पंजाब में पराली जलाने की घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रही हैं। सरकार द्वारा बार-बार चेतावनी देने के बावजूद किसान खेतों में फसल अवशेष जलाकर जल्दी खेत तैयार करने में लगे हैं, जिससे वायु प्रदूषण और मिट्टी की गुणवत्ता पर गंभीर असर पड़ रहा है। 18 मई 2025 तक राज्य में कुल 9,266 पराली जलाने के मामले दर्ज किए जा चुके हैं। अकेले अमृतसर में 1,043 घटनाएं सामने आईं, जो सबसे अधिक हैं। इसके बाद गुरदासपुर (811), मोगा (789), फिरोजपुर (692), तरनतारण (657) और बठिंडा (618) का स्थान है। मिट्टी की सेहत बिगड़ रही है पंजाब कृषि विश्वविद्यालय (PAU) के वीसी डॉ. सतबीर सिंह गोसल ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि ग्रामीण इलाकों में पशुपालन की घटती प्रवृत्ति से भूसे की मांग में गिरावट आई है। भंडारण की कमी के चलते किसान पराली रखने की बजाय जलाना आसान समझते हैं, जिससे मिट्टी की सेहत बिगड़ रही है। 2023 से कम हैं मामले 2023 में 18 मई 2025 तक 10,644 और 2024 में 10,327 मामलों की तुलना में इस बार थोड़ी गिरावट आई है, लेकिन ये अंतर इतना अधिक नहीं है कि इसे समस्या का हल समझा जाए। समस्या अभी भी गंभीर बनी हुई है। कृषि विभाग उन किसानों की पहचान कर रहा है जो पराली जला रहे हैं। सरकार इन मामलों पर सख्त कार्रवाई की तैयारी में है। पंजाब में पराली जलाने की घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रही हैं। सरकार द्वारा बार-बार चेतावनी देने के बावजूद किसान खेतों में फसल अवशेष जलाकर जल्दी खेत तैयार करने में लगे हैं, जिससे वायु प्रदूषण और मिट्टी की गुणवत्ता पर गंभीर असर पड़ रहा है। 18 मई 2025 तक राज्य में कुल 9,266 पराली जलाने के मामले दर्ज किए जा चुके हैं। अकेले अमृतसर में 1,043 घटनाएं सामने आईं, जो सबसे अधिक हैं। इसके बाद गुरदासपुर (811), मोगा (789), फिरोजपुर (692), तरनतारण (657) और बठिंडा (618) का स्थान है। मिट्टी की सेहत बिगड़ रही है पंजाब कृषि विश्वविद्यालय (PAU) के वीसी डॉ. सतबीर सिंह गोसल ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि ग्रामीण इलाकों में पशुपालन की घटती प्रवृत्ति से भूसे की मांग में गिरावट आई है। भंडारण की कमी के चलते किसान पराली रखने की बजाय जलाना आसान समझते हैं, जिससे मिट्टी की सेहत बिगड़ रही है। 2023 से कम हैं मामले 2023 में 18 मई 2025 तक 10,644 और 2024 में 10,327 मामलों की तुलना में इस बार थोड़ी गिरावट आई है, लेकिन ये अंतर इतना अधिक नहीं है कि इसे समस्या का हल समझा जाए। समस्या अभी भी गंभीर बनी हुई है। कृषि विभाग उन किसानों की पहचान कर रहा है जो पराली जला रहे हैं। सरकार इन मामलों पर सख्त कार्रवाई की तैयारी में है। पंजाब | दैनिक भास्कर
