पंजाब के लुधियाना की सेंट्रल जेल के बाहर से दो युवकों जेल के अंदर कुछ सामान फेंकते पकड़ा गया है। बताया जा रहा है कि पुलिस ने जिन दो लोगों को पकड़ा है वे दोनों तस्कर हैं। जेल में जिस जगह इन तस्करों ने सामान फेंके हैं वहां से पुलिस को 1 कांच की बोतल तंबाकू से भरी हुई मिली। थाना डिवीजन नंबर 7 की पुलिस दोनों आरोपियों से पूछताछ कर रही है। 30 मई को पुलिस ने चैकिंग दौरान किया काबू पुलिस को जेल के सहायक सुपरीडेंट हरमिन्द्र सिंह ने जानकारी दी । उन्होंने कहा कि 30 मई को वह जेल में गश्त और चैकिंग कर रहे थे। जेल की दीवार टावर नंबर 60 नजदीक जेल कर्मचारियों को मोटरसाइकिल पर दो युवक जेल में कुछ फेंकते हुए दिखे। युवकों को चैकिंग के लिए रोका और सख्ती से पूछताछ की तो खुलासा हुआ कि दोनों युवकों ने कांच की तंबाकू से भरी बोतल जेल में गिराई है। आरोपियों की पहचान कमलजीत सिंह और लुखविंदर सिंह के रूप में हुई है। जांच में यह बात सामने आई है कि करीब 1500 से 2 हजार रुपए के लालच में ये तस्कर जेल में सामान फेंकते हैं। पुलिस ने Prision ACT के तहत 52A,42,45 के तहत मामला दर्ज किया है। पंजाब के लुधियाना की सेंट्रल जेल के बाहर से दो युवकों जेल के अंदर कुछ सामान फेंकते पकड़ा गया है। बताया जा रहा है कि पुलिस ने जिन दो लोगों को पकड़ा है वे दोनों तस्कर हैं। जेल में जिस जगह इन तस्करों ने सामान फेंके हैं वहां से पुलिस को 1 कांच की बोतल तंबाकू से भरी हुई मिली। थाना डिवीजन नंबर 7 की पुलिस दोनों आरोपियों से पूछताछ कर रही है। 30 मई को पुलिस ने चैकिंग दौरान किया काबू पुलिस को जेल के सहायक सुपरीडेंट हरमिन्द्र सिंह ने जानकारी दी । उन्होंने कहा कि 30 मई को वह जेल में गश्त और चैकिंग कर रहे थे। जेल की दीवार टावर नंबर 60 नजदीक जेल कर्मचारियों को मोटरसाइकिल पर दो युवक जेल में कुछ फेंकते हुए दिखे। युवकों को चैकिंग के लिए रोका और सख्ती से पूछताछ की तो खुलासा हुआ कि दोनों युवकों ने कांच की तंबाकू से भरी बोतल जेल में गिराई है। आरोपियों की पहचान कमलजीत सिंह और लुखविंदर सिंह के रूप में हुई है। जांच में यह बात सामने आई है कि करीब 1500 से 2 हजार रुपए के लालच में ये तस्कर जेल में सामान फेंकते हैं। पुलिस ने Prision ACT के तहत 52A,42,45 के तहत मामला दर्ज किया है। पंजाब | दैनिक भास्कर
Related Posts
पंजाब सुखना का इको सेंसिटिव जोन बढ़ाने की तैयारी:बीजेपी नेता ने बोले-आम लोगों को होगी दिक्कत, 1980 से लोग बसना शुरू हुए थे
पंजाब सुखना का इको सेंसिटिव जोन बढ़ाने की तैयारी:बीजेपी नेता ने बोले-आम लोगों को होगी दिक्कत, 1980 से लोग बसना शुरू हुए थे पंजाब सरकार अपने इको सेंसिटिव जोन (ESZ) को एक से तीन किलोमीटर तक करने की तैयारी है। आगामी कैबिनेट मीटिंग में इस संबंधी प्रस्ताव लाने की तैयारी चल रही है। अगर ऐसा होता है तो मोहाली की नयागांव नगर काउंसिल के अधीन आने वाले गांव कांसल, करोरां और नाड्डा के मकान, दुकानें, अस्पताल, धार्मिक स्थल आदि के मालिक मुश्किल में आ जाएंगे। उन्हें गिराने की नौबत तक आ सकती है। यह दावा पंजाब भाजपा के वरिष्ठ नेता विनीत जोशी ने सेक्टर-27 प्रेस क्लब में किया। उनके साथ ही इलाके के कई पार्षद भी थे। उन्होंने मांग की है कि इस तरफ सरकार को ध्यान देना चाहिए। दस साल पुराने फैसले के विपरीत जोशी ने बताया कि सुखना वाइल्ड लाइफ सैंक्चुरी के आसपास 100 मीटर को ईएसजेड (इको सेंसिटिव जोन) रखने के अपने ही 10 साल से अधिक पुराने स्टैंड के विपरीत है। अब वन एवं वन्यजीव संरक्षण विभाग पंजाब ने ईएसजेड को 3 किलोमीटर तक रखने का प्रस्ताव दिया है, जो कि उचित नहीं है। 