<p style=”text-align: justify;”><strong>UP News:</strong> बलिया जिले के प्राथमिक और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर फर्जी दस्तावेजों के आधार पर नौकरी करने के आरोप में दो महिलाओं समेत 15 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है. पुलिस ने रविवार को यह जानकारी दी. पुलिस के अनुसार जिला मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ विजय पति द्विवेदी की शिकायत पर बलिया शहर कोतवाली में शनिवार रात मामला दर्ज किया गया है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>जिन लोगों के खिलाफ केस दर्ज हुआ है, इस मामले में चंद्रा, गीता यादव, उपेन्द्र , जितेंद्र यादव, संतोष कुमार, अनिल कुमार, अजय कुमार, विकास यादव, आशीष कुमार सिंह, अनिल , संदीप कुमार, शिवम यादव, विवेक कुमार, अंकित कुमार और राहुल के विरुद्ध भारतीय दण्ड संहिता की धारा 409 , 419 , 420 (धोखाधड़ी) , 468 , 471 (दस्तावेज़ों में हेरफेर) और 120 बी (साज़िश) के तहत मामला दर्ज किया गया है. सभी आरोपी बलिया जिले के ही रहने वाले हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”>कोतवाली प्रभारी निरीक्षक योगेंद्र बहादुर सिंह ने बताया कि पुलिस मामले की जांच कर रही है. जिला मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ विजय पति द्विवेदी ने रविवार को बताया कि सभी आरोपी जिले के विभिन्न प्राथमिक और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर स्टाफ नर्स के पद पर तैनात थे. डॉ द्विवेदी के मुताबिक उन्हें पता चला कि जिले के विभिन्न प्राथमिक और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर कुछ तथाकथित कर्मचारी फर्जी और कूटरचित दस्तावेजों के आधार पर कार्य कर रहे हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong><a href=”https://www.abplive.com/states/up-uk/cm-yogi-adityanath-foundation-stone-biopolymer-plant-in-lakhimpur-ann-2890585″>सीएम योगी ने लखीमपुर में बायोपॉलिमर संयंत्र का किया शिलान्यास, 2850 करोड़ की लागत से होगा तैयार</a><br /></strong></p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>वेतन रोकने का दिया गया था निर्देश</strong><br />उन्होंने बताया कि इस मामले को गम्भीरता से लेते हुए सात सदस्यीय जांच टीम गठित कर मामले की जांच कराई गई और जांच में मामला संदिग्ध मिलने पर तीन अक्टूबर 2024 को कर्मियों से काम नहीं लेने और उनके वेतन पर रोक लगाने का निर्देश दिया गया.</p>
<p style=”text-align: justify;”>उन्होंने बताया कि इसके साथ ही कर्मचारियों को नियुक्ति संबंधी दस्तावेजों का भी सत्यापन कराने का निर्देश दिया गया. सीएमओ ने बताया कि इस निर्देश के बाद सभी कर्मी फरार हो गए साथ ही स्वास्थ्य निदेशालय ने जांच के बाद स्पष्ट किया कि नियुक्तियां अवैध हैं. मामले में विधिक कार्रवाई की जा रही है.</p> <p style=”text-align: justify;”><strong>UP News:</strong> बलिया जिले के प्राथमिक और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर फर्जी दस्तावेजों के आधार पर नौकरी करने के आरोप में दो महिलाओं समेत 15 लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है. पुलिस ने रविवार को यह जानकारी दी. पुलिस के अनुसार जिला मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ विजय पति द्विवेदी की शिकायत पर बलिया शहर कोतवाली में शनिवार रात मामला दर्ज किया गया है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>जिन लोगों के खिलाफ केस दर्ज हुआ है, इस मामले में चंद्रा, गीता यादव, उपेन्द्र , जितेंद्र यादव, संतोष कुमार, अनिल कुमार, अजय कुमार, विकास यादव, आशीष कुमार सिंह, अनिल , संदीप कुमार, शिवम यादव, विवेक कुमार, अंकित कुमार और राहुल के विरुद्ध भारतीय दण्ड संहिता की धारा 409 , 419 , 420 (धोखाधड़ी) , 468 , 471 (दस्तावेज़ों में हेरफेर) और 120 बी (साज़िश) के तहत मामला दर्ज किया गया है. सभी आरोपी बलिया जिले के ही रहने वाले हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”>कोतवाली प्रभारी निरीक्षक योगेंद्र बहादुर सिंह ने बताया कि पुलिस मामले की जांच कर रही है. जिला मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ विजय पति द्विवेदी ने रविवार को बताया कि सभी आरोपी जिले के विभिन्न प्राथमिक और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर स्टाफ नर्स के पद पर तैनात थे. डॉ द्विवेदी के मुताबिक उन्हें पता चला कि जिले के विभिन्न प्राथमिक और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों पर कुछ तथाकथित कर्मचारी फर्जी और कूटरचित दस्तावेजों के आधार पर कार्य कर रहे हैं.</p>
<p style=”text-align: justify;”><strong><a href=”https://www.abplive.com/states/up-uk/cm-yogi-adityanath-foundation-stone-biopolymer-plant-in-lakhimpur-ann-2890585″>सीएम योगी ने लखीमपुर में बायोपॉलिमर संयंत्र का किया शिलान्यास, 2850 करोड़ की लागत से होगा तैयार</a><br /></strong></p>
<p style=”text-align: justify;”><strong>वेतन रोकने का दिया गया था निर्देश</strong><br />उन्होंने बताया कि इस मामले को गम्भीरता से लेते हुए सात सदस्यीय जांच टीम गठित कर मामले की जांच कराई गई और जांच में मामला संदिग्ध मिलने पर तीन अक्टूबर 2024 को कर्मियों से काम नहीं लेने और उनके वेतन पर रोक लगाने का निर्देश दिया गया.</p>
<p style=”text-align: justify;”>उन्होंने बताया कि इसके साथ ही कर्मचारियों को नियुक्ति संबंधी दस्तावेजों का भी सत्यापन कराने का निर्देश दिया गया. सीएमओ ने बताया कि इस निर्देश के बाद सभी कर्मी फरार हो गए साथ ही स्वास्थ्य निदेशालय ने जांच के बाद स्पष्ट किया कि नियुक्तियां अवैध हैं. मामले में विधिक कार्रवाई की जा रही है.</p> उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड गोली लगने से नही बल्कि इस वजह से गई जान, जालंधर हर्ष फायरिंग मामले में पुलिस का बड़ा दावा
बलिया: स्वास्थ्य केंद्रों में धोखाधड़ी कर नौकरी हासिल करने के आरोप में 15 लोगों पर FIR दर्ज
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