आईपीएस अफसरों के प्रमोशन के लिए गुरुवार को डिपार्टमेंटल प्रमोशन कमेटी (डीपीसी) की बैठक होगी। यह बैठक मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह की अध्यक्षता में लोकभवन में मुख्यसचिव कार्यालय में सुबह 11 बजे होगी। डीपीसी में मुख्य सचिव के अलावा डीजीपी प्रशांत कुमार, अपर मुख्य सचिव गृह दीपक कुमार और प्रमुख सचिव नियुक्ति एम देवराज शामिल रहेंगे। इस बैठक में 2000, 2007, 2011, 2012 और 2021 बैच के आईपीएस अफसरों के प्रमोशन किए जाएंगे। वैसे तो 1995 बैच के अफसर अब एडीजी से डीजी रैंक के प्रमोशन के लिए एलिजिबल हैं, लेकिन डीजी रैंक में वैकेंसी न होने की वजह से इस बैच के अफसरों का फिलहाल प्रमोशन नहीं होगा। जिन अफसरों का प्रमोशन होगा उसमें 2000 बैच के आईपीएस लखनऊ रेंज के आईजी प्रशांत कुमार द्वितीय एडीजी बन जाएंगे। गौतमबुद्धनगर की पुलिस आयुक्त लक्ष्मी सिंह और यूपी एटीएस के चीफ नीलाब्जा चौधरी भी आईजी से एडीजी हो जाएंगे। 2007 बैच के तीन अफसरों को मिलेगा प्रोफार्मा प्रमोशन 2007 बैच में फिलहाल 12 अधिकारी हैं जाे डीआईजी से आईजी बनेंगे। इसमें तीन अधिकारी ऐसे हैं जो केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात हैं। इसमें आईबी में तैनात नितिन तिवारी, केंद्रीय गृह मंत्रालय में डीआईजी दीपिका तिवारी और ब्यूरो आफ सिविल एविएशन सिक्योरिटी में तैनात प्रतिभा अम्बेडकर का नाम शामिल है। इन तीनों अफसरों को राज्य सरकार प्रोफार्मा प्रमोशन देगी। बाकी सभी 9 अफसर डीआईजी देवीपाटन रेंज अमित पाठक, डीआईजी कानपुर रेंज जोगेंद्र कुमार, डीआईजी मुख्यालय रवि शंकर छवि, डीआईजी सुरक्षा विनोद कुमार, डीआईजी पुलिस ट्रेनिंग स्कूल मेरठ भारती सिंह, कानपुर के अतिरिक्त पुलिस आयुक्त विपिन कुमार मिश्रा, डीआईजी मिर्जापुर रेंज राकेश प्रताप सिंह, डीआईजी महिला एं बाल सुरक्षा संगठ योगेश कुमार सिंह और डीआईजी अभियोजन गीता सिंह को प्रमोशन मिलेगा। एसएसपी से डीआईजी के लिए 27 नामों पर होगा विचार एसएसपी से डीआईजी बनने के लिए 27 अफसर एलिजिबिल हैं। यह सभी अफसर 2011 बैच के हैं जो एसएसपी से डीआईजी बनेंगे। इस बैच में केवल मोहम्मद इमरान ऐसे अफसर हैं जो केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात हैं। उन्हें प्रोफार्मा प्रोन्नति दी जाएगी। बाकी सभी अफसरों के नाम प्रमोशन की सूची में शामिल हैं। इसमें से कुछ अफसर ऐसे भी हैं जिनके लिफाफे बंद रह सकते हैं। इस सूची में पांच जिलों के पुलिस कप्तान भी हैं जो एसएसपी से डीआईजी हो जाएंगे। इसमें मथुरा के एसएसपी शैलेश पांडेय, मुजफ्फरनगर के एसएसपी अभिषेक सिंह, शाहजहांपुर के एसएसपी राजेश एस , फर्रुखाबाद के एसएसपी आलोक प्रियदर्शी और झांसी की एसएसपी सुधा सिंह को डीआईजी के पद पर प्रामोशन मिल जाएगा। 2012 बैच के 15 अफसरों को मिलेगा सेलेक्शन ग्रेड 2012 बैच के 15 आईपीएस अफसरों को सेलेक्शन ग्रेड मिलेगा। इसमें विजय ढुल, घुले सुशील चंद्रभान, आशीष तिवारी, सचींद्र पटेल, विपिन टाडा, सुजाता सिंह, प्रतापगोपेंद्र यादव, अभिषेक यादव, संकल्प शर्मा, सोमेन वर्मा, यमुना प्रसाद, संतोष कुमार मिश्रा, हेमराज मीणा, सलमान ताज पाटिल और राजकरन नय्यर। 