यूपी में ‘बटेंगे तो कटेंगे’ जैसे रहेंगे भाजपा के नारे:राम मंदिर बनने के बाद मिली नई लाइन; योगी-मोदी और भागवत ने दिए संकेत

यूपी में ‘बटेंगे तो कटेंगे’ जैसे रहेंगे भाजपा के नारे:राम मंदिर बनने के बाद मिली नई लाइन; योगी-मोदी और भागवत ने दिए संकेत

राम मंदिर और जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 खत्म होने के बाद अब भाजपा ‘बटेंगे तो कटेंगे’ और ‘एक रहेंगे तो नेक रहेंगे’ के नारे के साथ ही हिंदुत्व के एजेंडे को आगे बढ़ाएगी। यूपी में विधानसभा की 9 सीटों पर होने वाले उपचुनाव, महाराष्ट्र, झारखंड चुनाव से लेकर आगे तक राष्ट्रवाद के चुनावी मुद्दे इसी लाइन के इर्द-गिर्द रहेंगे। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 26 अगस्त को जन्माष्टमी के अवसर पर आगरा में आयोजित कार्यक्रम में कहा कि राष्ट्र से बढ़कर कुछ नहीं हो सकता। राष्ट्र तब सशक्त रहेगा, जब तक हम एक रहेंगे और नेक रहेंगे। बटेंगे तो कटेंगे। आप बांग्लादेश में देख रहे हैं न, वो गलतियां नहीं होनी चाहिए। योगी की इन लाइनों ने भविष्य में भाजपा के लिए सांस्कृतिक राष्ट्रवाद और हिंदुत्व के एजेंडे की दिशा तय कर दी। मोदी ने कहा- बटेंगे तो बांटने वाले महफिल सजाएंगे
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 5 अक्टूबर को महाराष्ट्र के ठाणे में एक सभा को संबोधित करते हुए कहा- हमें याद रखना है कि हम बटेंगे तो हमें बांटने वाले महफिल सजाएंगे। हमें कांग्रेस और अघाड़ी वालों के मंसूबों को कामयाब नहीं होने देना है। भागवत ने भी कहा- एकजुट रहेंगे तो मजबूत रहेंगे
विजयदशमी के मौके पर नागपुर में शस्त्र पूजन कार्यक्रम हुआ। इसमें आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने भी योगी की लाइन पर मुहर लगाकर स्पष्ट संदेश दे दिया कि भविष्य की राजनीति इसी लाइन पर होगी। भागवत ने कहा- एकजुट रहेंगे तो मजबूत रहेंगे। दुर्बल रहना अपराध है। हम अगर दुर्बल हैं, असंगठित हैं तो उसका मतलब है कि हम अत्याचार को निमंत्रण दे रहे हैं। इसलिए जहां कहीं भी हम हैं, वहां संगठित रहना सशक्त रहना है। उन्होंने कहा कि समाज को तैयार रहना चाहिए और सावधान रहना चाहिए। गुंडागर्दी किसी की नहीं चलने देनी है। अपनी और अपनों के प्राण की रक्षा का करना मूलभूत अधिकार है। बांग्लादेश में पहली बार वहां का हिंदू बचाव में रास्ते पर आया, इसलिए बचाव हो गया। जानकार मानते हैं, भले ही यह बात बांग्लादेश में हिंदुओं की दशा को लेकर कही गई है। लेकिन, इसके जरिए यूपी ही नहीं, पूरे देश में हिंदू वोट बैंक को भाजपा के पक्ष में लामबंद करने की तैयारी है। इसलिए पकड़ी नई लाइन
