कानपुर में रामनवमी जुलूस के दौरान हुई हल्के हंगामे के बाद पुलिस ने सख्त रुख अपनाते हुए उपद्रवियों या नियमों का पालन न करने वालों पर कार्रवाई करते हुए एफआईआर दर्ज की। भाजपा पार्षद समेत अन्य पदाधिकारियों समेत दर्जनों लोगों पर कार्रवाई की गई। इससे अंदरखाने भाजपा कार्यकर्ताओं में भी नाराजगी है। पुलिस के एक्शन के बाद दैनिक भास्कर ने शहर के विधायकों से बात की। जिसमें सपा विधायकों ने पुलिस से अपील की धर्म के आधार पर न होकर बल्कि सबूतों के आधार पर कार्रवाई होनी चाहिए। जबकि भाजपा विधायक अपने कार्यकर्ताओं को कुछ न होने देने की बात कही। पहले भाजपा विधायकों का पक्ष पढ़िये… सुरेंद्र मैथानी, विधायक, गोविंद नगर
जो कमेटी शोभायात्रा का आयोजन करती है, उसमें जनप्रतिनिधियों की भागीदारी नहीं है। ये कमेटी के लोगों को जिम्मेदारी से तय करना चाहिए था कि पुलिस ने जो नियम बनाए थे, उसकी सही जानकारी सभी को दी जाए। पुलिस और कमेटी के लोगों को बीच का रास्ता निकालना चाहिए था। विधायक ने आगे कहा कि हिंसा का साथ कोई नहीं देगा, लेकिन मैं अपने कार्यकर्ताओं के साथ खड़ा हूं। समन्वय बनाया जा सकता था। दर्ज की गई एफआईआर चिंताजनक है, ये ठीक नहीं है। मेरे विधानसभा क्षेत्र में इस तरह की कोई भी बात हुई तो मैं सभी के साथ खड़ा हूं। महेश त्रिवेदी, विधायक, किदवई नगर
इस यात्रा में लाखों लोग शामिल होते हैं। लंबे समय से ये यात्रा चल रही है। निश्चित रूप से पुलिस को आयोजकों के साथ बैठक करनी चाहिए थी। हां, कार्यकर्ता थोड़ा बहुत उग्र हुआ होगा। एफआईआर हो गई होगी। लेकिन सरकार तो कार्यकर्ताओं की है। राष्ट्र के लिए काम करने वाली सरकार है। अगर कहीं कोई गलत है तो उसे सही किया जाएगा। सांसद के साथ मिलकर सीपी महोदय से बात करके व्यवस्था को ठीक करने का काम किया जाएगा। ताकि किसी का उत्पीड़न न हो सके। अब सपा विधायकों का पक्ष भी पढ़िये… मो. हसन रूमी, विधायक, कैंट
मैं हिंदुओं का हमेशा बड़ा कहता हूं। अभी तक एक पक्ष पर कार्रवाई होती आई है। सुप्रीम कोर्ट की फटकार के बाद यूपी में कानून व्यवस्था का राज दिखाने के लिए इस तरह की कार्रवाई की गई है। इस बार बडे़ भाइयों के साथ सख्ती की गई है। शोभायात्राएं सद्भभावना का संदेश देती है। जिनका काम उपद्रव करना है, उन्होंने कोशिश की। लेकिन ये शहर अमन का शहर है। कोई भी कानून से ऊपर नहीं हो सकता है। पुलिस ने अच्छी तरीके से जांच कर जो भी कदम उठाए हैं, वो ठीक हैं। कानून सभी के लिए बराबर है और किसी को भी हिंसा के लिए छूट नहीं दी जा सकती है। अमिताभ बाजपेई, विधायक, आर्य नगर
हर हाल में कानून व्यवस्था कायम रहनी चाहिए। त्योहार मनाना खुशी का विषय है। त्योहार में तनाव नहीं होना चाहिए। पुलिस को वीडियो को देखकर जायज कार्रवाई करनी चाहिए। जायज-नाजायज के आधार पर कार्रवाई नहीं होनी चाहिए। धर्म के आधार पर किसी का भी उत्पीड़न नहीं होना चाहिए। भाजपा उत्तर जिलाध्यक्ष अनिल दीक्षित बोले…
कानपुर में पांच थानों में मुकदमे दर्ज किए गए हैं। हमने सभी एफआईआर की कॉपी को मंगाया है। सभी कॉपी को लेकर अपने नेताओं के साथ बैठकर बातचीत करेंगे। कुछ भी हुआ हो लेकिन हम ये भरोसा दिलाते हैं कि हमारे रहते किसी एक कार्यकर्ता को जेल नहीं जाने देंगे। ये जांच का विषय है कि कहां पत्थर चले, कहां नहीं। पुलिस प्रशासन अगर गंभीर धाराओं में इस तरह कार्यकर्ताओं पर एफआईआर दर्ज करेंगे तो मैं भाजपा का जिलाध्यक्ष होने के नाते चुपचाप तो नहीं बैठूंगा। कार्यकर्ताओं को किसी भी सूरत में जेल नहीं जाने दूंगा। कानपुर में रामनवमी जुलूस के दौरान हुई हल्के हंगामे के बाद पुलिस ने सख्त रुख अपनाते हुए उपद्रवियों या नियमों का पालन न करने वालों पर कार्रवाई करते हुए एफआईआर दर्ज की। भाजपा पार्षद समेत अन्य पदाधिकारियों समेत दर्जनों लोगों पर कार्रवाई की गई। इससे अंदरखाने भाजपा कार्यकर्ताओं में भी नाराजगी है। पुलिस के एक्शन के बाद दैनिक भास्कर ने शहर के विधायकों से बात की। जिसमें सपा विधायकों ने पुलिस से अपील की धर्म के आधार पर न होकर बल्कि सबूतों के आधार पर कार्रवाई होनी चाहिए। जबकि भाजपा विधायक अपने कार्यकर्ताओं को कुछ न होने देने की बात कही। पहले भाजपा विधायकों का पक्ष पढ़िये… सुरेंद्र मैथानी, विधायक, गोविंद नगर
जो कमेटी शोभायात्रा का आयोजन करती है, उसमें जनप्रतिनिधियों की भागीदारी नहीं है। ये कमेटी के लोगों को जिम्मेदारी से तय करना चाहिए था कि पुलिस ने जो नियम बनाए थे, उसकी सही जानकारी सभी को दी जाए। पुलिस और कमेटी के लोगों को बीच का रास्ता निकालना चाहिए था। विधायक ने आगे कहा कि हिंसा का साथ कोई नहीं देगा, लेकिन मैं अपने कार्यकर्ताओं के साथ खड़ा हूं। समन्वय बनाया जा सकता था। दर्ज की गई एफआईआर चिंताजनक है, ये ठीक नहीं है। मेरे विधानसभा क्षेत्र में इस तरह की कोई भी बात हुई तो मैं सभी के साथ खड़ा हूं। महेश त्रिवेदी, विधायक, किदवई नगर
इस यात्रा में लाखों लोग शामिल होते हैं। लंबे समय से ये यात्रा चल रही है। निश्चित रूप से पुलिस को आयोजकों के साथ बैठक करनी चाहिए थी। हां, कार्यकर्ता थोड़ा बहुत उग्र हुआ होगा। एफआईआर हो गई होगी। लेकिन सरकार तो कार्यकर्ताओं की है। राष्ट्र के लिए काम करने वाली सरकार है। अगर कहीं कोई गलत है तो उसे सही किया जाएगा। सांसद के साथ मिलकर सीपी महोदय से बात करके व्यवस्था को ठीक करने का काम किया जाएगा। ताकि किसी का उत्पीड़न न हो सके। अब सपा विधायकों का पक्ष भी पढ़िये… मो. हसन रूमी, विधायक, कैंट
मैं हिंदुओं का हमेशा बड़ा कहता हूं। अभी तक एक पक्ष पर कार्रवाई होती आई है। सुप्रीम कोर्ट की फटकार के बाद यूपी में कानून व्यवस्था का राज दिखाने के लिए इस तरह की कार्रवाई की गई है। इस बार बडे़ भाइयों के साथ सख्ती की गई है। शोभायात्राएं सद्भभावना का संदेश देती है। जिनका काम उपद्रव करना है, उन्होंने कोशिश की। लेकिन ये शहर अमन का शहर है। कोई भी कानून से ऊपर नहीं हो सकता है। पुलिस ने अच्छी तरीके से जांच कर जो भी कदम उठाए हैं, वो ठीक हैं। कानून सभी के लिए बराबर है और किसी को भी हिंसा के लिए छूट नहीं दी जा सकती है। अमिताभ बाजपेई, विधायक, आर्य नगर
हर हाल में कानून व्यवस्था कायम रहनी चाहिए। त्योहार मनाना खुशी का विषय है। त्योहार में तनाव नहीं होना चाहिए। पुलिस को वीडियो को देखकर जायज कार्रवाई करनी चाहिए। जायज-नाजायज के आधार पर कार्रवाई नहीं होनी चाहिए। धर्म के आधार पर किसी का भी उत्पीड़न नहीं होना चाहिए। भाजपा उत्तर जिलाध्यक्ष अनिल दीक्षित बोले…
कानपुर में पांच थानों में मुकदमे दर्ज किए गए हैं। हमने सभी एफआईआर की कॉपी को मंगाया है। सभी कॉपी को लेकर अपने नेताओं के साथ बैठकर बातचीत करेंगे। कुछ भी हुआ हो लेकिन हम ये भरोसा दिलाते हैं कि हमारे रहते किसी एक कार्यकर्ता को जेल नहीं जाने देंगे। ये जांच का विषय है कि कहां पत्थर चले, कहां नहीं। पुलिस प्रशासन अगर गंभीर धाराओं में इस तरह कार्यकर्ताओं पर एफआईआर दर्ज करेंगे तो मैं भाजपा का जिलाध्यक्ष होने के नाते चुपचाप तो नहीं बैठूंगा। कार्यकर्ताओं को किसी भी सूरत में जेल नहीं जाने दूंगा। उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर
पुलिस की कार्रवाई पर बोले शहर के विधायक:सपा विधायक रूमी बोले- सख्ती लाजिमी है; भाजपा विधायक ने कहा हिंसा का साथ कोई नहीं देगा
