पंजाब के फाजिल्का में पाक सीमा पार कर भारत में दाखिल होने पर बीएसएफ जवानों द्वारा की गई फायरिंग में दम तोड़ने वाले पाक घुसपैठिए के शव को दफनाने को लेकर हंगामा हो गया। ग्रामीणों ने पाक घुसपैठिए के शव को दफनाने का विरोध किया। गांव पक्के काले वाला में पाक नागरिक को दफनाने नहीं दिया गया l लोगों का कहना है कि यह दूसरे देश का नागरिक है वह उसे अपने गांव में दफनाने नही देंगे l जानकारी देते हुए गांववासियों ने बताया कि पुलिस द्वारा पाक नागरिक को उनके गांव में वक्फ बोर्ड की जगह बताकर वहां दफनाया जा रहा है l पुलिस के मुताबिक सरपंच के हस्ताक्षर करवा उनके द्वारा यहां पाकिस्तानी घुसपैठिए के शव को दफनाया जाना है l लेकिन गांव के लोग यह नहीं करने देंगे l ग्रामीणों का कहना है कि पाकिस्तान का नागरिक है उसका उनके साथ कोई लेना-देना नहीं है l इसलिए उनके गांव में दूसरे देश के नागरिक को दफनाने नहीं दिया जाएगा l क्या कहते हैं पुलिस अधिकारी फाजिल्का के डीएसपी शूबेग सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि पाकिस्तानी घुसपैठिए के शव को जलालाबाद के गांव पक्के कालेवाला में जब पुलिस दफनाने गई तो लोगों ने विरोध किया है l उसे दफनाने नहीं दिया गया l इसके बाद पाक नागरिक के शव को वापस लाया गया है और अब अबोहर में जगह देखी जा रही है l जहां वक्फ बोर्ड की जगह पर पाक नागरिक के शव को दफनाया जाएगा l पंजाब के फाजिल्का में पाक सीमा पार कर भारत में दाखिल होने पर बीएसएफ जवानों द्वारा की गई फायरिंग में दम तोड़ने वाले पाक घुसपैठिए के शव को दफनाने को लेकर हंगामा हो गया। ग्रामीणों ने पाक घुसपैठिए के शव को दफनाने का विरोध किया। गांव पक्के काले वाला में पाक नागरिक को दफनाने नहीं दिया गया l लोगों का कहना है कि यह दूसरे देश का नागरिक है वह उसे अपने गांव में दफनाने नही देंगे l जानकारी देते हुए गांववासियों ने बताया कि पुलिस द्वारा पाक नागरिक को उनके गांव में वक्फ बोर्ड की जगह बताकर वहां दफनाया जा रहा है l पुलिस के मुताबिक सरपंच के हस्ताक्षर करवा उनके द्वारा यहां पाकिस्तानी घुसपैठिए के शव को दफनाया जाना है l लेकिन गांव के लोग यह नहीं करने देंगे l ग्रामीणों का कहना है कि पाकिस्तान का नागरिक है उसका उनके साथ कोई लेना-देना नहीं है l इसलिए उनके गांव में दूसरे देश के नागरिक को दफनाने नहीं दिया जाएगा l क्या कहते हैं पुलिस अधिकारी फाजिल्का के डीएसपी शूबेग सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि पाकिस्तानी घुसपैठिए के शव को जलालाबाद के गांव पक्के कालेवाला में जब पुलिस दफनाने गई तो लोगों ने विरोध किया है l उसे दफनाने नहीं दिया गया l इसके बाद पाक नागरिक के शव को वापस लाया गया है और अब अबोहर में जगह देखी जा रही है l जहां वक्फ बोर्ड की जगह पर पाक नागरिक के शव को दफनाया जाएगा l पंजाब | दैनिक भास्कर
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लुधियाना में खुद को शिव सैनिक बताकर किया हंगामा:गली में गेट निकालने को लेकर विवाद, पक्ष लेने गए पत्रकारों को भी धमकाया पंजाब के लुधियाना में आज शिवसैनिकों ने गुंडागर्दी की। घटना जागीरपुर रोड पर हुई। गांव जागीरपुर सतसाहिब कॉलोनी गली नंबर 2 में एक फैक्ट्री मालिक जबरन गेट हटा रहा था। गली के लोगों ने इसका विरोध किया और पत्रकारों को अपना पक्ष रखने के लिए बुलाया। गली के लोगों का पक्ष लेने के बाद जब फैक्ट्री मालिक से अपना पक्ष रखने के लिए कहा गया तो उसके साथी रोहन जो खुद को शिवसेना नेता बताता है, ने पत्रकारों के साथ विवाद करना शुरू कर दिया। पत्रकारों से की गाली-गलौज उक्त व्यक्ति ने पत्रकारों से गाली-गलौज की। रोहन ने पत्रकारों का जबरन वीडियो बनाया और उसे फेसबुक पर शेयर करने की धमकी दी तथा उसे शेयर भी किया। पत्रकारों ने इस मामले में तुरंत टिब्बा थाने की पुलिस को भी सूचित किया। टिब्बा थाने से कांस्टेबल गुरजंट सिंह मौके पर पहुंचे। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर हंगामा कर रहे रोहन व उसके साथियों से बात की तो उन्होंने पुलिस को बताया कि वे अपने साथियों के साथ शाम पांच बजे थाने में आएंगे। इस मामले संबंधी थाना टिब्बा के एसएचओ भगतवीर सिंह ने कहा कि पत्रकारों की वीडियो बनाने और हंगामा करने वाले युवकों पर बनता एक्शन लिया जाएगा। मामले उनके ध्यान में है। क्या था पूरा मामला
सहसाहिब कॉलोनी के निवासी वेदपाल ने कहा कि उनकी कॉलोनी पिछले 4 साल से बनी है। गली में एक घर में फैक्ट्री चलाई जा रही है। फैक्ट्री मालिक जबरी गली में से गेट निकाल रहा है। फैक्ट्र्री मालिक ने उनके घरों की तरफ सीसीटीवी कैमरा तक लगाया जिस कारण लोगों के घरों की प्राइवेसी भी लीक हो रही है। यह मामले थाना पुलिस के ध्यान में भी है। आज पत्रकारों को इलाके के लोगों ने अपनी समस्या बतानी थी जिस कारण उन्हें बुलाया था। इस दौरान फैक्ट्री मालिक और उसके साथ आए युवकों ने पत्रकारों के साथ भी बदतमीजी की और वीडियोग्राफी करके सोशल मीडिया पर चढ़ाने की धमकी दी। उधर, फैक्ट्री मालिक ने कहा कि उसकी फैक्ट्री का गेट 5 साल पहले का बना हुआ है। उसका गेट जबरी बंद करवाया जा रहा है।
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सिद्धू बोले-पंजाब CM बनने का सपना देखने वाले खत्म हुए:जेल जाना बेहतर टाइम था, मैं राहुल-प्रियंका को समर्पित; पत्नी BJP नेता से मिली थीं राजनीति से दूरी बनाकर चल रहे पूर्व क्रिकेटर नवजोत सिंह सिद्धू ने कहा कि पंजाब में कई लोग मुख्यमंत्री बनने का सपना देखते थे, लेकिन वे लोग खत्म हो गए। आज मैं जहां कहीं भी जाता हूं तो सिद्धू साहब…सिद्धू साहब होती है। यह बात नवजोत सिंह सिद्धू ने एक न्यूज चैनल को दिए इंटरव्यू में कही। सिद्धू ने आगे कहा कि जेल में जाना मेरा सबसे अच्छा समय था। राजनीतिक कारणों के चलते मैं जेल में गया था। गांधी जी, भगत सिंह और पंडित जवाहर लाल नेहरू जेल गए। वह हमारे हीरो हैं। 323 धारा में किसी को 2 दिन कैद में नहीं होती। इस धारा में हवलदार मौके पर जमानत दे देता है। मुझे हजार रुपए लेकर छोड़ दिया। बाद में दोबारा केस खुलवाया गया। वहां मुझ पर बोझ डाला। आज भी मैं राहुल गांधी और प्रियंका गांधी को समर्पित हूं। जो जुबान उनको दी थी, उस पर आज भी कायम हूं। मैं मानता हूं कि पिछले दिनों पत्नी BJP नेता से मिली थी। पत्नी को कैंसर का पता चला तो आंसू आए
सिद्धू ने आगे कहा कि जेल में बैरक थी। वहां ठंड लगनी शुरू हो जाती थी। यहां मैं 16 घंटे मेडिटेशन करता था। इस बीच मुझे पता चला कि पत्नी को कैंसर हो गया। तब मेरी आंखों में आंसू आ गए। 2 महीने जेल में और रहता तो कुछ और ही हो जाता। इसके बाद मैंने पत्नी की डाइट को लेकर पता किया। भगवान की कृपा से अब वह ठीक है। जिसमें भी काम करने की इच्छा शक्ति है, वह वे चीजें तलाश ही लेगा। हमेशा बड़ा सोचना चाहिए, हमेशा सही होता है। मुझे कुरूक्षेत्र से चुनाव लड़ने की सलाह दी