राजनीतिक विश्लेषक मानते हैं, भाजपा ने अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि पर भव्य राम मंदिर आंदोलन में जय श्रीराम के नारे से हिंदुत्व की राजनीति शुरू की। आरएसएस और भाजपा के हिंदुत्व के एजेंडे में अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि पर भव्य राम मंदिर का निर्माण, जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 की समाप्ति और समान नागरिक संहिता मुख्य रहे। अयोध्या में श्रीराम मंदिर का निर्माण हो गया। जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 और 35ए भी हट गया। उत्तराखंड सहित कुछ राज्य समान नागरिक संहिता लागू करने की कवायद भी शुरू कर चुके हैं। ऐसे में हिंदुत्व के मुद्दे को लगातार धार देने और हिंदू वोट बैंक को साधे रखने के लिए आरएसएस और भाजपा ने यह लाइन चुनी है। सपा के पीडीए के खिलाफ भी मजबूत हथियार
राजनीतिक विश्लेषक मानते हैं, समाजवादी पार्टी के पिछड़ा, दलित और अल्पसंख्यक (पीडीए) के मुद्दे के खिलाफ भी ‘कटेंगे तो बटेंगे’ और ‘एक रहेंगे तो नेक रहेंगे’ जैसे नारे कारगर साबित हो सकते है। हिंदुत्व और राष्ट्रवाद के मुद्दे के बल पर ही संविधान और आरक्षण जैसे मुद्दों को दबाया जा सकता है। आरएसएस और भाजपा ने पिछड़े और दलित वर्ग की नब्ज पकड़ी है कि वह हिंदुत्व के मुद्दे पर किसी से समझौता करने को तैयार नहीं है। लंबे मंथन के बाद तय हुई लाइन
जानकार मानते हैं, आरएसएस और भाजपा ने राजनीति की नई लाइन की दिशा यूं ही तय नहीं की। इससे पहले लखनऊ से दिल्ली और नागपुर तक मंथन हुआ। उसके बाद तय हुआ कि देश में हिंदुत्व के फायर ब्रांड नेता, भगवा वस्त्रधारी योगी आदित्यनाथ से ही इसकी शुरुआत कराई जाए। उसके लिए दिन भी जन्माष्टमी का चुना गया। ये तीन घटनाएं और एक्शन से हिंदुत्व को धार दी 1- बहराइच की घटना से भी संदेश देने की तैयारी: भगवा टोली ने बहराइच में मूर्ति विसर्जन के दौरान दुर्गा देवी की मूर्तियों पर पथराव और उसके बाद राम गोपाल मिश्रा की गोली मारकर हत्या जैसी घटनाओं से भी संदेश देने की तैयारी की है। सरकार ने मामले में त्वरित कार्रवाई कर आरोपियों को गिरफ्तार किया। दो आरोपियों का हाफ एनकाउंटर हुआ। सीएम योगी ने पीड़ित परिवार के लोगों से मुलाकात उन्हें हरसंभव मदद का आश्वासन भी दिया। 2- दुकानों पर नाम लिखना भी अनिवार्य किया: यूपी में ऐसे कई मामले सामने आए जब दूसरे समुदाय के लोग हिंदू नाम रखकर अपने होटल, दुकान, रेस्तरां चला रहे हैं। ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए सरकार ने सभी दुकानों, होटलों और रेस्तरां पर दुकान मालिक का नाम, पता, लाइसेंस नंबर लिखना अनिवार्य कर दिया। सरकार के इस निर्णय से भी बहुसंख्यक समाज को संदेश दिया गया है। 3- खाने-पीने में थूकने को रोकने पर कानून: बीते दिनों यूपी में एक समुदाय विशेष के दुकानदार की ओर से जूस में पेशाब मिलाकर ग्राहकों को देने, ढाबे में खाने में थूकने जैसी घटनाएं सामने आईं। सरकार ने बिना मौका चूके इन मुद्दों के जरिए भी हिंदुत्व के एजेंडे को आगे बढ़ाने की राह निकाली। सरकार जल्द ही उत्तर प्रदेश छद्म सौहार्द विरोधी क्रियाकलाप निवारण एवं थूकना प्रतिषेध अध्यादेश 2024 और यूपी प्रिवेंशन ऑफ कन्टेमिनेशन इन फूड (कन्यूजमर राइट टू नो) अध्यादेश 2024 को मंजूर करने जा रही है। जानकार मानते हैं कि अध्यादेश पर सीएम योगी की चर्चा मात्र से ही माहौल बना है। हिंदुत्व का नया उद्घोष बन गया योगी का नारा
