भास्कर के खुलासे के बाद 825 पदों की भर्ती निरस्त:चार कर्मचारियों को हटाया; भर्ती के लिए 2 से 3 लाख या 5 सैलरी मांग रहे थे

भास्कर के खुलासे के बाद 825 पदों की भर्ती निरस्त:चार कर्मचारियों को हटाया; भर्ती के लिए 2 से 3 लाख या 5 सैलरी मांग रहे थे

यूपी के सरकारी विभागों में आउटसोर्स नौकरियां बेचे जाने में बड़ी कार्रवाई हुई है। यह खुलासा दैनिक भास्कर की इन्वेस्टिगेशन में हुआ। कौशल विकास मिशन में ब्लॉक के 825 पदों पर निकली भर्तियों को निरस्त कर दिया गया है। भर्ती कराने के लिए रिश्वत मांगने वाले 2 कर्मचारियों को कंपनी ने हटा दिया है। वहीं, उद्यान विभाग की महिला कर्मचारी समेत टीम लीडर को निलंबित कर दिया है। सरकारी नौकरियां आउटसोर्स कंपनी के कर्मचारी और दलाल मिलकर बेच रहे हैं। इसके लिए 5 से 6 महीने की सैलरी, या 2 से 3 लाख रुपए देने के बाद ही नियुक्ति दी जा रही है। कमाई वाली पोस्ट के लिए साढ़े 5 लाख रुपए तक मांगे जा रहे हैं। इस दौरान दैनिक भास्कर के हिडन कैमरा पर आउटसोर्स कंपनियों के कर्मचारियों, उनके लिए काम कर रहे दलाल ने पैसे लेकर नौकरी देने की बात कबूल की थी। कर्मचारी-दलालों ने रुपए देने के बाद नौकरी की पूरी गारंटी दी थी। जानिए भास्कर के इन्वेस्टिगेशन में क्या निकला था, फिर सरकार के 3 एक्शन
कौशल विकास मिशन के दीनदयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल्य योजना (DDU-GKY) में विकास खंड कार्यक्रम प्रबंधक (बीपीएम) के 825 पदों पर भर्ती निकली थी। इसकी सैलरी 23 हजार 500 रुपए थी। इस आउटसोर्स पोस्ट की वैकेंसी वर्ल्ड क्लास सर्विसेज ने निकाली थी। हमें एक कैंडिडेट से इनपुट मिला था कि उससे एक लाख 80 हजार रुपए मांगे जा रहे हैं। हमने लखनऊ के गोमतीनगर स्थित वर्ल्ड क्लास सर्विसेज के दफ्तर से इन्वेस्टिगेशन शुरू किया। हमें कंपनी के गेट के पास खड़ा गार्ड अरुण तिवारी मिला था। उससे भर्ती की बात की। हमने पूछा कि कैसे काम होगा? उसने कहा- काम तो हो जाएगा, दिक्कत नहीं है। जब हमने सवाल किया कि कितना देना पड़ेगा, तो उसने कहा कि यहां पर कोई 9 सैलरी बता रहा, कोई 10 बता रहा। मैं अंदर से क्लियर करके बताऊंगा। पढ़िए हिडन कैमरे पर अरुण तिवारी के दावे… कंपनी के दफ्तर से निकलकर दलाल ने खुद काे UP हेड बताया
गार्ड अरुण तिवारी ने कहा- मैं आपको ऐसे आदमी से सेट करा दूंगा। आपका काम तो होना ही होना है। गार्ड ने ऑफिस बंद होने के बाद फोन करने को कहा। कहा- आपको शाम को बता दूंगा। लोग दो-दो लाख रुपए दे रहे हैं। शाम को गार्ड की वॉट्सऐप कॉल आती है। वह मैनेजर से मिलवाने की बात कहता है। हम वर्ल्ड क्लास सर्विसेज लिमिटेड के ऑफिस पहुंचे। दफ्तर के अंदर से एक युवक निकलकर आया। गार्ड तिवारी ने हमारी मुलाकात खुद को कंपनी का UP हेड बताने वाले आशी से करवाई। हमने आशी से 3 कैंडिडेट्स को भर्ती कराने के लिए कहा। साथ ही रिश्वत की रकम कुछ कम करने का आग्रह किया। आशी ने कहा- कल तो लास्ट डे है। अभी पहली लिस्ट कर रहे हैं। बच्चों को बोला भी गया है कि हम मंगलवार तक लेटर प्रोवाइड करा देंगे। उसके बाद सेकेंड लिस्ट ओपन करेंगे। तीन लिस्ट खुलनी हैं। अभी 2 लिस्ट बाकी हैं। आपने फॉर्म भरा है तो आपके कैंडिडेट का नाम आ ही जाएगा। भर्ती के लिए कितना देना होगा? इस सवाल पर आशी कहता है- आपको तिवारी जी ने तो बताया ही होगा। 180 ले रहे हैं। मतलब 1 लाख 80 हजार। 50 हजार टोकन और बाकी जब लेटर देंगे तब। अरुण तिवारी ने हमें कंपनी के अन्य कर्मचारी आनंद पांडेय से भी मिलवाया। आनंद पांडेय ने कहा कि कोई नहीं करवा पाएगा। हम दूसरी लिस्ट में करवा देंगे। यहां आकर आप वॉट्सएप पर कॉल कीजिएगा। हम बाहर आ जाएंगे, गेट पर मिलने। आनंद पांडेय ने दावा किया था कि नीचे से लेकर विभाग के सचिव तक पैसा जाता है। एक्शन-1: भर्ती निरस्त
उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन के सहायक निदेशक एमके सिंह ने वर्ल्ड क्लास सर्विसेज को लेटर लिखकर इस भर्ती को निरस्त करने का आदेश दिया। उन्होंने लिखा कि दीनदयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल्य योजना (DDU-GKY) में विकास खंड कार्यक्रम प्रबंधक (बीपीएम) के 825 पदों की भर्ती में गड़बड़ी की शिकायत मिली है। इस भर्ती की समस्त कार्यवाहियां निरस्त करें। एक्शन-2: कंपनी ने अपने दो कर्मचारी हटाए
वर्ल्ड क्लास सर्विसेज कंपनी ने अपने कर्मचारी आनंद पांडेय और गार्ड अरुण तिवारी को नौकरी से बर्खास्त कर दिया। अरुण तिवारी ही कैंडिडेट्स को दलालों से मिलवाता था। फिर आगे की सेटिंग होती थी। अरुण तिवारी ने ही दलाल आशी को यूपी हेड बताकर रिपोर्टर से मिलवाया था। एक्शन-3: उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग की महिला कर्मचारी और टीम लीडर को हटाया
आउटसोर्सिंग नौकरियों में कौशल विकास मिशन के अलावा उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग में भी आउटसोर्स कर्मचारी भर्ती में इस तरह की गड़बड़ी का खुलासा भास्कर ने किया था। यहां एग्रीकल्चर डिपार्टमेंट में खुद को सॉफ्टवेयर इंजीनियर बताने वाली प्रीति साहू ने 55 पद पर कंप्यूटर ऑपरेटर के रिक्त पदों पर भर्ती के बदले रुपए मांगे थे। उसने दावा किया था कि 5 सैलरी लगेंगी। 4 विभाग में जाएगी, एक मैं रखूंगी। प्रीति ने दावा किया कि उसकी पहुंच आउटसोर्स कंपनियों और विभागों में है। उसने लखनऊ विकास प्राधिकरण में सिविल इंजीनियर और राज्य सड़क परिवहन निगम में डिपो मैनेजर की पोस्ट पर नौकरी दिलाने का ऑफर दिया। इसके लिए साढ़े 5 लाख रुपए तक मांगे। इस मामले में यूपी माइक्रो इरीगेशन प्रोजेक्ट (UPMIP) में आउटसोर्स कर्मचारी प्रीति साहू को विभाग ने दोषी पाया। प्रीति साहू को निलंबित कर दिया गया। विभाग के टीम लीडर के पद पर कार्यरत योगेश कुमार को भी दोषी पाए जाने पर निलंबित किया गया है। —————————— ये खबर भी पढ़ें…
