अम्बाला | बीसी बाजार निवासी दलीप कुमार ने जीआरपी थाने में चोरी का केस दर्ज करवाया। शिकायत में दलीप ने बताया कि वह कैंट रेलवे स्टेशन पर काम करता है। 16 जुलाई की रात वह ड्यूटी गया और 17 जुलाई की सुबह करीब साढ़े 8 बजे ड्यूटी खत्म कर वापस जाने लगा तो उसकी बाइक चोरी हो चुकी थी। उसने अपनी बाइक को स्टेशन पर पंजाब नेशनल बैंक के बाहर खड़ा किया था। अम्बाला | बीसी बाजार निवासी दलीप कुमार ने जीआरपी थाने में चोरी का केस दर्ज करवाया। शिकायत में दलीप ने बताया कि वह कैंट रेलवे स्टेशन पर काम करता है। 16 जुलाई की रात वह ड्यूटी गया और 17 जुलाई की सुबह करीब साढ़े 8 बजे ड्यूटी खत्म कर वापस जाने लगा तो उसकी बाइक चोरी हो चुकी थी। उसने अपनी बाइक को स्टेशन पर पंजाब नेशनल बैंक के बाहर खड़ा किया था। हरियाणा | दैनिक भास्कर
Related Posts

इस्लामुद्दीन से प्रॉपर्टी के फर्जी दस्तावेज की फोटो कॉपी बरामद
इस्लामुद्दीन से प्रॉपर्टी के फर्जी दस्तावेज की फोटो कॉपी बरामद भास्कर न्यूज | यमुनानगर प्रोफेसर कॉलोनी के मकान नंबर 356 के मामले में प्रोडक्शन रिमांड पर चल रहे उर्दू अनुवादक इस्लामुद्दीन उर्फ इस्लाम की मंगलवार को तीन दिन की रिमांड पूरी हो गई थी। पुलिस ने और पूछताछ में इसके गिरोह के एक दर्जन अन्य साथियों की डिटेल व प्रॉपर्टी के तैयार किए गए फर्जी कागजात की असल कॉपी बरामद करनी है, क्योंकि आरोपी ने अब तक इन दस्तावेजों की फोटो कॉपी ही बरामद कराई है। कोर्ट ने आरोपी का दो दिन का प्रोडक्शन रिमांड बढ़ा दिया है। प्रोफेसर कॉलोनी वाले मकान मालिक गोपाल कृष्ण द्वारा कोर्ट में याचिका लगाए जाने के बाद पुन: थाना यमुनानगर शहर पुलिस पिछले साल के क्राइम नंबर 781 में एक्टिव हुई थी। पुलिस ने अदालत में पिछले की महीने 22 तारीख को दिल्ली की रहने वाली परमजीत कौर को प्रोडक्शन रिमांड पर लिया था, जिसने पूछताछ में कई खुलासे किए और बताया कि इस्लामुद्दीन के साथ मिलकर दस्तावेज तैयार कराए गए और 50 लाख में गोपाल कृष्ण का मकान बेच दिया गया था। इसका भेद भी तब खुला था जब मकान को खरीदने वाले कब्जा लेने के लिए पहुंचे थे। परमजीत के बाद अब जांच अधिकारी एसएचओ जगदीश चंद्र ने जेल में बंद इस्लामुद्दीन को रविवार को तीन दिन के प्रोडक्शन रिमांड पर लिया, जिससे पूछताछ की। पूछताछ में इस्लामुद्दीन ने इस केस से जुड़े कुछ दस्तावेजों के गोरखपुर में होना बताया तो रविवार रात ही पुलिस टीम इस्लामुद्दीन को लेकर गोरखपुर पहुंच गई। वहां से मंगलवार सुबह तक लौट कर आई है। आरोपी की दो दिन की बढ़वाई गई रिमांड: एसएचओ एसएचओ ने बताया कि इस्लामुद्दीन की निशानदेही पर उक्त मकान के तैयार किए गए फर्जी दस्तावेजों की फोटो कॉपी बरामद हुई है, जबकि असल कॉपी अभी बरामद नहीं हो पाई है। साथ ही पूछताछ में इस्लामुद्दीन ने इस प्रॉपर्टी के फर्जीवाड़े में एक दर्जन साथियों के साथ होने की बात कही है लेकिन अब तक उनका पूरा नाम-पता नहीं बताया है। दो दिन की बढ़वाई गई रिमांड पर इन सब सवालों के जवाब इस्लामुद्दीन से पूछे जाएंगे।

दादरी बिना लाइसेंस के चल रहे क्लिनिक पर छापा:सीएम फ्लाइंग और स्वास्थ्य विभाग ने की रेड, पुलिस को दी शिकायत
दादरी बिना लाइसेंस के चल रहे क्लिनिक पर छापा:सीएम फ्लाइंग और स्वास्थ्य विभाग ने की रेड, पुलिस को दी शिकायत रोहतक इकाई सीएम फ्लाइंग टीम ने चरखी दादरी शहर में रोहतक चौक के समीप गुड्डी क्लिनिक पर छापा मारा। जहां क्लिनिक बिना लाइसेंस के चलाए जाने पर कार्रवाई की गई है। इस संबंध में केस दर्ज करवाने के लिए पुलिस को भी लिखित में शिकायत दी गई है। जिसके आधार पर आगामी कार्रवाई की जाएगी। पुलिस भी पहुंची मौके पर
बता दे कि चरखी दादरी के रोहतक चौक स्थित गुड्डी क्लिनिक की शिकायत मिलने पर रोहक इकाई सीएम फ्लाइंग टीम ने स्वास्थ्य विभाग की टीम के साथ वीरवार साय क्लिनिक पर रेड की। टीम ने क्लिनिक संचालक से लाइसेंस व दूसरे दस्तावेज मांगे तो नहीं मिले। जिसके बाद स्थानीय पुलिस टीम को भी मौके पर बुलाया गया। चरखी दादरी सिविल अस्पताल से डा.संदीप कुमार,सीएम फ्लांइग टीम ने एसआई सुमन की अगुआई में मौके पर मौजूद दस्तावेज व दवाई भी जब्त कर सील की गई।
पुलिस को दी शिकायत
रेड के दौरान स्थानीय पुलिस को सूचना दी गई। जिसके बाद बस स्टैंड चौकी इंचार्ज एएसआई प्रदीप की अगुआई में टीम भी मौके पर पहुंची। चिकित्सा अधिकारी डा.संदीप ने इस संबंध में कार्रवाई करवाने के लिए पुलिस को लिखित शिकायत देकर कार्रवाई की मांग की गई है।
अस्पताल में करवाई जाती थी डिलीवरी
टीम सदस्यों ने बताया कि क्लिनिक का ना ही लाइसेंस था और ना ही कोई डिग्री चिकित्सक यहां मौजूद था। इसके बावजूद यहां डिलीवरी भी करवाई जाती थी। इसके अलावा दूसरे मरीजों को भी एडमिट कर इलाज किया जाता था। आज भी प्रयोग किए गए सीरिंज व दवाई की खाली शीशी टीम को वहां मिली है। प्राप्त जानकारी के अनुसार यह क्लीनिक बीते कई वर्षों से चलाया जा रहा है और संचालक पर पहले भी केस दर्ज हो चुका है। कार्रवाई की जाएगी:चौकी प्रभारी
चरखी दादरी बस स्टैंड चौकी प्रभारी एएसआई प्रदीप ने बताया कि सिविल अस्पताल के चिकित्सा अधिकारी डा. संदीप ने लिखित में शिकायत दी है। मामले में संबंधित आगामी कार्रवाई की जाएगी।

हरियाणा को मिला UP कैडर का एक आईएएस:इंटर-कैडर से ट्रांसफर हुए उत्सव आनंद; पत्नी अंजलि श्रोत्रिय भी IAS, दोनों एक ही बैच के
हरियाणा को मिला UP कैडर का एक आईएएस:इंटर-कैडर से ट्रांसफर हुए उत्सव आनंद; पत्नी अंजलि श्रोत्रिय भी IAS, दोनों एक ही बैच के हरियाणा को उत्तर प्रदेश (UP) कैडर का एक आईएएस मिल गया है। हालांकि इस अधिकारी का न तो हरियाणा सिविल सेवा (HCS) कोटे से प्रमोशन हुआ और न ही गैर-राज्य सिविल सेवा (नॉन-SCS) वर्ग से आईएएस में चयन हुआ है। 2022 बैच के आईएएस अधिकारी उत्सव आनंद हरियाणा कैडर की 2022 बैच की महिला आईएएस अधिकारी अंजलि श्रोत्रिय से विवाह के कारण उत्तर प्रदेश कैडर से हरियाणा कैडर में इंटर-कैडर (एक प्रदेश कैडर से दूसरे राज्य कैडर में) ट्रांसफर किया गया है। 15 जनवरी 2025 को ही केंद्र सरकार के कार्मिक एवं प्रशिक्षण विभाग द्वारा इस आशय का आदेश जारी किया गया है। उत्सव झारखंड-अंजलि एमपी की रहने वाली पंजाब एवं हाईकोर्ट के एडवोकेट हेमंत कुमार ने बताया कि इसी माह जारी हुए आदेश में लिखा है कि, आईएएस कैडर नियम, 1954 के नियम 5 (2) के अंतर्गत एवं उत्तर प्रदेश और हरियाणा की प्रदेश सरकार की सहमति से उत्सव आनंद आईएएस का हरियाणा कैडर की आईएएस अंजलि श्रोत्रिय से विवाह कारण उत्तर प्रदेश कैडर से हरियाणा कैडर में ट्रांसफर किया जाता है। उत्सव मूल रूप से झारखंड से हैं, जबकि अंजलि मध्य प्रदेश की मूल निवासी हैं। अंजलि श्रोत्रिय वर्तमान में सोनीपत में गोहाना में तैनात है। ऐसे और भी हो चुके इंटर स्टेट ट्रांसफर 1. हरियाणा में हालिया वर्षो में ऐसे अन्य मामलों के बारे में हेमंत ने केंद्र सरकार से आरटीआई मार्फत जानकारी प्राप्त कर बताया कि सितंबर 2023 में इसी प्रकार त्रिपुरा कैडर के आईएएस राहुल मोदी का हरियाणा कैडर की आईपीएस दीप्ति गर्ग से विवाह कारण त्रिपुरा कैडर से हरियाणा कैडर में ट्रांसफर किया गया है। राहुल मोदी मूल रूप से राजस्थान से हैं जबकि दीप्ति हरियाणा की ही मूल निवासी है। 2. अप्रैल 2023 में आंध्र प्रदेश कैडर 2018 बैच की महिला आईएएस अधिकारी अनुपमा अंजलि का हरियाणा कैडर के 2020 बैच के एक आईएएस हर्षित कुमार से विवाह कारण आंध्र प्रदेश कैडर से हरियाणा कैडर में इंटर-कैडर ट्रांसफर किया गया था। 3. नवंबर 2022 में रेनू सोगन, 2019 बैच की पश्चिम बंगाल कैडर की आईएएस का हरियाणा कैडर के 2019 बैच के ही एक आईएएस हितेश मीणा से विवाह कारण पश्चिम बंगाल कैडर से हरियाणा कैडर में ट्रांसफर किया गया था। हितेश और रेनू दोनों मूल रूप से राजस्थान से हैं। 4. उससे पूर्व फरवरी 2022 में 2019 बैच के एक आईएएस अधिकारी डॉ. बलप्रीत सिंह का हरियाणा कैडर की 2017 बैच की महिला आईपीएस उपासना से विवाह कारण केरल कैडर से हरियाणा कैडर में इंटर-कैडर ट्रांसफर किया गया है। बलप्रीत का गृह राज्य पंजाब है, जबकि उपासना हरियाणा की मूल निवासी हैं। 5. अक्टूबर 2021 में 2015 बैच के असम-मेघालय कैडर के आईएएस शांतनु शर्मा का हरियाणा कैडर की 2020 बैच की महिला आईएएस सी जयशरधा से विवाह कारण असम-मेघालय कैडर से हरियाणा कैडर में ट्रांसफर किया गया था। शांतनु मूल रूप से झारखंड के निवासी है, जबकि जयशरधा तमिलनाडु से हैं। इस नियम के तहत मिलता है अधिकारियों को लाभ हेमंत ने बताया कि अखिल भारतीय सेवा अधिकारियों को आवंटित प्रदेश कैडर में परिवर्तन संबंधी केंद्र सरकार द्वारा बनाए गए एवं मौजूदा लागू दिशा-निर्देशों के अनुसार आईएएस, आईपीएस और आईएफएस (भारतीय वन सेवा) अधिकारियों द्वारा आपस में विवाह करने के फलस्वरूप संबंधित अधिकारी को मूल तौर पर आवंटित प्रदेश कैडर में बदलाव, परिवर्तन किया जा सकता है। उस अधिकारी को उसकी पत्नी या उसके पति को आवंटित प्रदेश कैडर में स्थायी तौर पर केंद्र सरकार द्वारा ट्रांसफर किया जा सकता है जिसे इंटर-कैडर ट्रांसफर कहा जाता है। ये भी है एक नियम विवाह के फलस्वरूप आईएएस-आईपीएस-आईएफएस कैडर में परिवर्तन करते समय संबंधित सेवा के अधिकारी का उसके अपने गृह राज्य में ट्रांसफर नहीं किया जा सकता है। मसलन, अगर कोई पुरुष आईएएस, आईपीएस, आईएफएस अधिकारी हरियाणा का मूल निवासी है। उसे कर्नाटक कैडर आवंटन किया गया है तो वह हरियाणा कैडर की महिला आईएएस, आईपीएस, आईएफएस अधिकारी के साथ विवाह कर वापस अपने गृह राज्य हरियाणा में ट्रांसफर नहीं हो सकता है। हालांकि अगर दोनों पति-पत्नी चाहें तो केंद्र सरकार उन्हें कोई तीसरा राज्य कैडर आवंटित कर सकती है।