वरिष्ठ पत्रकार और पॉलिटिकल एक्सपर्ट वीरेंद्रनाथ भट्‌ट कहते हैं- योगी का बटेंगे तो कटेंगे, एक रहेंगे तो नेक रहेंगे केवल भाषण नहीं है। यह भाजपा और आरएसएस के लिए हिंदुत्व का नया उद्घोष है। भाजपा हिंदू वोटों की गोलबंदी में बहुत सक्रियता से काम कर रही है। इस नई लाइन पर वरिष्ठ पत्रकार आनंद राय कहते हैं- लोकसभा चुनाव में सपा के पीडीए ने भाजपा के पिछड़े और दलित वोट बैंक में सेंध लगाई। भाजपा ने हिंदू वोटों के बिखराव को रोकने के लिए एक बार फिर हिंदुत्व के ध्रुवीकरण पर फोकस कर रही है। बहराइच और बरेली की घटना, यति नरसिंहानंद के बयान से ध्रुवीकरण होता है। इसका यूपी के 9 सीटों के उपचुनाव पर असर रहेगा। यह खबर भी पढ़ें बहराइच में दूसरे धर्म का झंडा उतारना सही मानते हैं?, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने दिया जवाब निश्चित रूप से… संगठन ही सरकार बनाता है। हमारी सरकार तो अब आई है। यह बात भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी ने दैनिक भास्कर से कही। उनसे सवाल किया गया था कि क्या वे केशव प्रसाद मौर्य के बयान से सहमत हैं? लोकसभा चुनाव हारने के बाद क्या भाजपा हिंदू-मुस्लिम एजेंड पर लौट आई है? क्या सांप्रदायिकता फैलाई जा रही है? उप चुनाव में भाजपा कितनी सीटें जीतेगी? योगी सरकार के कामकाज से कितने संतुष्ट हैं? ऐसे ही तमाम सवालों के जवाब भूपेंद्र चौधरी ने दिए। पढ़िए पूरा इंटरव्यू… राम मंदिर और जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 खत्म होने के बाद अब भाजपा ‘बटेंगे तो कटेंगे’ और ‘एक रहेंगे तो नेक रहेंगे’ के नारे के साथ ही हिंदुत्व के एजेंडे को आगे बढ़ाएगी। यूपी में विधानसभा की 9 सीटों पर होने वाले उपचुनाव, महाराष्ट्र, झारखंड चुनाव से लेकर आगे तक राष्ट्रवाद के चुनावी मुद्दे इसी लाइन के इर्द-गिर्द रहेंगे। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 26 अगस्त को जन्माष्टमी के अवसर पर आगरा में आयोजित कार्यक्रम में कहा कि राष्ट्र से बढ़कर कुछ नहीं हो सकता। राष्ट्र तब सशक्त रहेगा, जब तक हम एक रहेंगे और नेक रहेंगे। बटेंगे तो कटेंगे। आप बांग्लादेश में देख रहे हैं न, वो गलतियां नहीं होनी चाहिए। योगी की इन लाइनों ने भविष्य में भाजपा के लिए सांस्कृतिक राष्ट्रवाद और हिंदुत्व के एजेंडे की दिशा तय कर दी। मोदी ने कहा- बटेंगे तो बांटने वाले महफिल सजाएंगे
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 5 अक्टूबर को महाराष्ट्र के ठाणे में एक सभा को संबोधित करते हुए कहा- हमें याद रखना है कि हम बटेंगे तो हमें बांटने वाले महफिल सजाएंगे। हमें कांग्रेस और अघाड़ी वालों के मंसूबों को कामयाब नहीं होने देना है। भागवत ने भी कहा- एकजुट रहेंगे तो मजबूत रहेंगे
