हरियाणा के कुरुक्षेत्र में गांव किरमिच पुल के पास नरवाना ब्रांच नहर से एक युवक का शव नग्न हालत में बरामद हुआ। गोताखोर प्रगट सिंह ने शव को नहर से निकाल कर पुलिस के हवाले कर दिया। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर शिनाख्त का प्रयास किया, मगर शिनाख्त नहीं हो सकी। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। 20 दिन पुराना लग रहा शव पुलिस की प्राथमिक जांच में युवक की उम्र 30-35 साल थी। शव करीब 20 दिन पुराना लग रहा है। उसके शरीर पर कहीं कोई चोट के निशान नहीं मिला है। मृतक युवक के हाथ में सिर्फ एक कड़ा मिला है। पुलिस ने आसपास के जिलों सहित पंजाब पुलिस को भी मामले की सूचना दी है ताकि युवक की पहचान हो सके। डीएनए के वास्ते लिए दांत पुलिस ने पोस्टमार्टम में डीएनए के लिए सैंपल लेने की मांग की थी, जिस पर चिकित्सकों ने शव से डीएनए के लिए छह दांत लिए हैं ताकि किसी के दावा करने पर जांच डीएनए से उसकी जांच की जा सके। पुलिस विसरा भी जांच के लिए भेजेगी ताकि युवक की मौत की वजह उजागर हो सके। फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुटी है। हरियाणा के कुरुक्षेत्र में गांव किरमिच पुल के पास नरवाना ब्रांच नहर से एक युवक का शव नग्न हालत में बरामद हुआ। गोताखोर प्रगट सिंह ने शव को नहर से निकाल कर पुलिस के हवाले कर दिया। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर शिनाख्त का प्रयास किया, मगर शिनाख्त नहीं हो सकी। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। 20 दिन पुराना लग रहा शव पुलिस की प्राथमिक जांच में युवक की उम्र 30-35 साल थी। शव करीब 20 दिन पुराना लग रहा है। उसके शरीर पर कहीं कोई चोट के निशान नहीं मिला है। मृतक युवक के हाथ में सिर्फ एक कड़ा मिला है। पुलिस ने आसपास के जिलों सहित पंजाब पुलिस को भी मामले की सूचना दी है ताकि युवक की पहचान हो सके। डीएनए के वास्ते लिए दांत पुलिस ने पोस्टमार्टम में डीएनए के लिए सैंपल लेने की मांग की थी, जिस पर चिकित्सकों ने शव से डीएनए के लिए छह दांत लिए हैं ताकि किसी के दावा करने पर जांच डीएनए से उसकी जांच की जा सके। पुलिस विसरा भी जांच के लिए भेजेगी ताकि युवक की मौत की वजह उजागर हो सके। फिलहाल पुलिस मामले की जांच में जुटी है। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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भिवानी में महिला की रजाई में पति ने लगाई आग:सास ने पुलिस से पिटवाया-ज़हर पिलाया, दहेज के लिए मारपीट; तलाकशुदा की बात छिपाई
