गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई और गोल्डी बराड़ के नाम पर राजपुरा में व्यापारी से 50 लाख फिरौती मांगने वाले तीन गुर्गे काबू किए हैं। एसपी वरुण शर्मा ने शुक्रवार को प्रेस कांफ्रेंस के दौरान बताया कि कारोबारी से फिरौती मांगने की 12 जुलाई को शिकायत मिली थी। इसके बाद एसपीडी और डीएसपी राजपुरा विक्रमजीत सिंह बराड़ की अध्यक्षता में स्पेशल सेल के इंचार्ज इंस्पेक्टर हरी बोपाराय और सिटी राजपुरा के इंचार्ज इंस्पेक्टर अमनदीप सिंह बराड़ की टीम का गठन किया। इस टीम ने तीनों आरोपियों को पॉइंट बत्ती बोर की अवैध पिस्तौल और पांच कारतूस सहित अरेस्ट किया है। इन आरोपियों को किया है अरेस्ट एसएससी वरुण शर्मा ने बताया कि कंप्लेंट दर्ज करने के बाद टीम में राहुल कुमार ग्रीन सिटी फेस-1 मीरपुर राजपुरा को अरेस्ट किया था जिसे पूछताछ के बाद जेल में भेज दिया था। पूछताछ के दौरान सुराग मिलने के बाद पुलिस टीम ने राजपुरा के गुलमोहर कॉलोनी के रहने वाले नवजोत सिंह उर्फ लड़ी और गुरबख्श कालोनी राजपुरा में किरायेदार के तौर पर रहने वाले जतिन कुमार को अरेस्ट किया गया है। इन दोनों से अवध स्थल के अलावा कारोबारी की रेकी करने के लिए इस्तेमाल की गई मोटरसाइकिल रिकवर हुई है। 10 लाख का इनामी भगोड़ा है गोल्डी बराड़ पुलिस ने बताया कि अरेस्ट किए गए आरोपियों ने कारोबारी की पूरी रेकी करने के बाद गैंगस्टर गोल्डी बराड़ और गोल्डी ढिल्लों को इसकी जानकारी शेयर की थी। लॉरेंस बिश्नोई के इशारे पर इस गैंग ने फिरौती की रकम मांगी थी। गोल्डी बराड़ और गोल्डी ढिल्लों दोनों ही क्रिमिनल बैकग्राउंड वाले हैं जिनके ऊपर एनआईए ने 10-10 लाख का इनाम रखा हुआ है। गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई और गोल्डी बराड़ के नाम पर राजपुरा में व्यापारी से 50 लाख फिरौती मांगने वाले तीन गुर्गे काबू किए हैं। एसपी वरुण शर्मा ने शुक्रवार को प्रेस कांफ्रेंस के दौरान बताया कि कारोबारी से फिरौती मांगने की 12 जुलाई को शिकायत मिली थी। इसके बाद एसपीडी और डीएसपी राजपुरा विक्रमजीत सिंह बराड़ की अध्यक्षता में स्पेशल सेल के इंचार्ज इंस्पेक्टर हरी बोपाराय और सिटी राजपुरा के इंचार्ज इंस्पेक्टर अमनदीप सिंह बराड़ की टीम का गठन किया। इस टीम ने तीनों आरोपियों को पॉइंट बत्ती बोर की अवैध पिस्तौल और पांच कारतूस सहित अरेस्ट किया है। इन आरोपियों को किया है अरेस्ट एसएससी वरुण शर्मा ने बताया कि कंप्लेंट दर्ज करने के बाद टीम में राहुल कुमार ग्रीन सिटी फेस-1 मीरपुर राजपुरा को अरेस्ट किया था जिसे पूछताछ के बाद जेल में भेज दिया था। पूछताछ के दौरान सुराग मिलने के बाद पुलिस टीम ने राजपुरा के गुलमोहर कॉलोनी के रहने वाले नवजोत सिंह उर्फ लड़ी और गुरबख्श कालोनी राजपुरा में किरायेदार के तौर पर रहने वाले जतिन कुमार को अरेस्ट किया गया है। इन दोनों से अवध स्थल के अलावा कारोबारी की रेकी करने के लिए इस्तेमाल की गई मोटरसाइकिल रिकवर हुई है। 10 लाख का इनामी भगोड़ा है गोल्डी बराड़ पुलिस ने बताया कि अरेस्ट किए गए आरोपियों ने कारोबारी की पूरी रेकी करने के बाद गैंगस्टर गोल्डी बराड़ और गोल्डी ढिल्लों को इसकी जानकारी शेयर की थी। लॉरेंस बिश्नोई के इशारे पर इस गैंग ने फिरौती की रकम मांगी थी। गोल्डी बराड़ और गोल्डी ढिल्लों दोनों ही क्रिमिनल बैकग्राउंड वाले हैं जिनके ऊपर एनआईए ने 10-10 लाख का इनाम रखा हुआ है। पंजाब | दैनिक भास्कर
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SGPC चुनाव वोटर रजिस्ट्रेशन की अंतिम तारीख 31 जुलाई:2011 के चुनावों से आधी रह गई वोटरों की संख्या; कारण- पंथक जत्थेबंदियों से नाराजगी शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक समिति (SGPC) के चुनावों के लिए पंजीकरण कराने की अंतिम तारीख 31 जुलाई निर्धारित है। इस बार पंजीकरण कराने वाले सिखों की संख्या 2011 में हुई चुनावों की तुलना में लगभग आधी रह गई है। गुरुद्वारा चुनाव आयोग द्वारा वोटर पंजीकरण की समय सीमा को तीन बार आगे बढ़ाने के बावजूद पंजीकृत मतदाताओं की संख्या 50% से अधिक नहीं हो पा रही। बीती 25 जुलाई तक पंजीकृत मतदाताओं की संख्या 27.87 लाख रही, जबकि 2011 में हुए पिछले SGPC चुनाव के दौरान लगभग 52 लाख मतदाता थे। SGPC चुनाव भारत सरकार द्वारा गठित गुरुद्वारा चुनाव आयोग की देखरेख में कराए जाते हैं। मतदाताओं के पंजीकरण की प्रक्रिया 21 अक्टूबर, 2023 को शुरू हुई थी। शुरुआत में, अंतिम तिथि 15 नवंबर 2023 निर्धारित थी। पंजीकरण की प्रक्रिया में वोटरों की दिलचस्पी को ना देखते हुए इसे 29 फरवरी 2024 तक और फिर 30 अप्रैल तक बढ़ा दिया गया। अब एक बार फिर इसी अंतिम तारीख 31 जुलाई निर्धारित की गई। सिख विशेषज्ञों का मानना है कि ढीली प्रतिक्रिया SGPC से घटता विश्वास, मतदाता पंजीकरण प्रक्रिया और विदेशों में पलायन के प्रभाव के कारण है। बीते समय में हुई घटनाओं से उभरे नहीं सिख तख्त श्री दमदमा साहिब के पूर्व जत्थेदार ज्ञानी केवल सिंह ने कहा कि कई अप्रिय घटनाओं के बाद सिख मामलों में विश्वास की कमी हो गई है। जिसमें डेरा सिरसा के राम रहीम को माफी देना, इसके बाद बेअदबी की घटनाएं शामिल हैं। इनमें लोगों को अभी तक न्याय नहीं मिला। जिससे सिख निराश हो रहे हैं। SGPC सदस्य किरनजोत कौर का मानना है कि SGPC के कुछ गलत कदमों और कुछ नीतियों के अलावा सरकार द्वारा तैयार की गई मतदान पंजीकरण प्रक्रिया के चलते पंजीकरण कम हुआ है। सही से जानकारी सांझा नहीं की गई SGPC सदस्य किरनजोत कौर ने बताया कि प्रशासन द्वारा आयोजित किए जा रहे शिविरों के बारे में कोई प्रचार ही नहीं हुआ। वोटरों को यह नहीं पता था कि पंजीकरण कराने के लिए कहां जाएं। यह भी स्पष्ट नहीं था कि वे किस वार्ड से संबंधित हैं। जब वे कैंप में जाएंगे तो वार्डों में गड़बड़ी के कारण उनका आवेदन खारिज कर दिया जाएगा। साथ ही, पंजीकरण प्रक्रिया समय के दौरान वोटर, चाहे वे बुजुर्ग हों या महिला, का खुद पहुंचना जरूरी था। बाद में, प्रशासन ने अपने पटवारियों और ब्लॉक-स्तरीय अधिकारियों को घर-घर जाकर मतदाताओं का पंजीकरण करने के लिए कहा। लेकिन उन पर पहले से ही काफी अधिक काम का बोझ है। दूसरी बात यह है कि पहले सिख युवाओं में उत्साह देखा गया था। अब, उनमें से बड़ी संख्या में लोग विदेश चले गए हैं। अकाली दल सबसे कम दिलचस्पी ले रहा है मौजूदा समय में सिख न तो SGPC से खुश हैं और न ही अकाली दल से। सिखों के लिए यही दो सबसे बड़ी धार्मिक संस्थाएं हैं। लेकिन अकाली दल ने राजनीतिक लाभ के लिए कुछ ऐसे कदम उठाए कि उलटा असर हुआ। 2017 के बाद लोकसभा व विधानसभा चुनावों के परिणामों में जो हालात पैदा हुए, उसके बाद अकाली दल खुद ही इसमें सबसे कम रूचि ले रहा है। जबकि पहले अकाली दल के वर्कर वोट बनाने की प्रक्रिया में पूर्ण सहयोग देते थे। जानें वोट बनवाने के लिए क्या है नियम SGPC चुनावों के लिए पंजीकरण करवाने के लिए कुछ नियम बनाए गए हैं। पंजाब, हिमाचल प्रदेश और चंडीगढ़ के आवेदकों को ‘साबत सूरत’ (बिना बाल और दाढ़ी कोट) और 21 वर्ष से अधिक (21 अक्टूबर, 2023 तक) होना चाहिए। जो लोग अपने बाल काटते हैं, धूम्रपान करते हैं और तम्बाकू या शराब का सेवन करते हैं (पुरुषों और महिलाओं दोनों के लिए लागू) या सिख पुरुष जो अपनी दाढ़ी काटते या कटवाते हैं, उन्हें चुनाव प्रक्रिया में भाग लेने से रोक दिया जाता है।
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जगराओं में पटाखों का जखीरा बरामद:बंद कोठी में स्टोर करके रखे गए लाखों के पटाखे, दुकानदार के यहां भी छापेमारी त्योहारी सीजन में पटाखा व्यापारियों ने जगराओं शहर में पुलिस ने बिना लाइसेंस के पटाखे बेचने वालों के खिलाफ शनिवार को पुलिस ने डीएसपी सिटी जसज्योत सिंह की अगवाई मे रेड कर रिहायशी इलाको में स्टोर किए गए लाखों रुपए के पटाखे बरामद किए। शहर के लाला लाज तराए कालेज रोड पर पुलिस ने सबसे पहले एक बंद पड़ी कोठी का ताला वार्ड के पार्षद की मौजूदगी में तोडा। पुलिस को कोठी से पटाखे तो मिले परंतु इन पटाखों के मालिक के बारे में किसी ने भी अपना दावा नहीं जताया। सूत्रों की माने तो यह पटाखें एक बीजेपी नेता की बताई जा रही है, लेकिन भाजपा नेता ने भी साफ मना कर दिया कि पटाखों से उसका कोई लेना देना नहीं है। इसके बाद पुलिस नें नेहरु मार्किट स्थित एक दुकानदार के यहां रेड की। डीएसपी जसज्योत सिंह व एसएचओ सिटी अमृतपाल सिंह ने यहां से पटाखों की कई बंद पेटियां बरामद की। बरामद पटाखों की कीमत लाखों रुपए बताई जा रही है। बरामद हुए पटाखों को तीन टेंपू में लादकर सिटी थाने ले जाया गया है। बरामद पटाखों की जा रही जांच डीएसपी जसज्योत सिंह का कहना है कि कोठी से मिले पटाखों संबंधी जांच की जा रही है, जबकि नेहरु मार्किट से मिले पटाखो के संबध में पुलिस नें मामला दर्ज कर लिया है। उन्होंने कहा कि एसएसपी देहात नवनीत सिंह बैंस के साफ निर्देश हैं कि जो लोग रिहायशी इलाकों में पटाखे स्टोर करके रखते हैं या बेच रहे हैं। उन पर कड़ी कार्रवाई की जाए। पटाखों के अवैध भंडार को पुलिस की कार्रवाई आगे भी जारी रहेगी।
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