विजयदशमी के मौके पर नागपुर में शस्त्र पूजन कार्यक्रम हुआ। इसमें आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने भी योगी की लाइन पर मुहर लगाकर स्पष्ट संदेश दे दिया कि भविष्य की राजनीति इसी लाइन पर होगी। भागवत ने कहा- एकजुट रहेंगे तो मजबूत रहेंगे। दुर्बल रहना अपराध है। हम अगर दुर्बल हैं, असंगठित हैं तो उसका मतलब है कि हम अत्याचार को निमंत्रण दे रहे हैं। इसलिए जहां कहीं भी हम हैं, वहां संगठित रहना सशक्त रहना है। उन्होंने कहा कि समाज को तैयार रहना चाहिए और सावधान रहना चाहिए। गुंडागर्दी किसी की नहीं चलने देनी है। अपनी और अपनों के प्राण की रक्षा का करना मूलभूत अधिकार है। बांग्लादेश में पहली बार वहां का हिंदू बचाव में रास्ते पर आया, इसलिए बचाव हो गया। जानकार मानते हैं, भले ही यह बात बांग्लादेश में हिंदुओं की दशा को लेकर कही गई है। लेकिन, इसके जरिए यूपी ही नहीं, पूरे देश में हिंदू वोट बैंक को भाजपा के पक्ष में लामबंद करने की तैयारी है। इसलिए पकड़ी नई लाइन
राजनीतिक विश्लेषक मानते हैं, भाजपा ने अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि पर भव्य राम मंदिर आंदोलन में जय श्रीराम के नारे से हिंदुत्व की राजनीति शुरू की। आरएसएस और भाजपा के हिंदुत्व के एजेंडे में अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि पर भव्य राम मंदिर का निर्माण, जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 की समाप्ति और समान नागरिक संहिता मुख्य रहे। अयोध्या में श्रीराम मंदिर का निर्माण हो गया। जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 और 35ए भी हट गया। उत्तराखंड सहित कुछ राज्य समान नागरिक संहिता लागू करने की कवायद भी शुरू कर चुके हैं। ऐसे में हिंदुत्व के मुद्दे को लगातार धार देने और हिंदू वोट बैंक को साधे रखने के लिए आरएसएस और भाजपा ने यह लाइन चुनी है। सपा के पीडीए के खिलाफ भी मजबूत हथियार
राजनीतिक विश्लेषक मानते हैं, समाजवादी पार्टी के पिछड़ा, दलित और अल्पसंख्यक (पीडीए) के मुद्दे के खिलाफ भी ‘कटेंगे तो बटेंगे’ और ‘एक रहेंगे तो नेक रहेंगे’ जैसे नारे कारगर साबित हो सकते है। हिंदुत्व और राष्ट्रवाद के मुद्दे के बल पर ही संविधान और आरक्षण जैसे मुद्दों को दबाया जा सकता है। आरएसएस और भाजपा ने पिछड़े और दलित वर्ग की नब्ज पकड़ी है कि वह हिंदुत्व के मुद्दे पर किसी से समझौता करने को तैयार नहीं है। लंबे मंथन के बाद तय हुई लाइन
जानकार मानते हैं, आरएसएस और भाजपा ने राजनीति की नई लाइन की दिशा यूं ही तय नहीं की। इससे पहले लखनऊ से दिल्ली और नागपुर तक मंथन हुआ। उसके बाद तय हुआ कि देश में हिंदुत्व के फायर ब्रांड नेता, भगवा वस्त्रधारी योगी आदित्यनाथ से ही इसकी शुरुआत कराई जाए। उसके लिए दिन भी जन्माष्टमी का चुना गया। ये तीन घटनाएं और एक्शन से हिंदुत्व को धार दी 1- बहराइच की घटना से भी संदेश देने की तैयारी: भगवा टोली ने बहराइच में मूर्ति विसर्जन के दौरान दुर्गा देवी की मूर्तियों पर पथराव और उसके बाद राम गोपाल मिश्रा की गोली मारकर हत्या जैसी घटनाओं से भी संदेश देने की तैयारी की है। सरकार ने मामले में त्वरित कार्रवाई कर आरोपियों को गिरफ्तार किया। दो आरोपियों का हाफ एनकाउंटर हुआ। सीएम योगी ने पीड़ित परिवार के लोगों से मुलाकात उन्हें हरसंभव मदद का आश्वासन भी दिया। 2- दुकानों पर नाम लिखना भी अनिवार्य किया: यूपी में ऐसे कई मामले सामने आए जब दूसरे समुदाय के लोग हिंदू नाम रखकर अपने होटल, दुकान, रेस्तरां चला रहे हैं। ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए सरकार ने सभी दुकानों, होटलों और रेस्तरां पर दुकान मालिक का नाम, पता, लाइसेंस नंबर लिखना अनिवार्य कर दिया। सरकार के इस निर्णय से भी बहुसंख्यक समाज को संदेश दिया गया है। 3- खाने-पीने में थूकने को रोकने पर कानून: बीते दिनों यूपी में एक समुदाय विशेष के दुकानदार की ओर से जूस में पेशाब मिलाकर ग्राहकों को देने, ढाबे में खाने में थूकने जैसी घटनाएं सामने आईं। सरकार ने बिना मौका चूके इन मुद्दों के जरिए भी हिंदुत्व के एजेंडे को आगे बढ़ाने की राह निकाली। सरकार जल्द ही उत्तर प्रदेश छद्म सौहार्द विरोधी क्रियाकलाप निवारण एवं थूकना प्रतिषेध अध्यादेश 2024 और यूपी प्रिवेंशन ऑफ कन्टेमिनेशन इन फूड (कन्यूजमर राइट टू नो) अध्यादेश 2024 को मंजूर करने जा रही है। जानकार मानते हैं कि अध्यादेश पर सीएम योगी की चर्चा मात्र से ही माहौल बना है। हिंदुत्व का नया उद्घोष बन गया योगी का नारा
वरिष्ठ पत्रकार और पॉलिटिकल एक्सपर्ट वीरेंद्रनाथ भट्‌ट कहते हैं- योगी का बटेंगे तो कटेंगे, एक रहेंगे तो नेक रहेंगे केवल भाषण नहीं है। यह भाजपा और आरएसएस के लिए हिंदुत्व का नया उद्घोष है। भाजपा हिंदू वोटों की गोलबंदी में बहुत सक्रियता से काम कर रही है। इस नई लाइन पर वरिष्ठ पत्रकार आनंद राय कहते हैं- लोकसभा चुनाव में सपा के पीडीए ने भाजपा के पिछड़े और दलित वोट बैंक में सेंध लगाई। भाजपा ने हिंदू वोटों के बिखराव को रोकने के लिए एक बार फिर हिंदुत्व के ध्रुवीकरण पर फोकस कर रही है। बहराइच और बरेली की घटना, यति नरसिंहानंद के बयान से ध्रुवीकरण होता है। इसका यूपी के 9 सीटों के उपचुनाव पर असर रहेगा। यह खबर भी पढ़ें बहराइच में दूसरे धर्म का झंडा उतारना सही मानते हैं?, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने दिया जवाब निश्चित रूप से… संगठन ही सरकार बनाता है। हमारी सरकार तो अब आई है। यह बात भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी ने दैनिक भास्कर से कही। उनसे सवाल किया गया था कि क्या वे केशव प्रसाद मौर्य के बयान से सहमत हैं? लोकसभा चुनाव हारने के बाद क्या भाजपा हिंदू-मुस्लिम एजेंड पर लौट आई है? क्या सांप्रदायिकता फैलाई जा रही है? उप चुनाव में भाजपा कितनी सीटें जीतेगी? योगी सरकार के कामकाज से कितने संतुष्ट हैं? ऐसे ही तमाम सवालों के जवाब भूपेंद्र चौधरी ने दिए। पढ़िए पूरा इंटरव्यू…   उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर