एक के भरोसे 20 ट्रांसफॉर्मर? कर्मचारियों की भारी कमी से जूझ रहा हिमाचल बिजली बोर्ड 

एक के भरोसे 20 ट्रांसफॉर्मर? कर्मचारियों की भारी कमी से जूझ रहा हिमाचल बिजली बोर्ड 

<p style=”text-align: justify;”><strong>Himachal Pradesh News:</strong> हिमाचल प्रदेश बिजली बोर्ड में कर्मचारियों की भारी कमी देखी जा रही है. हिमाचल प्रदेश राज्य विद्युत बोर्ड कर्मचारी यूनियन ने आरोप लगाया कि मिनिस्ट्रियल, टेक्निकल, ड्राइंग और पर्सनल कैडर के जेनरेशन के साथ अन्य पदों को खत्म किया जा रहा है. यूनियन इसे कर्मचारियों के खिलाफ एक मुहिम बता रही है. बिजली बोर्ड यूनियन ने इस मुहिम को दुर्भाग्यपूर्ण भी करार दिया है.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>एक कर्मचारी के हवाले 20 ट्रांसफार्मर</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>हिमाचल प्रदेश राज्य बिजली बोर्ड कर्मचारी यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष कामेश्वर दत्त शर्मा ने कहा कि बिजली बोर्ड स्टाफ की भारी कमी से जूझ रहा है. बोर्ड में हजारों पद खाली पड़े हुए हैं. इन पदों को भरने की जगह बोर्ड में ऑफिस और फील्ड स्टाफ को पूरी तरह प्रभावित किया जा रहा है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>उन्होंने कहा कि इससे कर्मचारियों के पदोन्नति के अवसर पर भी असर पड़ रहा है. कामेश्वर दत्त शर्मा ने कहा कि बिजली बोर्ड का कर्मचारी काम के बोझ तले दब रहा है. जहां पहले 10 कर्मचारी काम करते थे, वहां आज सिर्फ दो से तीन कर्मचारी रह गए हैं. हालात ऐसे हो चुके हैं कि एक कर्मचारी के हवाले 20 ट्रांसफार्मर हैं. ऐसे में कर्मचारी तनावपूर्ण माहौल में काम कर रहे हैं और दुर्घटना का भी शिकार हो रहे हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>डेढ़ साल से फाइल भी नहीं हो रही पास- कामेश्वर दत्त</strong>&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>कामेश्वर दत्त शर्मा ने कहा कि बिजली बोर्ड में कर्मचारियों की पदोन्नति की फाइल कई महीनों से मुख्यालय में लंबित हैं. कई कर्मचारी तो बिना पदोन्नति के ही सेवानिवृत हो रहे हैं. ऐसा करीब डेढ़ साल से हो रहा है. उन्होंने कहा कि अब युक्तिकरण के नाम पर पदोन्नति को रोक दिया गया है. इससे कर्मचारियों के मन में भारी आक्रोश है. कामेश्वर दत्त शर्मा ने कहा कि बिजली बोर्ड में आर्थिक स्थिति सुधारने के लिए यूनियन की ओर से बेहतर सुझाव दे सकती है. रिक्त पदों को या प्रमोशन पदों को समाप्त करने से बिजली बोर्ड की आर्थिक दशा नहीं सुधरेगी. उन्होंने कहा कि इसके लिए एक एक्सपर्ट कमेटी का गठन किया जाना चाहिए.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>पिछली कमेटी की सिफारिशों पर नहीं दिया ध्यान</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>कामेश्वर दत्त शर्मा ने कहा कि इस कमेटी में यूनियन के प्रतिनिधियों को भी शामिल करने की जरूरत है. बिजली बोर्ड साल 2016 में भी चीफ इंजीनियर सेंट्रल जोन की अध्यक्षता में स्टाफ स्ट्रैंथ करने को लेकर एक एक्सपर्ट कमेटी का गठन किया गया था. उस कमेटी ने करीब एक साल का अध्ययन करने के बाद अपनी रिपोर्ट बोर्ड प्रबंधन को सौंपी थी, लेकिन आज तक इस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई है. उन्होंने मांग उठाई कि जल्द से जल्द इन मांगों पर ध्यान दिया जाए.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>इसे भी पढ़ें: <a href=”https://www.abplive.com/states/himachal-pradesh/himachal-young-man-came-in-front-of-cm-sukhvinder-singh-sukhu-convoy-in-kangra-ann-2867066″>WATCH: CM सुक्खू के काफिले में अचानक घुस गया युवक, दौड़ पड़े सुरक्षाकर्मी, फिर क्या हुआ?