1980 से लोग बसना शुरू हुए थे जोशी ने बताया कि चंडीगढ़ में घर- फ्लैट खरीदने में असमर्थ लोगों ने 1980 में ही नयागांव और कांसल में छोटे-छोटे प्लॉट किसानों से खरीद घर बनाने शुरू कर दिए थे, उसके बाद करोरां और नाडा गांव में भी घर बनाए । इस क्षेत्र में बिना किसी कानूनी प्रावधान के बन रहे घर, दुकानों, आदि के कारण पैदा हुई व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए पंजाब सरकार ने 2006 में नगर पंचायत का गठन किया । 2016 में इसे म्युनिसिपल काउंसिल में अपग्रेड किया। इसके बाद नयागांव म्युनिसिपल काउंसिल का मास्टर प्लान और उसके बाद जोनल प्लान और बिल्डिंग बायलॉज की अधिसूचना जारी की गई और इनकी नियमों की पालना करते हुए लोगों ने पंजाब सरकार से मंजूरी ले घर, फ्लैट, दुकानें, अस्पताल आदि सभी कानून अनुसार बनाए ।
सिद्धू के पूर्व सलाहकार मालविंदर की गिरफ्तारी का विरोध:सुखजिंदर रंधावा बोले- डिजिटल इमरजेंसी के बने हालात; राजा वड़िंग ने बताया आश्चर्यजनक
सिद्धू के पूर्व सलाहकार मालविंदर की गिरफ्तारी का विरोध:सुखजिंदर रंधावा बोले- डिजिटल इमरजेंसी के बने हालात; राजा वड़िंग ने बताया आश्चर्यजनक पंजाब में मोहाली पुलिस ने पूर्व मंत्री और वरिष्ठ कांग्रेस नेता नवजोत सिद्धू के पूर्व राजनीतिक सलाहकार मालविंदर सिंह माली को सोमवार रात गिरफ्तार कर लिया है। मोहाली पुलिस के सीआईए विंग की तरफ से टीम देर शाम उनके घर पहुंची। जिसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है। मलविंदर माली के खिलाफ मोहाली पुलिस ने आईटी एक्ट के तहत मामला दर्ज किया। मलविंदर माली की गिरफ्तारी के बाद पंजाब की सियासत में उसका विरोध शुरू हो गया है। कांग्रेस के सीनियर नेताओं ने सोशल मीडिया एकाउंट्स पर इसका विरोध किया है और इसे डिजिटल इमरजेंसी करार दिया है। हांलाकि आम आदमी पार्टी का अभी तक इसे पर कोई बयान नहीं आया है और ना ही पुलिस की तरफ से स्पष्ट किया गया है कि मलविंदर माली को किस पोस्ट के लिए अरेस्ट किया गया है। मालविंदर माली को अरेस्ट करने का वीडियो आया सामने सोमवार रात हुई गिरफ्तारी के बाद अब एक वीडियो भी सामने आया है। जिसमें पता चलता है कि जब मलविंदर माली को अरेस्ट किया गया, वे घर में अपने दोस्तों के साथ ड्रिंक कर रहे थे। सीआईए मोहाली की टीम उन्हें अरेस्ट करने पहुंची। मालविंदर माली ने इस दौरान उनसे अरेस्ट वारंट भी मांगा। लेकिन टीम ने कहा कि उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज हो चुकी है। ऐसे में उन्हें अरेस्ट करने के लिए किसी वारंट की जरूरत नहीं है। इतना ही नहीं, मालविंदर माली के दोस्तों को भी दूर रहने की सलाह दी गई, क्योंकि उन्होंने ड्रिंक कर रखी थी। पंजाब में डिजिटल इमरजेंसी जैसे हालात गुरदासपुर से कांग्रेस के सांसद सुखजिंदर सिंह रंधावा ने अपने सोशल मीडिया पर लिखा- डिजिटल आपातकाल की स्थिति वे सरकारी बना रही है, जो स्वयं सोशल मीडिया के ऊपर परिवर्तन की बातें करके खुद सत्ता में आई। जो आज भी डिजिटल मीडिया पर करोड़ रुपए खर्च कर रही है। मालविंदर सिंह माली के जैसे पत्रकार और हर व्यक्ति जाे पंजाबी के अधिकारों की बात करता है और हर समय सरकार की आलोचना करता आया है, उन्हें ये लोग दबाने का प्रयास करते हैं। इनको जेलों में चल रहे मोबाइल फोन, जेलों में हो रहे गैंगस्टरों का इंटरव्यू, बढ़ रही गुंडागर्दी नहीं दिखाई देती। पंजाबी सीएम भगवंत मान तानाशाही के रास्ते पर पहले दिन ही चल पड़े थे, पर उनका यह रास्ता पंजाबी रोकेंगे। राजा वडिंग ने मालविंदर को छोड़ने को कहा लुधियाना से सांसद व पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रधान अमरिंदर सिंह राजा वडिंग ने कहा कि चौंकाने वाला, राजनीतिक विश्लेषक मलविंदर माली को पंजाब पुलिस ने बिना वारंट या एफआईआर कॉपी के गिरफ्तार कर लिया। AAP की तानाशाही का पर्दाफाश। मुद्दों पर चुप्पी, आवाजों की गिरफ्तारी। क्या भगवंत मान की सरकार में यह पंजाब का ‘नया’ सामान्य मामला है?
गिद्दड़बाहा उपचुनाव में नेताओं के बच्चों ने भरा दम:एकोम, अनु और अर्जुन कर रहे डोर-टू-डोर कैंपेन, पक्ष में माहौल बनाने की कोशिश
गिद्दड़बाहा उपचुनाव में नेताओं के बच्चों ने भरा दम:एकोम, अनु और अर्जुन कर रहे डोर-टू-डोर कैंपेन, पक्ष में माहौल बनाने की कोशिश पंजाब में हो रहे उपचुनाव में गिद्दड़बाहा की वीआईपी सीट पर मुकाबला कड़ा होता जा रहा है। इस सियासी मुकाबले में न सिर्फ वरिष्ठ नेता बल्कि उनकी अगली पीढ़ियां भी पूरी ताकत झोंक रही हैं। कांग्रेस प्रत्याशी अमृता वड़िंग, आम आदमी पार्टी प्रत्याशी हरदीप सिंह ‘डिंपी’ ढिल्लों और भाजपा प्रत्याशी मनप्रीत सिंह बादल के बच्चे अपने-अपने माता-पिता की जीत के लिए प्रचार कर रहे हैं। अमृता वड़िंग की बेटी एकोम, डिंपी ढिल्लों की बेटी अनु संधू और मनप्रीत बादल के बेटे अर्जुन सभी रोजाना मतदाताओं से मिल रहे हैं और डोर टू डोर कैंपेन भी कर रहे हैं। तीनों ही अपने माता-पिता के साथ-साथ विधानसभा क्षेत्र का दौरा करते नजर आ रहे हैं। अमृता वड़िंग की बेटी एकोम एकोम अपनी मां के लिए डोर-टू-डोर कैंपेन चला रही हैं। उनका कहना है- मेरी मां मेरी प्रेरणा हैं। मैं हमेशा से उन्हें चुनाव लड़ते देखना चाहती थी और अब वह समय आ गया है। वह महिलाओं के लिए बहुत कुछ करना चाहती हैं। वड़िंग के बेटे अमान भी अपनी मां के साथ पूरे दिन रहते हैं और विधानसभा क्षेत्र में दौरा करते हैं। डिम्पी ढिल्लों की बेटी अनु संधू अनु संधू, जो फाजिल्का जिले में शादीशुदा हैं, अपने पिता के पक्ष में माहौल बनाने की पूरी कोशिश कर रही हैं। वे अधिकतर समय गिद्दड़बाहा में ही निकाल रही हैं। उनका कहना है- मेरे पिता एकमात्र योग्य उम्मीदवार हैं क्योंकि वह गिद्दड़बाहा के निवासी हैं। इसके अलावा, सत्ताधारी AAP अगर यहां जीतती है तो कई विकास कार्य करवाए जा सकते हैं। डिम्पी के बेटे पावी ढिल्लों और भतीजे अभय ढिल्लों भी इस उपचुनाव में अपना पसीना बहा रहे हैं। मनप्रीत बादल के बेटे अर्जुन मनप्रीत बादल के बेटे अर्जुन ने भी अब अपने पिता के लिए अभियान शुरू कर दिया है। वे अपनी जनसभाओं में विशेष रूप से राजा वड़िंग पर निशाना साध रहे हैं। भाजपा कार्यकर्ताओं से बिना किसी डर के मैदान में काम करने की अपील कर रहे हैं। उनका कहना है- आप लोग राजा वड़िंग के बारे में बहुत कुछ नहीं जानते। अगर उन्होंने अपनी हरकतें नहीं बदलीं, तो मुझे उसकी पोल खोलनी पड़ेगी। ऐसा अर्जुन ने डोडा गांव में लोगों को संबोधित करते हुए कहा।