भिवानी में महिला की रजाई में पति ने लगाई आग:सास ने पुलिस से पिटवाया-ज़हर पिलाया, दहेज के लिए मारपीट; तलाकशुदा की बात छिपाई भिवानी में एक महिला ने अपने पति और सास-ससुर पर दहेज उत्पीड़न और मारपीट का आरोप लगाया है। एक बार महिला के पति और सास ने उसकी रजाई में आग लगा दी जिसमें उसकी बच्ची भी सो रही थी, जिससे दोनों मां-बेटी जलने से बाल-बाल बचीं। महिला के ससुराल वालों ने उस पर चोरी का आरोप लगाया और थाने में भेज कर पुलिस से पिटाई करवा दी। बाद में उसे ज़हर देकर मारने की कोशिश भी की, जब महिला की हालत बिगड़ने लगी तो उसे हॉस्पिटल ले जाया गया। वहां ससुराल वालों ने दबाव बनाकर उससे जबरदस्ती क़बूल करवाया कि जहरीला पदार्थ उसने खुद पी है। महिला लौटी मायके
ससुराल से तंग होकर महिला अपने मायके लौट गई और पुलिस को इसकी शिकायत दी। महिला बवानी खेड़ा के गांव बड़ेसरा की रहने वाली है, जिसकी शादी लोहारू के ओबरा में साल 2020 में हुई थी। शादी के बाद उसे पता चला कि उसका पति तलाकशुदा है। उसकी पहले भी शादी हो चुकी है, मगर ये बात उससे छिपाई गई और व्यक्ति ने धोखे से शादी की। महिला ने पुलिस को दी शिकायत में बताया कि शादी के कुछ दिन बाद से ही उसे परेशान किया जाने लगा। उसका पति और सास-ससुर उसे दहेज के लिए प्रताड़ित करने लगे और हर रोज उससे मारपीट करते। महिला ने अपने पति पर जाति सूचक शब्दों से गाली देकर अपमानित करने का भी आरोप लगाया है। चोरी का लगाया आरोप
महिला के ससुराल से उसकी ननद लापता हो गई थी, जो अपने साथ घर से जेवर भी लेकर गई थी। मगर ससुराल वालों ने महिला पर जेवरात चोरी का इल्जाम लगा दिया। उन्होंने पुलिस को इसकी शिकायत दी और थाने भेज कर पुलिस से पिटाई भी करवाई। महिला का आरोप है कि उसे जहर देकर मारने की कोशिश की गई और बाद में तबियत खराब होने पर दबाव बनाकर गलती से दवा पीने की उससे हामी भरवाई गई। जेठ-जेठानी ने बंधक बनाया
महिला ने बाद में एक बेटी को जन्म दिया, एक दिन महिला अपने कमरे में अपनी बच्ची के साथ सो रही थी। तभी उसके पति और सास ने रजाई में आग लगा दी। मगर दोनों बाल-बाल बच गईं। पीड़िता ने जेठ व जेठानी पर भी आरोप लगाया कि उसे धक्के देकर बंधक बनाया गया। पुलिस ने पीड़िता की शिकायत पर दहेज उत्पीड़न, प्रताड़ना और विभिन्न धाराओं में मामला दर्ज कर लिया है। इस बारे में थाना प्रभारी सतीश कुमार ने बताया कि महिला ने अपने ससुराल पक्ष के लोगों के खिलाफ दहेज उत्पीड़न व मारपीट सहित हत्या के प्रयास करने की शिकायत दी है। जिसका मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है।
डेंगू को लेकर हरियाणा में अलर्ट:CM की हेल्थ मिनिस्टर के साथ मीटिंग; जिलों में फॉगिंग के निर्देश, 4000 केस मिले, एक की मौत
डेंगू को लेकर हरियाणा में अलर्ट:CM की हेल्थ मिनिस्टर के साथ मीटिंग; जिलों में फॉगिंग के निर्देश, 4000 केस मिले, एक की मौत हरियाणा में डेंगू को लेकर सरकार अलर्ट हो गई है। मुख्यमंत्री नायब सैनी ने डेंगू के बढ़ते मामलों को लेकर स्वास्थ्य मंत्री आरती राव के साथ रिव्यू मीटिंग की। मीटिंग के बाद स्वास्थ्य मंत्री ने बताया कि हमारे मामला संज्ञान में आया की डेंगू से बहुत सारे लोग पीड़ित हो रहे हैं। मीटिंग में डिस्कशन हुआ कि सभी DC को आदेश दिए गए हैं कि वो अपने स्तर पर फॉगिंग करवाएं। आज शाम से ही ये निर्देश लागू हो जाएंगे। हरियाणा में अब 4000 से अधिक डेंगू के मामले आ चुके हैं। डेंगू के नए मामलों में जहां पंचकूला जिला सबसे ऊपर है। वहीं जीटी रोड बेल्ट पर पड़ने वाले कई जिलों में डेंगू के केस लगातार रिपोर्ट हो रहे हैं, जिसके चलते स्थिति चिंताजनक है। पंचकूला और हिसार सहित हरियाणा में डेंगू के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं। हिसार और पंचकूला हॉट स्पॉट सेंटर बन गए हैं। हिसार के अग्रोहा मेडिकल कॉलेज में डेंगू के कारण एक युवक की मौत हो चुकी है। सबसे ज्यादा प्रभावित इलाकों में हिसार, पंचकूला, गुरुग्राम, करनाल, रेवाड़ी, सोनीपत और फरीदाबाद जिले हैं। बढ़ते केसों को लेकर सैंपलिंग में तेजी
डेंगू के बढ़ते केसों को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग ने सैंपलिंग तेजी से शुरू कर दी है। डेंगू के साथ वायरल भी बढ़ रहा है और डेंगू केस मिलने की सूचना नगर निगम को भी भेजी जाती है। ये भी बता दें कि घर-घर जाकर मच्छरों के प्रजनन स्रोतों की पहचान और उन्मूलन के लिए गतिविधियां चलाई जा रही हैं। अब तक कुल 3,56,74,860 घरों का दौरा किया गया और 1,79,875 घरों में लारवा पाया गया। 10 वर्ष में साल 2021 में सबसे ज्यादा 11836 केस आए
2015 में प्रदेश में कुल 9921 डेंगू के केस आए थे। वहीं 2016 में 2494 केस रिपोर्ट हुए। इसके बाद 2017 में 4550 और 2018 में नए मामलों में व्यापक स्तर पर कमी दर्ज की गई। इस साल बीमारी के कुल 1936 मामले रिपोर्ट हुए। फिर 2020 में 1377 केस कंफर्म हुए। इसके बाद 2021 में डेंगू के मामलों में कई गुना इजाफा हुआ है और एक साल की अवधि में 11836 मामले कंफर्म हुए। फिर अगले 2022 में 8996 नए केस आए। 2023 में 8081 मामले आ चुके हैं। इस साल अब तक 4 हजार से ज्यादा मामले रिपोर्ट हो चुके हैं। 10 वर्षों में इतने लोगों की हो चुकी है मौत
हरियाणा में बीमारी से अब तक 4 लोगों की जान जा चुकी है। हालांकि माना जा रहा है कि ज्यादा लोगों की मौत बीमारी से हुई है लेकिन विभाग द्वारा कुछ मौत को संदिग्ध की कैटेगरी में रखा है। वहीं ये भी बता दें कि पिछले साल 2022 में बीमारी से सबसे ज्यादा 18 लोगों की मौत हुई थी, वहीं 2015 में बीमारी ने 13 लोगों की जान ले ली। 2016 से लेकर साल 2020 तक 5 साल की अवधि में बीमारी से कोई मौत नहीं हुई। साल 2015 से लेकर 2023 तक 9 साल की अवधि में कुल 44 लोगों की मौत हुई है। इस लिहाज से हर साल औसतन 5 से ज्यादा लोगों की मौत बीमारी के चलते हुई है। साल 2024 में अब तक चार मरीजों की मौत बीमारी से हो चुकी है। महामारी की श्रेणी में डेंगू
हरियाणा में प्रचलित सभी चार वीबीडी को महामारी रोग अधिनियम 1897 के तहत 31 मार्च, 2027 तक अधिसूचित किया गया है और सभी निजी अस्पतालों/प्रयोगशालाओं को अधिसूचना जारी कर दी गई है कि वे प्रत्येक मामले की जानकारी पता लगने के 24 घंटे के भीतर स्वास्थ्य अधिकारियों को दें। मलेरिया के निदान के लिए सभी जिलों में घर-घर जाकर बुखार की निगरानी तेज कर दी गई है। मई से अक्टूबर तक हर महीने की 1 से 10 तारीख तक मलेरिया के लिए बुखार के मामलों की जांच के लिए सभी गांवों में रैपिड फीवर सर्वे किया गया। सभी जिलों में डेंगू की जांच को मजबूत किया गया है। सीएचसी/पीएचसी स्तर पर भी रक्त के नमूने लेने शुरू कर दिए गए हैं, जिसमें उच्च जोखिम वाले क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित किया गया है।
करनाल में कैंटर पलटा, 2 की मौत:2 ट्रॉलियां लेकर जा रहा था, संतुलन बिगड़ने से हुआ हादसा, 2 घंटे देरी से पहुंचा हाइड्रा
करनाल में कैंटर पलटा, 2 की मौत:2 ट्रॉलियां लेकर जा रहा था, संतुलन बिगड़ने से हुआ हादसा, 2 घंटे देरी से पहुंचा हाइड्रा करनाल के मेरठ रोड पर एक कैंटर का संतुलन बिगड़ गया और वह सड़क किनारे दीवार से जा टकराया। इस हादसे में कैंटर के ड्राइवर और क्लीनर की मौत हो गई। हादसे की वजह ट्रैक्टर के पीछे बंधी दो ट्रॉलियां बताई जा रही हैं। हादसा इतना भयानक था कि ड्राइवर और क्लीनर केबिन में बुरी तरह फंस गए और उनकी मौके पर ही मौत हो गई। घटना की सूचना मिलने के बाद पुलिस मौके पर पहुंची और हादसे के करीब 2 घंटे बाद हाइड्रा की मदद से केबिन को खोला गया और दोनों को बाहर निकाला गया। पुलिस ने दोनों शवों को कब्जे में लेकर करनाल के मोर्चरी हाउस में भिजवा दिया है। मृतकों की पहचान नहीं हो पाई है। पुलिस मामले की जांच कर रही है। दो घंटे तक नहीं आई हाइड्रा प्रत्यक्षदर्शियों राजबीर, सोनू व अशोक ने बताया कि केंटर के अंदर बोरियां लदी हुई थी। मेरठ रोड पर ट्रालियों की वजह से केंटर दीवार से जा टकराया। हादसे में ड्राइवर ने मौके पर दम तोड़ दिया और क्लीनर उसी में फंस गया। हादसा करीब रात साढ़े 10 बजे हुआ लेकिन साढ़े 12 बजे तक भी हाइड्रा मौके पर नहीं पहुंची। हाइड्रा मशीन अगर मौके पर पहुंच जाती तो घायल क्लीनर को बाहर निकाला जा सकता था और उसको बचाया जा सकता था। वहीं पुलिस से बात की गई तो उन्होंने बताया कि हाइड्रा जाम में फंसी हुई है, उसकी वजह से हाइड्रा लगाई हुई थी। डबल ट्राली लगाकर चला रहा था ट्रैक्टर प्रत्यक्षदर्शियों में गुस्सा देखने को मिला। उन्होंने बताया कि ट्रैक्टर डबल ट्राली लेकर चल रहा था उसकी वजह से हादसा हो गया। लोगों ने कहा कि ऐसे ट्रैक्टर च के खिलाफ कार्रवाई की जानी चाहिए जो लापरवाही बरतते है। पुलिस नाको पर डबल ट्राली वाले ट्रैक्टर चालक आसानी से निकल जाते है जबकि अन्य वाहनों के कागजात न होने पर चालान काट दिया जाता है। शिनाख्त में जुटी पुलिस हादसे के सूचना के बाद डायल-112 के इंचार्ज ने बताया कि हादसे की जानकारी मिली थी। जिसमें दो लोगों की मौत हुई है। अभी दोनों की पहचान नहीं हुई है। शिनाख्त के लिए मोर्चरी हाउस में शव रखवा दिया है। पहचान के बाद शवों का पोस्टमॉर्टम होगा और परिजनों को सौंपा जाएगा। शिकायत के आधार पर नियमानुसार कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।