</a></strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>&nbsp;</p> <p style=”text-align: justify;”><strong>Himachal Pradesh News:</strong> हिमाचल प्रदेश बिजली बोर्ड में कर्मचारियों की भारी कमी देखी जा रही है. हिमाचल प्रदेश राज्य विद्युत बोर्ड कर्मचारी यूनियन ने आरोप लगाया कि मिनिस्ट्रियल, टेक्निकल, ड्राइंग और पर्सनल कैडर के जेनरेशन के साथ अन्य पदों को खत्म किया जा रहा है. यूनियन इसे कर्मचारियों के खिलाफ एक मुहिम बता रही है. बिजली बोर्ड यूनियन ने इस मुहिम को दुर्भाग्यपूर्ण भी करार दिया है.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>एक कर्मचारी के हवाले 20 ट्रांसफार्मर</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>हिमाचल प्रदेश राज्य बिजली बोर्ड कर्मचारी यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष कामेश्वर दत्त शर्मा ने कहा कि बिजली बोर्ड स्टाफ की भारी कमी से जूझ रहा है. बोर्ड में हजारों पद खाली पड़े हुए हैं. इन पदों को भरने की जगह बोर्ड में ऑफिस और फील्ड स्टाफ को पूरी तरह प्रभावित किया जा रहा है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>उन्होंने कहा कि इससे कर्मचारियों के पदोन्नति के अवसर पर भी असर पड़ रहा है. कामेश्वर दत्त शर्मा ने कहा कि बिजली बोर्ड का कर्मचारी काम के बोझ तले दब रहा है. जहां पहले 10 कर्मचारी काम करते थे, वहां आज सिर्फ दो से तीन कर्मचारी रह गए हैं. हालात ऐसे हो चुके हैं कि एक कर्मचारी के हवाले 20 ट्रांसफार्मर हैं. ऐसे में कर्मचारी तनावपूर्ण माहौल में काम कर रहे हैं और दुर्घटना का भी शिकार हो रहे हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>डेढ़ साल से फाइल भी नहीं हो रही पास- कामेश्वर दत्त</strong>&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”>कामेश्वर दत्त शर्मा ने कहा कि बिजली बोर्ड में कर्मचारियों की पदोन्नति की फाइल कई महीनों से मुख्यालय में लंबित हैं. कई कर्मचारी तो बिना पदोन्नति के ही सेवानिवृत हो रहे हैं. ऐसा करीब डेढ़ साल से हो रहा है. उन्होंने कहा कि अब युक्तिकरण के नाम पर पदोन्नति को रोक दिया गया है. इससे कर्मचारियों के मन में भारी आक्रोश है. कामेश्वर दत्त शर्मा ने कहा कि बिजली बोर्ड में आर्थिक स्थिति सुधारने के लिए यूनियन की ओर से बेहतर सुझाव दे सकती है. रिक्त पदों को या प्रमोशन पदों को समाप्त करने से बिजली बोर्ड की आर्थिक दशा नहीं सुधरेगी. उन्होंने कहा कि इसके लिए एक एक्सपर्ट कमेटी का गठन किया जाना चाहिए.&nbsp;</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>पिछली कमेटी की सिफारिशों पर नहीं दिया ध्यान</strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>कामेश्वर दत्त शर्मा ने कहा कि इस कमेटी में यूनियन के प्रतिनिधियों को भी शामिल करने की जरूरत है. बिजली बोर्ड साल 2016 में भी चीफ इंजीनियर सेंट्रल जोन की अध्यक्षता में स्टाफ स्ट्रैंथ करने को लेकर एक एक्सपर्ट कमेटी का गठन किया गया था. उस कमेटी ने करीब एक साल का अध्ययन करने के बाद अपनी रिपोर्ट बोर्ड प्रबंधन को सौंपी थी, लेकिन आज तक इस पर कोई कार्रवाई नहीं हुई है. उन्होंने मांग उठाई कि जल्द से जल्द इन मांगों पर ध्यान दिया जाए.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>इसे भी पढ़ें: <a href=”https://www.abplive.com/states/himachal-pradesh/himachal-young-man-came-in-front-of-cm-sukhvinder-singh-sukhu-convoy-in-kangra-ann-2867066″>WATCH: CM सुक्खू के काफिले में अचानक घुस गया युवक, दौड़ पड़े सुरक्षाकर्मी, फिर क्या हुआ?</a></strong></p>
<p style=”text-align: justify;”>&nbsp;</p>  हिमाचल प्रदेश गुलमर्ग और सोनमर्ग में ताजा बर्फबारी, घाटी में ठंड से राहत, 22 जनवरी को बारिश का अनुमान