2021 बैच के अफसर को मिलेगा सीनियर टाइम स्केल 2021 बैच के अफसर अब एएसपी से एसपी की रैंक में शामिल हो जाएंगे। इस बैच में कुल 20 अफसर हैं। आईपीएस अफसरों के प्रमोशन के लिए गुरुवार को डिपार्टमेंटल प्रमोशन कमेटी (डीपीसी) की बैठक होगी। यह बैठक मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह की अध्यक्षता में लोकभवन में मुख्यसचिव कार्यालय में सुबह 11 बजे होगी। डीपीसी में मुख्य सचिव के अलावा डीजीपी प्रशांत कुमार, अपर मुख्य सचिव गृह दीपक कुमार और प्रमुख सचिव नियुक्ति एम देवराज शामिल रहेंगे। इस बैठक में 2000, 2007, 2011, 2012 और 2021 बैच के आईपीएस अफसरों के प्रमोशन किए जाएंगे। वैसे तो 1995 बैच के अफसर अब एडीजी से डीजी रैंक के प्रमोशन के लिए एलिजिबल हैं, लेकिन डीजी रैंक में वैकेंसी न होने की वजह से इस बैच के अफसरों का फिलहाल प्रमोशन नहीं होगा। जिन अफसरों का प्रमोशन होगा उसमें 2000 बैच के आईपीएस लखनऊ रेंज के आईजी प्रशांत कुमार द्वितीय एडीजी बन जाएंगे। गौतमबुद्धनगर की पुलिस आयुक्त लक्ष्मी सिंह और यूपी एटीएस के चीफ नीलाब्जा चौधरी भी आईजी से एडीजी हो जाएंगे। 2007 बैच के तीन अफसरों को मिलेगा प्रोफार्मा प्रमोशन 2007 बैच में फिलहाल 12 अधिकारी हैं जाे डीआईजी से आईजी बनेंगे। इसमें तीन अधिकारी ऐसे हैं जो केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात हैं। इसमें आईबी में तैनात नितिन तिवारी, केंद्रीय गृह मंत्रालय में डीआईजी दीपिका तिवारी और ब्यूरो आफ सिविल एविएशन सिक्योरिटी में तैनात प्रतिभा अम्बेडकर का नाम शामिल है। इन तीनों अफसरों को राज्य सरकार प्रोफार्मा प्रमोशन देगी। बाकी सभी 9 अफसर डीआईजी देवीपाटन रेंज अमित पाठक, डीआईजी कानपुर रेंज जोगेंद्र कुमार, डीआईजी मुख्यालय रवि शंकर छवि, डीआईजी सुरक्षा विनोद कुमार, डीआईजी पुलिस ट्रेनिंग स्कूल मेरठ भारती सिंह, कानपुर के अतिरिक्त पुलिस आयुक्त विपिन कुमार मिश्रा, डीआईजी मिर्जापुर रेंज राकेश प्रताप सिंह, डीआईजी महिला एं बाल सुरक्षा संगठ योगेश कुमार सिंह और डीआईजी अभियोजन गीता सिंह को प्रमोशन मिलेगा। एसएसपी से डीआईजी के लिए 27 नामों पर होगा विचार एसएसपी से डीआईजी बनने के लिए 27 अफसर एलिजिबिल हैं। यह सभी अफसर 2011 बैच के हैं जो एसएसपी से डीआईजी बनेंगे। इस बैच में केवल मोहम्मद इमरान ऐसे अफसर हैं जो केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात हैं। उन्हें प्रोफार्मा प्रोन्नति दी जाएगी। बाकी सभी अफसरों के नाम प्रमोशन की सूची में शामिल हैं। इसमें से कुछ अफसर ऐसे भी हैं जिनके लिफाफे बंद रह सकते हैं। इस सूची में पांच जिलों के पुलिस कप्तान भी हैं जो एसएसपी से डीआईजी हो जाएंगे। इसमें मथुरा के एसएसपी शैलेश पांडेय, मुजफ्फरनगर के एसएसपी अभिषेक सिंह, शाहजहांपुर के एसएसपी राजेश एस , फर्रुखाबाद के एसएसपी आलोक प्रियदर्शी और झांसी की एसएसपी सुधा सिंह को डीआईजी के पद पर प्रामोशन मिल जाएगा। 