यूपी में लगातार बारिश से शारदा, देहवा, ट्रांस और राप्ती नदी उफान पर हैं। बलरामपुर, पीलीभीत और लखीमपुर के करीब 500 गांवों में बाढ़ आ गई है। शहरों में भी पानी घुस गया है। 20 लाख की आबादी प्रभावित है। तीनों जिलों में हालात इतने खराब हैं कि NDRF, SDRF, पीएसी और सेना को रेस्क्यू में लगाया है। लोगों को एयरलिफ्ट किया जा रहा। अब तक 1200 से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है। पूर्वोत्तर रेलवे ने 15 ट्रेनें कैंसिल कर दी हैं। बाढ़ की इस भयावहता का ड्रोन वीडियो देखने के लिए ऊपर क्लिक करिए… यूपी में लगातार बारिश से शारदा, देहवा, ट्रांस और राप्ती नदी उफान पर हैं। बलरामपुर, पीलीभीत और लखीमपुर के करीब 500 गांवों में बाढ़ आ गई है। शहरों में भी पानी घुस गया है। 20 लाख की आबादी प्रभावित है। तीनों जिलों में हालात इतने खराब हैं कि NDRF, SDRF, पीएसी और सेना को रेस्क्यू में लगाया है। लोगों को एयरलिफ्ट किया जा रहा। अब तक 1200 से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है। पूर्वोत्तर रेलवे ने 15 ट्रेनें कैंसिल कर दी हैं। बाढ़ की इस भयावहता का ड्रोन वीडियो देखने के लिए ऊपर क्लिक करिए… उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर
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मायावती ने भतीजे आकाश को फिर उत्तराधिकारी बनाया:नेशनल कोऑर्डिनेटर भी बने; 47 दिन पहले पद से हटाकर कहा था- मैच्योर नहीं हैं
मायावती ने भतीजे आकाश को फिर उत्तराधिकारी बनाया:नेशनल कोऑर्डिनेटर भी बने; 47 दिन पहले पद से हटाकर कहा था- मैच्योर नहीं हैं बसपा प्रमुख मायावती ने भतीजे आकाश आनंद को फिर से अपना उत्तराधिकारी बना दिया। साथ ही नेशनल कोऑर्डिनेटर की जिम्मेदारी भी सौंप दी। आकाश अब पूरे देश में पार्टी का काम देखेंगे। रविवार (23 जून) को बसपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में मायावती ने इसका ऐलान किया। आकाश भी बैठक में शामिल हुए। उन्होंने मायावती के पैर छुए तो उन्होंने सिर पर हाथ रखा। फिर पीठ थपथपाकर आशीर्वाद दिया। मायावती ने लोकसभा चुनाव के बीच 7 मई यानी 47 दिन पहले आकाश को अपरिपक्व (इम्मैच्योर) बताते हुए पार्टी के सभी अहम पदों से हटा दिया था। बसपा प्रमुख ने कहा- आकाश मेरे एकमात्र उत्तराधिकारी रहेंगे। मुझे उम्मीद है कि अब वह परिपक्वव नेता के रूप में जरूर उभरेंगे। पार्टी के लोग भी इनका हौसला बढ़ाएंगे, ताकि आकाश आगे चलकर मेरी उम्मीदों पर खरा उतरें। लोकसभा चुनाव में हार के बाद मायावती ने राष्ट्रीय कार्यकारिणी की पहली बैठक बुलाई। यह 3 घंटे तक चली। मायावती ने इसमें उप-चुनाव समेत आगामी सभी चुनाव लड़ने की बात भी कही। यानी अब यूपी विधानसभा की 10 सीटों पर होने वाले उप-चुनाव पर भी पार्टी अपने प्रत्याशी उतारेगी। बिहार के प्रभारी बोले- जहां भी बसपा मजबूत, वहां चुनाव लड़ेंगे
बिहार बसपा के प्रभारी और कोऑर्डिनेटर डॉ. लालजी मेधानकर भी बैठक में शामिल हुए। उन्होंने बताया कि मायावती ने कहा है कि अब हम उप चुनाव भी लड़ेंगे। सिर्फ यूपी नहीं, देश में जहां भी हम मजबूत हैं, वहां चुनाव लड़ेंगे। बसपा नेता सरवर मलिक ने बताया- मायावती ने कहा कि क्या हुआ जो हम चुनाव हार गए। संघर्ष करेंगे, फिर चुनाव लड़ेंगे। आकाश आनंद की वापसी हो चुकी है। उन्हें उत्तराधिकारी बनाया है। इस बात पर भी मंथन हुआ कि चुनाव में क्या कमियां रह गईं। वहीं, मुस्लिम वोटर्स पर इस बैठक में कोई बातचीत नहीं हुई। सतीश मिश्रा और पिता के साथ बैठे आकाश
राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में आकाश आनंद, पिता आनंद कुमार और सतीश चंद्र मिश्रा के साथ बैठे। वह उन्हीं के साथ मीटिंग में आए थे। बैठक में 200 से ज्यादा राज्य और राष्ट्रीय स्तर के बसपा के पदाधिकारी शामिल हुए। पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव सतीश चंद्र मिश्र ने मायावती को चुनाव में हार की रिपोर्ट सौंपी थी। इसको लेकर भी मायावती ने पार्टी पदाधिकारियों को दिशा-निर्देश दिए। उत्तराखंड चुनाव में स्टार प्रचारक बनाया
