हरियाणा के रोहतक में मंगलवार दोपहर को एक व्यक्ति ने गला रेतकर अपनी पत्नी की हत्या कर दी। आरोपी ने तेजधार हथियार से उसका गला काटा। इसके निशान पुलिस को लाश के गले पर मिले हैं। महिला का शव घर में खून से लथपथ पड़ा मिला। घटना की सूचना मिलने पर बहू अकबरपुर थाना पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस के साथ फोरेंसिक टीम भी पहुंची और मौके से साक्ष्य जमा किए। मृतका की पहचान गांव मदीना गिंधरान निवासी करीब 26 वर्षीय रेखा के रूप में हुई है। पुलिस की जांच में अब तक सामने आया है कि महिला की हत्या उसके पति ने की है। दोनों के बीच घरेलू कलह के कारण विवाद चल रहा था। इसी के चलते वारदात को अंजाम दिया गया। हरियाणा के रोहतक में मंगलवार दोपहर को एक व्यक्ति ने गला रेतकर अपनी पत्नी की हत्या कर दी। आरोपी ने तेजधार हथियार से उसका गला काटा। इसके निशान पुलिस को लाश के गले पर मिले हैं। महिला का शव घर में खून से लथपथ पड़ा मिला। घटना की सूचना मिलने पर बहू अकबरपुर थाना पुलिस मौके पर पहुंची। पुलिस के साथ फोरेंसिक टीम भी पहुंची और मौके से साक्ष्य जमा किए। मृतका की पहचान गांव मदीना गिंधरान निवासी करीब 26 वर्षीय रेखा के रूप में हुई है। पुलिस की जांच में अब तक सामने आया है कि महिला की हत्या उसके पति ने की है। दोनों के बीच घरेलू कलह के कारण विवाद चल रहा था। इसी के चलते वारदात को अंजाम दिया गया। हरियाणा | दैनिक भास्कर
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हरियाणा CM की जनसभा में कुर्सी पर विवाद:BJP के पूर्व MLA और चेयरमैन कार्यक्रम छोड़ लौटे; मुख्यमंत्री के साथ बैठना चाहते थे
हरियाणा CM की जनसभा में कुर्सी पर विवाद:BJP के पूर्व MLA और चेयरमैन कार्यक्रम छोड़ लौटे; मुख्यमंत्री के साथ बैठना चाहते थे हरियाणा के CM नायब सैनी गुरुवार को कैथल जिले के पूंडरी स्थित नई अनाज मंडी में जनसभा करने पहुंचे हैं। CM के आने से पहले पूर्व विधायक लीलाराम गुर्जर और हैफेड के पूर्व चेयरमैन कैलाश भगत कार्यक्रम छोड़ चले गए। वह मंच में अगली पंक्ति पर कुर्सी न लगने से नाराज हुए। हालांकि दोनों नेता कुछ देर तक मंच में पिछली पंक्ति पर बैठे लेकिन बाद में वहां से निकल गए। बता दें कि लीलाराम गुर्जर और कैलाश भगत, दोनों ही कैथल जिले में भाजपा के प्रमुख नेता हैं। दोनों सीएम के साथ अगली पंक्ति में बैठने के लिए कुर्सी चाहते थे। उन्होंने आगे न बिठाने को अपना अपमान करार दिया। जब सीएम सैनी से भाजपा के दो नेताओं के कार्यक्रम छोड़कर जाने के बारे में सवाल पूछा गया तो उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया। वहीं सीएम के आगमन से स्थानीय लोगों को उम्मीद थी कि वे पूंडरी को सब डिवीजन का दर्जा देंगे। हालांकि CM ने कहा कि इसके लिए कमेटी बनाई गई हैं। उनकी रिपोर्ट आने के बाद ही इस बारे में फैसला लिया जाएगा। 14.80 करोड़ के कामों का उद्घाटन किया
मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी गुरुवार दोपहर बाद हेलिकॉप्टर से पूंडरी पहुंचे। उनके लिए गुरुकुल पूंडरी में हेलीपैड बनाया गया था। प्रशासन के अधिकारियों व भाजपा नेताओं ने उनका हेलीपैड पर स्वागत किया। इसके बाद सीएम अनाज मंडी में आयोजित सभा में पहुंचे। इससे पहले उन्होंने पूंडरी में 14.80 करोड रुपए के विकास कार्यों का उद्घाटन किया। इनमें पिलनी गांव में पुंडरी रोड से सेगा रोड तक 1.07 करोड़ की लागत से बनी फिरनी, 11.84 करोड़ रुपए की लागत से 6 सड़कों को मजबूत करने और गांव कोल में 1.88 करोड़ रुपए की लागत से नीलोखेड़ी- कारसा- ढांड रोड की मरम्मत शामिल है। कृषि कॉलेज को यूनिवर्सिटी में तब्दील करने की मांग
जिला परिषद कैथल के चेयरमैन कर्मबीर कौल ने सीएम से करकौल के कृषि कॉलेज को यूनिवर्सिटी में तब्दील करने की मांग की। चेयरमैन कर्मबीर कौल ने कहा कि गांव कौल के कृषि कॉलेज में यूनिवर्सिटी में उपलब्ध होने वाला पूरा इंफ्रास्ट्रचर उपलब्ध है। उत्तरी हरियाणा के किसानों और युवा कृषि उद्यमियों को अपनी कृषि से संबंधित समस्याओं के लिए चौ. चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय हिसार जाना पड़ता है। इसके अतिरिक्त कृषि क्षेत्र में उच्च शिक्षा ग्रहण करने की लिए भी छात्र एवं छात्राओं को हिसार जाना पड़ता है। अगर ये यूनिवर्सिटी बन गई तो यहीं समस्याएं हाल हो जाएंगी।
पंचकूला में नायब सैनी ने किया रावण दहन:बटन दबाते ही लगी पुतले में आग, कार्यवाहक सीएम बोले- सुसंस्कृत समाज का निर्माण हो
पंचकूला में नायब सैनी ने किया रावण दहन:बटन दबाते ही लगी पुतले में आग, कार्यवाहक सीएम बोले- सुसंस्कृत समाज का निर्माण हो शनिवार को पंचकूला पहुंचे कार्यवाहक सीएम नायब सिंह सैनी ने रावण के पुतले का दहन किया। विजयादशमी की शुभकामनाएं देते हुए उन्होंने कहा कि आज का दिन अधर्म, अन्याय, असत्य व अत्याचार पर धर्म, न्याय, सत्य और सदाचार की शाश्वत जीत का पर्व है, जो सभी को अपने अंदर की बुराइयों को त्याग कर मानवता के मार्ग पर चलने की प्रेरणा देता है। उन्होंने कहा कि आज के दिन हम अपने अन्दर की बुराइयों का त्याग करनें का संकल्प लें, जिससे सभ्य और सुसंस्कृत समाज का निर्माण हो सके। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह दिन बड़ा ही गर्व और गौरव का दिन है। इस महापर्व को सभी मिलजुल कर संस्कृति और संस्कारों के साथ मनाते हैं। इस दिन श्रीराम ने लंका पर विजय प्राप्त की थी। भगवान श्रीराम का आशीर्वाद सब पर बना रहे और प्रदेश में आर्थिक खुशहाली तथा समृद्धि आए। मुख्यमंत्री ने आज जिला पंचकूला में आयोजित कार्यक्रम में रिमोट का बटन दबाकर रावण दहन प्रक्रिया पूरी की। इससे पहले श्रीराम और रावण संवाद का बेहतरीन मंचन किया गया, जिसमें रावण और श्री राम की सेनाएं युद्ध के मैदान में आमने सामने खड़ी थी और बहुत शानदार चौपाइयों से लोगो का ज्ञानवर्धक कर रही थी। बड़ा ही मनोरम दृश्य देखकर सभी दर्शक भावविभोर हो गए। माता मनसा देवी चेरिटेबल ट्रस्ट द्वारा आयोजित रामलीला का कई दिनों तक सुंदर प्रदर्शन किया गया और आज ट्राइसिटी के सबसे बड़े 151 फीट ऊंचे रावण के पुतले का दहन किया गया। इस मौके पर मुख्यमंत्री ने ट्रस्ट को 5 लाख रुपए की राशि देने की भी घोषणा की।