2012 बैच के 15 अफसरों को मिलेगा सेलेक्शन ग्रेड 2012 बैच के 15 आईपीएस अफसरों को सेलेक्शन ग्रेड मिलेगा। इसमें विजय ढुल, घुले सुशील चंद्रभान, आशीष तिवारी, सचींद्र पटेल, विपिन टाडा, सुजाता सिंह, प्रतापगोपेंद्र यादव, अभिषेक यादव, संकल्प शर्मा, सोमेन वर्मा, यमुना प्रसाद, संतोष कुमार मिश्रा, हेमराज मीणा, सलमान ताज पाटिल और राजकरन नय्यर। 2021 बैच के अफसर को मिलेगा सीनियर टाइम स्केल 2021 बैच के अफसर अब एएसपी से एसपी की रैंक में शामिल हो जाएंगे। इस बैच में कुल 20 अफसर हैं। उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर
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शिमला में रामकृष्ण-मिशन आश्रम में हंगामे की जांच की मांग:स्वामी तन्मयमहिमानंद बोले- पुलिस जांच पर भरोसा नहीं, आधी रात को हुआ था पथराव हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला में स्थित रामकृष्ण मिशन आश्रम को लेकर टकराव जारी है। रामकृष्ण मिशन व हिमालयन ब्रह्म समाज ने सोमवार को इसको लेकर शिमला में पत्रकार वार्ता की। इस दौरान उन्होंने विरोधी खेमे पर गंभीर आरोप लगाए और पुलिस की कार्यप्रणाली पर भी सवाल खड़े किए हैं। स्वामी तन्मयमहिमानंद ने पत्रकार वार्ता के दौरान कहा कि रामकृष्ण मिशन और हिमालयन ब्रह्म समाज में कोई मतभेद नही है ।उन्होंने कहा कि 16 नवम्बर को रामकृष्ण परिसर में हुई घटना की न्यायिक जांच होनी चाइए ।उन्होंने कहा कि पुलिस की जांच पे उन्हें भरोसा नही है। स्वामी ने पत्रकार वार्ता के दौरान कहा कि जो लोग हिमालयन ब्रह्म समाज के पदाधिकारी होने का दावा कर रहे हैं वो भू माफिया है। राम कृष्ण मिशन यहां 2014 से नियमित रूप से कार्य कर रहे है। हिमालयन ब्रह्म समाज के 1966 से ट्रस्टी ललित वर्मा और शैल पंडित है। सोशल मीडिया में राम कृष्ण मिशन और हिमालयन ब्रह्म समाज में मतभेद की बात पूरी तरह गलत है।जो ब्रह्म समाज है उनमें कोई मतभेद नही है। न्यायिक जांच की मांग
वहीं रामकृष्ण मिशन समर्थक ब्रह्म समाज के पदाधिकारी ललित वर्मा ने पुलिस प्रशासन ने आरोप लगाया है कि पुलिस को पहले सूचना देने के बाद भी पुलिस ने क्यों कार्रवाही नही की। ललित वर्मा ने पुलिस पर आरोप लगाते हुए कहा कि पुलिस के आला अधिकारी इस मामले को राजनीतिक रंग देने का प्रयास कर रहे हैं। उन्होंने प्रदेश सरकार से मांग की है कि 16 नंवबर को हुई घटना की न्यायिक जांच करवाई जानी चाइए। 10-12 लोगों पर मामला दर्ज
बता दें कि हिमाचल की राजधानी शिमला स्थित रामकृष्ण आश्रम में शनिवार की आधी रात को पथराव हुआ था। जिसमें QRT के जवानों समेत 7 से 8 लोग घायल हो गए । जिसके बाद पुलिस ने इसमें 10 से 12 लोगो के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है। FIR में इन लोगों के नाम
रामकृष्ण मिशन आश्रम में शनिवार रात को हुए विवाद के मामले में दर्ज एक एफआईआर में स्वामी तनमाहिमानन्दा, रामरुपानन्द, ललित वर्मा, संदीप, कर्ण नंदा, विनोद अग्रवाल, शीतल व्यास और नितिन व्यास के नाम का उल्लेख है। इसके अलावा कई अन्य लोग भी इसमें शामिल हो सकते हैं। क्या कहना है ब्रह्म समाज पक्ष का?
वहीं ब्रह्म समाज पक्ष के ट्रस्टी मोहिंदर कुमार ने बताया कि उन्होंने पुलिस को दी शिकायत में बताया है कि 16 नवंबर को 5:00 के आसपास ब्रह्म समाज के लोग ब्रह्म उपासना के लिए ब्रह्म समाज मंदिर परिसर (रामकृष्ण मंदिर मन्दिर आश्रम) में गए और वहां पर 5 से 6 बजे तक ब्रह्म समाज उपासना का शांतिपूर्ण कार्य चलता रहा ब्रह्म समाज के लोगों ने वहां पर आप पूर्ण कलश स्थापना भी की। महिलाओं के साथ हुआ अभद्र व्यवहार
कुछ समय बाद संत तन्मयमहिमानंद और रूपानंद मंदिर परिसर में प्रवेश किया और वहां पूजा अर्चना कर रही महिलाओं के साथ अभद्र व्यवहार किया और स्थापित कलश को खंडित किया जिससे ब्रह्म समाज की धार्मिक भावना आहत हुई है। उन्होंने पुलिस को बताया है कि उन्होंने स्वामी से कई बार प्रार्थना की लेकिन पार्थना करने के बाद भी उन्होंने कलश की स्थापना नही करने दिया। उसके बाद वह वहां शांति पूर्ण तरीके से उपासना कर रहे थे लेकिन फिर स्वामी ने अपने गुंडों को बुलाया और उन्होंने उपासना कर रहे ब्रह्म समाज के लोगो पर पत्थर, गमलों एंव डंडों से जानलेवा हमला करवाया। क्या है पूरा मामला?
दरअसल आपको बता दें कि राम कृष्ण मिशन व ब्रह्म समाज के एक धड़े की बीच यहां लगभग 30 बीघे के आस पास जमीन को लेकर विवाद चला हुआ है। इसको लेकर काफी समय से विवाद है यह मामला न्यायालय के विचाराधीन है। पहले भी कई बार यह मामला उठा है। लेकिन शनिवार की मध्यरात्रि हुए घटना क्रम के बाद यह एक बार फिर गरमा गया है।
बुलंदशहर में पुलिस और गोकशी करने वालों में मुठभेड़, जवाबी फायरिंग के बाद 3 बदमाश गिरफ्तार
बुलंदशहर में पुलिस और गोकशी करने वालों में मुठभेड़, जवाबी फायरिंग के बाद 3 बदमाश गिरफ्तार <p style=”text-align: justify;”><strong>UP News:</strong> उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में गौकशी की घटना को अंजाम दे रहे गोकशों ने पुलिस टीम पर फायरिंग कर दी. गोकशों द्वारा की गई फायरिंग में पुलिस टीम बाल-बाल बची. यह घटना बुलंदशहर के अरनिया थाना क्षेत्र की है, जहां अरनिया थाना पुलिस को देर रात सूचना मिली थी कि कुछ गोकशों मदकोला के जंगलों में गोकशी का काम कर रहे हैं. जैसे ही पुलिस सूचना पर मौके पर पहुंची और बदमाशों के बीच मुठभेड़ हो गई.</p>
<p style=”text-align: justify;”>गोकशों को पुलिस ने टोका तो पुलिस से खुद को घिरता देख बदमाशों ने पुलिस टीम पर ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी. जिसके बाद पुलिस ने जबाबी फायरिंग की जिसमें तीन बदमाश सलमान, शाहिद और वाजिद पुलिस की गोली लगने से घायल हो गए, जबकि बदमाशों के दो साथी अंधेरे का फायदा उठाकर फरार हो गए. जिनकी पुलिस तलाश कर रही है. पुलिस ने एक गिरफ्तार बदमाशों के पास से 3 तमंचे, 1 पिकअप वाहन, गोकशी के उपकरण व एक बछड़ा भी बरामद किया है.</p>
<p style=”text-align: justify;”>बता दें कि पकड़े गए बदमाश आकाश और सलमान पर 34 संगीन मुकदमा दर्ज हैं तो वहीं शाहिद पर 5 तो वाजिद पर 1 मुकदमा दर्ज है. वहीं घटना की जानकारी देते हुए एसपी देहात रोहित मिश्रा ने बताया कि अरण्य थाना पुलिस के द्वारा चेकिंग की जा रही थी तभी पुलिस को सूचना मिली की मदकोला के जंगल में कुछ बदमाश मौजूद हैं. जो कि संभावित गोकशी की घटना को अंजाम दे रहे हैं और घटना की सूचना पर मौके पर पुलिस पहुंची और बदमाशों को रोका जिस पर बदमाशों द्वारा पुलिस टीम पर फायर किया गया. जिस पर पुलिस टीम द्वारा जवाबी फायरिंग की गई जिसमें तीन बदमाश घायल हो गए. पकड़े गए एक बदमाश पर 15 हजार का इनाम है और विभिन्न थाना क्षेत्र में कई संगीन मुकदमा दर्ज हैं. तीनों अपराधियों को गिरफ्तार कर लिया गया है और आगे की वैधानिक कार्रवाई की जा रही है. </p>
<p style=”text-align: justify;”> </p>
बहराइच में भेड़िए को पकड़ने के लिए सर्च ऑपरेशन जारी:युवती पर किया हमला, पीलीभीत में बाघ के हमले से ग्रामीण की मौत
बहराइच में भेड़िए को पकड़ने के लिए सर्च ऑपरेशन जारी:युवती पर किया हमला, पीलीभीत में बाघ के हमले से ग्रामीण की मौत बहराइच के महसी के हरदी इलाके में बीते दो माह से आदमखोर भेड़िए का आतंक छाया है। इनके हमले में अभी तक नौ मासूमों व एक महिला समेत दस लोगों की जान जा चुकी है। वही वन विभाग की और से अभी तक चार भेड़िए को पकड़ा गया है। लेकिन ड्रोन में कैद दो भेड़िए अभी तक वन विभाग के पकड़ में नही आए हैं। वहीं भेडिए ने फिर से एक युवती पर हमला कर दिया। जिससे वह घायल हो गई। वहीं पीलीभीत में बाघ के हमले से एक ग्रामीण की मौत हो गई है। बताया जा रहा है कि हरदी इलाके में स्थित अंग राउरा गांव में देर शाम घर से शौच के लिए बाहर जा रही एक 18 साल की युवती के पैर पर एक जानवर ने हमला कर दिया। शोर मचाने पर जानवर उसे छोड़ कर भाग गया। हमले में युवती के पैर में चोटें आई। स्वास्थ्य केंद्र में उसे भर्ती कराया गया है। वन विभाग की 25 टीमें व करीब 165 कर्मचारी ड्रोन कैमरे में कैद आदमखोर भेड़िए की तलाश में जुटे हुए हैं। लेकिन चालाक भेड़िए लगातार अपना मूवमेंट बदल कर उन्हें चकमा देते नजर आ रहे हैं। वन विभाग के साथ ही स्थानीय ग्रामीण भी लाठी डंडों के साथ रात को पहरा देते नजर आ रहे हैं । भेड़िए के न पकड़े जाने की सूरत में उन्हें मारने के लिए इलाके में शूटरों की भी तैनाती की गई है। लेकिन अभी तक उनके भी हाथ खाली ही है।