सिद्धू ने दावा किया कि भाजपा वाले बादल परिवार से नाता नहीं तोड़ना चाहते थे। मेरे कई मुद्दों पर भाजपा से मतभेद थे। इसलिए, मैंने पंजाब को चुना। जेटली साहब मेरे बड़े थे। जब जेटली साहब पंजाब आए तो उन्होंने मुझे कुरूक्षेत्र से चुनाव लड़ने की सलाह दी। साथ ही कहा था कि तुम 2 लाख मतों से चुनाव जीतोगे। मैंने उन्हें समझाने की कोशिश की, इनके (बादलों के खिलाफ) खिलाफ लोगों में बहुत गुस्सा है। मैंने अमृतसर को अपनी कड़ी मेहनत से खड़ा किया। मेरी बात नहीं सुनी गई। मेरी मां ने मुझे एक बात बोली थी कि जो इंसान अपनी कही बात पर खड़ा नहीं रहता, वह खत्म हो जाता है। मैं आज भी अपनी बात पर कायम हूं। पंजाब के लिए मैं अपनी सरकार से लड़ गया। कई बार इंसान जीत कर हार जाता है और हार कर जीत जाता है। जो लोग जीते, उन्होंने पंजाब के लिए कुछ नहीं किया। मैं अपनी सरकार के खिलाफ बोलता रहा। मैंने पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह को कहा था कि आपको आने वाली 7 पीढ़ियां याद रखेंगी, अगर राज्य के लिए कुछ करें, लेकिन सब अपने घर भरने में लगे हुए थे। पंजाब को आगे बढ़ाने के लिए रोड मैप की जरूरत
सिद्धू ने कहा कि मैं राजनीति को एक मिशन की तरह मानता हूं। अब यह एक प्रोफेशन बन चुका है। मैंने इस धंधे को नंगा किया और करता रहूंगा। पंजाब को आगे बढ़ाने के लिए सही रोड मैप की जरूरत है। यह जरूरी है कि उसके लिए उचित बजट का प्रावधान हो। फ्री-फ्री देने के वायदे किए, उन्हें बताना चाहिए कि कैसे आएगा? जो लोग बोलते थे 40 से 50 हजार शराब, 10 हजार करोड़, 30 हजार करोड़ माइनिंग से कमाएंगे, उनके 60-70 हजार करोड़ कहां पर हैं? सरकार हर महीने मोटा कर्ज ले रही है। पंजाब को फैसला करना होगा कि वह किसके साथ हैं? नवजोत सिद्धू से संबंधित यह खबर भी पढ़ें… कपिल शर्मा के कॉमेडी शो में दिखेंगे सिद्धू:वीडियो शेयर कर लिखा-द होम रन, सिद्धू जी इज बैक, पॉलिटिक्स से दूरी बना चुके क्रिकेटर से राजनेता बने नवजोत सिंह सिद्धू जल्द ही द ग्रेट इंडियन कपिल शो में नजर आएंगे। करीब 22 साल के राजनीतिक सफर के बाद नवजोत सिद्धू 2022 से राजनीति से दूर हैं। आईपीएल 2024 की शुरुआत के साथ ही उन्होंने क्रिकेट कमेंट्री के जरिए छोटे पर्दे पर वापसी की थी। अब उन्होंने फिर से लाफ्टर शो में वापसी के संकेत दिए हैं। पूरी खबर पढ़ें…
डीसी कर्मचारी की हड़ताल टली, 25 को बैठक कर लेंगे फैसला
डीसी कर्मचारी की हड़ताल टली, 25 को बैठक कर लेंगे फैसला भास्कर न्यूज | लुधियाना पदोन्नति समेत अन्य मांगों को लेकर डीसी दफ्तर कर्मचारियों की हड़ताल टल गई है। 25 जनवरी को मांगों को लेकर बैठक के बाद आगे की रणनीति पर निर्णय लिया जाएगा। हालांकि, हड़ताल को लेकर असमंजस बनने के कारण शहरवासी भी परेशान रहे। डीसी कर्मचारी यूनियन लुधियाना के प्रधान विक्की जुनेजा ने बताया कि कर्मचारियों की मांगों को लेकर लगातार सरकार से मांग की जा रही है लेकिन सरकार की ओर से मांगों को लेकर सिर्फ आश्वासन दिया गया। कहा कि मांगों को लेकर कर्मचारियों ने आंदोलन की घोषणा की थी। 15 से कर्मचारियों ने हड़ताल करनी थी लेकिन सरकार के आश्वासन के बाद हड़ताल 25 जनवरी तक टाल दी गई है। बताया कि कर्मचारियों की मांगों को लेकर होने वाली मीटिंग में आगे की रणनीति पर फैसला लिया जाएगा। यह हैं मांगें