अमेरिका के स्टैनफोर्ड विश्वविद्यालय की टॉप 2% ग्लोबल साइंटिस्ट की लिस्ट में उत्तर प्रदेश के 7 प्रोफेसर को शामिल किया गया है। इसमें 5 लखनऊ विश्वविद्यालय के और 2 गोरखपुर की मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के हैं। लिस्ट में लखनऊ विश्वविद्यालय के भौतिकी विभाग से प्रोफेसर अमृतांशु शुक्ला,डॉ.सीआर गौतम, डॉ.रोली वर्मा, रसायन विज्ञान विभाग से प्रोफेसर अभिनव कुमार और डॉ. विनोद कुमार वशिष्ठ शामिल हैं। न्यूक्लियर फिजिक्स पर किया हैं शोध
प्रोफेसर अमृतांशु शुक्ला को न्यूक्लियर फिजिक्स ज्यादातर शोध किया हैं। उनके 200 से अधिक शोध पत्र प्रकाशित हो चुके हैं, जिनमें से लगभग 75 अंतरराष्ट्रीय शोध पत्रिकाओं में शामिल है। उन्होंने 10 पुस्तकों का लेखन भी किया हैं। डेंटल साइंस में किया है काम
डॉ.सीआर गौतम सिरेमिक सामग्री के क्षेत्र में काम कर रहे हैं। उन्होंने दंत चिकित्सा और अस्थि प्रत्यारोपण सहित जैविक अनुप्रयोगों के लिए सफलतापूर्वक नवीन सामग्री विकसित की है। ऑप्टिकल सेंसर पर किया हैं काम
डॉ.रोली वर्मा ने प्लास्मोनिक और फोटोनिक नैनोस्ट्रक्चर और फिल्मों पर आधारित ऑप्टिकल सेंसर पर काम किया, जिसने उन्हें शीर्ष पर पहुंचाया। उनके शोध कार्य का उद्देश्य पर्यावरण और मानव स्वास्थ्य को लाभ पहुंचा है। पॉलिमर में किया हैं शोध
प्रोफेसर अभिनव कुमार का काम संक्रमणकालीन धातुओं, पॉलिमर (सीपी), धातु-कार्बनिक संरचनाओं (एमओएफ) और डाई-सेंसिटाइज्ड सौर कोशिकाओं के क्षेत्र में रहा है। इस प्रकार के शोध के पदार्थ विज्ञान के क्षेत्र में कई उपयोग हैं। जिसमें दवा निर्माण और ऊर्जा क्षेत्र विशेष रूप से काम किया है। रसायन विज्ञान से डॉ.वशिष्ठ सेपरेशन साइंस, मैक्रोसाइक्लिक कॉम्प्लेक्स, चिरल सेपरेशन, बायोएनालिटिकल रसायन विज्ञान के क्षेत्र में सक्रिय शोधकर्ता हैं, जिनका पर्यावरण विज्ञान के क्षेत्र में विशेष प्रयोग होगा। स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी की रैंकिंग
डेटा बेस में वैज्ञानिकों को स्थापित साइंस-मेट्रिक्स वर्गीकरण प्रणाली का उपयोग करके अलग-अलग वैज्ञानिक क्षेत्रों और 174 उप-क्षेत्रों में वर्गीकृत किया गया है। अगस्त 2024 के अंत तक उनके पूरे करियर के डेटा को अपडेट किया गया है और सबसे हाल के वर्ष का डेटा शैक्षणिक वर्ष 2023-24 में संख्या में दर्शाता है। अमेरिका के स्टैनफोर्ड विश्वविद्यालय की टॉप 2% ग्लोबल साइंटिस्ट की लिस्ट में उत्तर प्रदेश के 7 प्रोफेसर को शामिल किया गया है। इसमें 5 लखनऊ विश्वविद्यालय के और 2 गोरखपुर की मदन मोहन मालवीय प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के हैं। लिस्ट में लखनऊ विश्वविद्यालय के भौतिकी विभाग से प्रोफेसर अमृतांशु शुक्ला,डॉ.सीआर गौतम, डॉ.रोली वर्मा, रसायन विज्ञान विभाग से प्रोफेसर अभिनव कुमार और डॉ. विनोद कुमार वशिष्ठ शामिल हैं। न्यूक्लियर फिजिक्स पर किया हैं शोध
प्रोफेसर अमृतांशु शुक्ला को न्यूक्लियर फिजिक्स ज्यादातर शोध किया हैं। उनके 200 से अधिक शोध पत्र प्रकाशित हो चुके हैं, जिनमें से लगभग 75 अंतरराष्ट्रीय शोध पत्रिकाओं में शामिल है। उन्होंने 10 पुस्तकों का लेखन भी किया हैं। डेंटल साइंस में किया है काम
डॉ.सीआर गौतम सिरेमिक सामग्री के क्षेत्र में काम कर रहे हैं। उन्होंने दंत चिकित्सा और अस्थि प्रत्यारोपण सहित जैविक अनुप्रयोगों के लिए सफलतापूर्वक नवीन सामग्री विकसित की है। ऑप्टिकल सेंसर पर किया हैं काम
डॉ.रोली वर्मा ने प्लास्मोनिक और फोटोनिक नैनोस्ट्रक्चर और फिल्मों पर आधारित ऑप्टिकल सेंसर पर काम किया, जिसने उन्हें शीर्ष पर पहुंचाया। उनके शोध कार्य का उद्देश्य पर्यावरण और मानव स्वास्थ्य को लाभ पहुंचा है। पॉलिमर में किया हैं शोध
प्रोफेसर अभिनव कुमार का काम संक्रमणकालीन धातुओं, पॉलिमर (सीपी), धातु-कार्बनिक संरचनाओं (एमओएफ) और डाई-सेंसिटाइज्ड सौर कोशिकाओं के क्षेत्र में रहा है। इस प्रकार के शोध के पदार्थ विज्ञान के क्षेत्र में कई उपयोग हैं। जिसमें दवा निर्माण और ऊर्जा क्षेत्र विशेष रूप से काम किया है। रसायन विज्ञान से डॉ.वशिष्ठ सेपरेशन साइंस, मैक्रोसाइक्लिक कॉम्प्लेक्स, चिरल सेपरेशन, बायोएनालिटिकल रसायन विज्ञान के क्षेत्र में सक्रिय शोधकर्ता हैं, जिनका पर्यावरण विज्ञान के क्षेत्र में विशेष प्रयोग होगा। स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी की रैंकिंग
डेटा बेस में वैज्ञानिकों को स्थापित साइंस-मेट्रिक्स वर्गीकरण प्रणाली का उपयोग करके अलग-अलग वैज्ञानिक क्षेत्रों और 174 उप-क्षेत्रों में वर्गीकृत किया गया है। अगस्त 2024 के अंत तक उनके पूरे करियर के डेटा को अपडेट किया गया है और सबसे हाल के वर्ष का डेटा शैक्षणिक वर्ष 2023-24 में संख्या में दर्शाता है। उत्तरप्रदेश | दैनिक भास्कर