करनाल में धान खरीद में फर्जीवाड़ा:फिजिकल वैरिफिकेशन में कम मिला 4 हजार क्विंटल, राइस मिलर्स के खिलाफ जांच शुरू
करनाल में धान खरीद में फर्जीवाड़ा:फिजिकल वैरिफिकेशन में कम मिला 4 हजार क्विंटल, राइस मिलर्स के खिलाफ जांच शुरू हरियाणा के करनाल में फर्जी धान की खरीद का मामला एक फिर से उठा है। विभागीय जांच के दौरान 4 हजार क्विंटल धान गायब पाई गई है। मामला सुर्खियों में आने के बाद जिला उपायुक्त ने भी मामले पर संज्ञान लिया और गड़बड़ी वाली मिलों की भी पीवी करवाने के निर्देश जारी कर दिए। अब प्रशासन यह जानने का प्रयास कर रहा है कि आखिर गड़बड़ी कितनी हुई है। पहली ही पीवी में 4 हजार क्विंटल कम आईएएस अधिकारी योगेश सैनी के नेतृत्व में राइस मिल में फिजिकल वैरिफिकेशन की गई। प्रशासनिक जांच का यह पहला फेस था और पहले फेस ने ही बड़ा झटका दे दिया। करीब चार हजार क्विंटल धान कम मिली। जब पहले फेस में ही यह हालात है तो आगे फिजिकल वैरिफिकेशन होगी तो भ्रष्टाचार की ओर भी परते हटती नजर आएगी। इतनी स्पीड से काटे गए गेट पास जब भी गेट पास काटा जाता है तो उसे में औसतन दो से तीन मिनट लगता है। लेकिन जिले कई मंडियों में तो तेज रफ्तार से गेट पास काटकर रख दिए। शक ऐसे भी गहराता है कि जिस गेट पास को कटने में दो से तीन मिनट का टाइम लगता है, उन्हीं गेट पास को 41 सेकेंड दो बार और 2 मिनट 35 सेकेंड में तीन बार काट दिया जाता है। जिसके बाद निसिंग मंडी में 772 गेट पास कैंसिल किए गए। जिसका वजन 42 हजार 633 क्विंटल बनता था। निगदू, इंद्री, तरावड़ी, घरौंडा, करनाल और असंध की मंडियों गेट पास का यही तरीका है। वहीं डीएफएससी की माने तो पूरे मामले की जांच जारी है और गड़बड़ी करने वालों पर एक्शन लिया जाएगा। सवालों के घेरे में मंडी से जुड़े अधिकारी, कर्मचारी और व्यापारी भ्रष्टाचार की जड़े कुरेदी गई और खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के अधिकारियों की चूल्ले हिल गई। अब जिम्मेदार खुद को बचाने की जुगत में है और हड़बड़ी में उन राइस मिलर्स के खिलाफ जांच शुरू कर दी, जहां पर धान कम पाया गया है। ऐसे में अधिकारियों की हड़बड़ाहट ने कई सवाल खड़े कर दिए है। जिनकी तरफ आखिर प्रशासन का ध्यान नहीं जाता। कागजो में ही लिखी जाती है भ्रष्टाचार की पटकथा यूथ फॉर चेंज के अध्यक्ष एडवोकेट राकेश ढुल ने बताया कि फर्जी खरीद का खेल कोई एक अधिकारी या कर्मचारी या फिर मंडी से जुड़ा व्यक्ति नहीं कर सकता। इसके लिए पूरे टीम वर्क की जरूरत होती है। कैसे धान को कागजों में उगाना है? कैसे कागजों में ही धान का फर्जी गेट पास कटेगा? कैसे आढ़ती की दुकान के कागजों में चढ़ेगा? कैसे कागजों में ही खरीद एजेंसी धान की परचेज करेगी? कैसे मिलर्स कागजों में ही धान की बोरिया ट्रक में लोड होकर जाएगी? भ्रष्टाचार की पटकथा कागजों में ही लिखी जाती है और उसी में दब जाती है, लेकिन इस तरफ किसी का भी ध्यान नहीं जाता। यह कार्य बिना किसी अधिकारी, आढ़ती या फिर सरकारी खरीद एजेंसियों के इंस्पेक्टरों की मर्जी के बिना नहीं हो सकता। कैसे रचा जाता है भ्रष्टाचार का चक्रव्यूह अक्सर यह सवाल मन में आते है कि मंडी में फर्जी खरीद होती कैसे है और कैसे भ्रष्टाचार होता है? उन्हीं को कुछ आसान तरीके से समझने का प्रयास करते है। एडवोकेट राकेश ढूल के मुताबिक, मंडी में किसान का धान आते ही गेट पर पास कट जाता है। इसमें अनुमानित वजह होता है। गेट पास के माध्यम से ही पता चलता है कि किस आढ़ती के पास धान आया और किस एजेंसी ने खरीदा और किस मिलर्स को भेजा गया। जे फार्म कटने के बाद धान की खरीद का पैसा ऑनलाइन ट्रांसफर हो जाता है। फर्जी गेट पास से शुरू होता है भ्रष्टाचार का फर्स्ट फेस भ्रष्टाचार में फर्स्ट फेस फर्जी गेट पास से शुरू होता है। सेकेंड फेज धान की परचेज से शुरू होता है। इसमें खरीद एजेंसी का निरीक्षक और आढ़ती फर्जी गेट पास के नाम पर चढ़ी धान की सरकारी कागजों में खरीद दिखा देते है, अर्थात कागजों में धान उग जाती है। इसमें आढ़ती की अमाउंट प्रतिशत पहले से ही सेट होती है। किसी किसान के नाम पर धान का जे फार्म काट देते है और फिर किसी राइस मिलर्स को सीएसआर के लिए धान अलॉट कर दी जाती है। जे फार्म वाले किसान के खाते में पैसा आ जाता है और वह सब बंट जाता है और यह काम खरीद एजेंसी के जिम्मेदारों के मार्फत हो सकता है। गरीबों के चावल पर मिलर्स का डाका जो धान कागजों में थी उसको वास्तविक रूप में दिखाने के लिए मिलर्स यूपी और बिहार से गरीबों को मिलने वाले चावल को सस्ते रेट पर खरीद लेता है। इससे मिलर्स का सबसे बड़ा फायदा यह होता है कि वह मिलिंग का खर्च बचा लेता है और सस्ते में चावल खरीदकर एफसीआई को भेज देता है और यूपी व बिहार के चावल माफिया द्वारा यह कार्य किया जाता है। ऐसे में एमएसपी का लाभ किसान को न जाकर भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया और सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत मिलने वाले चावल को फूड माफिया के जरिए मिलर्स डकार लेते है। खानापूर्ति तक सीमित रह जाता है सब कुछ आकृति संस्था के अध्यक्ष अनुज सैनी की माने तो फिजिकल वैरिफिकेशन महज खानापूर्ति तक सीमित है। जनता को लगे कि प्रशासन द्वारा एक्शन लिया जा रहा है, इसके लिए एक नोटिस जारी कर दिया जाता है और आगे की जांच भी इंस्पेक्टर को ही करनी होती है। यहां पर तो वह कहावत चरितार्थ हो जाती है कि दूध की रखवाली बिल्ली को ही दे दी। जब तक सिस्टम में कड़ी कार्रवाई का प्रावधान नहीं होगा, इस तरह की खानापूर्ति चलती रहेगी। यह होता आया है और आगे भी इसी तरह से होता रहेगा। जांच के नाम पर महज खाना पूर्ति।