<p style=”text-align: justify;”><strong>Kisan Mahapanchayat:</strong> ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के खिलाफ संयुक्त किसान मोर्चा के नेतृत्व में किसानों ने सोमवार (25 नवंबर) को महापंचायत का आयोजन किया. इस महापंचायत में करीब दो हजार से ज्यादा किसान जुटे, जिनमें सैकड़ों महिलाएं भी शामिल थीं. किसानों की इस सभा में किसान नेता राकेश टिकैत की उपस्थिति ने आंदोलन को और धार दी.</p>
<p style=”text-align: justify;”>किसानों ने सुबह सिटी पार्क पर इकट्ठा होकर ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की ओर पैदल कूच किया. किसानों के इस प्रदर्शन को देखते हुए पुलिस ने सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त किए थे. पुलिस ने महापंचायत में तीन हजार किसानों को शामिल होने की इजाजत दी थी.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>2 दिसंबर को दिल्ली जाएंगे किसान</strong><br />किसान नेताओं का कहना है कि ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के खिलाफ किसानों का आंदोलन अब निर्णायक चरण में पहुंच चुका है. उन्होंने कहा है कि संयुक्त किसान मोर्चा के फैसले के अनुसार महापड़ाव 27 नवंबर तक ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण पर रहेगा, इसके बाद 28 नवंबर से 1 दिसंबर तक यह यमुना प्राधिकरण पर जारी रहेगा.</p>
<p style=”text-align: justify;”>किसान नेताओं के मुताबिक, आंदोलन का तीसरा और अंतिम चरण 2 दिसंबर को संसद सत्र के दौरान दिल्ली की तरफ कूच रूप में होगा. आधा दर्जन से ज्यादा किसान संगठन इस महापंचायत को लेकर लंबे समय से बैठक कर रहे हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”>किसान संगठनों के जरिये गांव- गांव जाकर लोगों को इस महापंचायत में आने के लिए आमंत्रित किया गया है. किसान इस दौरान पांच सूत्रीय मांगों को लेकर प्राधिकरण के सामने महापंचायत करेंगे. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>किसानों की ये मांगें-</strong><br />1. पुराने भूमि अधिग्रहण कानून के तहत प्रभावित किसानों को 10 फीसदी प्लॉट और 64.7 फीसदी बढ़ा हुआ मुआवजा मिले.<br />2. 1 जनवरी 2014 के बाद अधिग्रहित भूमि पर बाजार दर का चार गुना मुआवजा और 20 फीसदी प्लॉट.<br />3. सभी भूमिधर और भूमिहीन किसानों के बच्चों को रोजगार और पुनर्वास लाभ.<br />4. हाई पावर कमेटी के जरिये पास किए गए मुद्दों पर सरकारी आदेश जारी किए जाएं.<br />5. इसके साथ आबादी क्षेत्र का उचित निस्तारण किया जाना चाहिए.</p>
<p style=”text-align: justify;”>महापंचायत के बाद किसान नेताओं ने स्पष्ट किया कि अगर उनकी मांगें समय पर नहीं मानी गईं, तो आने वाले समय में और बड़ा आंदोलन किया जाएगा. इतनी बड़ी संख्या में किसानों और किसान संगठनों के इकट्ठा होकर प्रदर्शन करने से सरकार की मुश्किलें बढ़ गई हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>ये भी पढ़ें: <a title=”Sambhal Violence: संभल हिंसा में मरे चारों लोगों की पोस्टमार्टम रिपोर्ट आई, कमिशनर बोले- ‘न्यायिक जांच होगी'” href=”https://www.abplive.com/states/up-uk/moradabad-commissioner-anjaneya-kumar-gave-statement-on-sambhal-shahi-jama-masjid-violence-2830294″ target=”_blank” rel=”noopener”>Sambhal Violence: संभल हिंसा में मरे चारों लोगों की पोस्टमार्टम रिपोर्ट आई, कमिशनर बोले- ‘न्यायिक जांच होगी'</a></strong></p> <p style=”text-align: justify;”><strong>Kisan Mahapanchayat:</strong> ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के खिलाफ संयुक्त किसान मोर्चा के नेतृत्व में किसानों ने सोमवार (25 नवंबर) को महापंचायत का आयोजन किया. इस महापंचायत में करीब दो हजार से ज्यादा किसान जुटे, जिनमें सैकड़ों महिलाएं भी शामिल थीं. किसानों की इस सभा में किसान नेता राकेश टिकैत की उपस्थिति ने आंदोलन को और धार दी.</p>
<p style=”text-align: justify;”>किसानों ने सुबह सिटी पार्क पर इकट्ठा होकर ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण की ओर पैदल कूच किया. किसानों के इस प्रदर्शन को देखते हुए पुलिस ने सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त किए थे. पुलिस ने महापंचायत में तीन हजार किसानों को शामिल होने की इजाजत दी थी.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>2 दिसंबर को दिल्ली जाएंगे किसान</strong><br />किसान नेताओं का कहना है कि ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के खिलाफ किसानों का आंदोलन अब निर्णायक चरण में पहुंच चुका है. उन्होंने कहा है कि संयुक्त किसान मोर्चा के फैसले के अनुसार महापड़ाव 27 नवंबर तक ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण पर रहेगा, इसके बाद 28 नवंबर से 1 दिसंबर तक यह यमुना प्राधिकरण पर जारी रहेगा.</p>
<p style=”text-align: justify;”>किसान नेताओं के मुताबिक, आंदोलन का तीसरा और अंतिम चरण 2 दिसंबर को संसद सत्र के दौरान दिल्ली की तरफ कूच रूप में होगा. आधा दर्जन से ज्यादा किसान संगठन इस महापंचायत को लेकर लंबे समय से बैठक कर रहे हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”>किसान संगठनों के जरिये गांव- गांव जाकर लोगों को इस महापंचायत में आने के लिए आमंत्रित किया गया है. किसान इस दौरान पांच सूत्रीय मांगों को लेकर प्राधिकरण के सामने महापंचायत करेंगे. </p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>किसानों की ये मांगें-</strong><br />1. पुराने भूमि अधिग्रहण कानून के तहत प्रभावित किसानों को 10 फीसदी प्लॉट और 64.7 फीसदी बढ़ा हुआ मुआवजा मिले.<br />2. 1 जनवरी 2014 के बाद अधिग्रहित भूमि पर बाजार दर का चार गुना मुआवजा और 20 फीसदी प्लॉट.<br />3. सभी भूमिधर और भूमिहीन किसानों के बच्चों को रोजगार और पुनर्वास लाभ.<br />4. हाई पावर कमेटी के जरिये पास किए गए मुद्दों पर सरकारी आदेश जारी किए जाएं.<br />5. इसके साथ आबादी क्षेत्र का उचित निस्तारण किया जाना चाहिए.</p>
<p style=”text-align: justify;”>महापंचायत के बाद किसान नेताओं ने स्पष्ट किया कि अगर उनकी मांगें समय पर नहीं मानी गईं, तो आने वाले समय में और बड़ा आंदोलन किया जाएगा. इतनी बड़ी संख्या में किसानों और किसान संगठनों के इकट्ठा होकर प्रदर्शन करने से सरकार की मुश्किलें बढ़ गई हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>ये भी पढ़ें: <a title=”Sambhal Violence: संभल हिंसा में मरे चारों लोगों की पोस्टमार्टम रिपोर्ट आई, कमिशनर बोले- ‘न्यायिक जांच होगी'” href=”https://www.abplive.com/states/up-uk/moradabad-commissioner-anjaneya-kumar-gave-statement-on-sambhal-shahi-jama-masjid-violence-2830294″ target=”_blank” rel=”noopener”>Sambhal Violence: संभल हिंसा में मरे चारों लोगों की पोस्टमार्टम रिपोर्ट आई, कमिशनर बोले- ‘न्यायिक जांच होगी'</a></strong></p> उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड DUSU चुनाव में अध्यक्ष पद पर NSUI ने मारी बाजी, उपाध्यक्ष और सचिव पर ABVP का परचम