UP में 2-3 लाख में बिक रहीं सरकारी नौकरियां यूपी के सरकारी विभागों में नौकरियां बेची जा रही हैं। 5 से 6 महीने की सैलरी, या 2 से 3 लाख रुपए देने के बाद ही नियुक्ति दी जा रही है। कमाई वाली पोस्ट के लिए साढ़े 5 लाख रुपए तक मांगे जा रहे हैं। आउटसोर्सिंग कंपनियां दलाल और कर्मचारियों से मिलकर यह काम कर रही हैं। पूरी खबर पढ़ें… यूपी के सरकारी विभागों में आउटसोर्स नौकरियां बेचे जाने में बड़ी कार्रवाई हुई है। यह खुलासा दैनिक भास्कर की इन्वेस्टिगेशन में हुआ। कौशल विकास मिशन में ब्लॉक के 825 पदों पर निकली भर्तियों को निरस्त कर दिया गया है। भर्ती कराने के लिए रिश्वत मांगने वाले 2 कर्मचारियों को कंपनी ने हटा दिया है। वहीं, उद्यान विभाग की महिला कर्मचारी समेत टीम लीडर को निलंबित कर दिया है। सरकारी नौकरियां आउटसोर्स कंपनी के कर्मचारी और दलाल मिलकर बेच रहे हैं। इसके लिए 5 से 6 महीने की सैलरी, या 2 से 3 लाख रुपए देने के बाद ही नियुक्ति दी जा रही है। कमाई वाली पोस्ट के लिए साढ़े 5 लाख रुपए तक मांगे जा रहे हैं। इस दौरान दैनिक भास्कर के हिडन कैमरा पर आउटसोर्स कंपनियों के कर्मचारियों, उनके लिए काम कर रहे दलाल ने पैसे लेकर नौकरी देने की बात कबूल की थी। कर्मचारी-दलालों ने रुपए देने के बाद नौकरी की पूरी गारंटी दी थी। जानिए भास्कर के इन्वेस्टिगेशन में क्या निकला था, फिर सरकार के 3 एक्शन
कौशल विकास मिशन के दीनदयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल्य योजना (DDU-GKY) में विकास खंड कार्यक्रम प्रबंधक (बीपीएम) के 825 पदों पर भर्ती निकली थी। इसकी सैलरी 23 हजार 500 रुपए थी। इस आउटसोर्स पोस्ट की वैकेंसी वर्ल्ड क्लास सर्विसेज ने निकाली थी। हमें एक कैंडिडेट से इनपुट मिला था कि उससे एक लाख 80 हजार रुपए मांगे जा रहे हैं। हमने लखनऊ के गोमतीनगर स्थित वर्ल्ड क्लास सर्विसेज के दफ्तर से इन्वेस्टिगेशन शुरू किया। हमें कंपनी के गेट के पास खड़ा गार्ड अरुण तिवारी मिला था। उससे भर्ती की बात की। हमने पूछा कि कैसे काम होगा? उसने कहा- काम तो हो जाएगा, दिक्कत नहीं है। जब हमने सवाल किया कि कितना देना पड़ेगा, तो उसने कहा कि यहां पर कोई 9 सैलरी बता रहा, कोई 10 बता रहा। मैं अंदर से क्लियर करके बताऊंगा। पढ़िए हिडन कैमरे पर अरुण तिवारी के दावे… कंपनी के दफ्तर से निकलकर दलाल ने खुद काे UP हेड बताया
गार्ड अरुण तिवारी ने कहा- मैं आपको ऐसे आदमी से सेट करा दूंगा। आपका काम तो होना ही होना है। गार्ड ने ऑफिस बंद होने के बाद फोन करने को कहा। कहा- आपको शाम को बता दूंगा। लोग दो-दो लाख रुपए दे रहे हैं। शाम को गार्ड की वॉट्सऐप कॉल आती है। वह मैनेजर से मिलवाने की बात कहता है। हम वर्ल्ड क्लास सर्विसेज लिमिटेड के ऑफिस पहुंचे। दफ्तर के अंदर से एक युवक निकलकर आया। गार्ड तिवारी ने हमारी मुलाकात खुद को कंपनी का UP हेड बताने वाले आशी से करवाई। हमने आशी से 3 कैंडिडेट्स को भर्ती कराने के लिए कहा। साथ ही रिश्वत की रकम कुछ कम करने का आग्रह किया। आशी ने कहा- कल तो लास्ट डे है। अभी पहली लिस्ट कर रहे हैं। बच्चों को बोला भी गया है कि हम मंगलवार तक लेटर प्रोवाइड करा देंगे। उसके बाद सेकेंड लिस्ट ओपन करेंगे। तीन लिस्ट खुलनी हैं। अभी 2 लिस्ट बाकी हैं। आपने फॉर्म भरा है तो आपके कैंडिडेट का नाम आ ही जाएगा। भर्ती के लिए कितना देना होगा? इस सवाल पर आशी कहता है- आपको तिवारी जी ने तो बताया ही होगा। 180 ले रहे हैं। मतलब 1 लाख 80 हजार। 50 हजार टोकन और बाकी जब लेटर देंगे तब। अरुण तिवारी ने हमें कंपनी के अन्य कर्मचारी आनंद पांडेय से भी मिलवाया। आनंद पांडेय ने कहा कि कोई नहीं करवा पाएगा। हम दूसरी लिस्ट में करवा देंगे। यहां आकर आप वॉट्सएप पर कॉल कीजिएगा। हम बाहर आ जाएंगे, गेट पर मिलने। आनंद पांडेय ने दावा किया था कि नीचे से लेकर विभाग के सचिव तक पैसा जाता है। एक्शन-1: भर्ती निरस्त
उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन के सहायक निदेशक एमके सिंह ने वर्ल्ड क्लास सर्विसेज को लेटर लिखकर इस भर्ती को निरस्त करने का आदेश दिया। उन्होंने लिखा कि दीनदयाल उपाध्याय ग्रामीण कौशल्य योजना (DDU-GKY) में विकास खंड कार्यक्रम प्रबंधक (बीपीएम) के 825 पदों की भर्ती में गड़बड़ी की शिकायत मिली है। इस भर्ती की समस्त कार्यवाहियां निरस्त करें। एक्शन-2: कंपनी ने अपने दो कर्मचारी हटाए
वर्ल्ड क्लास सर्विसेज कंपनी ने अपने कर्मचारी आनंद पांडेय और गार्ड अरुण तिवारी को नौकरी से बर्खास्त कर दिया। अरुण तिवारी ही कैंडिडेट्स को दलालों से मिलवाता था। फिर आगे की सेटिंग होती थी। अरुण तिवारी ने ही दलाल आशी को यूपी हेड बताकर रिपोर्टर से मिलवाया था। एक्शन-3: उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग की महिला कर्मचारी और टीम लीडर को हटाया
आउटसोर्सिंग नौकरियों में कौशल विकास मिशन के अलावा उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग में भी आउटसोर्स कर्मचारी भर्ती में इस तरह की गड़बड़ी का खुलासा भास्कर ने किया था। यहां एग्रीकल्चर डिपार्टमेंट में खुद को सॉफ्टवेयर इंजीनियर बताने वाली प्रीति साहू ने 55 पद पर कंप्यूटर ऑपरेटर के रिक्त पदों पर भर्ती के बदले रुपए मांगे थे। उसने दावा किया था कि 5 सैलरी लगेंगी। 4 विभाग में जाएगी, एक मैं रखूंगी। प्रीति ने दावा किया कि उसकी पहुंच आउटसोर्स कंपनियों और विभागों में है। उसने लखनऊ विकास प्राधिकरण में सिविल इंजीनियर और राज्य सड़क परिवहन निगम में डिपो मैनेजर की पोस्ट पर नौकरी दिलाने का ऑफर दिया। इसके लिए साढ़े 5 लाख रुपए तक मांगे। इस मामले में यूपी माइक्रो इरीगेशन प्रोजेक्ट (UPMIP) में आउटसोर्स कर्मचारी प्रीति साहू को विभाग ने दोषी पाया। प्रीति साहू को निलंबित कर दिया गया। विभाग के टीम लीडर के पद पर कार्यरत योगेश कुमार को भी दोषी पाए जाने पर निलंबित किया गया है। —————————— ये खबर भी पढ़ें…
UP में 2-3 लाख में बिक रहीं सरकारी नौकरियां यूपी के सरकारी विभागों में नौकरियां बेची जा रही हैं। 5 से 6 महीने की सैलरी, या 2 से 3 लाख रुपए देने के बाद ही नियुक्ति दी जा रही है। कमाई वाली पोस्ट के लिए साढ़े 5 लाख रुपए तक मांगे जा रहे हैं। आउटसोर्सिंग कंपनियां दलाल और कर्मचारियों से मिलकर यह काम कर रही हैं। पूरी खबर पढ़ें…   उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर