हरियाणा के रेवाड़ी जिले के गांव गढ़ी अलावलपुर स्थित शिव मंदिर में चोरी हो गई। चोर मंदिर का दानपात्र चुरा ले गए, जिसमें करीब 40 हजार रुपये नकद थे। सुबह जब ग्रामीणों को चोरी का पता चला तो उन्होंने आसपास तलाश की। इस दौरान खेत से टूटा हुआ दानपात्र बरामद हुआ। प्राप्त जानकारी के अनुसार गांव गढ़ी अलावलपुर निवासी आजाद सिंह ने सेक्टर-6 थाने में एफआईआर दर्ज कराई है। वह अपने गांव के शिव मंदिर की कमेटी में कैशियर का काम करता है। बीती रात उसके मंदिर में चोरी हो गई। सुबह जब श्रद्धालु पूजा करने मंदिर पहुंचे तो दानपात्र गायब मिला। खेत में पड़ा मिला दानपात्र इसकी सूचना तुरंत मंदिर कमेटी को दी गई। सूचना के बाद कमेटी सदस्यों के अलावा ग्रामीण भी मंदिर में एकत्रित हो गए। आसपास के क्षेत्र में तलाश की गई। तभी एक खेत में खाली टूटा हुआ दानपात्र पड़ा मिला। इससे आशंका जताई जा रही है कि चोर दानपात्र चुराकर यहां से नकदी निकाल ले गए। आजाद सिंह के अनुसार वह हर साल जन्माष्टमी पर दानपात्र खोलते हैं। चोरी का मामला दर्ज इस तरह करीब 40 हजार रुपये नकद मिले। दानपात्र में अभी भी करीब 40 हजार रुपये नकद थे। सूचना के बाद सेक्टर-6 थाना पुलिस मौके पर पहुंची और चोरी का मामला दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। हरियाणा के रेवाड़ी जिले के गांव गढ़ी अलावलपुर स्थित शिव मंदिर में चोरी हो गई। चोर मंदिर का दानपात्र चुरा ले गए, जिसमें करीब 40 हजार रुपये नकद थे। सुबह जब ग्रामीणों को चोरी का पता चला तो उन्होंने आसपास तलाश की। इस दौरान खेत से टूटा हुआ दानपात्र बरामद हुआ। प्राप्त जानकारी के अनुसार गांव गढ़ी अलावलपुर निवासी आजाद सिंह ने सेक्टर-6 थाने में एफआईआर दर्ज कराई है। वह अपने गांव के शिव मंदिर की कमेटी में कैशियर का काम करता है। बीती रात उसके मंदिर में चोरी हो गई। सुबह जब श्रद्धालु पूजा करने मंदिर पहुंचे तो दानपात्र गायब मिला। खेत में पड़ा मिला दानपात्र इसकी सूचना तुरंत मंदिर कमेटी को दी गई। सूचना के बाद कमेटी सदस्यों के अलावा ग्रामीण भी मंदिर में एकत्रित हो गए। आसपास के क्षेत्र में तलाश की गई। तभी एक खेत में खाली टूटा हुआ दानपात्र पड़ा मिला। इससे आशंका जताई जा रही है कि चोर दानपात्र चुराकर यहां से नकदी निकाल ले गए। आजाद सिंह के अनुसार वह हर साल जन्माष्टमी पर दानपात्र खोलते हैं। चोरी का मामला दर्ज इस तरह करीब 40 हजार रुपये नकद मिले। दानपात्र में अभी भी करीब 40 हजार रुपये नकद थे। सूचना के बाद सेक्टर-6 थाना पुलिस मौके पर पहुंची और चोरी का मामला दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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यमुनानगर में मां-बेटे की हत्या:बेटी के घर लौटने पर पता चला, घर के कमरे में पडे़ मिले शव, सामान बिखरा मिला
यमुनानगर में मां-बेटे की हत्या:बेटी के घर लौटने पर पता चला, घर के कमरे में पडे़ मिले शव, सामान बिखरा मिला यमुनानगर के आजाद नगर की गली नंबर 2 में मां- बेटे की हत्या कर दी गई। घर में कमरे के भीतर दोनों के शव पड़े मिले। 45 वर्षीय मीना और उसके 23 वर्षीय बेटे राहुल का शव आज शाम घर में पड़ा मिला। मृतक महिला की बेटी काजल प्यारा चौक पर मोबाइल की दुकान में काम करती है। वह घर लौटी तो उसने दोनों के शव कमरे के अंदर पड़े देखा। सूचना मिलते ही थाना शहरी यमुनानगर पुलिस, डीएसपी अभिलाष जोशी, थाना प्रभारी जगदीश चंद्र व सीआईए की टीम में मौके पर पहुंची। घर के अंदर सामान बिखरा हुआ था, जिसे देखकर आशंका जाताई जा रही है कि लूट के इरादे से मां-बेटे की हत्या की गई है। वहीं हैरान कर देने वाली बात यह है कि जिस घर में हत्या हुई है, वह गली के बीचों बीच है और आबादी वाला एरिया है। किसी ने भी मां बेटे के चीखने चिल्लाने का शोर नहीं सुना। पुलिस मामले की जांच कर रही है। डीएसपी अभिलाष जोशी ने बताया कि उनको थाने के माध्यम से सूचना मिली थी कि आजाद नगर में एक मकान में चोरी हुई है और दो डेड बॉडी पड़ी हुई है। जिसकी सूचना मिलते ही सीआईए की टीमें, फॉरेंसिक टीम व अन्य कई जांच टीम मौके पर पहुंची है। उन्होंने कहा कि प्राथमिक जांच के आधार पर मर्डर की आशंका जताई जा रही है। डीएसपी ने बताया कि पूरे मामले को हर एंगल से ट्रेस किया जा रहा है। सभी टीमें जांच में जुटी हुई है। आसपास लोगों से पूछताछ की जा रही है। इसके साथ-साथ जो भी तथ्य होंगे उनको जुटाकर जो भी बात सामने आएगी, उसके आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। पुलिस ने दोनों शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है।
हरियाणा के किसान नेता को धमकी:बोला- तुमने किसानों का ठेका ले रखा क्या, विरोध बंद करो वर्ना तुम्हारी लाश तक नहीं मिलेगी
हरियाणा के किसान नेता को धमकी:बोला- तुमने किसानों का ठेका ले रखा क्या, विरोध बंद करो वर्ना तुम्हारी लाश तक नहीं मिलेगी हरियाणा में किसान नेता को जान से मारने की धमकी मिली है। उन्हें फोन कर धमकाया गया कि नकली खाद-बीज और पेस्टिसाइड का विरोध करना बंद कर दो वर्ना तुम्हारी लाश तक नहीं मिलने देंगे। फोन पर धमकी मिलने के बाद सिरसा के रहने वाले भारतीय किसान एकता संगठन के प्रदेश अध्यक्ष लखविंदर सिंह ने पुलिस को शिकायत दी है। पुलिस ने धमकी देने के लिए इस्तेमाल नंबर के जरिए आरोपी के बारे में जांच शुरू कर दी है। किसान नेता लखविंदर सिंह का कहना है कि वह कई वर्षों से किसान और मजदूरों के लिए संघर्ष कर रहे हैं। वह ‘भारतीय किसान एकता संगठन’ एक मुहिम के तहत किसानों को नकली व एक्सपायरी कीड़े मार दवाइयां, खाद व बीज बेचने वाले लोगों पर कार्रवाई करवा रहे हैं। उन्हें शक है कि जिन फर्जी फर्मों के खिलाफ उन्होंने कार्रवाई कराई, वह इसके पीछे हो सकते हैं। किसान नेता को फोन पर दी गई धमकी
किसान नेता ने बताया कि 23 अगस्त की रात 10 बजकर 23 मिनट पर उसे एक अज्ञात व्यक्ति ने कॉल किया और धमकी दी। कॉल पर अज्ञात व्यक्ति ने किसान नेता से कहा की- “किसानों के साथ हो रही ठगी का तुमने ठेका ले रखा है क्या, तुम जो कार्रवाई कर रहे हो उसे तुरंत बंद करो, नहीं तो फिर तुम अंजाम भुगतने के लिए तैयार रहो।” एक नंबर ब्लॉक किया तो दूसरे से फिर किया कॉल
धमकी मिलने पर किसान नेता ने फोन काट दिया तो आरोपी ने फिर से फोन किया और किसान नेता को फिर से धमकाने और डराने का प्रयास किया। लगातार आ रही कॉल से जब किसान नेता ने उस नंबर को ब्लॉक कर दिया तो शातिर आरोपी ने फिर नंबर बदलकर किसान नेता को फोन किया और कहा कि- “हमारे पास ऐसे आदमी हैं जो तुम्हारी लाश तक नहीं मिलने देंगे।” किसान नेता ने कहा- ‘अनहोनी हुई तो अज्ञात शख्स होगा जिम्मेदार’
फोन पर धमकी मिलने से परेशान किसान नेता ने पुलिस से मदद की गुहार लगाई है। किसान नेता ने पुलिस से मांग की है कि आरोपी शख्स पर तुरंत कार्रवाई कर उसे गिरफ्तार किया जाए। इसके साथ ही किसान नेता ने कहा कि- “अगर भविष्य में मेरे साथ किसी भी तरह की अनहोनी होती है तो इसकी जिम्मेदारी उक्त अज्ञात शख्स की ही होगी।” ‘फर्जी फ़र्मो की हो सकती है शरारत’
मिली जानकारी के अनुसार किसान नेता को शक है कि उनको धमकी उन्हीं लोगों ने दी है जिन पर कृषि विभाग ने कार्रवाई की है। किसान नेता ने बताया कि भारतीय किसान एकता संगठन लगातार किसानों के हितों में काम कर रहा है लेकिन कुछ लोग संगठन के काम से नाखुश हैं क्योंकि संगठन ने कई फर्जी लोगों की दुकानों को बंद कराने में अहम भूमिका अदा की है। इस दौरान किसान नेता लखविंदर सिंह ने बताया कि इन्हीं नाखुश लोगों में से किसी ने उन्हें धमकी देकर किसानों के हित में काम करने से रोकने का असफल प्रयास किया है। कई फर्जी दुकानों को बंद करवा चुका है लखविंदर
किसान नेता ने कहा कि भारतीय किसान एकता संगठन के तहत चलाई जा रही मुहिम के जरिए उन्होंने कई फर्जी दुकानों पर कार्रवाई करवाई है। हाल ही में सिरसा, फतेहाबाद और हिसार की कई दुकानों पर लखविंदर सिंह के कारण कृषि विभाग ने छापेमारी की है। साथ ही विभाग ने दोषी फ़र्मो के लाइसेंस भी रद्द किए हैं। अकाली दल का समर्थक रहा है लखविंदर
किसानों के हित में काम करने वाला किसान नेता लखविंदर बीजेपी और कांग्रेस नहीं बल्कि अकाली दल के समर्थक रहे हैं। 2019 में इन्हें अकाली दल ने सिरसा जिला अध्यक्ष भी नियुक्त किया था। किसान आंदोलन के दौरान भी लखविंदर सिंह काफी एक्टिव थे जिस वजह से सिरसा जिले में वह काफी मशहूर भी हो गए थे।
हरियाणा विधानसभा के नए अध्यक्ष हरविंदर कल्याण:MLA बन पिता का सपना पूरा किया; कांग्रेस ने टिकट काटी, बसपा से हारे, BJP से हैट्रिक लगाई
हरियाणा विधानसभा के नए अध्यक्ष हरविंदर कल्याण:MLA बन पिता का सपना पूरा किया; कांग्रेस ने टिकट काटी, बसपा से हारे, BJP से हैट्रिक लगाई करनाल के घरौंडा से BJP विधायक हरविंदर कल्याण हरियाणा विधानसभा के नए अध्यक्ष बन गए हैं। शुक्रवार को CM नायब सैनी ने उनके नाम का प्रस्ताव रखा। जिसे सर्वसम्मति से पास कर दिया गया। कल्याण विधानसभा के 18वें अध्यक्ष होंगे। कल्याण लगातार तीसरी बार चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे हैं। उनकी जीत के बाद से ही उनके सरकार में शामिल होने की चर्चा थी, लेकिन मंत्रिमंडल गठन में उनका नाम नहीं आया। जिसके बाद उन्हें अध्यक्ष बनाने की चर्चा तेज हो गई और आखिरकार पार्टी हाईकमान ने उन्हें अध्यक्ष बनाने का फैसला ले लिया। कल्याण के पिता ने भी लोकसभा और विधानसभा चुनाव लड़े लेकिन जीत नहीं पाए। उनकी विधानसभा पहुंचने की इच्छा कल्याण ने ही पूरी की। कांग्रेस में रहते उनकी टिकट काट दी गई थी। बसपा से वह चुनाव हार गए लेकिन भाजपा में आते ही जीत की हैट्रिक लगा दी। पूर्व CM मनोहर लाल के करीबी हरविंदर कल्याण केंद्रीय मंत्री एवं पूर्व सीएम मनोहर लाल के करीबी माने जाते हैं। पूर्व सीएम के कार्यकाल में उन्होंने अपने क्षेत्र में अच्छे विकास कार्य कराए हैं। पूर्व सीएम मनोहर लाल जब भी करनाल आते हैं तो कल्याण से जरूर मिलते हैं। कई बार मनोहर लाल उनके आवास पर आते हैं। खट्टर के सीएम रहते कल्याण ने अपने विधानसभा क्षेत्र में पंडित दीनदयाल उपाध्याय विश्वविद्यालय बनवाया है। कल्याण को पार्टी ने कभी मंत्री नहीं बनाया, लेकिन उन्होंने कभी इसका विरोध भी नहीं किया। अपनी ईमानदार छवि और अपने क्षेत्र में करोड़ों रुपए के विकास कार्य करवाने के कारण कल्याण पूर्व सीएम की गुड लिस्ट में रहे हैं। कल्याण के बसपा छोड़कर भाजपा में शामिल होने के पीछे भी मनोहर लाल का ही हाथ है। हरियाणा गठन के एक साल बाद जन्म हुआ
हरविंदर कल्याण का जन्म हरियाणा गठन के एक साल बाद करनाल के मधुबन के कुटैल गांव के किसान परिवार में हुआ। किसान परिवार से आने वाले हरविंदर सिंह ने अपने राजनीतिक करियर में कई उतार-चढ़ाव देखे हैं। 18 साल की उम्र में कल्याण ने महाराष्ट्र के यवतमाल जिले के पुसाद में स्थित बाबासाहेब नाइक कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग से सिविल इंजीनियरिंग में ग्रेजुएशन की पढ़ाई शुरू की। उनकी पत्नी, रेशमा कल्याण, गृहिणी और लेखिका हैं। रेशमा के पिता मनोहर नाइक महाराष्ट्र विधानसभा में पुसद विधानसभा क्षेत्र से विधायक रह चुके हैं। 2004 में की थी गांव-गांव की पद यात्रा
वर्ष-2004 में हरविंदर कल्याण कांग्रेस में प्रदेश महासचिव के पद पर थे। 2005 में होने वाले विधानसभा चुनावों में कल्याण का नाम टिकट के प्रबल दावेदारों में शामिल था। इसी बीच लोगों से जुड़ने के लिए और गांवों के हालातों का जायजा लेने के लिए इन्होंने पदयात्रा शुरू की थी। हरविंदर कल्याण की यह पदयात्रा 18 दिन तक चली थी। 18 दिन तक वे घर से बाहर ही रहे थे। रात को ग्रामीणों के बीच ही रहा करते थे। उन्हीं के बीच खाते थे और उन्हीं के बीच सो जाते थे। इन्होंने अपनी यात्रा के दौरान गांव की प्रत्येक समस्या को जाना था और ग्रामीणों को भी आश्वस्त किया था कि अगर उन्हें विधानसभा का टिकट और जनता का आशीर्वाद मिलता है तो वे गांव की समस्याओं को जड़ से खत्म करने का काम करेंगे। मगर, 2005 के चुनाव में कांग्रेस ने उनकी जगह विरेंद्र सिंह राठौर को टिकट दे दिया था। पिता के सपने को साकार करने वाले बेटे हरिवंदर कल्याण
हरविंदर कल्याण के नजदीकियों की मानें तो हरविंदर के पिता देवी सिंह कल्याण राजनीति में गहरी रुचि रखते थे। उन्होंने राजनीति में किस्मत अजमाई। सांसद और विधायक के चुनाव भी लड़े, लेकिन कोई सफलता नहीं मिल पाई। हालांकि उन्हें हरियाणा एग्रो इंडस्ट्रीज कॉर्पोरेशन लिमिटेड में अध्यक्ष तो बनाया गया, लेकिन कहीं न कहीं विधानसभा या फिर संसद में पहुंचने का उनका सपना अधूरा रह गया। हरविंदर कल्याण अपने पिता के सपने को पूरा करने के लिए राजनीति के मैदान में कूद गए और अपनी कड़ी मेहनत के बल पर अपनी पहचान बनाई। 2005 में विधानसभा के टिकट के दावेदारों में शामिल हुए, लेकिन टिकट नहीं मिला। 2009 में कांग्रेस को छोड़ा और बहुजन समाज पार्टी में शामिल होकर बीएसपी की टिकट पर चुनाव लड़ा, लेकिन तीसरे स्थान पर रहे। 2014 में टर्निंग प्वाइंट आया और इन्होंने बीजेपी की टिकट पर चुनाव लड़ा और भारी मतों से जीत दर्ज की। इसके बाद इन्होंने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा। लगातार सफलता हासिल करते गए और आज स्पीकर के पद तक पहुंचे है। इन्होंने अपने पिता के सपने को साकार किया। हरविंदर कल्याण की एक बेटी, फाउंडेशन चलाती हैं
हरविंदर कल्याण और रेशमा कल्याण की एक बेटी है। जिसका नाम ऐषणा कल्याण है। ऐषणा की शादी मुंबई में हो चुकी है और उनके पति चंडीगढ़ में जॉब करते है। ऐषणा ने हाल ही में हुए विधानसभा चुनावों में डटकर मोर्चा संभाला और महिलाओं की एक बड़ी टीम खड़ी की। ऐषणा कल्याण अपना एक फाउंडेशन भी चलाती हैं, जिसका नाम वरित्रा फाउंडेशन है। जिसके माध्यम से वह समाज सेवा का कार्य करती हैं। यह खबर भी पढ़ें… कल्याण हरियाणा विधानसभा अध्यक्ष, मिड्ढा उपाध्यक्ष बने:सर्वसम्मति से चुने गए; हुड्डा बोले- विज-ढांडा को कसके रखना, सदन अच्छा चलेगा हरियाणा विधानसभा का नया अध्यक्ष हरविंदर कल्याण को चुना गया है। शुक्रवार को विधानसभा सत्र में CM नायब सैनी ने उनके नाम का प्रस्ताव रखा। इसके बाद CM ने हरविंदर कल्याण को गले मिलकर बधाई दी। CM ने कल्याण को कुर्सी पर बैठाया। वहीं विधानसभा उपाध्यक्ष (डिप्टी स्पीकर) डॉ. कृष्ण मिड्ढा को चुना गया। कैबिनेट मंत्री कृष्णलाल पंवार ने उनके नाम का प्रस्ताव रखा। (पूरे खबर पढ़ें)