कानपुर में हेड कांस्टेबल की हत्या:SI बेटा बोला-पिता का मर्डर हुआ, पहचान मिटाने के लिए तेजाब डाला गया, विभाग न्याय दिलाए

कानपुर में हेड कांस्टेबल की हत्या:SI बेटा बोला-पिता का मर्डर हुआ, पहचान मिटाने के लिए तेजाब डाला गया, विभाग न्याय दिलाए

कानपुर के भगवतदास घाट नाले में शुक्रवार को एक हेड कांस्टेबल का शव मिला था। सूचना पर फीलखाना थाने की पुलिस पहुंची। उसने शव को बाहर निकाला। इसके बाद शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। हेड कांस्टेबल का चेहरा, अंगुलियां और प्राइवेट पार्ट किसी केमिकल से जलाने की आशंका है। इस मामले में मृतक के बेटे की तहरीर पर पुलिस ने हत्या की एफआईआर दर्ज करके जांच शुरू कर दी है। केस में पुलिस की लीपापोती को देखते हुए मृतक के दरोगा बेटे ने अपने एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा कि मुझे पुलिस विभाग न्याय दिलाए। 13 अप्रैल को ड्यूटी करके सुबह घूमने के लिए गए थे
जितेंद्र वर्मा ट्रेनी दरोगा है। उन्होंने बताया, मेरे पिता खेमचंद्र जो वर्तमान में रिजर्व पुलिस लाइन कानपुर कमिश्नरेट में मुख्य आरक्षी के पद पर तैनात थे। दिनांक 13/14 अप्रैल की रात में 6 से 12 बजे की ड्यूटी करके सुबह घूमने के लिए गए थे। दिनांक 14 जून की सुबह करीब 5 बजे गुप्तार घाट थाना फीलखाना कमिश्नरेट में कुछ अज्ञात लोगों ने मेरे पिता की निर्मम हत्या कर दी, और चेहरे पर तेजाब डालकर साक्ष्य मिटाने की कोशिश की। मैं पुलिस विभाग से आशा करता हूं कि जल्द से जल्द दोषियों को पकड़कर सजा दिलाने का काम करेगी। तेजाब से चेहरा जलाया, प्राइवेट पार्ट और अंगुलियां गायब शुक्रवार को भगवतदास नाले में शव मिलने की सूचना पर फीलखाना थाने की पुलिस मौके पर जांच पड़ताल करने पहुंची थी। शव के पास एक खाकी वर्दी के साथ पहनी जाने वाली बेल्ट भी मिली थी। इससे पुलिस का संदेह बढ़ा। पुलिस ने शव को बाहर निकाला तब चेहरा, अंगुलियां और प्राइवेट पार्ट भी गायब था। ऐसा लग रहा था कि किसी केमिकल से जलाया गया है। लेकिन डीसीपी ईस्ट श्रवण कुमार सिंह ने बताया कि मोहल्ले के लोगों के मुताबिक शव को कुत्ते और सुअर नोच रहे थे। इसके चलते प्राइवेट पार्ट और चेहरा गायब होने का अंदेशा है। पोस्टमार्टम के लिए शव को भेजा गया है। पोस्टमार्टम के बाद ही साफ हो सकेगा कि हत्या या हादसा। डीसीपी ने यह भी बताया कि कानपुर पुलिस लाइन में तैनात हेड कांस्टेबल आर्म्ड फोर्स (एचसीएपी) की पहचान मूल रूप से ग्राम लारौनी लहचूरा झांसी निवासी खेम चंद्र (55) के रूप में हुई है। खेमचंद्र शराब का लती था। जहां पर उसका शव मिला है। रोजाना वहां पर ही शराब पीने जाता था। जांच के दौरान सामने आया कि शुक्रवार को भी वह सुबह 4:30 बजे पुलिस लाइन से सिविल ड्रेस में निकलते हुए हेड कांस्टेबल देखा गया था। भोर में भगवतदास नाले के पास शराब ठेके से शराब खरीदते हुए भी सीसीटीवी में कैद हुआ है। इसके बाद इलाके के लोगों ने खेमचंद्र का शव नाले में पड़ा देखा। दरोगा बेटे और दामाद ने खुद शुरू की जांच खेमचंद्र के मौत की जानकारी मिलते ही मेरठ में तैनात बेटा अंडर ट्रेनी दरोगा जितेंद्र वर्मा और दरोगा दामाद देर रात कानपुर पहुंचे। बेटे जितेंद्र की तहरीर पर फीलखाना थाने की पुलिस ने हत्या की एफआईआर दर्ज की है। कानपुर आने के बाद दरोगा दामाद और बेटे ने खुद अपने स्तर से पूरे मामले की जांच कर रहे हैं। आखिर उनके पिता खेमचंद्र के साथ क्या हुआ। फीलखाना पुलिस ने बेटे और दामाद को एक-एक तथ्य से अवगत भी कराया। इन 6 सवालों के जवाब नहीं दे सकी पुलिस सीसीटीवी फुटेज से पुलिस को मिला था सुराग जांच के दौरान भगवतदास ठेके का सीसीटीवी फुटेज पुलिस ने देखा तो खेमचंद्र सुबह 5:10 बजे पिंक कलर की शर्ट और ग्रे कलर की पैंट पहने ठेके की तरफ जाते दिख रहे हैं। वहां पर वह बंद शटर से पहले आवाज लगाते हैं और फिर थोड़ी देर खड़े हैं। फिर शटर के नीचे से हाथ डालते हैं और एक क्वाटर शराब लेकर उसे जेब में रख कर वहां से चले जाते हैं। उस वक्त समय 5:15 हो रहा है। इसके बाद सुबह लगभग 8:30 बजे पुलिस को इलाके के लोगों की तरफ से सूचना मिलती है। पुलिस मौके पर पहुंचती है और अज्ञात में शव का पंचायतनामा भरकर उसे मॉर्च्युरी में दाखिल करा देती है। होमगार्ड ने सबसे पहले खेमचन्द्र की पहचान की थी फुटेज को पुलिस के ग्रुप में भेज दिया जाता है। इसी दौरान पुलिस लाइन के पास तैनात एक होमगार्ड ने सबसे पहले खेमचन्द्र की शिनाख्त की। उसने पुलिस लाइन में तैनात अफसरों को इसकी जानकारी दी। पुलिस लाइन में लगे कैमरे देखे गए तो उसमें खेमचन्द्र सुबह लगभग 4 बजे पुलिस लाइन से निकलते हुए भी देखे गए। एसीपी कोतवाली अर्चना सिंह ने बताया कि खेमचन्द्र लोअर के ऊपर पैंट भी पहनते थे। जब पोस्टमार्टम में जांच पड़ताल की गई तो लोअर और पैंट भी मिला। इससे पुलिस कर्मियों को लगभग यकीन हो गया कि मृतक हेड कांस्टेबल ही है। देर शाम जब ट्रेनी दरोगा बेटा आया तब उसने आकर शव की शिनाख्त की और हत्या की तहरीर दी। कानपुर के भगवतदास घाट नाले में शुक्रवार को एक हेड कांस्टेबल का शव मिला था। सूचना पर फीलखाना थाने की पुलिस पहुंची। उसने शव को बाहर निकाला। इसके बाद शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। हेड कांस्टेबल का चेहरा, अंगुलियां और प्राइवेट पार्ट किसी केमिकल से जलाने की आशंका है। इस मामले में मृतक के बेटे की तहरीर पर पुलिस ने हत्या की एफआईआर दर्ज करके जांच शुरू कर दी है। केस में पुलिस की लीपापोती को देखते हुए मृतक के दरोगा बेटे ने अपने एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा कि मुझे पुलिस विभाग न्याय दिलाए। 13 अप्रैल को ड्यूटी करके सुबह घूमने के लिए गए थे
जितेंद्र वर्मा ट्रेनी दरोगा है। उन्होंने बताया, मेरे पिता खेमचंद्र जो वर्तमान में रिजर्व पुलिस लाइन कानपुर कमिश्नरेट में मुख्य आरक्षी के पद पर तैनात थे। दिनांक 13/14 अप्रैल की रात में 6 से 12 बजे की ड्यूटी करके सुबह घूमने के लिए गए थे। दिनांक 14 जून की सुबह करीब 5 बजे गुप्तार घाट थाना फीलखाना कमिश्नरेट में कुछ अज्ञात लोगों ने मेरे पिता की निर्मम हत्या कर दी, और चेहरे पर तेजाब डालकर साक्ष्य मिटाने की कोशिश की। मैं पुलिस विभाग से आशा करता हूं कि जल्द से जल्द दोषियों को पकड़कर सजा दिलाने का काम करेगी। तेजाब से चेहरा जलाया, प्राइवेट पार्ट और अंगुलियां गायब शुक्रवार को भगवतदास नाले में शव मिलने की सूचना पर फीलखाना थाने की पुलिस मौके पर जांच पड़ताल करने पहुंची थी। शव के पास एक खाकी वर्दी के साथ पहनी जाने वाली बेल्ट भी मिली थी। इससे पुलिस का संदेह बढ़ा। पुलिस ने शव को बाहर निकाला तब चेहरा, अंगुलियां और प्राइवेट पार्ट भी गायब था। ऐसा लग रहा था कि किसी केमिकल से जलाया गया है। लेकिन डीसीपी ईस्ट श्रवण कुमार सिंह ने बताया कि मोहल्ले के लोगों के मुताबिक शव को कुत्ते और सुअर नोच रहे थे। इसके चलते प्राइवेट पार्ट और चेहरा गायब होने का अंदेशा है। पोस्टमार्टम के लिए शव को भेजा गया है। पोस्टमार्टम के बाद ही साफ हो सकेगा कि हत्या या हादसा। डीसीपी ने यह भी बताया कि कानपुर पुलिस लाइन में तैनात हेड कांस्टेबल आर्म्ड फोर्स (एचसीएपी) की पहचान मूल रूप से ग्राम लारौनी लहचूरा झांसी निवासी खेम चंद्र (55) के रूप में हुई है। खेमचंद्र शराब का लती था। जहां पर उसका शव मिला है। रोजाना वहां पर ही शराब पीने जाता था। जांच के दौरान सामने आया कि शुक्रवार को भी वह सुबह 4:30 बजे पुलिस लाइन से सिविल ड्रेस में निकलते हुए हेड कांस्टेबल देखा गया था। भोर में भगवतदास नाले के पास शराब ठेके से शराब खरीदते हुए भी सीसीटीवी में कैद हुआ है। इसके बाद इलाके के लोगों ने खेमचंद्र का शव नाले में पड़ा देखा। दरोगा बेटे और दामाद ने खुद शुरू की जांच खेमचंद्र के मौत की जानकारी मिलते ही मेरठ में तैनात बेटा अंडर ट्रेनी दरोगा जितेंद्र वर्मा और दरोगा दामाद देर रात कानपुर पहुंचे। बेटे जितेंद्र की तहरीर पर फीलखाना थाने की पुलिस ने हत्या की एफआईआर दर्ज की है। कानपुर आने के बाद दरोगा दामाद और बेटे ने खुद अपने स्तर से पूरे मामले की जांच कर रहे हैं। आखिर उनके पिता खेमचंद्र के साथ क्या हुआ। फीलखाना पुलिस ने बेटे और दामाद को एक-एक तथ्य से अवगत भी कराया। इन 6 सवालों के जवाब नहीं दे सकी पुलिस सीसीटीवी फुटेज से पुलिस को मिला था सुराग जांच के दौरान भगवतदास ठेके का सीसीटीवी फुटेज पुलिस ने देखा तो खेमचंद्र सुबह 5:10 बजे पिंक कलर की शर्ट और ग्रे कलर की पैंट पहने ठेके की तरफ जाते दिख रहे हैं। वहां पर वह बंद शटर से पहले आवाज लगाते हैं और फिर थोड़ी देर खड़े हैं। फिर शटर के नीचे से हाथ डालते हैं और एक क्वाटर शराब लेकर उसे जेब में रख कर वहां से चले जाते हैं। उस वक्त समय 5:15 हो रहा है। इसके बाद सुबह लगभग 8:30 बजे पुलिस को इलाके के लोगों की तरफ से सूचना मिलती है। पुलिस मौके पर पहुंचती है और अज्ञात में शव का पंचायतनामा भरकर उसे मॉर्च्युरी में दाखिल करा देती है। होमगार्ड ने सबसे पहले खेमचन्द्र की पहचान की थी फुटेज को पुलिस के ग्रुप में भेज दिया जाता है। इसी दौरान पुलिस लाइन के पास तैनात एक होमगार्ड ने सबसे पहले खेमचन्द्र की शिनाख्त की। उसने पुलिस लाइन में तैनात अफसरों को इसकी जानकारी दी। पुलिस लाइन में लगे कैमरे देखे गए तो उसमें खेमचन्द्र सुबह लगभग 4 बजे पुलिस लाइन से निकलते हुए भी देखे गए। एसीपी कोतवाली अर्चना सिंह ने बताया कि खेमचन्द्र लोअर के ऊपर पैंट भी पहनते थे। जब पोस्टमार्टम में जांच पड़ताल की गई तो लोअर और पैंट भी मिला। इससे पुलिस कर्मियों को लगभग यकीन हो गया कि मृतक हेड कांस्टेबल ही है। देर शाम जब ट्रेनी दरोगा बेटा आया तब उसने आकर शव की शिनाख्त की और हत्या की तहरीर दी।   उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर