अमृतसर में राज्यपाल की पदयात्रा समाप्त:गोल्डन टेंपल पहुंचकर टेका माथा, बोले- गुरु घर के दर्शन से मन शांति से भर गया

अमृतसर में राज्यपाल की पदयात्रा समाप्त:गोल्डन टेंपल पहुंचकर टेका माथा, बोले- गुरु घर के दर्शन से मन शांति से भर गया

पंजाब के राज्यपाल गुलाब चंद कटारिया की नशे के खिलाफ युद्ध अभियान के तहत पदयात्रा छठें दिन जालियां वाला बाग में संपन्न हुई। इस अवसर पर केंद्रीय राज्यमंत्री रवनीत बिट्टू और बीजेपी प्रदेश प्रधान सुनील जाखड़ उपस्थित थे।पदयात्रा भंडारी ब्रिज से प्रारंभ हुई। इससे पहले राज्यपाल ने सुबह स्वर्ण मंदिर में माथा टेका। उन्होंने कहा कि गुरु घर के दर्शन से उनका मन शांति से भर गया। कहा कि आज गुरु घर में भगवान का आशीर्वाद लेने के लिए, नशे के खिलाफ इस जंग के लिए गुरु नानक देव जी का आशीर्वाद लेना जरूरी है। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालयों और कॉलेजों को विश्व स्तरीय खेल मैदान तैयार करने चाहिए ताकि बच्चों को खेलों के प्रति प्रोत्साहित किया जा सके। इसके अलावा माता-पिता का यह कर्तव्य है कि वे अपने बच्चों को खेती-बाड़ी व व्यवसाय में शामिल कराएं तथा उनमें कड़ी मेहनत की आदत डालें, क्योंकि खाली दिमाग शैतान का घर होता है। राज्यपाल ने जालियांवाला बाग में शहीदों को श्रद्धांजलि दी। उन्होंने नशीली दवाओं के उन्मूलन के लिए जनसहयोग की अपील की। उन्होंने कहा कि पंजाब गुरुओं, संतों, योद्धाओं और देशभक्तों की भूमि है। कटारिया ने कहा कि देश के हर संकट में पंजाब के लोगों ने साथ दिया है। चाहे सीमा की रक्षा हो या अन्न की आपूर्ति, पंजाब हमेशा आगे रहा है। स्वतंत्रता आंदोलन में भी पंजाबियों का सर्वाधिक योगदान रहा। सरकार अकेले सफल नहीं हो सकती : राज्यपाल राज्यपाल ने स्पष्ट किया कि नशा उन्मूलन में सरकार अकेले सफल नहीं हो सकती। उन्होंने लोगों से अपने बच्चों के साथ पड़ोसियों के बच्चों का भी ध्यान रखने का आग्रह किया। बच्चों को शिक्षा और खेल से जोड़ने की सलाह दी, ताकि वे मोबाइल की लत से बच सकें। उन्होंने कहा कि नशा केवल पंजाब की ही समस्या नहीं है, यह पूरे देश की समस्या है, लेकिन पंजाब में यह समस्या कुछ ज्यादा ही है। सीमावर्ती राज्य होने के कारण यहां नशीले पदार्थों की मौजूदगी अधिक है, इसलिए हमें इस ओर ध्यान देने की जरूरत है।इस अवसर पर उन्होंने सुरक्षा समितियों से मादक पदार्थों की तस्करी रोकने के लिए सुरक्षा एजेंसियों को पूर्ण सहयोग प्रदान करने का आह्वान किया। उन्होंने प्रशासन से सुरक्षा समितियों को मजबूत करने को भी कहा ताकि वे सभी प्रकार की कठिनाइयों का सामना कर सकें। पंजाब के राज्यपाल गुलाब चंद कटारिया की नशे के खिलाफ युद्ध अभियान के तहत पदयात्रा छठें दिन जालियां वाला बाग में संपन्न हुई। इस अवसर पर केंद्रीय राज्यमंत्री रवनीत बिट्टू और बीजेपी प्रदेश प्रधान सुनील जाखड़ उपस्थित थे।पदयात्रा भंडारी ब्रिज से प्रारंभ हुई। इससे पहले राज्यपाल ने सुबह स्वर्ण मंदिर में माथा टेका। उन्होंने कहा कि गुरु घर के दर्शन से उनका मन शांति से भर गया। कहा कि आज गुरु घर में भगवान का आशीर्वाद लेने के लिए, नशे के खिलाफ इस जंग के लिए गुरु नानक देव जी का आशीर्वाद लेना जरूरी है। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालयों और कॉलेजों को विश्व स्तरीय खेल मैदान तैयार करने चाहिए ताकि बच्चों को खेलों के प्रति प्रोत्साहित किया जा सके। इसके अलावा माता-पिता का यह कर्तव्य है कि वे अपने बच्चों को खेती-बाड़ी व व्यवसाय में शामिल कराएं तथा उनमें कड़ी मेहनत की आदत डालें, क्योंकि खाली दिमाग शैतान का घर होता है। राज्यपाल ने जालियांवाला बाग में शहीदों को श्रद्धांजलि दी। उन्होंने नशीली दवाओं के उन्मूलन के लिए जनसहयोग की अपील की। उन्होंने कहा कि पंजाब गुरुओं, संतों, योद्धाओं और देशभक्तों की भूमि है। कटारिया ने कहा कि देश के हर संकट में पंजाब के लोगों ने साथ दिया है। चाहे सीमा की रक्षा हो या अन्न की आपूर्ति, पंजाब हमेशा आगे रहा है। स्वतंत्रता आंदोलन में भी पंजाबियों का सर्वाधिक योगदान रहा। सरकार अकेले सफल नहीं हो सकती : राज्यपाल राज्यपाल ने स्पष्ट किया कि नशा उन्मूलन में सरकार अकेले सफल नहीं हो सकती। उन्होंने लोगों से अपने बच्चों के साथ पड़ोसियों के बच्चों का भी ध्यान रखने का आग्रह किया। बच्चों को शिक्षा और खेल से जोड़ने की सलाह दी, ताकि वे मोबाइल की लत से बच सकें। उन्होंने कहा कि नशा केवल पंजाब की ही समस्या नहीं है, यह पूरे देश की समस्या है, लेकिन पंजाब में यह समस्या कुछ ज्यादा ही है। सीमावर्ती राज्य होने के कारण यहां नशीले पदार्थों की मौजूदगी अधिक है, इसलिए हमें इस ओर ध्यान देने की जरूरत है।इस अवसर पर उन्होंने सुरक्षा समितियों से मादक पदार्थों की तस्करी रोकने के लिए सुरक्षा एजेंसियों को पूर्ण सहयोग प्रदान करने का आह्वान किया। उन्होंने प्रशासन से सुरक्षा समितियों को मजबूत करने को भी कहा ताकि वे सभी प्रकार की कठिनाइयों का सामना कर सकें।   पंजाब | दैनिक भास्कर