अकाल तख्त से सुनाई गई सजा के बाद गले में तख्ती लटकाकर पहुंचे सुखबीर बादल, करने होंगे ये सब काम अकाल तख्त से सुनाई गई सजा के बाद गले में तख्ती लटकाकर पहुंचे सुखबीर बादल, करने होंगे ये सब काम पंजाब मध्य प्रदेश के नए DGP कैलाश मकवाना ने की CM मोहन यादव से मुलाकात, सिंहस्थ 2028 को लेकर क्या कहा?
Related Posts
भिवानी में चप्पलों की बद्दी के गोदाम में लगाई आग:3 लाख का माल और बाइक जली; सीसीटीवी में दिखा संदिग्ध व्यक्ति
भिवानी में चप्पलों की बद्दी के गोदाम में लगाई आग:3 लाख का माल और बाइक जली; सीसीटीवी में दिखा संदिग्ध व्यक्ति हरियाणा के भिवानी में रविवार आधी रात को एक व्यक्ति ने चप्पलों की बाधियों (बद्दी) के गोदाम में आग लगा दी। आग के कारण वहां रखा लाखों रुपए का माल जलकर नष्ट हो गया। आस पड़ोस के लोगों ने मुश्किल से आग पर काबू पाया। इस दौरान आग लगाने वाला संदिग्ध वहां लगे सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गया। शहर थाना पुलिस द्वारा मामले की जांच शुरू कर दी गई है। भिवानी के बिचला बाजार नाई कलालों की गली निवासी प्रदीप कुमार ने बताया कि वह चप्पलों की बद्दी का कारोबार करता है। उसने करीब 3 लाख रुपए का माल लाकर वहां गली में बनाए गोदाम में रखा हुआ था। रविवार आधी रात को एक व्यक्ति ने गोदाम में रखे माल को आग लगा दी और फरार हो गया। पड़ोसियों ने देखी आग की लपटें रात को पड़ोस के लोगों ने आग की लपटे उठते हुए देखी। शोर मचा तो लोग जमा हो गए। स्थानीय लोगों ने कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। गोदाम मालिक प्रदीप ने घटना की सूचना रात को ही डायल 112 पर दी। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर घटना की छानबीन शुरू की। सीसीटीवी कैमरे में कैद हुआ आरोपी प्रदीप ने बताया कि पुलिस ने गली में लगे सीसीटीवी कैमरे खंगाले तो एक व्यक्ति स्ट्रीट लाइट बंद करते हुए नजर आ रहा है। इसके बाद वह आरोपी गोदाम में झांकते दिखाई दे रहा है। प्रदीप ने बताया कि उसे पूरा संदेह है कि उसी व्यक्ति ने गोदाम में आग लगाई है। तीन लाख का माल व बाइक जलकर हुई नष्ट गोदाम में आग लगने से वहां रखा करीब 3 लाख रुपए का माल व एक बाइक जलकर नष्ट हो गई। उसने वारदात की सूचना थाना सिटी पुलिस को दी। पुलिस ने मौके का मुआयना किया। पुलिस छानबीन कर रही है। सीसीटीवी में दिखे संदिग्ध का पता लगाया जा रहा है।
जींद में मिला गला-सड़ा शव:एक हाथ गायब, नहीं हुई पहचान; हांसी ब्रांच नहर में तैरते हुए राहगीरों को दिखा
जींद में मिला गला-सड़ा शव:एक हाथ गायब, नहीं हुई पहचान; हांसी ब्रांच नहर में तैरते हुए राहगीरों को दिखा जींद में हांसी ब्रांच नहर में मंगलवार सुबह गला सड़ा शव तैरते हुए मिला है। उसका बायां हाथ नहीं है, छाती पर भी कुछ निशान मिल हैं। फिलहाल शव की पहचान नहीं हुई है।। मामला सफीदों का है। सुबह किसी राहगीर को नहर में उल्टी लेटी हुई लाश बहती हुई दिखाई दी। उसने इसकी जानकारी आसपास के लोगों का दी। सूचना पाकर सिटी थाना पुलिस मौके पर पहुंची।
ही थी। काले कपड़े में लपटा था शव इसके बाद एक युवक ने नहर में कूदकर रस्से की मदद से लाश को बाहर निकाला। शव बुरी तरह से गला सड़ा हुआ था। उसका बायां हाथ नहीं था और छाती पर कुछ निशान थे। शव के ऊपर काला कपड़ा लिपटा हुआ था। प्रारंभिक तौर पर देखने में शव काफी पुराना लग रहा था। मामले की जांच कर रही पुलिस सब इंस्पेक्टर सुरेश कुमार ने बताया कि पुलिस ने शव को अपने कब्जे में लेकर नागरिक अस्पताल में शिनाख्त के लिए रखवाया। पुलिस मामले की जांच कर र
ट्रेनों की मेंटेनेंस में तैनात कर्मियों को कांट्रेक्टर के साथ सफाई की देखरेख के लिए ड्यूटी लगाने का मामला
ट्रेनों की मेंटेनेंस में तैनात कर्मियों को कांट्रेक्टर के साथ सफाई की देखरेख के लिए ड्यूटी लगाने का मामला भास्कर न्यूज | अमृतसर ट्रेनों की मेंटेनेंस के लिए तैनात कर्मियों को कांट्रेक्टर के साथ सफाई की देखरेख के लिए ड्यूटी लगाने को लेकर अफसरों की मनमानी का मामला दिल्ली तक पहुंचने के बाद अफसर हरकत में आ गए हैं। डीआरएम के बाद अब प्रिंसिपल चीफ मैकेनिकल इंजीनियर दिल्ली से अमृतसर स्टेशन के वाशिंग लाइन का दौरा करने आज पहुंच रहे हैं। इस दौरान रेल कर्मियों से बातचीत कर उनकी समस्या सुनेंगे और मौके पर ही निपटारा कराएंगे। दरअसल, कैरिज एंड वैगन में ट्रेनों की मेंटेनेंस से जुड़े कर्मियों को ट्रेनों में सफाई का काम देखने के लिए मजबूर कर 3 से 4 दिनों के लिए उच्च अफसर ड्यूटी लगा दे रहे थे। वहीं जब मेंटिनेंस का काम रुकने लगा तो कर्मियों को चार्जशीट दे दिया गया। यह सिलसिला करीब एक महीने से चल रहा था, इसमें करीब 13 कर्मियों को चार्जशीट किया गया है। इसके बाद ऑल इंडिया रेलवे इंप्लाई एससी/एसटी यूनियन का गुस्सा फूट पड़ा और रेलवे अफसरों के विरोध में वाशिंग लाइन की ट्रैक पर उतर आए। ट्रेनों की मेंटेनेंस सेंसिटिव मामला होने के कारण रेलवे के उच्च अफसरों ने गंभीरता से लिया है। सवाल उठने लगे हैं कि जब अफसर ने ही कर्मियों की ड्यूटी ट्रेनों में सफाई व्यवस्था की देख-रेख के लिए लगाई थी तो चार्जशीट कैसे किया जा सकता है। वहीं मामला जब बढ़ा तो हायर लेवल तक पहुंच गया। सवाल उठाए गए कि वाशिंग लाइन में सफाई का काम प्राइवेट कंपनी को दिया गया है। ऐसे में जिस प्राइवेट कर्मी को इस काम के लिए इंचार्ज लगाया गया उसे नोटिस क्यों नहीं जारी किया गया। प्राइवेट तौर पर काम कर रहे मुलाजिमों से सवाल-जवाब क्यों नहीं किया जा रहा है। वहीं यूनियन की ओर से पिछले दिनों इस मामले में की गई हड़ताल से अब सभी रेलवे के अफसर हरकत में आ गए है। वहीं मामले में दखलअंदाजी देने के लिए अमृतसर स्टेशन में पहुंच रहे है। ताकि पता चल सके कि आखिर यह काम कब से चल रहा था। बता दें कि सोमवार को भी वांशिंग लाइन अफसर पहुंचे थे, जिन्होंने यूनियन के साथ बातचीत कर उनकी सभी शर्तें मान ली थी। वहीं अब आज के दौरे को लेकर अफसर अपने बचाव में जुट गए है। एडवोकेट पीसी शर्मा ने कहा कि कैरिज एंड वैगन में तैनात रेल कर्मचारी ट्रेनों की मेंटिनेंस का काम कर रहे उनकी ड्यूटी प्राइवेट कांट्रेक्टर के सफाई का काम देखने के लिए ड्यूटी लगा दिया जाना सही नहीं है। यह कर्मचारी ट्रेनों के अलग-अलग पार्ट्स को चेक करते हैं। थोड़ी भी लापरवाही या चूक हुई तो इसके गंभीर परिणाम हो सकते हैं। जिस भी अफसर ने कर्मियों की ड्यूटी सफाई चेक करने के लिए कांट्रेक्टर के साथ लगाया फिर उनको बाद में चार्जशीट कर दिया गया उसके खिलाफ अफसरों को जांच बिठानी चाहिए। जो कर्मचारी या एसएसई ठेकेदार के द्वारा किए काम को ठीक तरह से चेक करने के बजाय जेब का ख्याल रखते है, उन पर कार्यवाही होनी चाहिए। सूत्रों की मानें तो ट्रेनों की मेंटिनेंस के लिए जिन कर्मियों की ड्यूटी लगाई गई है, उनको सफाई का काम देखरेख में लगाया ही क्यों गया। क्या अफसरों को यह नहीं पता कि ट्रेनों के मेंटिनेंस से जुड़ा मामला सेंसिटिव होता है। बता दें कि यह कर्मचारी ट्रेनों के पहिए चेंज करने, ब्रेक व अन्य मैकेनिज्म पार्ट्स को चेक करते हैं। कहीं कोई गड़बड़ी सामने आई तो उसे तत्काल दूर कराया जाता है। इसमें किसी भी तरह की चूक नहीं होनी चाहिए।