<p style=”text-align: justify;”><strong>Bihar Bridge Collapse:</strong> ग्रामीण कार्य विभाग मंत्री अशोक चौधरी ने बुधवार को बिहार पुल प्रकरण को लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस की. इस मामले की जांच निगरानी करेगी. इसकी उन्होंने जानकारी दी. वहीं, इस दौरान उन्होंने नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि नेता प्रतिपक्ष को पुल और पुलिया में अंतर नजर नहीं आता है. वह सब को पुल ही कहते हैं. </p>
<p style=”text-align: justify;”>आगे उन्होंने कहा कि हमारी टेक्निकल टीम ने पुल प्रकरण पर जो रिपोर्ट दी थी उससे हम संतुष्ट नहीं थे इसलिए है हम यह मैसेज देना चाहते हैं कि हम काम करना जानते हैं और काम करने के लिए हमने निर्णय लिया कि इसकी जांच निगरानी करेगी ताकि पुल या सड़क निर्माण करने वाले ठेकेदार या इंजीनियर इस बात को समझ सकें कि सरकार अनियमितता किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं करेगी. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>पुल का बनेगा हेल्थ कार्ड- मंत्री</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>अशोक चौधरी ने तेजस्वी यादव के ऊपर कहा कि आप भी तो इस विभाग के डेढ़ साल तक मंत्री रहे हैं. आपने जांच क्यों नहीं करवाया? हमारे नेता नीतीश कुमार ने बैठक करके यह निर्णय लिया है कि बिहार में जितने भी चाहे किसी भी विभाग से बने हुए पुल हो उसका हेल्थ कार्ड बनवाएंगे. अशोक चौधरी ने कहा कि जिस तरह से पुल गिरने का मामला पूरे देश में प्रचारित हो रहा था. नेता प्रतिपक्ष ने पूरे देश में जिस तरह से इस बात को उठाया उससे लग रहा था कि हम लोग बालू पर पुल बना रहे हैं. हमारे नेता नीतीश कुमार ने अपने कार्यकाल में हम ढाई सौ से अधिक पुल बनवाए हैं. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’जांच करेगी निगरानी’ </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>मंत्री ने आगे कहा कि कुछ अच्छे काम करने के लिए ग्रामीण विकास विभाग में निर्णय लिया है. जिसमें सबसे महत्वपूर्ण है कि बिहार में कई पुल ध्वस्त हुए उसकी जांच में आई कि कुछ अनियमितता हुई है. इसमें कई इंजीनियर एवं संवेदक पर कार्रवाई की गई है. कई इंजीनियर को निलंबित भी किया गया है, लेकिन उससे हम संतुष्ट नहीं थे इसलिए यह पहला मौका है कि पुल ध्वस्त मामले में निगरानी से इसकी जांच हमारा विभाग करवा रहा है. हम पूरी निष्पक्षता के साथ क्वालिटी को मेंटेन करना चाहते हैं इसलिए इसकी जांच निगरानी को दी गई है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>ये भी पढ़ें: <a href=”https://www.abplive.com/states/bihar/nitish-administration-ultimatum-to-institutions-including-khan-sir-coaching-of-patna-after-old-rajendra-nagar-accident-ann-2750363″>Old Rajendra Nagar Accident: पटना के कोचिंग संस्थानों को लेकर DM के तेवर सख्त, गिनाई खामियां, दिया अल्टीमेटम</a></strong></p> <p style=”text-align: justify;”><strong>Bihar Bridge Collapse:</strong> ग्रामीण कार्य विभाग मंत्री अशोक चौधरी ने बुधवार को बिहार पुल प्रकरण को लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस की. इस मामले की जांच निगरानी करेगी. इसकी उन्होंने जानकारी दी. वहीं, इस दौरान उन्होंने नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि नेता प्रतिपक्ष को पुल और पुलिया में अंतर नजर नहीं आता है. वह सब को पुल ही कहते हैं. </p>
<p style=”text-align: justify;”>आगे उन्होंने कहा कि हमारी टेक्निकल टीम ने पुल प्रकरण पर जो रिपोर्ट दी थी उससे हम संतुष्ट नहीं थे इसलिए है हम यह मैसेज देना चाहते हैं कि हम काम करना जानते हैं और काम करने के लिए हमने निर्णय लिया कि इसकी जांच निगरानी करेगी ताकि पुल या सड़क निर्माण करने वाले ठेकेदार या इंजीनियर इस बात को समझ सकें कि सरकार अनियमितता किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं करेगी. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>पुल का बनेगा हेल्थ कार्ड- मंत्री</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>अशोक चौधरी ने तेजस्वी यादव के ऊपर कहा कि आप भी तो इस विभाग के डेढ़ साल तक मंत्री रहे हैं. आपने जांच क्यों नहीं करवाया? हमारे नेता नीतीश कुमार ने बैठक करके यह निर्णय लिया है कि बिहार में जितने भी चाहे किसी भी विभाग से बने हुए पुल हो उसका हेल्थ कार्ड बनवाएंगे. अशोक चौधरी ने कहा कि जिस तरह से पुल गिरने का मामला पूरे देश में प्रचारित हो रहा था. नेता प्रतिपक्ष ने पूरे देश में जिस तरह से इस बात को उठाया उससे लग रहा था कि हम लोग बालू पर पुल बना रहे हैं. हमारे नेता नीतीश कुमार ने अपने कार्यकाल में हम ढाई सौ से अधिक पुल बनवाए हैं. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>’जांच करेगी निगरानी’ </strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>मंत्री ने आगे कहा कि कुछ अच्छे काम करने के लिए ग्रामीण विकास विभाग में निर्णय लिया है. जिसमें सबसे महत्वपूर्ण है कि बिहार में कई पुल ध्वस्त हुए उसकी जांच में आई कि कुछ अनियमितता हुई है. इसमें कई इंजीनियर एवं संवेदक पर कार्रवाई की गई है. कई इंजीनियर को निलंबित भी किया गया है, लेकिन उससे हम संतुष्ट नहीं थे इसलिए यह पहला मौका है कि पुल ध्वस्त मामले में निगरानी से इसकी जांच हमारा विभाग करवा रहा है. हम पूरी निष्पक्षता के साथ क्वालिटी को मेंटेन करना चाहते हैं इसलिए इसकी जांच निगरानी को दी गई है.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>ये भी पढ़ें: <a href=”https://www.abplive.com/states/bihar/nitish-administration-ultimatum-to-institutions-including-khan-sir-coaching-of-patna-after-old-rajendra-nagar-accident-ann-2750363″>Old Rajendra Nagar Accident: पटना के कोचिंग संस्थानों को लेकर DM के तेवर सख्त, गिनाई खामियां, दिया अल्टीमेटम</a></strong></p> बिहार Old Rajendra Nagar Accident: पटना के कोचिंग संस्थानों को लेकर DM के तेवर सख्त, गिनाई खामियां, दिया अल्टीमेटम