प्रमोटर, राणा परिवार के सदस्य पर 63 करोड़ रुपए का जुर्माना भी लगाया। सेबी के MD की तरफ से जारी फाइनल ऑर्डर में 45 दिन के अंदर राशि का ऑनलाइन भुगतान करने का निर्देश भी दिया गया है। साथ ही RSL को पांच फर्मों से 15 करोड़ रुपए की जुर्माना राशि 60 दिन में रिकवर करने के भी आदेश जारी किए हैं। SEBI के मुख्य महाप्रबंधक जी रामर की ओर से 27 अगस्त को एक फाइनल ऑर्डर जारी किया गया। इसमें RSLके प्रमोटर्स से संबंधित संस्थाओं की ओर से RSL से फंड के डायवर्जन, RSL के वित्तीय विवरणों में गलत बयानी समेत कई कार्रवाई में आरोपी पाया गया। जिससे सेबी एक्ट-1992, सेबी के पीएफयूटीपी रेगुलेशन-2003 और एलओडीआर रेगुलेशन-2015 के प्रावधानों का उल्लंघन हुआ है। इसकी जांच अवधि वित्तीय वर्ष 2014-15 से वित्त वर्ष 2020-21 तक मानी गई है। कंपनी पर कमाई को डायवर्ट की योजना थी
SEBI की जांच में आरोप लगाया गया कि कंपनी ने अपने प्रबंध निदेशक, अध्यक्ष और परिवार के अन्य सदस्यों सहित अपने प्रमोटर निदेशकों के साथ मिलकर आरएसएल के प्रबंध निदेशक और उनके परिवार के सदस्यों की ओर से अप्रत्यक्ष रूप से नियंत्रित कुछ निजी सीमित कंपनियों का उपयोग करके कंपनी की कमाई को डायवर्ट करने की योजना तैयार की थी। इन निजी कंपनियों को संबंधित पक्ष के रूप में नहीं दिखाया गया, भले ही ये अप्रत्यक्ष रूप से आरएसएल के प्रमोटरों ने इसके प्रबंध निदेशक सहित नियंत्रित थीं। परिणामस्वरूप इन निजी कंपनियों के साथ लेनदेन को भी संबंधित पक्ष के लेनदेन के रूप में नहीं दिखाया गया। इस पर सेबी ने आरएसएल के एमडी-कम-प्रमोटर इंद्र प्रताप सिंह राणा, चेयरमैन-कम-प्रमोटर रणजीत सिंह राणा, डायरेक्टर-कम-प्रमोटर वीर प्रताप सिंह राणा, गुरजीत सिंह राणा, करण प्रताप सिंह राणा, राजबंस कौर राणा, प्रीत इंद्र सिंह राणा, सुखजिंदर कौर(राणा परिवार सदस्य), मनोज गुप्ता और पांच फर्म फ्लालेस ट्रेडर्स प्राइवेट लिमिटेड, सेंचुरी एग्रो प्राइवेट लिमिटेड, जेआर बिल्डर्स प्राइवेट लिमिटेड, आरजे टैक्स फैब प्राइवेट लिमिटेड, आरजीएस ट्रेडर्स प्राइवेट लिमिटेड की स्टॉक मार्केट में प्रवेश पर रोक लगा दी है। इन सभी को इस आदेश के लागू होने की तारीख से दो साल की अवधि के लिए प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से सिक्योरिटीज मार्केट से खरीद, बिक्री या अन्यथा लेनदेन करने या किसी भी तरह से बाजार से जुड़े होने से प्रतिबंधित कर दिया गया है। राणा परिवार के 8 लोगों पर प्रतिबंध
SEBI चीफ की तरफ से जारी ऑर्डर में RSL के एमडी-कम-प्रमोट इंद्र प्रताप सिंह राणा, चेयरमैन-कम-प्रमोटर रणजीत सिंह राणा, डायरेक्टर-कम-प्रमोटर वीर प्रताप सिंह राणा, गुरजीत सिंह राणा, करण प्रताप सिंह राणा, राजबंस कौर राणा, प्रीत इंद्र सिंह राणा, सुखजिंदर कौर को दो साल के के लिए किसी अन्य सूचीबद्ध कंपनी के निदेशक या प्रमुख प्रबंधकीय व्यक्ति के रूप में कोई भी पद धारण करने से भी प्रतिबंधित किया गया है। 45 दिन में 63 करोड़ के भुगतान के भी आदेश
SEBI ने नोटिस के मिलने से 45 दिन के भीतर आरएसएल समेत छह फर्मों और राणा परिवार के आठ सदस्यों व एक अन्य व्यक्ति पर लगे 63 करोड़ रुपए के जुर्माने की राशि के ऑनलाइन भुगतान के आदेश जारी किए हैं। जानकारी अनुसार राणा शुगर लिमिटेड को 7 करोड़, इंद्रप्रताप सिंह राणा को 9 करोड़, रणजीत सिंह राणा को 5 करोड़, वीरप्रताप सिंह राणा को 5 करोड़, गुरजीत सिंह राणा को 4 करोड़, करणप्रताप सिंह राणा को 4 करोड़, राजबंस कौर को 4 करोड़, प्रीत इंद्र सिंह राणा को 3 करोड़, सुखजिंदर कौर को 3 करोड़, मनोज गुप्ता को 4 करोड़ का जुर्माना लगाया है।