हरियाणा के पलवल में हसनपुर थाना क्षेत्र में एक वकील व उसके भांजे पर जानलेवा हमला कर उसकी गाड़ी को क्षतिग्रस्त करने का मामला प्रकाश में आया है। हसनपुर थाना पुलिस ने कोर्ट के आदेश पर 14 नामजद सहित 24 के खिलाफ हत्या के प्रयास सहित अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। पुलिस अभी तक किसी भी आरोपी को गिरफ्तार नहीं कर सकी थी। हसनपुर थाना प्रभारी अजीत नागर के अनुसार, बासवां गांव निवासी धर्मेंद्र सिंह ने कोर्ट में दायर इस्तगासा में कहा है कि वह पेशे से वकील है। 21 अप्रैल को अपनी बहन के यहां रामगढ़ गया हुआ था। उसका कहना है कि वह पहले सुमेर सरपंच के घर गया तो पता चला की सरपंच खेतों पर गए हुए हैं। इसके बाद वह अपने भांजे नीरज को गाड़ी में लेकर सरपंच के खेतों पर चल दिया। जब वे खेतों पर पहुंचे तो देखा कि 25-30 व्यक्ति अपने हाथों में घातक हथियार लिए हुए थे, जिनकी उसने अपनी गाड़ी में से वीडियो बनाई। जिनमें से कुछ को उसके भांजे ने पहचान लिया। उन्होंने गाड़ी को रुकवाया और गाली-गलौज शुरू कर दी। उसने विरोध किया तो उन्होंने गाडी पर लाठी, गंडासा व फरसा से हमला कर गाड़ी को बुरी तरह क्षतिग्रस्त कर दिया। उसने मौके से गाड़ी लेकर भागना चाह तो अवैध हथियारों से उसे जान से मारने की नीयत से फायर करने शुरू कर दिए, लेकिन गाड़ी चलने के कारण गोली उसे नहीं लगी। इसकी शिकायत उसने पुलिस को दी तो हसनपुर थाना पुलिस ने उल्टा उसके खिलाफ ही झूठा मुकदमा दर्ज कर दिया। थाना प्रभारी के अलावा डीएसपी व एसपी से गुहार लगाई, लेकिन उसकी किसी ने नहीं सुनी। इसके बाद उसने न्याय के लिए होडल कोर्ट में इस्तगासा दायर की। इस्तगासा के आधार न्यायालय ने हसनपुर थाना पुलिस को मुकदमा दर्ज कर जांच के आदेश दिए। कोर्ट के आदेश पर हसनपुर थाना पुलिस ने रामगढ़ गांव निवासी सुमेर, हरि, चन्दन, भगत, भोला, रोहित, मुकेश, सुधीर, कर्मवीर, उदयवीर, तेजन, कुलदीप, पवन व नन्दकिशोर सहित 24 के खिलाफ आईपीसी की धारा 148, 149, 323, 307, 341, 427 एवं 25-54-59 आर्म्स एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। हरियाणा के पलवल में हसनपुर थाना क्षेत्र में एक वकील व उसके भांजे पर जानलेवा हमला कर उसकी गाड़ी को क्षतिग्रस्त करने का मामला प्रकाश में आया है। हसनपुर थाना पुलिस ने कोर्ट के आदेश पर 14 नामजद सहित 24 के खिलाफ हत्या के प्रयास सहित अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। पुलिस अभी तक किसी भी आरोपी को गिरफ्तार नहीं कर सकी थी। हसनपुर थाना प्रभारी अजीत नागर के अनुसार, बासवां गांव निवासी धर्मेंद्र सिंह ने कोर्ट में दायर इस्तगासा में कहा है कि वह पेशे से वकील है। 21 अप्रैल को अपनी बहन के यहां रामगढ़ गया हुआ था। उसका कहना है कि वह पहले सुमेर सरपंच के घर गया तो पता चला की सरपंच खेतों पर गए हुए हैं। इसके बाद वह अपने भांजे नीरज को गाड़ी में लेकर सरपंच के खेतों पर चल दिया। जब वे खेतों पर पहुंचे तो देखा कि 25-30 व्यक्ति अपने हाथों में घातक हथियार लिए हुए थे, जिनकी उसने अपनी गाड़ी में से वीडियो बनाई। जिनमें से कुछ को उसके भांजे ने पहचान लिया। उन्होंने गाड़ी को रुकवाया और गाली-गलौज शुरू कर दी। उसने विरोध किया तो उन्होंने गाडी पर लाठी, गंडासा व फरसा से हमला कर गाड़ी को बुरी तरह क्षतिग्रस्त कर दिया। उसने मौके से गाड़ी लेकर भागना चाह तो अवैध हथियारों से उसे जान से मारने की नीयत से फायर करने शुरू कर दिए, लेकिन गाड़ी चलने के कारण गोली उसे नहीं लगी। इसकी शिकायत उसने पुलिस को दी तो हसनपुर थाना पुलिस ने उल्टा उसके खिलाफ ही झूठा मुकदमा दर्ज कर दिया। थाना प्रभारी के अलावा डीएसपी व एसपी से गुहार लगाई, लेकिन उसकी किसी ने नहीं सुनी। इसके बाद उसने न्याय के लिए होडल कोर्ट में इस्तगासा दायर की। इस्तगासा के आधार न्यायालय ने हसनपुर थाना पुलिस को मुकदमा दर्ज कर जांच के आदेश दिए। कोर्ट के आदेश पर हसनपुर थाना पुलिस ने रामगढ़ गांव निवासी सुमेर, हरि, चन्दन, भगत, भोला, रोहित, मुकेश, सुधीर, कर्मवीर, उदयवीर, तेजन, कुलदीप, पवन व नन्दकिशोर सहित 24 के खिलाफ आईपीसी की धारा 148, 149, 323, 307, 341, 427 एवं 25-54-59 आर्म्स एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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