बसपा ने 21 जून को उत्तराखंड में दो सीटों पर होने वाले उप-चुनाव में स्टार प्रचारकों की लिस्ट जारी की। इसमें आकाश का नाम दूसरे नंबर पर था। तभी अंदाजा लगाया जा रहा था कि मायावती की भतीजे से नाराजगी दूर हो गई है। आकाश को सभी पद वापस देकर मायावती ने साफ कर दिया कि अब भविष्य में आकाश ही पार्टी को संभालेंगे।
भिवानी में ट्रेन में टक्कर मारकर किया सुसाइड:आर्थिक तंगी से था परेशान; 3 बच्चों के सिर से उठा पिता का साया
भिवानी में ट्रेन में टक्कर मारकर किया सुसाइड:आर्थिक तंगी से था परेशान; 3 बच्चों के सिर से उठा पिता का साया हरियाणा के भिवानी में तीन बच्चों के पिता ने ट्रेन से कट कर सुसाइड कर लिया। परिजनों के अनुसार वह आर्थिक तंगी से परेशान था। राजकीय रेलवे पुलिस (जीआरपी) सूचना के बाद मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भिवानी के नागरिक अस्पताल पहुंचाया गया। शव का डॉक्टरों की टीम ने पोस्टमार्टम किया। भिवानी के गांव ढाणा लाडनपुर निवासी जयभगवान (45) दिहाड़ी मजदूर करके परिवार का पालन-पोषण कर रहा था। उसके दो बेटे व एक लड़की है। पिछले काफी समय से वह आर्थिक तंगी के कारण मानसिक रूप से परेशान था। इसी परेशानी में वह गुरुवार रात को अचानक घर से गायब हो गया। रात को उसने गांव में भिवानी- रेवाड़ी रेल मार्ग पर चलती पैसेंजर ट्रेन में टक्कर मारकर कर सुसाइड कर लिया। जीआरपी पुलिस को सूचना मिली तो पुलिस टीम मौके पर पहुंची। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर छानबीन की तो उसकी पहचान गांव ढाणा लाडनपुर निवासी जयभगवान के रूप में हुई थी। पुलिस ने शव को नागरिक अस्पताल में पहुंचाया था।जीआरपी पुलिस ने आज दोपहर को उसके शव का पोस्टमॉर्टम करवा कर परिजनों को सौंप दिया। परिवार में अकेला था कमाने वाला मृतक के बेटे जयकिशन ने बताया कि वह तीन बहन भाई हैं। वह बीए में पढ़ता है। उसका पिता ही घर में अकेला कमाने वाला था। पिता पिछले काफी समय से मानसिक तौर पर परेशान रहने लगा था। इसी कारण उसने ट्रेन में टक्कर मारकर कर आत्महत्या की है।
मंडी में निर्माणाधीन टनल के पास सड़क धंसी:20 से अधिक घरों पर मंडराया खतरा; चार महीने से बंद पड़ा काम
मंडी में निर्माणाधीन टनल के पास सड़क धंसी:20 से अधिक घरों पर मंडराया खतरा; चार महीने से बंद पड़ा काम मंडी जिले के पंडोह के ग्राम पंचायत हटौण के डयोड गांव में निर्माणाधीन टनल के ठीक ऊपर एक हिस्सा अचानक धंस गया। जिससे बड़ा गड्ढा बन गया है। डयोड हटौण सड़क पर आवाजाही पूरी तरह से बंद हो गई है। गांव के करीब 20 से अधिक घरों पर खतरा मंडरा गया है। ग्रामीणों ने जब देखा कि सड़क किनारे गड्ढा बना हुआ है, तो उनके होश उड़ गए। यह गड्ढा इतना ज्यादा गहरा था कि पत्थर फैंकने पर उसके गिरने की आवाज तक नहीं आ रही। चार महीने से बंद पड़ा काम कीरतपुर-मनाली फोरलेन प्रोजेक्ट के तहत पंडोह बायपास टकोली फोरलेन का जो निर्माण किया जा रहा है। उसकी पहली टनल डयोड गांव के नीचे से होकर ही गुजर रही है। इस टनल की खुदाई का काम पूरा कर दिया गया है। लेकिन बीते करीब चार महीने से इसका काम बंद पड़ा हुआ है। घरों की दीवारों में आई दरारें ग्रामीण हरदेव शर्मा, कशमीर सिंह, गीता देवी और कोयला देवी ने बताया कि इससे पहले भी टनल निर्माण के कारण उनके घरों पर बड़ी-बड़ी दरारें आई हुई हैं। अब इस हिस्से के धंसने से घरों में और नई दरारें आना शुरू हो गई हैं। कंपनी प्रबंधन व प्रशासन ने आया सुध लेने जहां यह गड्ढा पड़ा है। उसके साथ लगती गौशाला को खाली कर दिया गया है। इससे पहले मेघ सिंह के घर के पास भी टनल का हिस्सा इसी तरह से धंसा था। वहां भी आज दिन तक कंपनी प्रबंधन ने कोई उचित कार्रवाई नहीं की। ग्रामीणों का आरोप है कि कंपनी प्रबंधन और प्रशासन की तरफ से कोई भी मौके पर नहीं आया है और इनकी कोई सुध नहीं ली जा रही है।